The dedication of the BJP Karyakartas of Kerala and their abilities to overcome all challenges is second to none
The source of strength for Modi's guarantee is BJP's Karyakartas
BJP Karyakartas must ensure that the developmental policies & benefits percolate to the grassroots level while explaining the misgovernance by LDF-UDF
Every booth must have a robust campaign strategy with a Social Media Incharge to facilitate the same
We must make sure we win the booth first which will translate into Lok Sabha seats enabling our journey towards a 'Viksit Bharat'

नमस्कारम !
‘सुशक्तमाण एंटे बूथ’, कार्यक्रम में आप सभी बीजेपी कार्यकर्ता साथियों का बहुत-बहुत स्वागत है। आज मैं आप सबके साथ प्रधानमंत्री के तौर पर नहीं लेकिन आप जैसे ही एक कार्यकर्ता के रूप में आपसे बात करने आया हूं। मैं जानता हूं कि आप सब आजकल दिन रात कितनी मेहनत करते हैं और मैंने तो हमेशा कहा है कि जितने संघर्ष केरल के कार्यकर्ता ने झेले हैं और केरल के कार्यकर्ता ने हर संकट में जो जिंदादिली दिखाई है शायद ही उसकी तुलनी किसी और से हो सकती है ऐसे तपस्वी कार्यकर्ता, त्यागी कार्यकर्ता, कर्मठ कार्यकर्ता और मिशन के लिए जी जान से जुट जाने वाले कार्यकर्ताओं से बात करना ये अपने आप में खास होता है। ऐसे समय में मुझे आपसे बात करके बहुत अच्छा लग रहा है और मैं आपको सच्चे दिल से बताता हूं जब भी मैं आप सब कार्यकर्ताओं से बात करता हूं तो मुझे भी नई ऊर्जा मिलती है नई प्रेरणा मिलती है।

साथियों,
यहां दिल्ली में जो पॉलिटिकल एक्सपर्ट्स हैं और वो आमतौर पर कहते रहते हैं कि भाई ये मोदी जी हैं ना इनके कारण विजय हो रही है। लेकिन इनको पता नहीं है कि मोदी भी इसीलिए हैं क्योंकि आज लाखों आप जैसे कार्यकर्ता वही उनकी सच्ची शक्ति हैं। वही उनका सच्चा सामर्थ्य हैं और ये सारे कार्यकर्ता एक-एक पोलिंग बूथ में पोलिंग बूथ को जिताने के लिए मैदान में जुटे हुए हैं और ये विजय की जो गारंटी है ना वो बूथ के मेरे कार्यकर्ताओं के कारण है। आप सब के कारण है। आप जो मेहनत करते हैं मैं उसी को विस्तार देता हूं। इसीलिए बूथ में आप क्या अनुभव कर रहे हैं। आप जब इतनी मेहनत करते हैं तो बहुत सी बातें जानने को मिलती होगी तो मुझे भी मन करता है कि ग्रासरूट लेवल की जानकारियां सीधी-सीधी आपसे प्राप्त करूं।

तो चलिए, पहले कार्यकर्ता से मिलते हैं। कौन बात करेगा और कहां से जुड़ रहा है?

श्रीमती उदयाकुमारी, बूथ प्रेसिंडेट, चेन्गानूर, मावेलीकारा

पीएम मोदी: उदयाकुमारी जी, सबसे पहले तो आपको मेरा नमस्कार। अच्छा कुछ बातें मेरे मन में हैं। मैं एक साथ बोल देता हूं आप मुझे जरूर विस्तार से उन चीजों को बताइए। अगर जरूरत है तो कागज पर लिख लीजिए मैं क्या पूछ रहा हूं। उदयाकुमारी जी पहले तो आप अपने बारे में बताइए? दूसरा आपकी सीट पर कैंडिडेट कौन है वो बताइए? आपके यहां कैंपेन कैसा चल रहा है? और दिल्ली में तो लोगों का विश्वास हो गया है कि केरल में इस बार भाजपा नया रिकॉर्ड बनाने वाली है। आप तो बिल्कुल जमीन पर काम कर रही हैं महिलाओं के बीच काम कर रही हैं। घर-घर जा रही हैं आपको क्या लगता है?

श्रीमती उदयाकुमारी: मोदी जी केरल के प्रति आपके प्यार के लिए बहुत-बहुत धन्यवाद। हमारा उम्मीदवार बैजू कलासाला हैं और उनके सफलता के लिए हम बहुत प्रयत्न कर रहे हैं। हम हर घर जा रहे हैं और मोदी जी ने महिलाओं के लिए जो काम किया है जिसमें बेटी पढ़ाओ-बेटी बचाओ, मातृ वंदन योजना और मनरेगा मानदेय को बढ़ाना, सुकन्या समृद्धि योदना, मुफ्त गैस कनेक्शन। ऐसी योजनाओं के बारे में हम बताते हैं और लोगों का आपके प्रति बहुत आभार है और इस बार केरल में हमने पांच महिलाओं को खड़ा किया है और इसके लिए भी हम आपका आभार करते हैं और आपको धन्यवाद कहना चाहते हैं।

प्रधानमंत्री मोदी: उदयाकुमारी जी आपने इतनी योजनाओं के नाम बता दिए और इतने बढ़िया तरीके से बता दिए और आपने ये भी बताया कि आपके जो उम्मीदवार हैं भारतीय जनता पार्टी से वो बहुत ही सामान्य परिवार से गरीब परिवार से आते हैं। मैं समझता हूं यही भारतीय जनता पार्टी की ताकत है। हम कार्यकर्ताओं की पार्टी है। कार्यकर्ता के कारण ही ये भारतीय जनता पार्टी है। कार्यकर्ताओं के सामार्थ्य के कारण ही भारतीय जनता पार्टी है।

