Congress does not have development roadmap for Madhya Pradesh: PM Modi

Published By : Admin | November 9, 2023 | 11:26 IST
It is the miracle of people's votes that has thwarted the courage of enemies of the nation, says PM Modi in Satna
Your one vote will help BJP form government in MP, strengthen Modi in Delhi and keep Congress away from power in the state, says PM Modi
Congress does not have development roadmap for Madhya Pradesh, says PM Modi in Satna

भारत माता की...

भारत माता की...

मैहर वाली शारदा देवी की...

मैहर वाली शारदा देवी की...

विंध्य के अपना सबय जनेन का हमार राम राम।

जिस धरती पर माँ शारदा का आशीर्वाद बरसता है, जिस क्षेत्र में राजकुमार राम आए और मर्यादा पुरुषोत्तम भगवान राम बन गए। ऋषियों-तपस्वियों की इस पावन स्थली, सतना को मेरा शत-शत नमन! और ये सतना की ही ताकत है, ये सतना का ही सामर्थ्य है कि बंदूक की नाली से संगित के सुर निकलते हैं। विश्व जब संकटों के घेरे में है, चारों तरफ बम-बंदूकों की आवाज सुनाई दे रही है। मानवता के लिए भारत जैसे देश आज पूरे विश्व में अपने विचार का प्रभाव पैदा करने का प्रयास कर रहे हैं ऐसे समय सतना की धरती से ऐसी ज्योति निकलती है जो बंदूक की नाली से संगीत के सुर निकालती है। युद्ध की मानसिकता वाले मानव समुदाय को सतना की धरती का ये बहुत ही सशक्त संदेश है। मैं इन सभी साथियों को बहुत-बहुत बधाई देता हूं, सभी कलाकारों को शुभकामनाएं देता हूं। मुझे क्षमा करना, आपलोग तो भाषण सुनने आए होंगे, लेकिन मैंने आपको संगीत में लुढ़का दिया, मेरे लिए भी अच्छा रहा, इस दौड़-धूप में कुछ पल ऐसे पवित्र वातावरण में बिताने का अवसर मिला। अभी कुछ दिनों पहले ही मुझे चित्रकूट में एक संत समागम में जाने का सौभाग्य मिला था। आज यहां सतना में जनता-जनार्दन के दर्शन हो रहे हैं। ये मेरे लिए दोहरे सौभाग्य की बात है।

मेरे परिवारजनों,
ये संतों और देश की जनता का आशीर्वाद ही है कि आज भारत का गौरव विश्व में नई बुलंदी पर पहुंचा है। आज पूरे विश्व में भारत का डंका बज रहा है। ये आपके एक वोट ने ऐसा कमाल किया है कि देश के दुश्मनों के हौसले पस्त हैं। इस बार भी एमपी के चुनाव में आपका हर वोट, त्रिशक्ति की ताकत से भरा हुआ है। त्रिविध शक्ति का सामर्थ्य आपके वोट में है। आपका एक वोट यहां फिर से भाजपा की सरकार बनाने जा रहा है। आपका वही वोट दिल्ली में मोदी को मजबूत करेगा। और, आपका वही वोट, भ्रष्टाचारी कांग्रेस को एमपी की सरकार से सौ कोस दूर ले जाएगा। यानि एक वोट, तीन कमाल।

साथियों,
मैंने अपने राजनीतिक जीवन में बहुत से चुनाव देखें हैं, और वर्षों तक तो मैं चुनाव लड़ाता रहा, मैं खुद लड़ा नहीं, बाद में लड़ने की भी नौबत आ गई। लेकिन इस बार मध्य प्रदेश का चुनाव, बड़ा ही दिलचस्प है। और मैं देख रहा हूं, इस बार मध्य प्रदेश का भविष्य मेरी माताएं और बहनें तय करने वाली हैं। मतदान में अभी इतने दिन बचे हैं लेकिन उससे पहले ही कांग्रेस का झूठ का गुब्बारा पंक्चर हो गया, फूट गया है...कांग्रेस के झूठ के गुब्बारे की हवा निकल गई है। और आपने देखा है ना जब गुब्बारे की हवा तेजी से निकलती है तो वो कैसे लड़खड़ाता है, शोर मचाता हुआ इधर-उधर जाता है।
वैसे ही हारते हुए कांग्रेस के नेता इधर-उधर भागते हुए अब सिर्फ शोर ही शोर मचा पा रहे हैं।
कांग्रेस के पास एमपी के विकास का कोई रोडमैप नहीं है और इसलिए कांग्रेस के थके हारे चेहरों में यहाँ के युवाओं को कोई भविष्य नहीं दिखता है। इसलिए एमपी को भाजपा पर भरोसा, एमपी को मोदी की गारंटी पर भरोसा है। और ये भरोसा इसलिए है कि हर देशवासी जानता है कि मोदी की गारंटी यानि हर गारंटी पूरी होने की गारंटी

