The NTPC Plant will enable a faster industrialization of the state of Telangana: PM Modi
Due to the collective efforts of the women of Telangana, Nari Shakti Vandan Adhiniyam has been passed with a resounding majority in Parliament: PM Modi
Telangana is a state with brimming talent, always contributing to the developmental prospects for India: PM Modi
In a democracy like India, people of the country should be prioritized over ‘Familial Dynastic Politics’: PM Modi
People should beware this unholy BRS-Congress Alliance as they have only promoted misdeeds for Telangana: PM Modi

भारत माता की, भारत माता की,
मैं मेरा भाषण शुरू करने से पहले ये नन्ही सी गुड़िया भारत मां का रूप लेकर आई है। मेरी तरफ से बहुत-बहुत अभिनंदन बेटा। शाबाश।

ना कुटुम्भ सभ्युल्लारा,
आज मुझे तेलंगाना के लोगों को 8 हजार करोड़ रुपए से अधिक की परियोजनाओं का उपहार देने का सौभाग्य मिला है। NTPC के आधुनिक पावर प्लांट से तेलंगाना के औद्योगिक विकास को एक नई तेज गति मिलेगी। इस प्लांट में जो बिजली पैदा होगी, उसका ज्यादा हिस्सा तेलंगाना के लोगों को ही मिलेगा, आपको ही मिलेगा और इससे आपकी Ease of Living बढ़ेगी। भाइयों-बहनों, आपको याद होगा इस प्रोजेक्ट का शिलान्यास करने का सौभाग्य मुझे मिला था। और ये मोदी की गारंटी की ताकत देखिए, आज मोदी ही आकर उसका उद्घाटन कर रहा है। आज ही रेलवे और हेल्थ के भी कई प्रोजेक्ट तेलंगाना के मेरे भाइयों-बहनों के चरणों में आज मुझे समर्पित करने का सौभाग्य मिला है। इनसे तेलंगाना के लोगों को critical care की सुविधा मिलेगी और कनेक्टिविटी भी बढ़ेगी। तेलंगाना और तेलंगाना के लोगों के कल्याण के प्रति बीजेपी का संकल्प लगातार मजबूत हो रहा है।

ना कुटुम्भ सभ्युल्लारा,
आज, सबसे पहले, मैं निजामाबाद की माताओं-बहनों-बेटियों को धन्यवाद देना चाहूंगा। और आज यहां इतनी बड़ी तादाद में स्वागत करने, आशीर्वाद देने आईं उससे बड़ा जीवन का सौभाग्य क्या होता है। तेलंगाना की मेरी बहनें एक बड़ी क्रांति का हिस्सा बनी हैं, तेलंगाना की मेरी बहनों ने इतिहास बनाया है। कुछ ही दिन पहले, संसद में नारीशक्ति वंदन अधिनियम पास हो गया है। कांग्रेस और उसके इंडी अलायंस ये घमंडिया गठबंधन 30 साल उसे रोककर बैठे थे। उनको किसी की परवाह ही नहीं थी। भांति-भांति की ये चलाकियां करते थे, दिखावा करते थे और खेल दूसरा खेलते थे लेकिन इस बार ये मेरे देश की माताओं-बहनों की ताकत देखिए, नारी शक्ति की संगठित ताकत देखिए कि सारे के सारे घमंडिया लोगों को ये संसद के अंदर नारीशक्ति वंदन अधिनियम को मजबूरी से समर्थन करना पड़ा है। ये इसलिए हो पाया क्योंकि तेलंगाना की महिलाओं ने, मेरे देश की माताओं और बहनों ने साथ मिलकर, वोट की शक्ति से अपने एक-एक वोट से माताओं ने अपने इस बेटे को मजबूत बनाया है। बहनों ने अपने इस भाई को मजबूत बनाया है। और माताएं-बहनें आपने मजबूती दी है इसलिए मजबूती से आपका ये बेटा काम कर पा रहा है।

ना कुटुम्भ सभ्युल्लारा,
तेलंगाना वो राज्य है जिसने देश के विकास में हमेशा अपना योगदान दिया है। आप भारत की प्रगति के आधार हैं। तेलंगाना में चारों तरफ टैलेंट ही टैलेंट है। जब दुनिया में इतनी बड़ी कोरोना महामारी आई, तो तेलंगाना ने भी वैक्सीन बनाकर पूरी दुनिया में भेजी। तेलंगाना के लोगों में विकास की जो Aspiration है, उसे मैं भली भांति समझ सकता हूं। अभी मैं देख रहा था क्या वाइब्रेंसी थी, क्या ऊर्जा थी, क्या जुनून था। मेरे साथियों आपको सौ-सौ सलाम। केंद्र सरकार में रहते हुए हम तेलंगाना के लिए जितना कर सकते हैं, वो हम लगातार कर रहे हैं। आपको याद होगा न, हमलोगों ने निजाम की हुकूमत, देश तो आजाद हुआ था लेकिन हमारा ये हैदराबाद और ये सारा इलाका आजाद नहीं हुआ था। निजाम अडंगे लगाकर बैठा था कि नहीं था। एक गुजराती बेटा सरदार वल्लभभाई पटेल उसने ताकत का परिचय दिया और आपकी आजादी को पक्का कर दिया। आज दूसरा गुजराती बेटा आपकी समृद्धि के लिए आया है, आपके विकास के लिए आया है, आपकी पढाई के लिए आया है। हमने तेलंगाना में नेशनल हाईवेज, नई रेल लाइनों, नए अस्पतालों का निर्माण किया है। भाजपा सरकार ने यहां BRS सरकार को तेलंगाना के विकास के लिए भारी धनराशि भी दी है। लेकिन दुर्भाग्य से, BRS ने तेलंगाना के लोगों के लिए भेजा गया पैसा बीच में ही लूट लिया। लूट सके तो लूट यही उनका मंत्र है।

ना कुटुम्भ सभ्युल्लारा,
भारत जैसे लोकतांत्रिक देश में प्रजा का महत्व होना चाहिए, परिवारवादियों का नहीं। और इन्होंने तो लोकतंत्र को लूट तंत्र बना दिया है, प्रजा तंत्र को परिवार तंत्र बना दिया है। तेलंगाना के निर्माण के लिए हजारों परिवार संघर्ष करते-करते तबाह हुए, अनेकों नौजवानों ने अपना बलिदान दिया। माताओं-बहनों ने मुसीबतें झेलीं। लेकिन एक परिवार ने सबकुछ कब्जा कर लिया और उन परिवारों को पूछने वाला कोई नहीं है। तेलंगाना में बस एक ही परिवार ने, यहां के लाखों परिवारों के सपनों पर कब्जा कर लिया है। वर्तमान तेलंगाना में या तो केसीआर खुद हैं, उनके बेटे हैं, उनकी बेटी हैं या उनके भतीजे हैं या उनके भांजे हैं या चाहे उनके ससुराल वाले हैं। कोई बचा ही नहीं है, बस यही काम, लूटो। क्या आपने कभी सोचा है कि वो कैसे आपके एक वोट का उपयोग केवल अपने परिवार को अमीर बनाने में कर रहे हैं। इन लोगों ने तेलंगाना में भाई-भतीजावाद और भ्रष्टाचार को बढ़ावा दिया है।