मैं सभी केरल के कार्यकर्ताओं से कहूंगा कि सारे देश के भाजपा के लोग हमेशा जब कार्यकर्ता की बात आती है तो केरल के कार्यकर्ता का उदाहरण देते हैं। उसकी मेहनत करने का त्याग करने का इन सारी चीजों का उदाहरण देते हैं। और आप सभी की मेहनत से ही बीजेपी-एनडीए केरल में लगातार मजबूत हो रही है। अब आपको एनडीए के पक्ष में चल रही इस लहर को और बढ़ाना है। और वोटिंग वाले दिन अपने बूथ पर ज्यादा से ज्यादा लोगों द्वारा हमारे उम्मीदवारों को वोट डलवाना है। देखिए वहां पर हमें भारत सरकार ने जो गरीब कल्याण के लिए काम किए हैं उसको आंकडों समेत लोगों को बताना चाहिए और घर-घर जाकर के बैठ कर बताना चाहिए। लाभार्थियों की बूथ की सूची बनानी चाहिए जिनको लाभ मिला है उनके साथ सीधी बात करनी चाहिए और लोगों को वहां की राजनीति की सच्चाई भी बतानी चाहिए कि LDF-UDF वो अलग है ही नहीं वो एक ही हैं वे लड़ने का नाटक करते हैं सारे देश में मिलकर मोदी को हराने के लिए काम... बयानबाजी करते हैं। और वहां पर लड़ाई लड़ने का नाटक करते हैं और इसलिए ये उनका खेल LDF की बुराइयों को UDF बचाता है और UDF की बुराइयों को LDF बचाता है। यही खेल चलता रहा है केरल के लोग पढ़े-लिखे हैं उनके बीच जाकर के हमने बताना चाहिए। और मैं केरल के सभी कार्यकर्ताओं से आग्रह करूंगा कि हमें NDA के सभी कार्यकर्ताओं की बूथ लेवल पर Coordination होना चाहिए। टीम बननी चाहिए एक टीम के रूप में काम करना चाहिए और मैं इसके लिए एक अच्छा तरीका बताता हूं आपको। आप लोग बूथ लेवल पर सभी कार्यकर्ताओं का एक दिन आने वाले चार पांच दिन में ही टिफिन बैठक का कार्यक्रम करें। बूथ के सभी कार्यकर्ता घर से टिफिन लेकर आ जाएं। हो सके तो तीन-चार बूथ के लोग एक साथ इकट्ठे होकर के करें। घर से लाया हुआ मिल बैठकर खाना खायें और अपने बूथ में राजनीति स्थिति क्या है किस परिवार में कौन जाएगा, किस परिवार से कौन बात करेगा? ये सारी प्लानिंग करनी चाहिए। दूसरा हर कार्यकर्ता के जिम्मे कोई ना कोई परिवार की जिम्मेदारी देनी चाहिए कि भाई चलो ये आप तीन कार्यकर्ताओं की टोली है। ये 10 परिवार आप संभालेंगे तो आने वाले 15-20 दिन उन 10 परिवारों में ही जोर लगाएं उनसे जुड़े रहे और उनके वोट करवाएं। ये जितना परफेक्ट प्लानिंग करेंगे मैं समझता हूं कि बूथ जीतना आसान हो जाएगा और आपका मकसद यही होना चाहिए। सभी केरल के कार्यकर्ताओं को मैं यही कहता हूं कि पहला लक्ष्य क्या है बूथ जीतना। अगर बूथ जीत गए तो लोकसभा कभी हार ही नहीं सकते।

चलिए, आगे बढ़ते हैं। अब अगला बूथ प्रेसिडेंट कौन है, बात करने के लिए?

बालागोपाल, बूथ प्रेसिडेंट, पालक्काड़, कुन्नपुरम

माननीय पीएम का सवाल: बालागोपाल जी, मुझे आपसे बात करने का अवसर मिला। आपके माध्यम से मैं केरल के सभी कार्यकर्ताओं से बात कर रहा हूं और इसलिए हमारी ये बातचीत सिर्फ मुझे ही लाभ करेगी ऐसा नहीं, केरल के सभी कार्यकर्ताओं को भी लाभ करेगी। अत: मैं कुछ चीजें आपसे पूछता हूं और सब चीजें एक साथ ही पूछ लूंगा ताकि टाइम ज्य़ादा जाये नहीं और मुझे विश्वास है कि आप सब मुद्दों का अच्छे ढंग से मुझे समझाएंगे। LDF और UDF का जो इंडी अलायंस बना है, इसको लेकर क्या बातें हो रही हैं? इंडी अलायंस का जो करप्शन है, उससे केरल में कितनी नाराज़गी है? बीजेपी, करप्शन के इस रैकेट को खत्म करेगी, ये भरोसा आप जनता को दे रहे हैं क्या?