मेरे परिवारजनों,
आज कल मैं जहाँ भी जाता हूं वहां अयोध्या में बन रहे प्रभु राम के भव्य मंदिर की चर्चा चल रही है। पूरे देश में खुशी की लहर है। सौभाग्य से भरे इस पावन कालखण्ड में मेरे मन में एक बात बार-बार। मैं स्वयं सोचता रहता, और जो बड़ों से सुना हुआ है, वह बात हर पल मेरे कान में गूंजती रहती है। मेरे मन को आंदोलित करती रहती है। और मुझे तेज गति से दौड़ने की प्रेरणा देती है, और वो बार बार मैं उसका स्मरण करता हूं, जहाँ कहा गया है राम काज किन्हे बीनू मोहि कहां विश्राम। अब रुकना नहीं है, थकना नहीं है और विश्राम का तो सवाल पैदा ही नहीं होता। यहां के भाजपा सरकार को 10 साल तक केंद्र की कांग्रेस सरकार ने हर काम में रोड़े अटकाए, काम करने नहीं दिया, रुकावट पैदा की। अभी 2014 में ही तो मध्य प्रदेश को डबल इंजन की डबल ताकत मिली है। एम पी को जिस अंधेरे कुएं में कांग्रेस ने धकेल दिया था, उस अंधेरे कुएं से भाजपा एमपी को बाहर निकाल पाई है। अब तेज विकास का समय आया है, सबके विकास का समय आया है। दलित, पीड़ित, शोषित, वंचित, पिछड़े, आदिवासी, गरीब, नौजवान, किसान हर किसी को अब उसका हक मिलेगा।

मेरे परिवारजनों,
गरीब की बहुत बड़ी चिंता होती है कि उसके पास अपना पक्का घर कब होगा? होता है कि नहीं होता है? ज़िंदगी में जिसके पास कोई अता पता नहीं है, उसको एक पता चाहिए। उसे अपना एक घर चाहिए। वो अपने पक्के घर के लिए पाई-पाई जोड़ने की कोशिश करता था, पैसे बचाने की कोशिश करता था। लेकिन कांग्रेस के राज़ में चारों तरफ ऐसा भ्रष्टाचार था कि गरीबों के पक्के घर का सपना चकनाचूर हो जाता था। भाजपा सरकार ने देश के गरीब के सपनों को पूरा करने के लिए दिन-रात एक कर दिया है। बीते 10 वर्षों में चार करोड़ से अधिक गरीब परिवारों को हमने पक्का घऱ दिया है। मैं ज़रा आप से पूछना चाहता हूं कि मैंने क्या कहा? कितने गरीब परिवारों को पक्के घर दिए हैं? कितने? कितने? 4 करोड़ बड़ा आंकड़ा होता है। दुनिया के लोग जब मेरे सुनते है ना? तो अचरज हो जाते हैं कि चार करोड़ घऱ.. कई देशों की तो इतनी आबादी नहीं होती है, जितने हमने घर बना दिए हैं? और साथियों, हम तो भक्ति में डूबे हुए लोग हैं। और इसलिए जब हम राम मंदिर बनाते हैं, तो उसी भक्ति से चार करोड़ गरीब के घर बनाते हैं, वो भी उसी भक्ति से बनाते है। हम लोकतंत्र का भव्य मन्दिर नया संसद भवन बनाते हैं तो हम 30,000 पंचायतों के भवन भी उसी संविधान के प्रति श्रद्धा के साथ बनाते हैं। आज मुझे खुशी है भाजपा की डबल इंजन सरकार होने के कारण एमपी उन राज्यों में से एक है जहाँ गरीबों के लिए लाखों घर बनाए गए हैं। यहां सतना में भी हजारों गरीब परिवारों को पक्का आवास मिला। एक लाख 32 हजार, देखिए हमारा गणेशजी भी कह रहा है। और गणेश जी के मुंह से जो निकलता है ना उसका बड़ा सामर्थ्य होता है। और जिनको अभी अपना घर नहीं मिला है। मैं आपको गारंटी देने आया हूं। जिनको अभी घर नहीं मिला है, ये मोदी की गारंटी है उनका घर भी बनेगा, उनको भी अपना घर मिलेगा। आप सब लोग निश्चिंत रहिएगा। मोदी ने आपके पक्के घर के लिए पहले ही पैसे का इंतजाम करके रखा है। जैसे ही 3 दिसंबर को यहाँ भाजपा सरकार लौटेगी, पीएम आवास योजना का काम और तेज कर दिया जाएगा। हर गरीब परिवार को पक्का घर मिलेगा, ये मोदी की गारंटी है। घर मतलब? सिर्फ चारदीवारी नहीं। जब मोदी घर देता है ना तो सारे सपनों को पूरा करने का आशियाना भी देता है। सिर्फ चारदीवारी नहीं बल्कि उसमें बिजली भी है, गैस कनेक्शन भी है, टॉयलेट भी है, नल भी और नल में जल भी है। साथियों, पक्के घर के साथ साथ मुफ्त राशन का भी पक्का इंतजाम। ये भी मोदी की गारंटी है। कोई घर ऐसा नहीं होगा, जहाँ कभी चूल्हा बूझेगा। कोरोना काल में मुफ्त राशन देने वाली योजना हमने शुरू की। अब मोदी ने निश्चय किया है, आपको मालूम है कितना बड़ा संकट था? मौत मंडरा रहा था। हर लोगों को लगता था कहीं घर में कोरोना घुस गया गए काम से। बाहर निकलना मुश्किल था, तब मोदी ने तय किया था। मैं देश के किसी को भूखा नहीं रहने दूंगा, गरीब के घर का चूल्हा बूझने नहीं दूंगा। कोई मेरे बेटे-बेटी रात को भूखे सो ना जाए, रात भर मां तड़पती ना रहे, तब मोदी ने पक्का किया था। और इसलिए मुफ्त राशन देना शुरू किया था। और ये मुफ्त राशन की योजना ये दिसंबर महीने में एक महीने के बाद पूरी हो रही है। लोगो ने मुझे सुझाव दिया, कि मोदी जी इस पर कुछ सोचना चाहिए। दिसंबर में इसको पूरा नहीं होने देना चाहिए। ये गरीबों के कल्याण का काम है, आगे बढ़ाना चाहिए। और मेरे लिए तो जनता-जनार्दन का आदर्श यही तो ईश्वर का आदेश होता है। और इसलिए मैंने संकल्प कर लिया है। मैंने पक्का मन बना लिया है कि 1 दिसंबर के बाद भी गरीबों की मुफ्त राशन की योजना 5 साल के लिए चलाऊंगा। 5 साल के लिए उसको बढ़ा दिया जाएगा। इससे सतना जिले के लगभग दो लाख परिवारों की राशन की चिंता कम हो जाएगी। आज ऐसे लाखों परिवार। चार लाख! देखिए, गणेश जी पक्का रखते हैं सब हिसाब-किताब। आज ऐसे लाखों परिवार, करोड़ों लोग मोदी को आशीर्वाद दे रहे हैं। लेकिन गरीब कल्याण के फैसले का कारण मोदी नहीं, बल्कि आप ही लोग हैं। क्योंकि आपलोग ने ही तो गरीब के बेटे को दिल्ली भेजा है। गरीब का बेटा गरीब के लिए तो काम करेगा, आपके लिए ही तो काम करेगा। आप ही तो मेरा परिवार है। मेरे देशवासियों, य मोदी है जिसने 4 करोड़ घर बनाए। ये मोदी है जिसने 4 करोड़ घर बनाए, लेकिन खुद के लिए घर नहीं बनाया है

