It's my honour that you have come to bless BJP in such huge numbers, this clearly suggests "Bengal mei iss baar BJP sarkar", says PM Modi
In the last 70 years, you gave opportunities to everyone but give us 5 years, we will free Bengal from the 70 years of destruction, we will sacrifice our lives for you: PM Modi
Mamata didi betrayed the people of Bengal. She hampered development in the state: PM Modi in Kharagpur
Bengal CM Mamata Banerjee stands like wall to block central schemes: PM Modi at Kharagpur rally
Mamata Didi runs school of brutality where 'tolabaji', cut money, syndicate and anarchy form syllabus: PM Modi 

भारत माता की…. जय
भारत माता की……जय
भारत माता की ….जय

नमोष्कार, आपनारा कैमोन आछेन,
जय जोहार,
जय गोराम,
बीतगीरी,
खड़गेश्वर महादेव, झाड़ेश्वर महादेव, माँ सर्बमंगला, माँ महिषासुरमर्दिनी ऐसे अनेक तीर्थक्षेत्रों की इस धरती मैं उस धरती और धरती के लोगों को प्रणाम करता हूं। इस धरती ने राष्ट्रसेवा में शहीद खुदीराम बोस, क्रांतिकारी हेमचन्द्र कानूनगो, बीरेंद्र नाथ शासमल, निर्मल जीबन घोष ऐसे अनगिनत, अनगिनत क्रांतिकारी दिए हैं। यहां के संथाल आंदोलन ने भारत की आजादी में बहुत अहम भूमिका निभाई थी।ये धरती भारत मां के महान सपूत ईश्वर चंद्र विद्यासागर जी की भूमि है। इस भूमि को माँ शारदा देवी, रानी राशमोनी, देबी चौधुरानी जैसी अनगिनत विभूतियों ने धन्य किया है। कादंबिनी गांगुली और चन्द्रमुखी बासु ने यहाँ की विलक्षण प्रतिभा का प्रकाश बिखेरा है। इसी क्षेत्र में, देश की आजादी के लिए शहीद हुई माता स्वरूपा मातंगिनी हाज़रा ने नारी शक्ति का सबसे बड़ा आदर्श प्रस्तुत किया है। मैं इस धरती का वंदन करता हूं। ये मेरा सौभाग्य है कि आज इतनी बड़ी संख्या में आप सभी बीजेपी को आशीर्वाद देने आए हैं। आपका ये उत्साह, साफ-साफ कह रहा है-

बंगाल में इस बार- बीजेपी सरकार!
बंगाल में इस बार-
बंगाल में इस बार-
बंगाल में इस बार-

साथियो,
ये मैं क्यों कह रहा हूं? इस बार बीजेपी सरकार, बंगाल के उज्ज्वल भविष्य के लिए इस धरती पर हमारे 130 के करीब कार्यकर्ताओं ने अपना जीवन न्योछावर कर दिया ताकि बंगाल आबाद रहे। मैं ये क्यों कह रहा हूं? मुझे गर्व है मेरे पार्टी के पास दिलीप घोष जैसे अध्यक्ष है। आज पार्टी को जिताने के लिए पिछले कई वर्षों से दिलीप घोष न चैन की नींद सोए हैं न दीदी की धमकियों से डरे हैं, उन पर अनेक हमले हुए, उनको मौत के घाट उतारने की कोशिशें हुई, लेकिन वो बंगाल के उज्ज्वल भविष्य का प्रण लेकर चल पड़े और आज पूरे बंगाल में नई ऊर्जा भर रहे हैं। और इसलिए मैं कह रहा हूं इस बार बीजेपी सरकार।