बालागोपाल का जवाब: मोदी जी, ये हंसने की बात है LDF और UDF वाडाकारा में एक-दूसरे से लड़ रहे हैं। और एक दूसरे पर करप्शन का आरोप लगा रहे हैं। इधर से 30 किलोमीटर दूरी पर जो तमिलनाड आता है वहां पर LDF-UDF इंडी अलायंस बनकर हाथ मिलाकर इलेक्शन लड़ रहे हैं। जब मैं बूथ संपर्क के लिए एक कांग्रेस कार्यकर्ता से मिला। उन्होंने कहा वायनाड की कम्युनिस्ट कैंडिडेट एनी राजा दिल्ली में राहुल गांधी को प्राइम मिनिस्टर बनाने के लिए आवाज उठा रही हैं और केरल में आकर एनी राजा राहुल गांधी को हराने के लिए वायनाड से लड़ रही हैं। इंडी अलायंस के लिए ये लज्जा का विषय है कि एक तरफ वो राहुल गांधी को पीएम बनाने जा रहे हैं और दूसरी तरफ उनसे लड़ रहे हैं। इंडी अलायंस करप्शन के लिए ही हुआ है और केरल के लोग ये जानते हैं कि ये लोग करप्ट वाले हैं और आपकी जो 10 साल की मोदी Government रही है वो करप्शन फ्री रहा है इसीलिए मोदी की गारंटी जो मोदी की गारंटी हम बोलते हैं। उसमें सब लोग विश्वास करते हैं।

प्रधानमंत्री मोदी: बालागोपाल जी, मैं आपके माध्यम से केरल के सभी कार्यकर्ताओं से कहना चाहता हूं। देखिए इंडी अलायंस बना ही इसलिए है ताकि एक-दूसरे के करप्शन को छुपाया जा सके। अब देखिए गोल्ड स्मगलिंग के तार वहां किस ऑफिस तक पहुंचे हुए हैं, सारा हिंदुस्तान जान गया है। उसी प्रकार से एक करूवन्नूर कॉपरेटिव बैंक स्कैम और उसमें तो ये कम्युनिस्ट पार्टी के बड़े-बड़े नेताओं के नाम आ रहे हैं। गरीब लोगों के पैसे डूब रहे हैं। जिस तरह लेफ्ट के नेताओं पर सवाल उठ रहे हैं, उसे भी केरल के लोग अच्छी तरह जानते हैं। मैं आज केरला के लोगों को फिर भरोसा देता हूं कि इस स्कैम के दोषियों को जनता को लूटने वालों को कभी भी छोड़ा नहीं जाएगा उन पर सख्त कार्रवाई होगी।

बालगोपाल जी, मैं एक और बात बड़ी महत्वपूर्ण करना चाहता हूं और ये केरल के सब कार्यकर्ता वहां घर-घर जाकर बताएं। ये जो कॉपरेटिव बैंक का सब खेल हुआ है उसमें ED के द्वारा काफी मात्रा में संपत्ति जब्त की गई है और हमने सोचा है कि बैंक के जो डिपोजिटर्स हैं जिनके पैसे ड़ूब गए हैं ED ने जो संपत्ति जब्त की है। जरूरत पड़ी तो उसका ऑक्शन कर के और जो कैश जब्त हुआ है वो और जो डिपोजिटर्स है जिनके पैसे डूबे हैं ED वो पैसे उनको वापस दें ताकि गरीब का पैसा उसे वापस मिले। इसके लिए मैं कानूनी सलाह ले रहा हूं और नई सरकार बनने के बाद मैं कोई ना कोई रास्ता खोजूंगा कि जिनके पैसे हैं और जो पैसे ED ने जब्त किए हैं उस प्रकरण में उसमें से जितना पैसा उन डिपोजिटर्स को हम वापस दे सकते हैं हम देंगे। ये आप घर-घर जाकर बताइए ताकि गरीब का पैसा है उसकी मेहनत का पैसा उसकी ईमानदारी का पैसा है। बालगोपाल जी, मैं आप के माध्यम से केरल के सभी कार्यकर्ताओं को ये भी कहना चाहूंगा कि हमारी चुनाव जीतने की पूरी रणनीति पोलिंग बूथ केन्द्रित होनी चाहिए और मैं तो आपसे कहूंगा कि जब तक आप चुनाव के डेट आने से पहले जितने दिन है 5-6 बूथ लेवल के कार्यक्रम आपने अभी से बना देने चाहिए एक दो दिन बूथ की सभी महिलाओं का सम्मेलन, एक दो दिन जो फर्स्ट टाइमर वोटर हैं उनका सम्मेलन, एक दो दिन जो लाभार्थी हैं अलग अलग योजनाओं के आयुष्मान योजना का लाभ मिला होगा। उज्ज्वला गैस का लाभ मिला होगा। पीएम आवास मिला होगा। ऐसे जितने भी हों उन सभी लाभार्थियों का सम्मेलन और उनके मुंह से बुलवाना उनके वीडियो रील निकालना वो वीडियो रील सर्कुलेट करना। ऐसा अगर हम 5-6 कार्यक्रम तय कर लेते हैं। फिशरमैन की मीटिंग बूथ लेवल की भले 100 लोग 150 लोग इकट्ठे होते हैं और उन्हें सारी बात एक-एक कर के आराम से समझाना चाहिए और उसमें खास बहुत इफेक्टिव तरीके से बताना चाहिए। Dynasty और Corruption इस पर जितने प्रहार कर सकते हो केरल में करने चाहिए। क्योंकि ये परिवारवाद ने सारे युवाओं के भविष्य को उस पर ताले लगा दिए और करप्शन ने देश को तबाह करके रख दिया है केरल को तबाह करके रख दिया है। यह बातें बड़े आसानी से आप कर सकते हैं।

अच्छा मैं और एक बात बताना चाहता हूं कि एक तरफ चुनाव की गर्मी बढ़ रही है दूसरी तरफ प्राकृतिक सूरज भी बहुत गर्मी बिखेर रहा है ऐसे में जितना ज्यादा मतदान सुबह-सुबह हम करवा सकते हैं वो योजना अभी से बनवानी चाहिए। जितना ज्यादा पोलिंग बूथ पर से वोटिंग हो जाये और दूसरी बात आप सबसे मेरा यही आग्रह है एक ही मंत्र पोलिंग बूथ जीतना है। पोलिंग बूथ में भाजपा का झंडा झुकने नहीं देंगे। आप सबसे मेरा बालगोपाल जी वगैरहा सबसे आग्रह यही है। पूरे केरल के कार्यकर्ता इसी मंत्र को लेकर आगे बढ़े। आइए इसके आगे कौन कार्यकर्ता है उससे बात करेंगे।