मेरे परिवारजनों,
गरीबों का घर हो। मुफ्त राशन हो। मुफ्त इलाज हो। आज इन पर भाजपा सरकार लाखों करोड़ रुपये खर्च कर रही है। यानी देश का पैसा गरीबों के काम आ रहा है, लेकिन जब कांग्रेस की सरकार थी। तब ये पैसा कहाँ जाता था? तब देश का लाखों करोड़ रुपया 2जी घोटाले में जाता था। कोयला घोटाले में जाता था। कॉमनवेल्थ घोटाले में जाता था, हेलिकॉप्टर घोटाले में जाता था। और मोदी ने ये सारे घोटाले बंद कर दिए। कांग्रेस के करप्शन काल में चुप बिचौलियों की मौज थी, उसको भी मोदी ने ताला लगा दिया। भाजपा सरकार ने सरकारी योजनाओं का पैसा गरीबों के बैंक खातों में सीधे ट्रांसफर करना शुरू किया। आप कल्पना कर सकते हैं 10 साल में भाजपा सरकार ने 33 लाख करोड़ रुपये सीधे गरीबों के बैंक खातों में भेजे, और इसमें से एक रूपया भी इधर का उधर नहीं हो पाया। साथियों कांग्रेस किस तरह गरीबों का हक छिनती है उसका जीता जागता प्रमाण है फर्जी लाभार्थी घोटाला। जितनी मध्य प्रदेश की आबादी है, जितनी छत्तीसगढ़ की आबादी है, दोनों को मिला दें उतने ही फर्जी लाभार्थी कांग्रेस से देश भर में कागजों में पैदा कर दिया। जिसका जन्म नहीं हुआ वो लाभार्थी बन जाता था। यानी करीब-करीब 10 करोड़ फर्जी नाम ऐसे थे जिनका असल में जन्म भी नहीं हुआ था। लेकिन कांग्रेस सरकार उनके नाम पर तिजोरी से पैसे निकालती थी और पैसे गायब हो जाते थे। लोग कांग्रेस के चेले-चपाटों के जेब में चले जाते थे, उनके दलालों के हवाले कर दिया जाता था।

भाइयो बहनो,
इसलिए जब गरीब राशन की दुकान पर जाता था तो गरीब को पता चलता था कि उसका राशन तो कोई और ले गया। जब किसी जरूरतमंद बच्चों को स्कॉलरशिप चाहिए होती थी तो वो हक भी कोई और छीन लेता था। गैस सिलेंडर की सब्सिडी सरकार भेजती थी -लेकिन वो सीधी कांग्रेसी चेले-चपाटों की तिजोरी में जमा हो जाती। लूट का खेल ऐसे ही चल रहा था, लेकिन कांग्रेस का दुर्भाग्य। कांग्रेस का दुर्भाग्य? आपने एक चौकीदार को बिठा दिया। 14 में मोदी आ गया। और मैंने कांग्रेस के फर्जी लाभार्थी घोटाले पर ब्रेक लगा दिया। ये जो 10 करोड़ फर्जी लाभार्थी कांग्रेस ने कागजों में पैदा कर रखे थे, हमने उन्हें भी बाहर निकाल दिया। आज इस वजह से गरीबों के पौने तीन लाख करोड़ रुपये, याद करो 2,75 लाख करोड़ रुपए, कितने? पौने तीन लाख करोड़ कितने?। ज़रा बोलिए आप के पैसे मैंने बचाए हैं। कितने? पौने तीन लाख करोड़, जो सरकारी तिजोरी से चेले चपाटों के कांग्रेस के दलालों की तिजोरी में जाने थे, उसको मोदी ने बचा करके आपके हवाले कर दिया है। यह काम किया है दोस्तों। अब आप सोचिए, जब कांग्रेस को, उसके चेले चपाटों को उसके दलालों को इतना बड़ा नुकसान हो गया। भ्रष्टाचार के काली कमाई को मोदी ने रोक दिया तो मोदी का क्या करेंगे? क्या करेंगे? गाली देंगे कि नहीं देंगे? गाली देंगे कि नहीं देंगे? ये जो गालियां पड़ रही है ना, इसका कारण वही है। मोदी ने सारी दुकानें बंद करके रख दी है। और मोदी को कौन लाया? कौन लाया मोदी को ? मोदी में हिम्मत कहाँ से आई? ये देश की जनता है जो मोदी को लाई है और देश की जनता के आशीर्वाद है, जिससे मुझे ताकत मिली है। इसलिए कांग्रेस अपने सारी दुश्मनी मोदी के साथ ही देश की जनता से भी निकाल रही है। सिर्फ मुझे ही नहीं आपको भी परेशान करने पर लगी हुई है।