साथियो,
खड़गपुर के इस क्षेत्र में मिनी भारत की झलक मिलती है। भारत की विविधता, अलग-अलग भाषाओं-बोलियों की ताकत यहां देखने को मिलती है। खड़गपुर का इतना लंबा रेलवे प्लेटफॉर्म, भारत की पहली IIT, इस भूमि का गौरव बढ़ाते हैं। भारतीय रेलवे को मजबूती देने में यहां के लोगों का बहुत बड़ा योगदान रहा है। इस ऐतिहासिक भूमि पर मैं आप लोगों को ओशोल पॉरिबॉरतोन का विश्वास दिलाने आया हूं, ओशोल पॉरिबॉरतोन। आपने कांग्रेस के कारनामे देखे हैं, वामदल की बरबादी को अनुभव किया है, और टीएमसी ने आपके सपनों को कैसे चूर-चूर किया पिछले 70 साल में यही देखा है। मैं बंगालवासियों से कहता हूं आपने 70 साल तक अनेकों को अवसर दिया है, हमें 5 साल का मौका दीजिए, हम 70 साल की बरबादी को मिटा कर के रहेंगे। बंगाल के मेरे भाइयों-बहनों एक बार आशीर्वाद दीजिए, एक बार आशीर्वाद दीजिए हम अपनी जान आपकी भलाई के लिए खपा देंगे। सेवा का अवसर देखिए हम कैसे ओशोल पॉरिबॉरतोन लाकर दिखाते हैं। आपके जीवन की एक-एक दिक्कतों को दूर करने के लिए हम सभी दिन रात मेहनत करेंगे। यहां जंगलमहल के इस पूरे क्षेत्र में कृषि की व्यवस्थाओं को सुधारा जाएगा, इस इलाके में सिंचाई सुविधाएं बढ़ाई जाएंगी, कोल्ड स्टोरेज का नेटवर्क बढ़ाया जाएगा। और इसका यहां के आलू पैदा करने वाले किसानों को भी लाभ होगा। हम छोटे उद्योगों को आगे बढ़ाएंगे, उनके लिए भी सभी प्रक्रियाओं को आसान बनाएंगे। हम इस क्षेत्र में स्वास्थ्य सेवाओं को सुधारेंगे, गांव-गांव में सड़कों का विस्तार करेंगे। हम इस क्षेत्र में शुद्ध पानी की समस्या को हल करेंगे, हर घर में पाइप से साफ जल पहुंचाएंगे। हम आदिवासी-वनवासी संस्कृति की रक्षा के साथ, उनकी भाषा, उनके गौरव को एक नई ऊंचाई देने के लिए प्रतिबद्ध है।

साथियो,
मैंने ब्रिगेड मैदान में कहा था कि बंगाल का बीजेपी पर कर्ज है। बीजेपी, जनसंघ से निकली पार्टी है।
जनसंघ जोन्मोदातार नाम की?
जनसंघ जोन्मोदातार नाम होच्छे श्यामा प्रसाद मुखर्जी।
जनसंघ के जनक इसी बंगाल के सपूत थे। इसलिए अगर यहाँ सही अर्थ में कोई बंगाल की पार्टी है तो वो सिर्फ और सिर्फ बीजेपी है। बीजेपी के डीएनए में आशुतोष मुखर्जी और डॉक्टर श्यामा प्रसाद मुखर्जी का आचार, विचार, व्यवहार और संस्कार है। इन्हीं संस्कारों को लेकर हम बंगाल के हर क्षेत्र को विकास की नई ऊंचाई पर पहुंचाना चाहते हैं। हम सिर्फ बंगाल में कमल ही नहीं खिलाना चाहते, बल्कि बंगाल के लोगों का भविष्य उज्ज्वल बनाना चाहते हैं।


साथियों,
जहां-जहां राज्यों में बीजेपी सरकारें हैं, वहां केंद्र और बीजेपी की राज्य सरकार मिलकर के डबल इंजन की ताकत के साथ जनता-जनार्दन की सेवा में लगे हुए हैं। आप मुझे बताइए, अगर कहीं कोई गाड़ी, कोई बस कीचड़ में गड्डे में फंसी ही, अगर उसको बाहर निकालना हो तो, सारे पैसेंजर बाहर निकलकर के एक दिशा में धक्का मारते हैं कि नहीं मारते हैं। लेकिन आधे पैसेंजर आगे से पीछे धक्का मारे और आधे पैसेंजर पीछे से आगे धक्का मारे तो कीचड़ से गाड़ी निकलेगी, गड्ढे से गाड़ी निकलेगी। सबको एक ही दिशा में करना होगा ना। बंगाल में भी दिल्ली की ताकत और बंगाल की ताकत दोनों इंजन एक दिशा में लगेंगे तब जाकर के बंगाल यह बर्बादी से बाहर निकलेगा। हम सबका साथ-सबका विकास और सबका विश्वास के मंत्र के साथ काम कर रहे हैं। लेकिन यहां पश्चिम बंगाल में दीदी, ये दीदी विकास की हर योजना के सामने दीवार बनकर के खड़ी हो गई हैं। आपने दीदी पर भरोसा किया, लेकिन दीदी ने आपको दुर्नीति दी, आपके साथ विश्वासघात किया।
किया कि नहीं किया?
विश्वासघात किया कि नहीं किया?
आपके सपनों को चूर-चूर कर दिया कि नहीं कर दिया?
दस साल में बंगाल को बर्बाद किया कि नहीं किया?
और अब देखो आज दीदी, दस ‘ओन्गीकार’ की बात कर रही हैं। दस ‘ओन्गीकार’….अरे दीदी, बंगाल के लोगों ने आपको दस साल सेवा का अवसर दिया था। लेकिन आपने उन्हें लूट-मार से भरे दस साल दिए। आपने उन्हें 10 साल का भ्रष्टाचार दिया। आपने उन्हें 10 साल का कुशासन दिया।