श्री गोपीनाथन पी, पट्टनमथिट्टा, कोन्नी, बूथ प्रेसिडेंट

गोपीनाथन पी: नमस्ते।
प्रधानमंत्री मोदी: नमस्कार, क्या नाम है आपका।
गोपीनाथन पी: गोपीनाथन पी।
प्रधानमंत्री मोदी: गोपीनाथन पी जी, आपको नमस्कारम् और मैं आपसे कुछ सवाल पूछूंगा और समय ज्यादा ना जाये इसलिए एक साथ पूछ लूंगा। आप जरूर मुझे समझाइए ताकि मुझे ग्राउंड रियलिटी का पता चले। देखिए गोपीनाथन जी, आप तो जानते ही हैं कि केंद्र की बीजेपी सरकार सबका साथ-सबका विकास के मंत्र पर काम कर रही है। इसलिए लेफ्ट और कांग्रेस की भेदभाव वाली पॉलिटिक्स फेल हो रही है। अब आप ग्राउंड पर हैं आपका क्या experience है? केंद्र सरकार की किन-किन स्कीम्स को लेकर लोग आपसे ज्यादा चर्चा करते हैं? और सबसे ज्यादा लोगों को उससे संतोष है। जरा मैं इसके विषय में आपका जो धरती पर अनुभव है बूथ पर अनुभव है वो मैं सुनना चाहता हूं।

गोपीनाथन पी: मोदी जी, लोग ये समझते हैं कि लेफ्ट और कांग्रेस का जो अभियान है वो राजनीतिक उद्देश्य से है और वो ये समझते हैं कि आपके जो विकास है। विकसित भारत का जो सपना है उसके प्रति लोगों का बहुत आभार है। हम पट्टनमथिट्टा District में जो वंदे भारत का हमें अनुभव मिला है वो बहुत अच्छा है और हमें लगता है कि हम हवाई जहाज में ट्रैवल कर रहे हैं। ऐसा हमें लगता है और इस जिले में हमें बहुत लाभ मिला है जैसे जल जीवन मिशन से हमें शुद्ध पानी मिला है। गरीब कल्याण योजना से हमें बहुत बढ़ावा मिला है। पट्टनमथिट्टा जिला में 380 करोड़ का किसान सम्मान निधि का लाभ मिला है। इसीलिए ऐसे लाभ हमें सभी योजनाओं से मिल रहे हैं इसीलिए आपकी गारंटी में लोग विश्वास कर रहे हैं।

प्रधानमंत्री मोदी: गोपीनाथन जी, आपने धरती की बहुत बड़ी बात बताई है और मैं भी जब आपकी Constituency में आया था। जो उत्साह, उमंग मैंने देखा था। जो जोश देखा था मुझे पक्का लगता है कि केरल नये रिकॉर्ड बनाने वाला है। देखिए, बीजेपी सरकार सैचुरेशन की अप्रोच पर, सबका साथ-सबका विकास की अप्रोच पर काम कर करती है। और सैचुरेशन का मतलब ही यही है कि हमारी योजनाओं का लाभ बिना भेदभाव हर किसी तक पहुंचता है। केरला में भी केंद्र सरकार की योजनाओं का लाभ हर वर्ग को मिला है। इसलिए हर वर्ग के लोग बार-बार बीजेपी को जिता रहे हैं। जहां बीजेपी की गवर्नमेंट है, वहां गुड गवर्नेंस होती है, इसलिए बीजेपी बार-बार जीतती है और इसलिए इंडी अलायंस वाले लोग झूठ का रास्ता लेते हैं झूठ फैला रहे हैं। भारत सरकार की जो स्किम्स है उसका नाम बदल देते हैं ताकि लोगों को भारत सरकार के काम का पता ना चले। ऐसे में बूथ में घर-घर जाकर सत्य बताना बहुत जरूरी है।

देखिए पोलिंग बूथ जीतना है तो एक काम ये भी करना होता है कि लोगों को पता होना चाहिए कि हमारा चुनावी निशान क्या है? बीजेपी का कौन सा है? या एनडीए का उम्मीदवार है तो एनडीए के उम्मीदवार का कौन सा है? और घर-घर जाकर के निशान का भी परिचय करवाना चाहिए। जैसे कमल है तो कमल का परिचय होना चाहिए। उसी प्रकार से जो EVM मशीन है तो उसमें कितने नंबर पर हमारा नाम है वो भी हमने हर घर जाकर के समझाना चाहिए। जैसा मैंने अभी थोड़ी देर पहले बताया था कि हम महिला सम्मेलन करें, फिशरमैन सम्मेलन करें, फर्स्ट टाइम वोटर सम्मेलन करें, किसान सम्मेलन करें, यूथ सम्मेलन करें। वो तो आप करेंगे ही करेंगे। लेकिन एक मेरा आग्रह है कि डेली आधे घंटे के लिए बूथ में सब कार्यकर्ताओं ने हाथ में झंडे लेकर जुलूस निकालना चाहिए नारे बोलते-बोलते। थाली वगैरहा बजाते हुए डेली तो पूरे बूथ में उसके कारण एक बड़ा वातावरण बन जाता है। उस काम को करना चाहिए और एक मेरा आग्रह है कि हर बूथ में एक सोशल मीडिया इंचार्ज होना चाहिए। सोशल मीडिया पर बहुत बल देना चाहिए। वहां के लोगों की योजनाओं की रील बनाकर के जो उनको लाभ मिला है उसकी बातें। जितने ज्यादा सोशल मीडिया पोस्ट कर सकते हो केरल में करना चाहिए।