मेरे परिवारजनों,
मध्य प्रदेश के मेरे प्यारे भाइयों और बहनों आपको मेरी एक सीख याद जरूर रखनी है। कभी मत भूलिए। कांग्रेस आई तबाही लाई। जहाँ-जहाँ कांग्रेस आई वहाँ-वहाँ तबाही लाई। अगर गलती से भी कांग्रेस आ गई फिर तो आपको सरकार से मिलने वाली सारी मदद ये बंद कर देंगे। कांग्रेस आई तो मुफ्त राशन मिलना बंद हो जाएगा, कांग्रेस आई तो मुफ्त इलाज मिलना बंद हो जाएगा। कांग्रेस आई तो किसान सम्मान निधि के पैसे मिलने बंद हो जाएंगे। यहाँ जो शिवराज जी की सरकार ने लाली बहना, लाडली लक्ष्मी जैसी योजनाएं चलाई है, ये उनको भी नहीं छोड़ेंगे। इसलिए आपको अपना एक-एक वोट को कमल के फूल पर डालकर कांग्रेस के घोटालेवाजों को रोकना है। आप मेरे एक बात और याद रखिएगा। यहां एमपी में कांग्रेस ने आपके सामने दो ऐसे नेता खड़े किए हैं? जो कई बार दशकों से मध्य प्रदेश कांग्रेस को चलाते हैं। अब आज क्या काम कर रहे हैं? दोनों कपड़ा फाड़ नेता बन गए हैं। एक दूसरे के कपड़े फाड़ रहे है। एक अपने समर्थकों को कहते उसके कपड़े फाड़, वो अपने चेलों को कहते हैं कि तुम दूसरों के कपड़े फाड़। यही नेता एमपी को दशकों तक अपने पांव में रखने वाले एमपी को वंचित रखने के लिए जिम्मेदार हैं? ये आपके बेहतर भविष्य का भरोसा कभी नहीं दे सकते। इनका तो अभी बस एक ही एजेंडा है। 3 दिसंबर को भाजपा से हारने के बाद मध्य प्रदेश कांग्रेस पर किसका बेटा कब्जा करेगा? इनकी लड़ाई ये है अपने बेटों को सेट करने में वो पूरे मध्य प्रदेश को अपसेट करने में लगे हुए हैं। जिनको सिर्फ अपने बेटों की ही चिंता है, वे एमपी के गरीब, वंचित, मध्यम वर्ग के बेटे बेटियों की चिंता ही नहीं कर सकते।

मेरे परिवारजनों,
सतना सहित पूरे विंध्य क्षेत्र के विकास हमें मिलकर तेज करना है। भाजपा सरकार इस क्षेत्र पर्यटक उद्योग को नया विस्तार देने जा रही है। केंद्र की भाजपा सरकार रामायण सर्किट के बहुत बड़े प्रोजेक्ट पर काम कर रही है। चित्रकूट सहित एमपी के अनेक स्थान इस योजना का हिस्सा है। ये क्षेत्र सीमेंट कारखानों के लिए जाना जाता है। आने वाले समय में यहाँ दूसरे उद्योगों का विस्तार किया जाएगा। उद्योगों के लिए अच्छी कनेक्टिविटी और पर्याप्त बिजली की जरूरत है। आज भाजपा डबल इंजन सरकार इस पर बहुत ज़ोर दे रही है। जबलपुर कट्टी सप्ताह सिंगरौली इन्वेस्टमेंट कॉरिडोर और एलिवेटेड कॉरिडोर के इस क्षेत्र में निवेश की नई संभावनाएं बनेंगी। लघु उद्योग, कुटीर उद्योग, खेती से जुड़े उद्योग इनके लिए आने वाला समय बहुत उज्ज्वल होने वाला। यहां एमपी में छोटे, मझोले और लघु उद्योगों के लिए भाजपा सरकार ने सैकड़ों करोड़ रुपए की मदद की। भाजपा सरकार ने एमपी में लगभग ढाई सौ औद्योगिक क्षेत्र और 50 से अधिक एमएसएमई कंस्ट्रक्शन की स्वीकृति दी है। 3 दिसंबर को भाजपा की जीत के बाद इन सभी पर काम और तेज हो जाएगा। और ये मोदी की गारंटी है।