ना कुटुम्भ सभ्युल्लारा,
परिवारवाद का सबसे बड़ा नुकसान, देश के युवा को उठाना पड़ता है। जब पूरा सिस्टम एक परिवार की सेवा में लगा रहता है, तब वो परिवार सिस्टम में top से लेकर bottom तक उन्हीं लोगों की भर्ती करता है, जो उनके करीबी हों। तेलंगाना के नौजवानों को वो अवसर नहीं मिलता है। फिर किसी भी महत्वपूर्ण पद पर तेलंगाना के तेजस्वी युवा को मौका नहीं मिल पाता। इन लोगों से अलग, बीजेपी एक ऐसी पार्टी है जो किसी विशेष परिवार के बजाय सामान्य मानवी और उसके परिवार के लिए काम करती है।

ना कुटुम्भ सभ्युल्लारा,
तेलंगाना के लोगों को ये कांग्रेस से भी बहुत सावधान रहना है। ये तो बड़े खिलाड़ी हैं। इनको देश, समाज कुछ लेना देना नहीं है। और पूरा हिंदुस्तान कांग्रेस नकार चुका है। जिस राज्य में कांग्रेस एक बार चली जाती है, वहां फिर उसका सरकार में वापस लौटना मुश्किल होता है। इसलिए कांग्रेस की कोशिश किसी भी तरह वोटों का बंटवारा करने का कांट्रैक्ट लिया है। और बीआरएस कांग्रेस को वोटो बटवाड़ा कराने के लिए तिजोरी खुली करके बैठ गई है। पर्दे के बीच खेल चल रहा है। बैकडोर इंट्री ये बीआरएस और कांग्रेस की भरपूर चल रही है। इसके लिए वो राज्य की अन्य कमजोर पार्टियों को अपना सहारा बना रहे है। आज जब तेलंगाना में BRS की हार तय है BRS का पराजय तय है, BRS का जाना तय है, तो कांग्रेस ने पर्दे के पीछे BRS से गठबंधन कर लिया है। कर्नाटका चुनाव में BRS ने कांग्रेस की जमकर मदद की थी और अब इस चुनाव में कांग्रेस अपना कर्ज उतार रही है, क्योंकि कर्नाटक में भरपूर खजाना ये तेलंगाना की जनता से लूटा हुआ माल कर्नाटक में कांग्रेस को दे दिया गया ताकि वहां कांग्रेस जीत जाए फिर उसको मिलकर तेलंगाना में खेल जाए।

मैं आज पहली बार एक रहस्य खोलने जा रहा हूं। खोल दूं, सच बता दूं, बता दूं भाइयों, पहले कभी नहीं बताया, आज बता देता हूं। और मेरे पत्रकार मित्रों से भी कहता हूं जांच करवा लेना। शत-प्रतिशत सच बताने आया हूं मैं आज। जब हैदराबाद म्युनिसिपल कारपोरेशन का इलेक्शन हुआ भारतीय जनता पार्टी 48 सीटें जीत करके आ गई। किसी को बहुमत नहीं मिला। केसीआर को सपोर्ट की जरूरत थी। और आपने देखा होगा हैदराबाद कारपोरेशन के चुनाव के पहले वो एयरपोर्ट पर पूरी फौज लेकरके मेरा स्वागत करने आते थे। बढिया-बढिया माला पहनाते थे। बहुत सम्मान करते थे। याद है न। फिर क्या हुआ। अचानक बंद हो गए। अचानक इतना गुस्सा क्यों निकल रहा है। इसका कारण ये है कि हैदराबाद चुनाव के बाद, ये भी तारीख चेक कर लें मीडिया वाले। वो दिल्ली मुझे मिलने आए। बहुत बढिया मुझे शॉल ओढाई। बहुत मुझे आदर किया। और इतना प्यार दिखाया, इतना प्यार दिखाया, ये केसीआर के कैरेक्टर में ही नहीं है। और फिर मुझे कहने लगे कि आपके नेतृत्व में देश प्रगति कर रहा है। हम भी एनडीए का हिस्सा बनना चाहते हैं। आप हमें एनडीए में शामिल कर दीजिए। मैंने कहा- आगे क्या। बोले हैदराबाद म्युनिसिपालिटी में हमारी मदद कर दीजिए। मैंने केसीआर से कहा, आपके कारनामे ऐसे हैं कि मोदी आपके साथ जुड़ नहीं सकता। हैदराबाद में हमें विपक्ष में बैठना पड़ेगा तो बैठेंगे, केसीआर सरकार अगर हमारे कार्यकर्ताओं पर जुल्म करेगी तो जुल्म सहेंगे, लेकिन हम तेलंगाना की जनता से दगा नहीं कर सकते हैं। भले तेलंगाना की जनता ने हैदराबाद हमें पूर्ण बहुमत नहीं दिया लेकिन 48 सीट भी तेलंगाना का भाग्य बदलने की शुरुआत है। और मैंने उसने हर प्रकार से मदद करने से इंकार कर दिया। उनको एनडीए में एंट्री देने से इंकार कर दिया। उसके बाद उनका दिमाग फटका। फिर तो वो भांति-भांति से दूर भागने लगे। मैं भ्रष्टाचार के सवाल पूछने लगा। फिर एक बार दोबारा आए, वो मुझे कह रहे कि मोदी जी मैंने बहुत काम कर लिया अब मैं सारा कारोबार केटीआर को दे देना चाहता हूं, मैं एक बार केटीआर को भेजूंगा, आप जरा आशीर्वाद दे देना। ये उन्होंने मुझसे कहा। मैंने कहा कि केसीआर, ये लोकतंत्र है तुम कौन होते हो बेटे को राजगद्दी दे दो, तुम राजा-महाराजा हो क्या। अरे तेलंगाना की जनता तय करेगी किसको बिठाना है किसको नहीं बिठाना है। बस वो दिन आखिरी था। उसके बाद एक बार भी वो मेरे आंखें नहीं मिला पा रहे हैं। मेरा परछाया भी देखने की हिम्मत नहीं बची उनकी। आपने देखा, अभी मैं सरकारी कार्यक्रम करके आया, कोई भी भ्रष्टाचारी मेरे बगल में बैठ करके मेरा ताप सहन नहीं कर सकता है, इसीलिए भाग रहे हैं ये।