केरल के मेरे सभी साथियों,
मेरा आप सभी पर बहुत ही विश्वास है। बहुत ही आपसे मेरा भरोसा भी है और मुझे पक्का विश्वास है कि केरल इस बार चमत्कार करने वाला है। लेकिन आप सबका ध्यान एक ही बात पर केंद्रित होना चाहिए कि हमें हमारा पोलिंग बूथ जीतना है और पोलिंग बूथ जीतने के लिए कितने वोट चाहिए उसका हिसाब कागज पर निकालना चाहिए कि कुल कितने मतदाता है। एवरेज वोटिंग कितने होने की संभावना है। अगर इतना वोटिंग हो तो इसमें जीतने के लिए कितने वोट चाहिए। इतने वोट चाहिए तो कितने परिवारों से मिलेंगे। अभी से टिक मार्क करना चाहिए। आप पक्का कर सकते हैं कि कौन परिवार आपको वोट देगा। कौन परिवार आपके लिए मेहनत करेगा। ये पहले से कर सकते हैं और देखिए सामान्य नागरिक होता है ना प्यार से उसका दिल जीतना चाहिए। जितनी ज्यादा मेहनत आप परिवार में जाकर उनके बीच बैठकर गप्पे मारते-मारते उनका दिल जीतोगे तो आप बूथ जीतोगे। आप बूथ जीतोगे तो आप पार्लियामेंट की सीट जीतोगे और जब हम पार्लियामेंट की सीट जीतेंगे तो देश को विकसित भारत बनाने का सपना पूरा कर पाएंगे।

देखिए मैं कुछ बातें फिर से रिपिट करता हूं। क्योंकि इन चीजों से ही चुनाव जीता जाता है। जैसे हर मतदाता को हमारा निशान पता होना चाहिए। बार-बार उसको निशान के विषय में बताना पड़ेगा। हर मतदाता को हमारी सरकार ने क्या काम किए हैं वो बताना होगा। हर मतदाता को हम आने वाले पांच साल में क्या काम करने वाले हैं वो बताना होगा और इसके लिए हम जितना ज्यादा व्यवस्था कर सकें हमें करना चाहिए और मेरा तो एक आग्रह और है। प्रदेश स्तर पर जिला स्तर पर मंडल स्तर पर लोकसभा सीट के स्तर पर असेंबली सीट के स्तर पर अभी से एक Dedicated कार्यकर्ताओं की टीम सिर्फ लास्ट डे के लिए यानी मतदान के काम के लिए अभी से जोड़ देनी चाहिए। उनके पास कोई काम नहीं हो, उनको सिर्फ मतदान के दिवस उनको क्या काम करना है। कौन पोलिंग एजेंट होंगे? पोलिंग बूथ कौन बनाएगा? मतदाता की सूची किसके पास रहेगी? कितने लोगों का मतदान हुआ वो कौन बाहर बताएगा? कुछ कार्यकर्ता दिनभर लगे रहते हैं तो उनको चाय वगैरहा की व्यवस्था कौन करेगा? इसके लिए अभी से हर स्तर पर एक अलग टीम बना देनी चाहिए। ये बहुत जरूरी है क्योंकि अभी हम चुनाव के समय में हम और कामों में लगे रहते हैं और ये आखिरी दिन का काम भी छूट जाता है। आखिरी दिन का काम पहले करना चाहिए। इसीलिए मेरा आग्रह है पोलिंग के दिन की पोलिंग बूथ की व्यवस्था इसके लिए कार्यकर्ताओं का प्रशिक्षण अगर कुछ गलत होता है तो कैसे कानून मुद्दा उठाना है क्या करना है? कुछ बुरा हो रहा है तो क्या करना है ये सारी चीजों की ट्रेनिंग हो जानी चाहिए। और उस पर आप जरूर ध्यान दीजिए और आप देखिए... आप ही मेरे लिए वहां पोलिंग बूथ पर मेरे मोदी हैं। आप ही मेरे मोदी हैं और इसीलिए ये विजय आपको दिलाना है और जैसा मैंने पहले कहा पोलिंग बूथ जीत रहा है बस यही संकल्प। मैं पोलिंग बूथ जीतकर रहूंगा। मेरे पोलिंग बूथ के कार्यकर्ता पोलिंग बूथ जीतकर रहेंगे। पूरी ताकत पोलिंग बूथ जीतने में लगानी है।

चलिए आप सब से बात करके मुझे बहुत अच्छा लगा। आपको लगता होगा ये देश के प्रधानमंत्री पूरे देश में विजय प्राप्त करने के लिए योजना बनाते होंगे उसके लिए काम करते होंगे। लेकिन मोदी जी तो पिछले 1 घंटे से बूथ की चर्चा कर रहे हैं। इससे आपको समझ आता होगा कि मेरे लिए बूथ कितना महत्व का है। बूथ का कार्यकर्ता कितना महत्व का है और सारे विजय की जड़ जो है ना वो बूथ है। इस बात को मैं बार-बार इसीलिए कह रहा हूं कि बूथ जीतना है। आप योजना बनाइए बूथ जीतने की मेरी आपको बहुत-बहुत शुभकामना है। मुझे बहुत अच्छा लगा। बहुत- बहुत धन्यवाद आप सबका!
बहुत-बहुत धन्यवाद!