मेरे परिवारजनों,
इन चुनावों में मेरे जो पहली बार वोट देने वाले नौजवान हैं। जो पहली बार वोट देने वाले बेटे बेटी है जो फर्स्ट टाइम वोटर हैं, मेरे युवा साथी हैं, मैं कहता हूँ इस बार नेतृत्व आप कीजिए, पूरे चुनाव को लीड आप कीजिए। पूरे देश के आशीर्वाद आपके साथ है। भाजपा अब एमपी को समृद्धि के शिखर की तरफ ले जाना चाहती है। यह सिर्फ अपना विधायक चुनने का चुनाव नहीं है। ये आपका भविष्य चुनने का चुनाव है। अपना और अपने बच्चों का भविष्य बनाने के लिए आप को कमल का फूल चुनना। मैं आज अपने भाजपा के कार्यकर्ताओं से भी एक बात कहूंगा जो भाजपा कार्यकर्ता इस रैली में है जो भाजपा कार्यकर्ता मध्य प्रदेश के कोने कोने में अपना खून पसीना एक कर रहे हैं। मेरे लिए सारे कार्यकर्ता, चाहे मैं उनको मिल पाऊं या ना मिल पाऊं, अखबार में उनकी तस्वीर छपे या ना छपे टीवी पर वे कभी नजर आए या ना आए ऐसे लाखों कार्यकर्ता चार चार पीढ़ी से जुटे हुए परिवार ये मेरे लिए वंदनीय लोग हैं। मेरा एक-एक कार्यकर्ता मेरे लिए श्रद्धा का केंद्र है। जब उनको मैं परिश्रम करते हुए देखता हूँ, जी जान से जुटे हुए देखता हूँ और सिर्फ एक ही इरादा होता है भारत माता की जय। उससे अधिक जिसे कुछ नहीं चाहिए ऐसे लाखों कार्यकर्ताओं को निर्माण करने का काम भाजपा ने किया है। ये भाजपा कार्यकर्ताओं का परिश्रम है जिसने भाजपा को आज यहाँ इतनी मजबूत स्थिति में पहुंचाया। यह भाजपा कार्यकर्ताओं की मेहनत है जिससे एमपी के कांग्रेस की हालत खराब है। हर बूथ पर कमल खिले। इस संकल्प के साथ ही हमें एकजुट होकर आगे बढ़ना है।
आप घर घर जाएंगे। इतनी बड़ी सभा के बाद ये तो नहीं कहोगे कि बहुत हो गया ऐसा नहीं करोगे ना? हर बूथ में जाओगे? कमल खिलाओगे? कांग्रेस को साफ कर दोगे? बीजेपी को शानदार जिताओगे? पक्का? गारंटी? देखिए इस चुनाव में आप ही की गारंटी है भाजपा को जिताने की गारंटी। अच्छा, मेरा एक काम करोगे? ये चुनाव वाला काम नहीं है, मेरा व्यक्तिगत काम है करोगे? आवाज़ ठंडी हो गई है आपलोगों की। ऐसा प्यार क्या आपका? यह मेरा निजी काम है, करोगे? सब करोगे? पक्का करोगे? देखिये, आप घर घर जाइए। गांव-गांव घर-घर जाइए, और जा करके बताना। मोदी जी सतना आए थे, आप सबको उन्होंने प्रणाम भेजा है। राम-राम कहा है। मेरा राम-राम पहुंचा दोगे? मेरा प्रणाम पहुंचा दोगे? आप उनको जब मेरा प्रणाम पहुँचाओगे ना? तो मन से मुझे आशीर्वाद मिलेगा, और जब हर परिवार से मुझे आशीर्वाद मिलेगा, तो मेरी अनेक गुना बढ़ जाएगी और देश के लिए काम करने के लिए मुझे एक नई शक्ति मिलेगी। मेरे साथ बोलिए भारत माता की... भारत माता की... भारत माता की... बहुत बहुत धन्यवाद।

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Text of PM’s address at the Odisha Parba
November 24, 2024
Delighted to take part in the Odisha Parba in Delhi, the state plays a pivotal role in India's growth and is blessed with cultural heritage admired across the country and the world: PM
The culture of Odisha has greatly strengthened the spirit of 'Ek Bharat Shreshtha Bharat', in which the sons and daughters of the state have made huge contributions: PM
We can see many examples of the contribution of Oriya literature to the cultural prosperity of India: PM
Odisha's cultural richness, architecture and science have always been special, We have to constantly take innovative steps to take every identity of this place to the world: PM
We are working fast in every sector for the development of Odisha,it has immense possibilities of port based industrial development: PM
Odisha is India's mining and metal powerhouse making it’s position very strong in the steel, aluminium and energy sectors: PM
Our government is committed to promote ease of doing business in Odisha: PM
Today Odisha has its own vision and roadmap, now investment will be encouraged and new employment opportunities will be created: PM

जय जगन्नाथ!

जय जगन्नाथ!

केंद्रीय मंत्रिमंडल के मेरे सहयोगी श्रीमान धर्मेन्द्र प्रधान जी, अश्विनी वैष्णव जी, उड़िया समाज संस्था के अध्यक्ष श्री सिद्धार्थ प्रधान जी, उड़िया समाज के अन्य अधिकारी, ओडिशा के सभी कलाकार, अन्य महानुभाव, देवियों और सज्जनों।

ओडिशा र सबू भाईओ भउणी मानंकु मोर नमस्कार, एबंग जुहार। ओड़िया संस्कृति के महाकुंभ ‘ओड़िशा पर्व 2024’ कू आसी मँ गर्बित। आपण मानंकु भेटी मूं बहुत आनंदित।

मैं आप सबको और ओडिशा के सभी लोगों को ओडिशा पर्व की बहुत-बहुत बधाई देता हूँ। इस साल स्वभाव कवि गंगाधर मेहेर की पुण्यतिथि का शताब्दी वर्ष भी है। मैं इस अवसर पर उनका पुण्य स्मरण करता हूं, उन्हें श्रद्धांजलि देता हूँ। मैं भक्त दासिआ बाउरी जी, भक्त सालबेग जी, उड़िया भागवत की रचना करने वाले श्री जगन्नाथ दास जी को भी आदरपूर्वक नमन करता हूं।

ओडिशा निजर सांस्कृतिक विविधता द्वारा भारतकु जीबन्त रखिबारे बहुत बड़ भूमिका प्रतिपादन करिछि।