मेरे परिवारजनों,
कांग्रेस ने अब एक नई बात शुरू की है। ये तो मैंने केसीआर का पुराण बताया। अब कांग्रेस ने सत्ता भूख के लिए, सत्ता हथियाने के लिए एक नई भाषा बोलना शुरू किया है। नई बातें बोलना शुरू किया है। आजकल क्या कह रहे हैं। जितनी आबादी उतना हक। मैं जरा पूछना चाहता हूं कि जिन्होंने ये वाक्य लिखकर दिया है उन्होंने सोचा है क्या जब तुम कह रहे हो तो कांग्रेस की मूलभूत नीतियों पर ही सवाल खड़ा कर रहे हो। जब आप कहते हो कि जितनी आबादी उतना हक। इसका मतलब ये हुआ कि अब कांग्रेस घोषणा करे, क्या आप अल्पसंख्यकों विरोधी हैं क्या। कांग्रेस स्पष्ट करे, आप दक्षिण भारत के विरोधी है क्या। मैं सिद्ध करता हूं, उनकी ये नई सोच दक्षिण भारत के साथ घोर अन्याय करने वाली सोच है। ये नई सोच माइनारिटी के पीठ में छुरा घोंपने वाली सोच है। आजकल देश में अगले डी-लिमिटेशन की चर्चा हो रही है। आपको मालूम है न। 25 साल के बाद पार्लियामेंट की सीटें कितनी होगी, इसका निर्णय जूडिशियरी करती है। और इसके कारण जहां जनसंख्या कम है उसकी सीटें कम हो जाती है। जहां जनसंख्या ज्यादा है उनकी सीटें बढ़ जाती है। अब हमारे दक्षिण भारत के सभी राज्य ने जनसंख्या वृद्धि को रोकने में देश की बहुत बड़ी मदद की है। अब कांग्रेस का नारा ऐसा है कि जिसकी जितनी आबादी उतना उसका हक। इसका मतलब कांग्रेस अब दक्षिण भारत के संसद सदस्यों की संख्या कम करने का नाटक करने जा रही है। खेल खेलने जा रही है। क्या दक्षिण भारत इसको स्वीकार करेगा। क्या दक्षिण भारत कांग्रेस की इस चाल को स्वीकार करेगा। क्या दक्षिण भारत कांग्रेस को माफ करेगा। इस विषय पर मैं कांग्रेस के नेताओं को साफ कहता हूं देश को मूर्ख मत बनाओ, स्पष्ट करो, क्या कारण है, दक्षिण भारत के राज्यों को अन्याय करने के खेल खेले जा रहे हैं। और इंडी गठबंधन के दूसरे दलों से भी मैं कहूंगा हिम्मत है तो कांग्रेस से पूछिए कि वो किस रास्ते पर जा रही है। मैं दूसरा सवाल पूछता हूं जो कहते हैं, जितनी आबादी उतना हक। मैं कांग्रेस को सवाल पूछता हूं साउथ के अंदर, खासकरके तमिलनाडु में मंदिरों पर सरकार का हक है। सरकार ने कब्जा कर लिया है। मंदिरों की संपत्ति को सरकारी मिलीभगत में हड़प लिया जा रहा है। मंदिरों को तो लूटा जा रहा है, मंदिरों पर तो कब्जा किया गया है लेकिन minorities के पूजा स्थल को हाथ नहीं लगाते हैं। सरकार के नियंत्रण में नहीं लेते हैं।

अब कांग्रेस ने जो नारा दिया है। कांग्रेस ने कहा कि जितनी आबादी उतना हक, अगर यही आपका मंत्र है, यही सिद्धांत है तो क्या minorities के जितने पूजा स्थल हैं उनको ये दक्षिण के आपके सारे साथी जब्त करेंगे क्या। उनका कब्जा करेंगे क्या। उनकी प्रापर्टी को लोगों के काम लाएंगे क्या। नहीं लाएंगे। मैं दूसरे सवाल पूछता हूं कांग्रेस से। ये जो नारा देते हैं तो क्या कांग्रेस और उसके साथी खासकरके तमिलनाडु क्या वो वहां हिंदू मंदिरों को जो कब्जा किया जा रहा है, हस्तक्षेप किया जा रहा है। दक्षिण के अधिकतर राज्यों में यही खेल चलाहै। जब आप कहते हैं जितनी आबादी उतना हक तो क्या ये हक हिंदुओं को आप वापिस देंगे क्या। जवाब दीजिए। ये झूठी बातें मत करिए। लोगों को भ्रमित करने का खेल खेलना बंद कर दीजिए। कांग्रेस को इंडी एलायंस को इस बारे में अपना स्टैंड साफ करना चाहिए। कांग्रेस के साथी जो तमिलनाडु में राज करते हैं, जो केरल में राज करते हैं, जो तेलंगाना में राज करते हैं, जो कर्नाटका में राज करते हैं, ये सारे साथियों को कांग्रेस से बात-जवाब देना पड़ेगा।

साथियों,
आज देश में सबसे बड़ी जरूरतमंद, जिनको डगर-डगर पर मदद की जरूरत है, वो कौन है हमारे देश के गरीब परिवार हैं। अगर आज इस देश की सबसे बड़ी जाति है तो वो जाति गरीब है। और इन गरीबों की सबसे बड़ी जाति उनकी सेवा, उनका कल्याण, उनकी प्रगति, यही सच्चा सामाजिक न्याय है। हमारी सरकार ने पिछले 9 सालों से गरीब कल्याण के लिए दिन रात मेहनत की है। और इसके परिणाम भी सामने आ रहे हैं। नीति आयोग की रिपोर्ट कहती है कि पिछले पांच वर्षों में साढ़े तेरह करोड़ लोगों को गरीबी से बाहर लेने का पवित्र काम हमने किया है। और इसीलिए मेरे लिए तो जाति अगर कोई है। देश की सबसे बड़ी जाति कोई है तो गरीब है। और अगर गरीब को गरीबी से बाहर निकालेंगे न तो ये देश समृद्ध होने से कोई रोक नहीं पाएगा। और यही मोदी का सपना है। यही मोदी की गारंटी है। यही मोदी का संकल्प है। यही मोदी की हमारी साधना है। यही मोदी की तपस्या है। और मैं अन्य सभी राजनीतिक दलों से भी आव्हान करता हूं। हाथ जोड़ करके मैं देश के सभी राजनेताओं को, सभी दल के मुखियाओं को, सभी पोलिटिकल पार्टियों को कहता हूं आइए, आजादी 57 साल हो गए, आइए, गरीबों के कल्याण के लिए विचार करें, गरीबों की भलाई के लिए विचार करें, गरीबों की भलाई के लिए योजनाएं बनाएं, गरीबों के उत्थान के लिए काम करें।