साथियो,
आप मुझे बताइए, यहां केंदु पत्ता बेचने के लिए भी कट-मनी देना पड़ता है या नहीं देना पड़ता है? कट-मनी देना पड़ता है कि नहीं देना पड़ता है? आदिवासियों को भी देना पड़ता है कि नहीं देना पड़ता है, गरीब को भी देना पड़ता है कि नहीं देना पड़ता है। मजदूर को भी देना पड़ता है कि नहीं देना पड़ता है। बंगाल में ये कट-मनी का सिस्टम बंद होना चाहिए कि नहीं होना चाहिए? ये बर्बादी जानी चाहिए कि नहीं जानी चाहिए।

साथियो,
आपमें से कुछ लोगों को शायद पता होगा कल रात को 50-55 मिनट के लिए Whatsapp डाउन हो गया, Facebook डाउन हो गया, Instagram डाउन हो गया। लोग अधीर हो गए। चिंता में पड़ गए, सबके मन में सवाल खड़े हो गए। पचास पचपन मिनट के लिए हुआ था, लेकिन सबको हो रहा था कि क्या हो गया। लेकिन भाइयों-बहनों दुनिया में तो 50-55 मिनट ये सोशल मीडिया की कुछ चीजें डाउन हो गईं। यहां बंगाल में तो 50-55 साल से विकास ही डाउन हो गया गया है, विश्वास ही डाउन हो गया है, सपने ही डाउन हो गए हैं, संकल्प भी डाउन हो गए हैं। मैं आपकी अधीरता समझ सकता हूं।

भाइयो और बहनो,
पहले कांग्रेस, फिर लेफ्ट और अब टीएमसी ने बंगाल के विकास को अवरुद्ध करके रखा है। दीदी का भी ट्रैक रिकॉर्ड दलित, आदिवासी, पिछड़ों का हक छीनना, दलितों का हक छीन लेना, आदिवासियों का हक छीन लेना, पिछड़ों का हक छीन लेना, गरीबों का हक छीन लेना और वोट बैंक की राजनीति के लिए तुष्टिकरण करते रहना यही इनका खेल चला है। दीदी ने बंगाल के युवाओं के, यहां की युवा पीढ़ी के बहुत कीमती, बहुत कीमती 10 साल छीन लिए हैं।

दीदीर पार्टी होच्छे निर्ममतार पाठशाला
दीदीर पाठशालाते सिलेबस होच्छे तोलाबाजी,
दीदीर पाठशालाते सिलेबस होच्छे कट-मनी,
दीदीर पाठशालाते सिलेबस होच्छे सिंडिकेट,
दीदीर पाठशालाते उत्पीड़नेर ट्रेनिंग देवा होय, ओराजोकोतार ट्रेनिंग देवा होय

साथियो,
आज पश्चिम बंगाल में शिक्षा की क्या स्थिति है, ये खड़गपुर के लोग बहुत भलीभांति जानते हैं। शिक्षक भर्ती के नाम पर यहां का युवा कोर्ट-कचहरी के चक्कर लगाने के लिए मजबूर है। भर्तियों के लिए जो बोर्ड, जो कमीशन बनाए गए उन्हें भी टीएमसी काडर के हवाले कर दिया गया है।