 

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Text of PM’s address at Christmas Celebrations hosted by the Catholic Bishops' Conference of India
December 23, 2024
It is a moment of pride that His Holiness Pope Francis has made His Eminence George Koovakad a Cardinal of the Holy Roman Catholic Church: PM
No matter where they are or what crisis they face, today's India sees it as its duty to bring its citizens to safety: PM
India prioritizes both national interest and human interest in its foreign policy: PM
Our youth have given us the confidence that the dream of a Viksit Bharat will surely be fulfilled: PM
Each one of us has an important role to play in the nation's future: PM

Respected Dignitaries…!

आप सभी को, सभी देशवासियों को और विशेषकर दुनिया भर में उपस्थित ईसाई समुदाय को क्रिसमस की बहुत-बहुत शुभकामनाएं, ‘Merry Christmas’ !!!

अभी तीन-चार दिन पहले मैं अपने साथी भारत सरकार में मंत्री जॉर्ज कुरियन जी के यहां क्रिसमस सेलीब्रेशन में गया था। अब आज आपके बीच उपस्थित होने का आनंद मिल रहा है। Catholic Bishops Conference of India- CBCI का ये आयोजन क्रिसमस की खुशियों में आप सबके साथ जुड़ने का ये अवसर, ये दिन हम सबके लिए यादगार रहने वाला है। ये अवसर इसलिए भी खास है, क्योंकि इसी वर्ष CBCI की स्थापना के 80 वर्ष पूरे हो रहे हैं। मैं इस अवसर पर CBCI और उससे जुड़े सभी लोगों को बहुत-बहुत बधाई देता हूँ।

साथियों,

पिछली बार आप सभी के साथ मुझे प्रधानमंत्री निवास पर क्रिसमस मनाने का अवसर मिला था। अब आज हम सभी CBCI के परिसर में इकट्ठा हुए हैं। मैं पहले भी ईस्टर के दौरान यहाँ Sacred Heart Cathedral Church आ चुका हूं। ये मेरा सौभाग्य है कि मुझे आप सबसे इतना अपनापन मिला है। इतना ही स्नेह मुझे His Holiness Pope Francis से भी मिलता है। इसी साल इटली में G7 समिट के दौरान मुझे His Holiness Pope Francis से मिलने का अवसर मिला था। पिछले 3 वर्षों में ये हमारी दूसरी मुलाकात थी। मैंने उन्हें भारत आने का निमंत्रण भी दिया है। इसी तरह, सितंबर में न्यूयॉर्क दौरे पर कार्डिनल पीट्रो पैरोलिन से भी मेरी मुलाकात हुई थी। ये आध्यात्मिक मुलाक़ात, ये spiritual talks, इनसे जो ऊर्जा मिलती है, वो सेवा के हमारे संकल्प को और मजबूत बनाती है।

साथियों,

अभी मुझे His Eminence Cardinal जॉर्ज कुवाकाड से मिलने का और उन्हें सम्मानित करने का अवसर मिला है। कुछ ही हफ्ते पहले, His Eminence Cardinal जॉर्ज कुवाकाड को His Holiness Pope Francis ने कार्डिनल की उपाधि से सम्मानित किया है। इस आयोजन में भारत सरकार ने केंद्रीय मंत्री जॉर्ज कुरियन के नेतृत्व में आधिकारिक रूप से एक हाई लेवल डेलिगेशन भी वहां भेजा था। जब भारत का कोई बेटा सफलता की इस ऊंचाई पर पहुंचता है, तो पूरे देश को गर्व होना स्वभाविक है। मैं Cardinal जॉर्ज कुवाकाड को फिर एक बार बधाई देता हूं, शुभकामनाएं देता हूं।

साथियों,

आज आपके बीच आया हूं तो कितना कुछ याद आ रहा है। मेरे लिए वो बहुत संतोष के क्षण थे, जब हम एक दशक पहले फादर एलेक्सिस प्रेम कुमार को युद्ध-ग्रस्त अफगानिस्तान से सुरक्षित बचाकर वापस लाए थे। वो 8 महीने तक वहां बड़ी विपत्ति में फंसे हुए थे, बंधक बने हुए थे। हमारी सरकार ने उन्हें वहां से निकालने के लिए हर संभव प्रयास किया। अफ़ग़ानिस्तान के उन हालातों में ये कितना मुश्किल रहा होगा, आप अंदाजा लगा सकते हैं। लेकिन, हमें इसमें सफलता मिली। उस समय मैंने उनसे और उनके परिवार के सदस्यों से बात भी की थी। उनकी बातचीत को, उनकी उस खुशी को मैं कभी भूल नहीं सकता। इसी तरह, हमारे फादर टॉम यमन में बंधक बना दिए गए थे। हमारी सरकार ने वहाँ भी पूरी ताकत लगाई, और हम उन्हें वापस घर लेकर आए। मैंने उन्हें भी अपने घर पर आमंत्रित किया था। जब गल्फ देशों में हमारी नर्स बहनें संकट से घिर गई थीं, तो भी पूरा देश उनकी चिंता कर रहा था। उन्हें भी घर वापस लाने का हमारा अथक प्रयास रंग लाया। हमारे लिए ये प्रयास केवल diplomatic missions नहीं थे। ये हमारे लिए एक इमोशनल कमिटमेंट था, ये अपने परिवार के किसी सदस्य को बचाकर लाने का मिशन था। भारत की संतान, दुनिया में कहीं भी हो, किसी भी विपत्ति में हो, आज का भारत, उन्हें हर संकट से बचाकर लाता है, इसे अपना कर्तव्य समझता है।