ना कुटुम्भ सभ्युल्लारा,
तेलंगाना विरोधी ये लोग चुनाव से पहले जनता को कुछ छोटे लाभ देकर अगले पांच साल तक तेलंगाना को लूटने का आधिकार हासिल कर लेते हैं। हमें तेलंगाना में इस परंपरा को उलट कर देना है, भाइयों-बहनों उसको रोकना है। रोकोगे क्या, रोकोगे क्या। तेलंगाना के भाइयों-बहनों मुझपर पांच साल भरोसा करो, ज्यादा नहीं कह रहा हूं, पांच साल भरोसा करो, इन्होंने जितना लूटा है न, मैं आपके चरणों में लाकर के रख दूंगा। आज भी कांग्रेस और BRS तेलंगाना के लोगों से विश्वासघात कर रही हैं। कई राज्यों में, कांग्रेस ने चुनाव से पहले ऐसे ही बड़े वादे किये थे और अब, उन्हें पूरा करने के लिए 15 अलग-अलग शर्त रख रही है। यहां BRS ने भी बेरोजगार युवाओं को भत्ता देने का झूठा वायदा किया। कांग्रेस और BRS का रवैया बिल्कुल एक समान है। चुनाव से पहले आसमानी वादे करो और चुनाव के बाद सारे वादे भूलकर अपनी तिजोरी भरो।

ना कुटुम्भ सभ्युल्लारा,
बीजेपी का track record अपने वायदे पूरे करने का है। पिछले कुछ महीनों से, आप सब देख रहे हैं कि केंद्र सरकार लाखों युवाओं को नौकरी देने के लिए रोजगार मेले का आयोजन कर रही है। इसकी घोषणा पिछले साल ही हुई थी। इस मेले के जरिए, 6 लाख युवाओं को सरकारी नौकरी के नियुक्ति पत्र दिए जा चुके हैं। तेलंगाना के युवाओं को भी इसके जरिए लोगों की सेवा का अवसर मिला है। यहां के युवा ये देख रहे हैं कि ये पूरी प्रक्रिया बिना रुकावट और पारदर्शी तरीके से की गई है। तेलंगाना में से एक भी शिकायत नहीं आई है कि नौकरी मिली, लेकिन किसी को मोदी को पैसा पहुंचाना पड़ा, ऐसी एक घटना नहीं आई है। इसलिए BRS के युवा-विरोधी रवैये और इसकी सरकार को यहां के युवा करारा जवाब देने का मन बना चुके हैं। मेरी बात सही है न। मेरी बात सही है न। युवाओं ने तय कर लिया है न, ये जाएगा न, बीआरएस जाएगी न, पक्का जाएगी न। मैं तेलंगाना के युवाओं से भी कहूंगा। हमारे युवाओं को निराश होने की जरूरत नहीं है, मेरे नौजवान साथियों, ये मोदी की गारंटी है, आपको निराश होने की जरूरत नहीं है, भाजपा सरकार आते ही, BRS के पापों को मैं एक-एक खोल करके रख दूंगा। उनकी सारी बुराइयों को निकाल करके रहूंगा। और अभियान के तौर पर करके रहूंगा। क्योंकि मैं अपनी आंखों से देख रहा हूं, कैसे लूट रहे हैं। यहां के युवाओं के लिए, केंद्र सरकार ने दो दिन पहले ही एक Central Tribal University की स्थापना का ऐलान किया है। इस विश्वविद्यालय का नाम आदिवासी देवियों सम्मक्का-सारक्का के नाम पर रखा जाएगा। इस पर करीब 900 करोड़ रुपए खर्च होंगे।

ना कुटुम्भ सभ्युल्लारा,
तेलंगाना के किसान आज उपेक्षित महसूस कर रहे हैं। BRS government ने उनके साथ किए हर वादे को तोड़ा है। BRS सरकार ने किसानों से कर्जमाफी का वादा किया पर कोई भी ठोस कदम नहीं उठाया। यहां सिंचाई परियोजनाओं को लेकर बड़ी घोषणाएं की गईं। लेकिन या तो उन्हें पूरा नहीं किया गया या फिर बिना तैयार किए उनका उद्घाटन कर दिया गया। दूसरी तरफ, पिछले कुछ वर्षों में, भाजपा ने ना सिर्फ किसानों की मदद का वादा किया बल्कि 40 लाख किसानों के खातों में करीब 10 हजार करोड़ रुपये ट्रांसफर किए। हमने MSP बढ़ाने का वादा किया और उसे भी पूरा किया। ये मोदी की गारंटी है, पूरा करके रहता है।

ना कुटुम्भ सभ्युल्लारा,
हर जिले के किसी एक उत्पाद को बढ़ावा देने के लिए, उसका उत्पादन और एक्सपोर्ट बढ़ाने के लिए केंद्र सरकार One District One Product योजना चला रही है। इस योजना के तहत निजामाबाद में हल्दी को प्रमोट किया जा रहा है। और जब हल्दी की बात आती है न, मैं खास करके तेलंगाना की बहनों को आज शत-शत नमन करना चाहता हूं। मैं तेलंगाना की किसान माताओं के चरण अपने माथा पर लेता हूं। उस चरण रज से मैं अपने आप को एक पवित्र प्रसाद के रूप में ले रहा हूं। क्योंकि सिर्फ तेलंगाना की माताएं-बहनें, हल्दी की खेती में दिवस-रात मेहनत करती है, इतना ही नहीं, वो खेती की पैदावार करती है, ऐसा नहीं, लेकिन कोविड के समय हल्दी ने दुनिया के बहुत लोगों को राहत दी है। पूरी दुनिया में हल्दी पहुंची है। दुनिया को बीमारी से मुक्त रखने का काम ये मेरे तेलंगाना की और मेरे देश की हल्दी पैदा करने वाली माता-बहनों ने की है। और इसीलिए मैं उन्हें नमन करता हूं। और इसीलिए दो दिन पहले महबूबनगर में ही मैंने इससे जुड़ी एक बड़ी घोषणा की है। हमने किसानों से किया एक और वायदा पूरा किया है। हल्दी उगाने वाले किसान भाइयों के लिए, उनके विकास के लिए अब देश में ‘National Turmeric Board’ का गठन किया जाएगा। ये बोर्ड हल्दी की उपज को देश और दुनिया के अलग-अलग हिस्सों में विस्तार देने में मदद करेगा। इस निर्णय का बड़ा लाभ तेलंगाना के किसानों को भी होगा। मैं एक बार फिर तेलंगाना के किसानों को, निजामाबाद के किसानों को और खास करके हल्दी के खेत में काम करने वाली मेरी लाखों माताओं-बहनों को आज ‘National Turmeric Board’ की बधाई देता हूं।