साथियों,

ओडिशा हमेशा से संतों और विद्वानों की धरती रही है। सरल महाभारत, उड़िया भागवत...हमारे धर्मग्रन्थों को जिस तरह यहाँ के विद्वानों ने लोकभाषा में घर-घर पहुंचाया, जिस तरह ऋषियों के विचारों से जन-जन को जोड़ा....उसने भारत की सांस्कृतिक समृद्धि में बहुत बड़ी भूमिका निभाई है। उड़िया भाषा में महाप्रभु जगन्नाथ जी से जुड़ा कितना बड़ा साहित्य है। मुझे भी उनकी एक गाथा हमेशा याद रहती है। महाप्रभु अपने श्री मंदिर से बाहर आए थे और उन्होंने स्वयं युद्ध का नेतृत्व किया था। तब युद्धभूमि की ओर जाते समय महाप्रभु श्री जगन्नाथ ने अपनी भक्त ‘माणिका गौउडुणी’ के हाथों से दही खाई थी। ये गाथा हमें बहुत कुछ सिखाती है। ये हमें सिखाती है कि हम नेक नीयत से काम करें, तो उस काम का नेतृत्व खुद ईश्वर करते हैं। हमेशा, हर समय, हर हालात में ये सोचने की जरूरत नहीं है कि हम अकेले हैं, हम हमेशा ‘प्लस वन’ होते हैं, प्रभु हमारे साथ होते हैं, ईश्वर हमेशा हमारे साथ होते हैं।

साथियों,

ओडिशा के संत कवि भीम भोई ने कहा था- मो जीवन पछे नर्के पडिथाउ जगत उद्धार हेउ। भाव ये कि मुझे चाहे जितने ही दुख क्यों ना उठाने पड़ें...लेकिन जगत का उद्धार हो। यही ओडिशा की संस्कृति भी है। ओडिशा सबु जुगरे समग्र राष्ट्र एबं पूरा मानब समाज र सेबा करिछी। यहाँ पुरी धाम ने ‘एक भारत श्रेष्ठ भारत’ की भावना को मजबूत बनाया। ओडिशा की वीर संतानों ने आज़ादी की लड़ाई में भी बढ़-चढ़कर देश को दिशा दिखाई थी। पाइका क्रांति के शहीदों का ऋण, हम कभी नहीं चुका सकते। ये मेरी सरकार का सौभाग्य है कि उसे पाइका क्रांति पर स्मारक डाक टिकट और सिक्का जारी करने का अवसर मिला था।

साथियों,

उत्कल केशरी हरे कृष्ण मेहताब जी के योगदान को भी इस समय पूरा देश याद कर रहा है। हम व्यापक स्तर पर उनकी 125वीं जयंती मना रहे हैं। अतीत से लेकर आज तक, ओडिशा ने देश को कितना सक्षम नेतृत्व दिया है, ये भी हमारे सामने है। आज ओडिशा की बेटी...आदिवासी समुदाय की द्रौपदी मुर्मू जी भारत की राष्ट्रपति हैं। ये हम सभी के लिए बहुत ही गर्व की बात है। उनकी प्रेरणा से आज भारत में आदिवासी कल्याण की हजारों करोड़ रुपए की योजनाएं शुरू हुई हैं, और ये योजनाएं सिर्फ ओडिशा के ही नहीं बल्कि पूरे भारत के आदिवासी समाज का हित कर रही हैं।

साथियों,

ओडिशा, माता सुभद्रा के रूप में नारीशक्ति और उसके सामर्थ्य की धरती है। ओडिशा तभी आगे बढ़ेगा, जब ओडिशा की महिलाएं आगे बढ़ेंगी। इसीलिए, कुछ ही दिन पहले मैंने ओडिशा की अपनी माताओं-बहनों के लिए सुभद्रा योजना का शुभारंभ किया था। इसका बहुत बड़ा लाभ ओडिशा की महिलाओं को मिलेगा। उत्कलर एही महान सुपुत्र मानंकर बिसयरे देश जाणू, एबं सेमानंक जीबन रु प्रेरणा नेउ, एथी निमन्ते एपरी आयौजनर बहुत अधिक गुरुत्व रहिछि ।

साथियों,

इसी उत्कल ने भारत के समुद्री सामर्थ्य को नया विस्तार दिया था। कल ही ओडिशा में बाली जात्रा का समापन हुआ है। इस बार भी 15 नवंबर को कार्तिक पूर्णिमा के दिन से कटक में महानदी के तट पर इसका भव्य आयोजन हो रहा था। बाली जात्रा प्रतीक है कि भारत का, ओडिशा का सामुद्रिक सामर्थ्य क्या था। सैकड़ों वर्ष पहले जब आज जैसी टेक्नोलॉजी नहीं थी, तब भी यहां के नाविकों ने समुद्र को पार करने का साहस दिखाया। हमारे यहां के व्यापारी जहाजों से इंडोनेशिया के बाली, सुमात्रा, जावा जैसे स्थानो की यात्राएं करते थे। इन यात्राओं के माध्यम से व्यापार भी हुआ और संस्कृति भी एक जगह से दूसरी जगह पहुंची। आजी विकसित भारतर संकल्पर सिद्धि निमन्ते ओडिशार सामुद्रिक शक्तिर महत्वपूर्ण भूमिका अछि।

साथियों,

ओडिशा को नई ऊंचाई तक ले जाने के लिए 10 साल से चल रहे अनवरत प्रयास....आज ओडिशा के लिए नए भविष्य की उम्मीद बन रहे हैं। 2024 में ओडिशावासियों के अभूतपूर्व आशीर्वाद ने इस उम्मीद को नया हौसला दिया है। हमने बड़े सपने देखे हैं, बड़े लक्ष्य तय किए हैं। 2036 में ओडिशा, राज्य-स्थापना का शताब्दी वर्ष मनाएगा। हमारा प्रयास है कि ओडिशा की गिनती देश के सशक्त, समृद्ध और तेजी से आगे बढ़ने वाले राज्यों में हो।