साथियों,

भारत अपनी विदेश नीति में भी National-interest के साथ-साथ Human-interest को प्राथमिकता देता है। कोरोना के समय पूरी दुनिया ने इसे देखा भी, और महसूस भी किया। कोरोना जैसी इतनी बड़ी pandemic आई, दुनिया के कई देश, जो human rights और मानवता की बड़ी-बड़ी बातें करते हैं, जो इन बातों को diplomatic weapon के रूप में इस्तेमाल करते हैं, जरूरत पड़ने पर वो गरीब और छोटे देशों की मदद से पीछे हट गए। उस समय उन्होंने केवल अपने हितों की चिंता की। लेकिन, भारत ने परमार्थ भाव से अपने सामर्थ्य से भी आगे जाकर कितने ही देशों की मदद की। हमने दुनिया के 150 से ज्यादा देशों में दवाइयाँ पहुंचाईं, कई देशों को वैक्सीन भेजी। इसका पूरी दुनिया पर एक बहुत सकारात्मक असर भी पड़ा। अभी हाल ही में, मैं गयाना दौरे पर गया था, कल मैं कुवैत में था। वहां ज्यादातर लोग भारत की बहुत प्रशंसा कर रहे थे। भारत ने वैक्सीन देकर उनकी मदद की थी, और वो इसका बहुत आभार जता रहे थे। भारत के लिए ऐसी भावना रखने वाला गयाना अकेला देश नहीं है। कई island nations, Pacific nations, Caribbean nations भारत की प्रशंसा करते हैं। भारत की ये भावना, मानवता के लिए हमारा ये समर्पण, ये ह्यूमन सेंट्रिक अप्रोच ही 21वीं सदी की दुनिया को नई ऊंचाई पर ले जाएगी।

Friends,

The teachings of Lord Christ celebrate love, harmony and brotherhood. It is important that we all work to make this spirit stronger. But, it pains my heart when there are attempts to spread violence and cause disruption in society. Just a few days ago, we saw what happened at a Christmas Market in Germany. During Easter in 2019, Churches in Sri Lanka were attacked. I went to Colombo to pay homage to those we lost in the Bombings. It is important to come together and fight such challenges.

Friends,

This Christmas is even more special as you begin the Jubilee Year, which you all know holds special significance. I wish all of you the very best for the various initiatives for the Jubilee Year. This time, for the Jubilee Year, you have picked a theme which revolves around hope. The Holy Bible sees hope as a source of strength and peace. It says: "There is surely a future hope for you, and your hope will not be cut off." We are also guided by hope and positivity. Hope for humanity, Hope for a better world and Hope for peace, progress and prosperity.

साथियों,

बीते 10 साल में हमारे देश में 25 करोड़ लोगों ने गरीबी को परास्त किया है। ये इसलिए हुआ क्योंकि गरीबों में एक उम्मीद जगी, की हां, गरीबी से जंग जीती जा सकती है। बीते 10 साल में भारत 10वें नंबर की इकोनॉमी से 5वें नंबर की इकोनॉमी बन गया। ये इसलिए हुआ क्योंकि हमने खुद पर भरोसा किया, हमने उम्मीद नहीं हारी और इस लक्ष्य को प्राप्त करके दिखाया। भारत की 10 साल की विकास यात्रा ने हमें आने वाले साल और हमारे भविष्य के लिए नई Hope दी है, ढेर सारी नई उम्मीदें दी हैं। 10 साल में हमारे यूथ को वो opportunities मिली हैं, जिनके कारण उनके लिए सफलता का नया रास्ता खुला है। Start-ups से लेकर science तक, sports से entrepreneurship तक आत्मविश्वास से भरे हमारे नौजवान देश को प्रगति के नए रास्ते पर ले जा रहे हैं। हमारे नौजवानों ने हमें ये Confidence दिया है, य़े Hope दी है कि विकसित भारत का सपना पूरा होकर रहेगा। बीते दस सालों में, देश की महिलाओं ने Empowerment की नई गाथाएं लिखी हैं। Entrepreneurship से drones तक, एरो-प्लेन उड़ाने से लेकर Armed Forces की जिम्मेदारियों तक, ऐसा कोई क्षेत्र नहीं, जहां महिलाओं ने अपना परचम ना लहराया हो। दुनिया का कोई भी देश, महिलाओं की तरक्की के बिना आगे नहीं बढ़ सकता। और इसलिए, आज जब हमारी श्रमशक्ति में, Labour Force में, वर्किंग प्रोफेशनल्स में Women Participation बढ़ रहा है, तो इससे भी हमें हमारे भविष्य को लेकर बहुत उम्मीदें मिलती हैं, नई Hope जगती है।

बीते 10 सालों में देश बहुत सारे unexplored या under-explored sectors में आगे बढ़ा है। Mobile Manufacturing हो या semiconductor manufacturing हो, भारत तेजी से पूरे Manufacturing Landscape में अपनी जगह बना रहा है। चाहे टेक्लोलॉजी हो, या फिनटेक हो भारत ना सिर्फ इनसे गरीब को नई शक्ति दे रहा है, बल्कि खुद को दुनिया के Tech Hub के रूप में स्थापित भी कर रहा है। हमारा Infrastructure Building Pace भी अभूतपूर्व है। हम ना सिर्फ हजारों किलोमीटर एक्सप्रेसवे बना रहे हैं, बल्कि अपने गांवों को भी ग्रामीण सड़कों से जोड़ रहे हैं। अच्छे ट्रांसपोर्टेशन के लिए सैकड़ों किलोमीटर के मेट्रो रूट्स बन रहे हैं। भारत की ये सारी उपलब्धियां हमें ये Hope और Optimism देती हैं कि भारत अपने लक्ष्यों को बहुत तेजी से पूरा कर सकता है। और सिर्फ हम ही अपनी उपलब्धियों में इस आशा और विश्वास को नहीं देख रहे हैं, पूरा विश्व भी भारत को इसी Hope और Optimism के साथ देख रहा है।