ना कुटुम्भ सभ्युल्लारा,
आप बीजेपी को एक मौका दीजिए। मुझे आपकी सेवा करने का मौका चाहिए। देंगे, मुझे सेवा करने का मौका देंगे, मुझे आपके दुख दूर करने का मौका देंगे। मुझे आपकी कमाई को पाई-पाई बचाने का मौका देंगे। मुझे आपका भला करने का मौका देंगे। मुझे तेलंगाना के नौजवानों, यूथ का भला करने का मौका देंगे। हम दिखाएंगे कि तेलंगाना कितनी ऊंचाई पर जा सकता है। बीजेपी तेलंगाना के विकास के लिए पूरी ईमानदारी से काम करेगी। तेलंगाना में डबल इंजन की सरकार बन गई तो यहां विकास डबल तेजी से होगा। बीजेपी तेलंगाना की लूट बंद करेगी। बीजेपी तेलंगाना के युवाओं को नए अवसर देगी। बीजेपी तेलंगाना की महिलाओं को मान-सम्मान और सुरक्षा देगी। बीजेपी तेलंगाना में ईमानदार और पारदर्शी शासन लाएगी।

ना कुटुम्भ सभ्युल्लारा,
चाहे गरीब हो, युवा हो, महिलाएं हों या किसान हो, भाजपा समाज के हर वर्ग के कल्याण को लेकर प्रतिबद्ध है। मुझे यकीन है कि तेलंगाना के लोग अभूतपूर्व स्नेह और सहयोग का आशीर्वाद हमें देते रहेंगे। मैं भाजपा के प्रत्येक कार्यकर्ता से भी कहूंगा- हर बूथ को जीतिए, हर बूथ पर लोगों का दिल जीतिए। कमल घर-घर पहुंचे, कमल हर दिल में पहुंचे। कमल के दिल में तेलंगाना का हर नागरिक और तेलंगाना के हर नागरिक के दिल में कमल। हम मिलकर, तेलंगाना के लोगों की आकांक्षाओं को पूरा करेंगे। इसी विश्वास के साथ, इतनी बड़ी तादाद में आपका आना, यही हवा का रुख बता देता है। बहुत-बहुत धन्यवाद।
मेरे साथ जोर से बोलिए-
भारत माता की, भारत माता की, भारत माता की। बहुत-बहुत धन्यवाद।

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Text Of Prime Minister Narendra Modi addresses BJP Karyakartas at Party Headquarters
November 23, 2024
Today, Maharashtra has witnessed the triumph of development, good governance, and genuine social justice: PM Modi to BJP Karyakartas
The people of Maharashtra have given the BJP many more seats than the Congress and its allies combined, says PM Modi at BJP HQ
Maharashtra has broken all records. It is the biggest win for any party or pre-poll alliance in the last 50 years, says PM Modi
‘Ek Hain Toh Safe Hain’ has become the 'maha-mantra' of the country, says PM Modi while addressing the BJP Karyakartas at party HQ
Maharashtra has become sixth state in the country that has given mandate to BJP for third consecutive time: PM Modi

जो लोग महाराष्ट्र से परिचित होंगे, उन्हें पता होगा, तो वहां पर जब जय भवानी कहते हैं तो जय शिवाजी का बुलंद नारा लगता है।

जय भवानी...जय भवानी...जय भवानी...जय भवानी...

आज हम यहां पर एक और ऐतिहासिक महाविजय का उत्सव मनाने के लिए इकट्ठा हुए हैं। आज महाराष्ट्र में विकासवाद की जीत हुई है। महाराष्ट्र में सुशासन की जीत हुई है। महाराष्ट्र में सच्चे सामाजिक न्याय की विजय हुई है। और साथियों, आज महाराष्ट्र में झूठ, छल, फरेब बुरी तरह हारा है, विभाजनकारी ताकतें हारी हैं। आज नेगेटिव पॉलिटिक्स की हार हुई है। आज परिवारवाद की हार हुई है। आज महाराष्ट्र ने विकसित भारत के संकल्प को और मज़बूत किया है। मैं देशभर के भाजपा के, NDA के सभी कार्यकर्ताओं को बहुत-बहुत बधाई देता हूं, उन सबका अभिनंदन करता हूं। मैं श्री एकनाथ शिंदे जी, मेरे परम मित्र देवेंद्र फडणवीस जी, भाई अजित पवार जी, उन सबकी की भी भूरि-भूरि प्रशंसा करता हूं।

साथियों,

आज देश के अनेक राज्यों में उपचुनाव के भी नतीजे आए हैं। नड्डा जी ने विस्तार से बताया है, इसलिए मैं विस्तार में नहीं जा रहा हूं। लोकसभा की भी हमारी एक सीट और बढ़ गई है। यूपी, उत्तराखंड और राजस्थान ने भाजपा को जमकर समर्थन दिया है। असम के लोगों ने भाजपा पर फिर एक बार भरोसा जताया है। मध्य प्रदेश में भी हमें सफलता मिली है। बिहार में भी एनडीए का समर्थन बढ़ा है। ये दिखाता है कि देश अब सिर्फ और सिर्फ विकास चाहता है। मैं महाराष्ट्र के मतदाताओं का, हमारे युवाओं का, विशेषकर माताओं-बहनों का, किसान भाई-बहनों का, देश की जनता का आदरपूर्वक नमन करता हूं।

साथियों,

मैं झारखंड की जनता को भी नमन करता हूं। झारखंड के तेज विकास के लिए हम अब और ज्यादा मेहनत से काम करेंगे। और इसमें भाजपा का एक-एक कार्यकर्ता अपना हर प्रयास करेगा।

साथियों,

छत्रपति शिवाजी महाराजांच्या // महाराष्ट्राने // आज दाखवून दिले// तुष्टीकरणाचा सामना // कसा करायच। छत्रपति शिवाजी महाराज, शाहुजी महाराज, महात्मा फुले-सावित्रीबाई फुले, बाबासाहेब आंबेडकर, वीर सावरकर, बाला साहेब ठाकरे, ऐसे महान व्यक्तित्वों की धरती ने इस बार पुराने सारे रिकॉर्ड तोड़ दिए। और साथियों, बीते 50 साल में किसी भी पार्टी या किसी प्री-पोल अलायंस के लिए ये सबसे बड़ी जीत है। और एक महत्वपूर्ण बात मैं बताता हूं। ये लगातार तीसरी बार है, जब भाजपा के नेतृत्व में किसी गठबंधन को लगातार महाराष्ट्र ने आशीर्वाद दिए हैं, विजयी बनाया है। और ये लगातार तीसरी बार है, जब भाजपा महाराष्ट्र में सबसे बड़ी पार्टी बनकर उभरी है।