बहनो और भाइयो,
शिक्षा को लेकर दीदी और उनकी पार्टी की सोच का एक और उदाहरण आज मैं आपको देता हूं। हमारे देश में साढ़े 3 दशक बाद यानी 35 साल के बाद नई राष्ट्रीय शिक्षा नीति लाई गई है। पूरे हिंदुस्तान में ये नई राष्ट्रीय शिक्षा नीति की तारीफ हो रही है। और इसका मकसद है, 21वीं सदी की ज़रूरतों के अनुसार शिक्षा में बदलाव हो। राष्ट्रीय शिक्षा नीति में शिक्षकों की ट्रेनिंग से लेकर स्किल अपग्रेडेशन तक अनेक प्रावधान किए गए हैं। और इसकी एक प्रमुख बात है- स्थानीय भाषाओं में पढ़ाई पर बल। Technical Education हो, Medical की पढ़ाई हो, या फिर Professional कोर्स, इन सब में स्थानीय भाषाओं पर जोर दिया गया है। हम चाहते हैं कि गांव और गरीब का बच्चा और भी आसानी से डॉक्टर, इंजीनियर, मैनेजर, किसी कंपनी का CEO बन सके। आप मुझे बताइए भाइयों गरीब का बच्चा भी डॉक्टर बनना चाहिए कि नहीं बनना चाहिए, गरीब का बच्चा भी इंजीनियर होना चाहिए कि नहीं होना चाहिए, गरीब की बेटी भी अपने सपने पूरे कर सके, ऐसी व्यवस्था होनी चाहिए कि नहीं होनी चाहिए। लेकिन भाषा के कारण उसके सपने चूर-चूर हो जाते हैं। हमने कहा है कि गरीब का बच्चा भी डॉक्टर बन सके इसलिए उसे उसकी भाषा में हम पढ़ाएंगे और उसे डॉक्टर बनाएंगे। लेकिन दीदी को तो इसका भी विरोध है। दीदी की सरकार नई राष्ट्रीय शिक्षा नीति को लागू करने में मना कर रही है आनाकानी कर रही है। दीदी को पश्चिम बंगाल के लाखों युवाओं के भविष्य की, उनके करियर की कोई चिंता नहीं है। मैं बंगाल के नौजवानों को भरोसा देता हूं। मैं बंगाल की माताओं-बहनों को भरोसा देता हूं मैं बंगाल के दलितों को बंगाल के आदिवासियों को बंगाल के पिछड़े लोगों को बंगाल के गरीब लोगों को आश्वासन देना चाहता हूं। अब दीदी को बंगाल के युवाओं के भविष्य के साथ नहीं खेलने दिया जाएगा। वो कहती रहें- खेला होबे। लेकिन पूरा बंगाल आज कह रहा है- ये हमारा पश्चिम बंगाल कह रहा है खैला शेष होबे, बीकाश आरोम्भो होबे।

साथियो,
आज दीदी से पश्चिम बंगाल के लोग दस साल का हिसाब मांग रहे हैं। लेकिन जवाब देने के बजाय दीदी उन पर अत्याचार कर रही है। आज हर बंगालवासी कह रहा है- “दीदी के तो बोल्छी, किन्तु ओनी सुन्छेन ना”
अम्फान चक्रवात का हिसाब मांगो, तो दीदी को गुस्सा ! राशन के चावल की चोरी का जवाब मांगो, तो जेल में डाल देती है! कोयला घोटाले पर जवाब मांगो, तो पुलिस से डंडे मरवाती है! चाकरी पर जवाब मांगो तो घर जला दिया जाता है!

साथियो,
आज बंगाल का गरीब पूछ रहा है कि उसको आयुष्मान भारत के तहत मुफ्त इलाज की सुविधा का लाभ क्यों नहीं मिलता? आज बंगाल का किसान पूछ रहा है उसको किसान सम्मान निधि के हजारों रुपए क्यों नहीं मिले? शहरों में रेहड़ी-ठेला चलाने वाले गरीब पूछ रहा है कि उनको पीएम स्वनिधि के तहत आर्थिक मदद सही से क्यों नहीं मिली? आज बंगाल की बहनें पूछ रही हैं कि हर घर जल पहुंचाने के लिए टीएमसी सरकार को जो पैसा दिया था, दिल्ली से पैसा भेजा था वो पैसा तिजोरी में रखकर के क्यों बैठ गईं। आज बंगाल का गरीब पूछ रहा है कि क्यों ममता सरकार ने लाखों गरीबों को पक्के घर से वंचित रखा। केंद्र सरकार की तरफ से बीते वर्षों में बंगाल के लिए 33 लाख पक्के घर स्वीकृत किए गए हैं। इनमें से लाखों घर अब भी पूरे नहीं हो पाए हैं। दीदी को लगता है कि इन सब योजनाओं का फायदा अगर लोगों को होगा तो लोग मोदी को आशीर्वाद देंगे। अरे दीदी, आपको मोदी को क्रेडिट नहीं देना था, तो मत दीजिए। लेकिन अपने गरीब के पेट पर लात क्यों मारी? आपने रेहड़ी-पटरी वालों के पेट पर लात क्यों मारी?