साथियों,

एक समय था, जब भारत के पूर्वी हिस्से को...ओडिशा जैसे राज्यों को पिछड़ा कहा जाता था। लेकिन मैं भारत के पूर्वी हिस्से को देश के विकास का ग्रोथ इंजन मानता हूं। इसलिए हमने पूर्वी भारत के विकास को अपनी प्राथमिकता बनाया है। आज पूरे पूर्वी भारत में कनेक्टिविटी के काम हों, स्वास्थ्य के काम हों, शिक्षा के काम हों, सभी में तेजी लाई गई है। 10 साल पहले ओडिशा को केंद्र सरकार जितना बजट देती थी, आज ओडिशा को तीन गुना ज्यादा बजट मिल रहा है। इस साल ओडिशा के विकास के लिए पिछले साल की तुलना में 30 प्रतिशत ज्यादा बजट दिया गया है। हम ओडिशा के विकास के लिए हर सेक्टर में तेजी से काम कर रहे हैं।

साथियों,

ओडिशा में पोर्ट आधारित औद्योगिक विकास की अपार संभावनाएं हैं। इसलिए धामरा, गोपालपुर, अस्तारंगा, पलुर, और सुवर्णरेखा पोर्ट्स का विकास करके यहां व्यापार को बढ़ावा दिया जाएगा। ओडिशा भारत का mining और metal powerhouse भी है। इससे स्टील, एल्युमिनियम और एनर्जी सेक्टर में ओडिशा की स्थिति काफी मजबूत हो जाती है। इन सेक्टरों पर फोकस करके ओडिशा में समृद्धि के नए दरवाजे खोले जा सकते हैं।

साथियों,

ओडिशा की धरती पर काजू, जूट, कपास, हल्दी और तिलहन की पैदावार बहुतायत में होती है। हमारा प्रयास है कि इन उत्पादों की पहुंच बड़े बाजारों तक हो और उसका फायदा हमारे किसान भाई-बहनों को मिले। ओडिशा की सी-फूड प्रोसेसिंग इंडस्ट्री में भी विस्तार की काफी संभावनाएं हैं। हमारा प्रयास है कि ओडिशा सी-फूड एक ऐसा ब्रांड बने, जिसकी मांग ग्लोबल मार्केट में हो।

साथियों,

हमारा प्रयास है कि ओडिशा निवेश करने वालों की पसंदीदा जगहों में से एक हो। हमारी सरकार ओडिशा में इज ऑफ डूइंग बिजनेस को बढ़ावा देने के लिए प्रतिबद्ध है। उत्कर्ष उत्कल के माध्यम से निवेश को बढ़ाया जा रहा है। ओडिशा में नई सरकार बनते ही, पहले 100 दिनों के भीतर-भीतर, 45 हजार करोड़ रुपए के निवेश को मंजूरी मिली है। आज ओडिशा के पास अपना विज़न भी है, और रोडमैप भी है। अब यहाँ निवेश को भी बढ़ावा मिलेगा, और रोजगार के नए अवसर भी पैदा होंगे। मैं इन प्रयासों के लिए मुख्यमंत्री श्रीमान मोहन चरण मांझी जी और उनकी टीम को बहुत-बहुत बधाई देता हूं।

साथियों,

ओडिशा के सामर्थ्य का सही दिशा में उपयोग करके उसे विकास की नई ऊंचाइयों पर पहुंचाया जा सकता है। मैं मानता हूं, ओडिशा को उसकी strategic location का बहुत बड़ा फायदा मिल सकता है। यहां से घरेलू और अंतर्राष्ट्रीय बाजार तक पहुंचना आसान है। पूर्व और दक्षिण-पूर्व एशिया के लिए ओडिशा व्यापार का एक महत्वपूर्ण हब है। Global value chains में ओडिशा की अहमियत आने वाले समय में और बढ़ेगी। हमारी सरकार राज्य से export बढ़ाने के लक्ष्य पर भी काम कर रही है।

साथियों,

ओडिशा में urbanization को बढ़ावा देने की अपार संभावनाएं हैं। हमारी सरकार इस दिशा में ठोस कदम उठा रही है। हम ज्यादा संख्या में dynamic और well-connected cities के निर्माण के लिए प्रतिबद्ध हैं। हम ओडिशा के टियर टू शहरों में भी नई संभावनाएं बनाने का भरपूर हम प्रयास कर रहे हैं। खासतौर पर पश्चिम ओडिशा के इलाकों में जो जिले हैं, वहाँ नए इंफ्रास्ट्रक्चर से नए अवसर पैदा होंगे।

साथियों,

हायर एजुकेशन के क्षेत्र में ओडिशा देशभर के छात्रों के लिए एक नई उम्मीद की तरह है। यहां कई राष्ट्रीय और अंतर्राष्ट्रीय इंस्टीट्यूट हैं, जो राज्य को एजुकेशन सेक्टर में लीड लेने के लिए प्रेरित करते हैं। इन कोशिशों से राज्य में स्टार्टअप्स इकोसिस्टम को भी बढ़ावा मिल रहा है।