साथियों,

ये निश्चित रूप से ऐतिहासिक है। ये भाजपा के गवर्नंस मॉडल पर मुहर है। अकेले भाजपा को ही, कांग्रेस और उसके सभी सहयोगियों से कहीं अधिक सीटें महाराष्ट्र के लोगों ने दी हैं। ये दिखाता है कि जब सुशासन की बात आती है, तो देश सिर्फ और सिर्फ भाजपा पर और NDA पर ही भरोसा करता है। साथियों, एक और बात है जो आपको और खुश कर देगी। महाराष्ट्र देश का छठा राज्य है, जिसने भाजपा को लगातार 3 बार जनादेश दिया है। इससे पहले गोवा, गुजरात, छत्तीसगढ़, हरियाणा, और मध्य प्रदेश में हम लगातार तीन बार जीत चुके हैं। बिहार में भी NDA को 3 बार से ज्यादा बार लगातार जनादेश मिला है। और 60 साल के बाद आपने मुझे तीसरी बार मौका दिया, ये तो है ही। ये जनता का हमारे सुशासन के मॉडल पर विश्वास है औऱ इस विश्वास को बनाए रखने में हम कोई कोर कसर बाकी नहीं रखेंगे।

साथियों,

मैं आज महाराष्ट्र की जनता-जनार्दन का विशेष अभिनंदन करना चाहता हूं। लगातार तीसरी बार स्थिरता को चुनना ये महाराष्ट्र के लोगों की सूझबूझ को दिखाता है। हां, बीच में जैसा अभी नड्डा जी ने विस्तार से कहा था, कुछ लोगों ने धोखा करके अस्थिरता पैदा करने की कोशिश की, लेकिन महाराष्ट्र ने उनको नकार दिया है। और उस पाप की सजा मौका मिलते ही दे दी है। महाराष्ट्र इस देश के लिए एक तरह से बहुत महत्वपूर्ण ग्रोथ इंजन है, इसलिए महाराष्ट्र के लोगों ने जो जनादेश दिया है, वो विकसित भारत के लिए बहुत बड़ा आधार बनेगा, वो विकसित भारत के संकल्प की सिद्धि का आधार बनेगा।



साथियों,

हरियाणा के बाद महाराष्ट्र के चुनाव का भी सबसे बड़ा संदेश है- एकजुटता। एक हैं, तो सेफ हैं- ये आज देश का महामंत्र बन चुका है। कांग्रेस और उसके ecosystem ने सोचा था कि संविधान के नाम पर झूठ बोलकर, आरक्षण के नाम पर झूठ बोलकर, SC/ST/OBC को छोटे-छोटे समूहों में बांट देंगे। वो सोच रहे थे बिखर जाएंगे। कांग्रेस और उसके साथियों की इस साजिश को महाराष्ट्र ने सिरे से खारिज कर दिया है। महाराष्ट्र ने डंके की चोट पर कहा है- एक हैं, तो सेफ हैं। एक हैं तो सेफ हैं के भाव ने जाति, धर्म, भाषा और क्षेत्र के नाम पर लड़ाने वालों को सबक सिखाया है, सजा की है। आदिवासी भाई-बहनों ने भी भाजपा-NDA को वोट दिया, ओबीसी भाई-बहनों ने भी भाजपा-NDA को वोट दिया, मेरे दलित भाई-बहनों ने भी भाजपा-NDA को वोट दिया, समाज के हर वर्ग ने भाजपा-NDA को वोट दिया। ये कांग्रेस और इंडी-गठबंधन के उस पूरे इकोसिस्टम की सोच पर करारा प्रहार है, जो समाज को बांटने का एजेंडा चला रहे थे।

साथियों,

महाराष्ट्र ने NDA को इसलिए भी प्रचंड जनादेश दिया है, क्योंकि हम विकास और विरासत, दोनों को साथ लेकर चलते हैं। महाराष्ट्र की धरती पर इतनी विभूतियां जन्मी हैं। बीजेपी और मेरे लिए छत्रपति शिवाजी महाराज आराध्य पुरुष हैं। धर्मवीर छत्रपति संभाजी महाराज हमारी प्रेरणा हैं। हमने हमेशा बाबा साहब आंबेडकर, महात्मा फुले-सावित्री बाई फुले, इनके सामाजिक न्याय के विचार को माना है। यही हमारे आचार में है, यही हमारे व्यवहार में है।

साथियों,

लोगों ने मराठी भाषा के प्रति भी हमारा प्रेम देखा है। कांग्रेस को वर्षों तक मराठी भाषा की सेवा का मौका मिला, लेकिन इन लोगों ने इसके लिए कुछ नहीं किया। हमारी सरकार ने मराठी को Classical Language का दर्जा दिया। मातृ भाषा का सम्मान, संस्कृतियों का सम्मान और इतिहास का सम्मान हमारे संस्कार में है, हमारे स्वभाव में है। और मैं तो हमेशा कहता हूं, मातृभाषा का सम्मान मतलब अपनी मां का सम्मान। और इसीलिए मैंने विकसित भारत के निर्माण के लिए लालकिले की प्राचीर से पंच प्राणों की बात की। हमने इसमें विरासत पर गर्व को भी शामिल किया। जब भारत विकास भी और विरासत भी का संकल्प लेता है, तो पूरी दुनिया इसे देखती है। आज विश्व हमारी संस्कृति का सम्मान करता है, क्योंकि हम इसका सम्मान करते हैं। अब अगले पांच साल में महाराष्ट्र विकास भी विरासत भी के इसी मंत्र के साथ तेज गति से आगे बढ़ेगा।

साथियों,

इंडी वाले देश के बदले मिजाज को नहीं समझ पा रहे हैं। ये लोग सच्चाई को स्वीकार करना ही नहीं चाहते। ये लोग आज भी भारत के सामान्य वोटर के विवेक को कम करके आंकते हैं। देश का वोटर, देश का मतदाता अस्थिरता नहीं चाहता। देश का वोटर, नेशन फर्स्ट की भावना के साथ है। जो कुर्सी फर्स्ट का सपना देखते हैं, उन्हें देश का वोटर पसंद नहीं करता।