साथियों,

बाइबल कहती है- Carry each other’s burdens. यानी, हम एक दूसरे की चिंता करें, एक दूसरे के कल्याण की भावना रखें। इसी सोच के साथ हमारे संस्थान और संगठन, समाज सेवा में एक बहुत बड़ी भूमिका निभाते हैं। शिक्षा के क्षेत्र में नए स्कूलों की स्थापना हो, हर वर्ग, हर समाज को शिक्षा के जरिए आगे बढ़ाने के प्रयास हों, स्वास्थ्य के क्षेत्र में सामान्य मानवी की सेवा के संकल्प हों, हम सब इन्हें अपनी ज़िम्मेदारी मानते हैं।

साथियों,

Jesus Christ ने दुनिया को करुणा और निस्वार्थ सेवा का रास्ता दिखाया है। हम क्रिसमस को सेलिब्रेट करते हैं और जीसस को याद करते हैं, ताकि हम इन मूल्यों को अपने जीवन में उतार सकें, अपने कर्तव्यों को हमेशा प्राथमिकता दें। मैं मानता हूँ, ये हमारी व्यक्तिगत ज़िम्मेदारी भी है, सामाजिक दायित्व भी है, और as a nation भी हमारी duty है। आज देश इसी भावना को, ‘सबका साथ, सबका विकास और सबका प्रयास’ के संकल्प के रूप में आगे बढ़ा रहा है। ऐसे कितने ही विषय थे, जिनके बारे में पहले कभी नहीं सोचा गया, लेकिन वो मानवीय दृष्टिकोण से सबसे ज्यादा जरूरी थे। हमने उन्हें हमारी प्राथमिकता बनाया। हमने सरकार को नियमों और औपचारिकताओं से बाहर निकाला। हमने संवेदनशीलता को एक पैरामीटर के रूप में सेट किया। हर गरीब को पक्का घर मिले, हर गाँव में बिजली पहुंचे, लोगों के जीवन से अंधेरा दूर हो, लोगों को पीने के लिए साफ पानी मिले, पैसे के अभाव में कोई इलाज से वंचित न रहे, हमने एक ऐसी संवेदनशील व्यवस्था बनाई जो इस तरह की सर्विस की, इस तरह की गवर्नेंस की गारंटी दे सके।

आप कल्पना कर सकते हैं, जब एक गरीब परिवार को ये गारंटी मिलती हैं तो उसके ऊपर से कितनी बड़ी चिंता का बोझ उतरता है। पीएम आवास योजना का घर जब परिवार की महिला के नाम पर बनाया जाता है, तो उससे महिलाओं को कितनी ताकत मिलती है। हमने तो महिलाओं के सशक्तिकरण के लिए नारीशक्ति वंदन अधिनियम लाकर संसद में भी उनकी ज्यादा भागीदारी सुनिश्चित की है। इसी तरह, आपने देखा होगा, पहले हमारे यहाँ दिव्यांग समाज को कैसी कठिनाइयों का सामना करना पड़ता था। उन्हें ऐसे नाम से बुलाया जाता था, जो हर तरह से मानवीय गरिमा के खिलाफ था। ये एक समाज के रूप में हमारे लिए अफसोस की बात थी। हमारी सरकार ने उस गलती को सुधारा। हमने उन्हें दिव्यांग, ये पहचान देकर के सम्मान का भाव प्रकट किया। आज देश पब्लिक इंफ्रास्ट्रक्चर से लेकर रोजगार तक हर क्षेत्र में दिव्यांगों को प्राथमिकता दे रहा है।

साथियों,

सरकार में संवेदनशीलता देश के आर्थिक विकास के लिए भी उतनी ही जरूरी होती है। जैसे कि, हमारे देश में करीब 3 करोड़ fishermen हैं और fish farmers हैं। लेकिन, इन करोड़ों लोगों के बारे में पहले कभी उस तरह से नहीं सोचा गया। हमने fisheries के लिए अलग से ministry बनाई। मछलीपालकों को किसान क्रेडिट कार्ड जैसी सुविधाएं देना शुरू किया। हमने मत्स्य सम्पदा योजना शुरू की। समंदर में मछलीपालकों की सुरक्षा के लिए कई आधुनिक प्रयास किए गए। इन प्रयासों से करोड़ों लोगों का जीवन भी बदला, और देश की अर्थव्यवस्था को भी बल मिला।

Friends,

From the ramparts of the Red Fort, I had spoken of Sabka Prayas. It means collective effort. Each one of us has an important role to play in the nation’s future. When people come together, we can do wonders. Today, socially conscious Indians are powering many mass movements. Swachh Bharat helped build a cleaner India. It also impacted health outcomes of women and children. Millets or Shree Anna grown by our farmers are being welcomed across our country and the world. People are becoming Vocal for Local, encouraging artisans and industries. एक पेड़ माँ के नाम, meaning ‘A Tree for Mother’ has also become popular among the people. This celebrates Mother Nature as well as our Mother. Many people from the Christian community are also active in these initiatives. I congratulate our youth, including those from the Christian community, for taking the lead in such initiatives. Such collective efforts are important to fulfil the goal of building a Developed India.

साथियों,

मुझे विश्वास है, हम सबके सामूहिक प्रयास हमारे देश को आगे बढ़ाएँगे। विकसित भारत, हम सभी का लक्ष्य है और हमें इसे मिलकर पाना है। ये आने वाली पीढ़ियों के प्रति हमारा दायित्व है कि हम उन्हें एक उज्ज्वल भारत देकर जाएं। मैं एक बार फिर आप सभी को क्रिसमस और जुबली ईयर की बहुत-बहुत बधाई देता हूं, शुभकामनाएं देता हूं।

बहुत-बहुत धन्यवाद।