बहनो और भाइयो,
गरीब का जीवन तब सुधरता है, जब जीवन और कारोबार दोनों सरल होता है, रोज़गार के अवसर बनते हैं। खड़गपुर सहित पश्चिम बंगाल के अनेक शहरों में आत्मनिर्भर भारत के महत्वपूर्ण सेंटर बनने की भरपूर संभावनाएं हैं। इन संभावनाओं पर भी टीएमसी सरकार ने लगातार चोट पहुंचाई है, प्रहार किया है। एक तरफ देश निरंतर सिंगल विंडो सिस्टम की तरफ बढ़ रहा है, सरकार के अंदर सिंगल विंडो सिस्टम इसलिए ताकि कारोबारी को, उद्यमी को यहां-वहां भटकना ना पड़े। लेकिन पश्चिम बंगाल में एक अलग तरह का ही सिंगल विंडो सिस्टम बना दिया गया है। यहां अलग प्रकार का सिंगल विंडो है, बंगाल वालों को पता है. देशवासियों को अभी पता नहीं है इसका। ये सिंगल विंडो क्या है? बंगाल में सिंगल विंडो है भाइपो विंडो।

बंगाल में कौन सा सिंगल विंडो है...भाइपो विंडो….
बंगाल में कौन सा सिंगल विंडो है...भाइपो विंडो….

भाइपो विंडो… बंगाल में कौन सा सिंगल विंडो है... पश्चिम बंगाल में इस विंडो से गुज़रे बिना कुछ नहीं हो सकता। पिछले 10 साल में तृणमूल सरकार ने हर वो काम किया, जो यहां रोज़गार और स्वरोज़गार के अवसरों को खत्म करने वाला था, रोकने वाला था। तृणमूल के वसूली गिरोहों, सिंडिकेट के कारण अनेक पुराने उद्योग बंद हो गए। यहां सिर्फ एक ही उद्योग चलने दिया गया है- कौन सा उद्योग- माफिया उद्योग। कौन सा उद्योग- माफिया उद्योग। सुबर्णरेखा नदी पर और कंसवती नदी में अवैध खनन के तार कहां से जुड़े हैं ये यहाँ का बच्चा-बच्चा जानता है। बंगाल में बीजेपी सरकार आने के बाद, इन सभी पर सख्त कार्रवाई होगी, कानून का राज स्थापित किया जाएगा।

साथियो,
बाबा साहेब के बनाए संविधान ने प्रत्येक भारतीय को वोट की आजादी दी है। बाबा साहब आंबेडकर ने हम सभी देशवासियों को यह अनमोल ताकत दी है। लेकिन बंगाल में ममता दीदी, वोट करने की आपकी ताकत को छीनती रही हैं, लूटती रही हैं। 2018 के पंचायत चुनाव में जिस तरह दीदी ने आपके अधिकारों को कुचला, वो दुनिया ने देखा है। जिन लोगों को संविधान के आपके इस अधिकार की रक्षा की जिम्मेदारी दी है, वही लोग बंगाल में लोकतंत्र के लिए खतरा बने हुए हैं। लेकिन मैं बंगाल के लोगों को आश्वस्त करता हूं, कि अब दीदी को लोकतंत्र को कुचलने नहीं दिया जाएगा। पुलिस और प्रशासन को भी याद रखना चाहिए कि संविधान और लोकतंत्र की मर्यादाओं से बड़ा कुछ नहीं होता है।
आगेर निर्वाचन गुली ते TMC जा कोर्तो, एबार होबे ना! आपनारा आश्वस्त थाकून! सबाई एक़ संगे रूखे दाड़ान! निर्भय भोट देन! पस्चिम बांगलार अतीत फिरिए, आनार जन्यो अमरा बद्द परिकर!