साथियों,

देश के हर राज्य का वोटर, दूसरे राज्यों की सरकारों का भी आकलन करता है। वो देखता है कि जो एक राज्य में बड़े-बड़े Promise करते हैं, उनकी Performance दूसरे राज्य में कैसी है। महाराष्ट्र की जनता ने भी देखा कि कर्नाटक, तेलंगाना और हिमाचल में कांग्रेस सरकारें कैसे जनता से विश्वासघात कर रही हैं। ये आपको पंजाब में भी देखने को मिलेगा। जो वादे महाराष्ट्र में किए गए, उनका हाल दूसरे राज्यों में क्या है? इसलिए कांग्रेस के पाखंड को जनता ने खारिज कर दिया है। कांग्रेस ने जनता को गुमराह करने के लिए दूसरे राज्यों के अपने मुख्यमंत्री तक मैदान में उतारे। तब भी इनकी चाल सफल नहीं हो पाई। इनके ना तो झूठे वादे चले और ना ही खतरनाक एजेंडा चला।

साथियों,

आज महाराष्ट्र के जनादेश का एक और संदेश है, पूरे देश में सिर्फ और सिर्फ एक ही संविधान चलेगा। वो संविधान है, बाबासाहेब आंबेडकर का संविधान, भारत का संविधान। जो भी सामने या पर्दे के पीछे, देश में दो संविधान की बात करेगा, उसको देश पूरी तरह से नकार देगा। कांग्रेस और उसके साथियों ने जम्मू-कश्मीर में फिर से आर्टिकल-370 की दीवार बनाने का प्रयास किया। वो संविधान का भी अपमान है। महाराष्ट्र ने उनको साफ-साफ बता दिया कि ये नहीं चलेगा। अब दुनिया की कोई भी ताकत, और मैं कांग्रेस वालों को कहता हूं, कान खोलकर सुन लो, उनके साथियों को भी कहता हूं, अब दुनिया की कोई भी ताकत 370 को वापस नहीं ला सकती।



साथियों,

महाराष्ट्र के इस चुनाव ने इंडी वालों का, ये अघाड़ी वालों का दोमुंहा चेहरा भी देश के सामने खोलकर रख दिया है। हम सब जानते हैं, बाला साहेब ठाकरे का इस देश के लिए, समाज के लिए बहुत बड़ा योगदान रहा है। कांग्रेस ने सत्ता के लालच में उनकी पार्टी के एक धड़े को साथ में तो ले लिया, तस्वीरें भी निकाल दी, लेकिन कांग्रेस, कांग्रेस का कोई नेता बाला साहेब ठाकरे की नीतियों की कभी प्रशंसा नहीं कर सकती। इसलिए मैंने अघाड़ी में कांग्रेस के साथी दलों को चुनौती दी थी, कि वो कांग्रेस से बाला साहेब की नीतियों की तारीफ में कुछ शब्द बुलवाकर दिखाएं। आज तक वो ये नहीं कर पाए हैं। मैंने दूसरी चुनौती वीर सावरकर जी को लेकर दी थी। कांग्रेस के नेतृत्व ने लगातार पूरे देश में वीर सावरकर का अपमान किया है, उन्हें गालियां दीं हैं। महाराष्ट्र में वोट पाने के लिए इन लोगों ने टेंपरेरी वीर सावरकर जी को जरा टेंपरेरी गाली देना उन्होंने बंद किया है। लेकिन वीर सावरकर के तप-त्याग के लिए इनके मुंह से एक बार भी सत्य नहीं निकला। यही इनका दोमुंहापन है। ये दिखाता है कि उनकी बातों में कोई दम नहीं है, उनका मकसद सिर्फ और सिर्फ वीर सावरकर को बदनाम करना है।

साथियों,

भारत की राजनीति में अब कांग्रेस पार्टी, परजीवी बनकर रह गई है। कांग्रेस पार्टी के लिए अब अपने दम पर सरकार बनाना लगातार मुश्किल हो रहा है। हाल ही के चुनावों में जैसे आंध्र प्रदेश, अरुणाचल प्रदेश, सिक्किम, हरियाणा और आज महाराष्ट्र में उनका सूपड़ा साफ हो गया। कांग्रेस की घिसी-पिटी, विभाजनकारी राजनीति फेल हो रही है, लेकिन फिर भी कांग्रेस का अहंकार देखिए, उसका अहंकार सातवें आसमान पर है। सच्चाई ये है कि कांग्रेस अब एक परजीवी पार्टी बन चुकी है। कांग्रेस सिर्फ अपनी ही नहीं, बल्कि अपने साथियों की नाव को भी डुबो देती है। आज महाराष्ट्र में भी हमने यही देखा है। महाराष्ट्र में कांग्रेस और उसके गठबंधन ने महाराष्ट्र की हर 5 में से 4 सीट हार गई। अघाड़ी के हर घटक का स्ट्राइक रेट 20 परसेंट से नीचे है। ये दिखाता है कि कांग्रेस खुद भी डूबती है और दूसरों को भी डुबोती है। महाराष्ट्र में सबसे ज्यादा सीटों पर कांग्रेस चुनाव लड़ी, उतनी ही बड़ी हार इनके सहयोगियों को भी मिली। वो तो अच्छा है, यूपी जैसे राज्यों में कांग्रेस के सहयोगियों ने उससे जान छुड़ा ली, वर्ना वहां भी कांग्रेस के सहयोगियों को लेने के देने पड़ जाते।

साथियों,

सत्ता-भूख में कांग्रेस के परिवार ने, संविधान की पंथ-निरपेक्षता की भावना को चूर-चूर कर दिया है। हमारे संविधान निर्माताओं ने उस समय 47 में, विभाजन के बीच भी, हिंदू संस्कार और परंपरा को जीते हुए पंथनिरपेक्षता की राह को चुना था। तब देश के महापुरुषों ने संविधान सभा में जो डिबेट्स की थी, उसमें भी इसके बारे में बहुत विस्तार से चर्चा हुई थी। लेकिन कांग्रेस के इस परिवार ने झूठे सेक्यूलरिज्म के नाम पर उस महान परंपरा को तबाह करके रख दिया। कांग्रेस ने तुष्टिकरण का जो बीज बोया, वो संविधान निर्माताओं के साथ बहुत बड़ा विश्वासघात है। और ये विश्वासघात मैं बहुत जिम्मेवारी के साथ बोल रहा हूं। संविधान के साथ इस परिवार का विश्वासघात है। दशकों तक कांग्रेस ने देश में यही खेल खेला। कांग्रेस ने तुष्टिकरण के लिए कानून बनाए, सुप्रीम कोर्ट के आदेश तक की परवाह नहीं की। इसका एक उदाहरण वक्फ बोर्ड है। दिल्ली के लोग तो चौंक जाएंगे, हालात ये थी कि 2014 में इन लोगों ने सरकार से जाते-जाते, दिल्ली के आसपास की अनेक संपत्तियां वक्फ बोर्ड को सौंप दी थीं। बाबा साहेब आंबेडकर जी ने जो संविधान हमें दिया है न, जिस संविधान की रक्षा के लिए हम प्रतिबद्ध हैं। संविधान में वक्फ कानून का कोई स्थान ही नहीं है। लेकिन फिर भी कांग्रेस ने तुष्टिकरण के लिए वक्फ बोर्ड जैसी व्यवस्था पैदा कर दी। ये इसलिए किया गया ताकि कांग्रेस के परिवार का वोटबैंक बढ़ सके। सच्ची पंथ-निरपेक्षता को कांग्रेस ने एक तरह से मृत्युदंड देने की कोशिश की है।