साथियों,

ओडिशा अपनी सांस्कृतिक समृद्धि के कारण हमेशा से ख़ास रहा है। ओडिशा की विधाएँ हर किसी को सम्मोहित करती है, हर किसी को प्रेरित करती हैं। यहाँ का ओड़िशी नृत्य हो...ओडिशा की पेंटिंग्स हों...यहाँ जितनी जीवंतता पट्टचित्रों में देखने को मिलती है...उतनी ही बेमिसाल हमारे आदिवासी कला की प्रतीक सौरा चित्रकारी भी होती है। संबलपुरी, बोमकाई और कोटपाद बुनकरों की कारीगरी भी हमें ओडिशा में देखने को मिलती है। हम इस कला और कारीगरी का जितना प्रसार करेंगे, उतना ही इस कला को संरक्षित करने वाले उड़िया लोगों को सम्मान मिलेगा।

साथियों,

हमारे ओडिशा के पास वास्तु और विज्ञान की भी इतनी बड़ी धरोहर है। कोणार्क का सूर्य मंदिर… इसकी विशालता, इसका विज्ञान...लिंगराज और मुक्तेश्वर जैसे पुरातन मंदिरों का वास्तु.....ये हर किसी को आश्चर्यचकित करता है। आज लोग जब इन्हें देखते हैं...तो सोचने पर मजबूर हो जाते हैं कि सैकड़ों साल पहले भी ओडिशा के लोग विज्ञान में इतने आगे थे।

साथियों,

ओडिशा, पर्यटन की दृष्टि से अपार संभावनाओं की धरती है। हमें इन संभावनाओं को धरातल पर उतारने के लिए कई आयामों में काम करना है। आप देख रहे हैं, आज ओडिशा के साथ-साथ देश में भी ऐसी सरकार है जो ओडिशा की धरोहरों का, उसकी पहचान का सम्मान करती है। आपने देखा होगा, पिछले साल हमारे यहाँ G-20 का सम्मेलन हुआ था। हमने G-20 के दौरान इतने सारे देशों के राष्ट्राध्यक्षों और राजनयिकों के सामने...सूर्यमंदिर की ही भव्य तस्वीर को प्रस्तुत किया था। मुझे खुशी है कि महाप्रभु जगन्नाथ मंदिर परिसर के सभी चार द्वार खुल चुके हैं। मंदिर का रत्न भंडार भी खोल दिया गया है।

साथियों,

हमें ओडिशा की हर पहचान को दुनिया को बताने के लिए भी और भी इनोवेटिव कदम उठाने हैं। जैसे....हम बाली जात्रा को और पॉपुलर बनाने के लिए बाली जात्रा दिवस घोषित कर सकते हैं, उसका अंतरराष्ट्रीय मंच पर प्रचार कर सकते हैं। हम ओडिशी नृत्य जैसी कलाओं के लिए ओडिशी दिवस मनाने की शुरुआत कर सकते हैं। विभिन्न आदिवासी धरोहरों को सेलिब्रेट करने के लिए भी नई परम्पराएँ शुरू की जा सकती हैं। इसके लिए स्कूल और कॉलेजों में विशेष आयोजन किए जा सकते हैं। इससे लोगों में जागरूकता आएगी, यहाँ पर्यटन और लघु उद्योगों से जुड़े अवसर बढ़ेंगे। कुछ ही दिनों बाद प्रवासी भारतीय सम्मेलन भी, विश्व भर के लोग इस बार ओडिशा में, भुवनेश्वर में आने वाले हैं। प्रवासी भारतीय दिवस पहली बार ओडिशा में हो रहा है। ये सम्मेलन भी ओडिशा के लिए बहुत बड़ा अवसर बनने वाला है।

साथियों,

कई जगह देखा गया है बदलते समय के साथ, लोग अपनी मातृभाषा और संस्कृति को भी भूल जाते हैं। लेकिन मैंने देखा है...उड़िया समाज, चाहे जहां भी रहे, अपनी संस्कृति, अपनी भाषा...अपने पर्व-त्योहारों को लेकर हमेशा से बहुत उत्साहित रहा है। मातृभाषा और संस्कृति की शक्ति कैसे हमें अपनी जमीन से जोड़े रखती है...ये मैंने कुछ दिन पहले ही दक्षिण अमेरिका के देश गयाना में भी देखा। करीब दो सौ साल पहले भारत से सैकड़ों मजदूर गए...लेकिन वो अपने साथ रामचरित मानस ले गए...राम का नाम ले गए...इससे आज भी उनका नाता भारत भूमि से जुड़ा हुआ है। अपनी विरासत को इसी तरह सहेज कर रखते हुए जब विकास होता है...तो उसका लाभ हर किसी तक पहुंचता है। इसी तरह हम ओडिशा को भी नई ऊचाई पर पहुंचा सकते हैं।

साथियों,

आज के आधुनिक युग में हमें आधुनिक बदलावों को आत्मसात भी करना है, और अपनी जड़ों को भी मजबूत बनाना है। ओडिशा पर्व जैसे आयोजन इसका एक माध्यम बन सकते हैं। मैं चाहूँगा, आने वाले वर्षों में इस आयोजन का और ज्यादा विस्तार हो, ये पर्व केवल दिल्ली तक सीमित न रहे। ज्यादा से ज्यादा लोग इससे जुड़ें, स्कूल कॉलेजों का participation भी बढ़े, हमें इसके लिए प्रयास करने चाहिए। दिल्ली में बाकी राज्यों के लोग भी यहाँ आयें, ओडिशा को और करीबी से जानें, ये भी जरूरी है। मुझे भरोसा है, आने वाले समय में इस पर्व के रंग ओडिशा और देश के कोने-कोने तक पहुंचेंगे, ये जनभागीदारी का एक बहुत बड़ा प्रभावी मंच बनेगा। इसी भावना के साथ, मैं एक बार फिर आप सभी को बधाई देता हूं।

आप सबका बहुत-बहुत धन्यवाद।

जय जगन्नाथ!