साथियो,
पश्चिम बंगाल को अब पढ़ाई, कमाई, दवाई, सिंचाई और सुनवाई सुनिश्चित करने वाली सरकार चाहिए। भाजपा की डबल इंजन सरकार चाहिए। केंद्र सरकार के प्रयास पूरी तरह से तभी जमीन पर उतर पाएंगे, जब यहां भी भाजपा की सरकार बनेगी। डबल इंजन की सरकार यहां ज्यादा रोजगार, ज्यादा उद्योगों के निर्माण के अवसर बनाएगी। इस वर्ष के केंद्र सरकार के बजट में मेदिनीपुर के लिए एक बहुत बड़ा प्रावधान किया गया है। पेटुआघाट का जो फिशिंग हार्बर है, उसको आर्थिक गतिविधियों का हब बनाने के लिए पहल की गई है। डबल इंजन की सरकार में, यहां का इंफ्रास्ट्रक्चर आधुनिक होगा, कोल्डचेन की व्यवस्था सुधरेगी, मछलियों की एक्स्पोर्ट वैल्यू बढ़ाने के लिए हर काम किया जाएगा। इससे यहां मछली पकड़ने और इसके व्यापार से जुड़े लोगों सभी साथियों को बहुत लाभ होगा।

साथियो,
ये चुनाव सिर्फ विधायक, सिर्फ मंत्री, सिर्फ मुख्यमंत्री को बदलने का ही नहीं है, सिर्फ पॉरिबोर्तोन का नहीं है, बल्कि सोनार बांग्ला के निर्माण का संकल्प है। हर बूथ पर भारी संख्या में भाजपा के लिए मतदान हो, ये संकल्प लेकर के हमें यहां से निकलना है। इस बार ज़ोर से छाप, कमल छाप!
ज़ोर से छाप…
ज़ोर से छाप…
ज़ोर से छाप…
इस बार, भॉय नहीं, सिर्फ जॉय ! सिर्फ जॉय। पश्चिम बांग्लार मानुषेर जॉय !! कमल छाप पर पड़ा एक-एक वोट डबल इंजन सरकार के लिए होगा, सोनार बांग्ला के निर्माण के लिए होगा। इसी विश्वास के साथ, आप इतनी बड़ी तादाद में आशीर्वाद देने के लिए आए, मैं हेलिकॉप्टर से यहां आया, पूरे रास्ते भर लोग आशीर्वाद दे रहे थे। मैं आपका बहुत-बहुत आभारी हूं, और मैं आपके सपने पूरे कर के रहूंगा। मेरे साथ बोलिए भारत माता की, दोनों मुट्ठी बंद कर के पूरी ताकत से बोलिए…
भारत माता की
भारत माता की
भारत माता की
भारत माता की
भारत माता की
भारत माता की
बहुत-बहुत धन्यवाद।

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Prime Minister condoles passing away of former Prime Minister Dr. Manmohan Singh
December 26, 2024
India mourns the loss of one of its most distinguished leaders, Dr. Manmohan Singh Ji: PM
He served in various government positions as well, including as Finance Minister, leaving a strong imprint on our economic policy over the years: PM
As our Prime Minister, he made extensive efforts to improve people’s lives: PM

The Prime Minister, Shri Narendra Modi has condoled the passing away of former Prime Minister, Dr. Manmohan Singh. "India mourns the loss of one of its most distinguished leaders, Dr. Manmohan Singh Ji," Shri Modi stated. Prime Minister, Shri Narendra Modi remarked that Dr. Manmohan Singh rose from humble origins to become a respected economist. As our Prime Minister, Dr. Manmohan Singh made extensive efforts to improve people’s lives.

The Prime Minister posted on X:

India mourns the loss of one of its most distinguished leaders, Dr. Manmohan Singh Ji. Rising from humble origins, he rose to become a respected economist. He served in various government positions as well, including as Finance Minister, leaving a strong imprint on our economic policy over the years. His interventions in Parliament were also insightful. As our Prime Minister, he made extensive efforts to improve people’s lives.

“Dr. Manmohan Singh Ji and I interacted regularly when he was PM and I was the CM of Gujarat. We would have extensive deliberations on various subjects relating to governance. His wisdom and humility were always visible.

In this hour of grief, my thoughts are with the family of Dr. Manmohan Singh Ji, his friends and countless admirers. Om Shanti."