साथियों,

कांग्रेस के शाही परिवार की सत्ता-भूख इतनी विकृति हो गई है, कि उन्होंने सामाजिक न्याय की भावना को भी चूर-चूर कर दिया है। एक समय था जब के कांग्रेस नेता, इंदिरा जी समेत, खुद जात-पात के खिलाफ बोलते थे। पब्लिकली लोगों को समझाते थे। एडवरटाइजमेंट छापते थे। लेकिन आज यही कांग्रेस और कांग्रेस का ये परिवार खुद की सत्ता-भूख को शांत करने के लिए जातिवाद का जहर फैला रहा है। इन लोगों ने सामाजिक न्याय का गला काट दिया है।

साथियों,

एक परिवार की सत्ता-भूख इतने चरम पर है, कि उन्होंने खुद की पार्टी को ही खा लिया है। देश के अलग-अलग भागों में कई पुराने जमाने के कांग्रेस कार्यकर्ता है, पुरानी पीढ़ी के लोग हैं, जो अपने ज़माने की कांग्रेस को ढूंढ रहे हैं। लेकिन आज की कांग्रेस के विचार से, व्यवहार से, आदत से उनको ये साफ पता चल रहा है, कि ये वो कांग्रेस नहीं है। इसलिए कांग्रेस में, आंतरिक रूप से असंतोष बहुत ज्यादा बढ़ रहा है। उनकी आरती उतारने वाले भले आज इन खबरों को दबाकर रखे, लेकिन भीतर आग बहुत बड़ी है, असंतोष की ज्वाला भड़क चुकी है। सिर्फ एक परिवार के ही लोगों को कांग्रेस चलाने का हक है। सिर्फ वही परिवार काबिल है दूसरे नाकाबिल हैं। परिवार की इस सोच ने, इस जिद ने कांग्रेस में एक ऐसा माहौल बना दिया कि किसी भी समर्पित कांग्रेस कार्यकर्ता के लिए वहां काम करना मुश्किल हो गया है। आप सोचिए, कांग्रेस पार्टी की प्राथमिकता आज सिर्फ और सिर्फ परिवार है। देश की जनता उनकी प्राथमिकता नहीं है। और जिस पार्टी की प्राथमिकता जनता ना हो, वो लोकतंत्र के लिए बहुत ही नुकसानदायी होती है।

साथियों,

कांग्रेस का परिवार, सत्ता के बिना जी ही नहीं सकता। चुनाव जीतने के लिए ये लोग कुछ भी कर सकते हैं। दक्षिण में जाकर उत्तर को गाली देना, उत्तर में जाकर दक्षिण को गाली देना, विदेश में जाकर देश को गाली देना। और अहंकार इतना कि ना किसी का मान, ना किसी की मर्यादा और खुलेआम झूठ बोलते रहना, हर दिन एक नया झूठ बोलते रहना, यही कांग्रेस और उसके परिवार की सच्चाई बन गई है। आज कांग्रेस का अर्बन नक्सलवाद, भारत के सामने एक नई चुनौती बनकर खड़ा हो गया है। इन अर्बन नक्सलियों का रिमोट कंट्रोल, देश के बाहर है। और इसलिए सभी को इस अर्बन नक्सलवाद से बहुत सावधान रहना है। आज देश के युवाओं को, हर प्रोफेशनल को कांग्रेस की हकीकत को समझना बहुत ज़रूरी है।

साथियों,

जब मैं पिछली बार भाजपा मुख्यालय आया था, तो मैंने हरियाणा से मिले आशीर्वाद पर आपसे बात की थी। तब हमें गुरूग्राम जैसे शहरी क्षेत्र के लोगों ने भी अपना आशीर्वाद दिया था। अब आज मुंबई ने, पुणे ने, नागपुर ने, महाराष्ट्र के ऐसे बड़े शहरों ने अपनी स्पष्ट राय रखी है। शहरी क्षेत्रों के गरीब हों, शहरी क्षेत्रों के मिडिल क्लास हो, हर किसी ने भाजपा का समर्थन किया है और एक स्पष्ट संदेश दिया है। यह संदेश है आधुनिक भारत का, विश्वस्तरीय शहरों का, हमारे महानगरों ने विकास को चुना है, आधुनिक Infrastructure को चुना है। और सबसे बड़ी बात, उन्होंने विकास में रोडे अटकाने वाली राजनीति को नकार दिया है। आज बीजेपी हमारे शहरों में ग्लोबल स्टैंडर्ड के इंफ्रास्ट्रक्चर बनाने के लिए लगातार काम कर रही है। चाहे मेट्रो नेटवर्क का विस्तार हो, आधुनिक इलेक्ट्रिक बसे हों, कोस्टल रोड और समृद्धि महामार्ग जैसे शानदार प्रोजेक्ट्स हों, एयरपोर्ट्स का आधुनिकीकरण हो, शहरों को स्वच्छ बनाने की मुहिम हो, इन सभी पर बीजेपी का बहुत ज्यादा जोर है। आज का शहरी भारत ईज़ ऑफ़ लिविंग चाहता है। और इन सब के लिये उसका भरोसा बीजेपी पर है, एनडीए पर है।

साथियों,

आज बीजेपी देश के युवाओं को नए-नए सेक्टर्स में अवसर देने का प्रयास कर रही है। हमारी नई पीढ़ी इनोवेशन और स्टार्टअप के लिए माहौल चाहती है। बीजेपी इसे ध्यान में रखकर नीतियां बना रही है, निर्णय ले रही है। हमारा मानना है कि भारत के शहर विकास के इंजन हैं। शहरी विकास से गांवों को भी ताकत मिलती है। आधुनिक शहर नए अवसर पैदा करते हैं। हमारा लक्ष्य है कि हमारे शहर दुनिया के सर्वश्रेष्ठ शहरों की श्रेणी में आएं और बीजेपी, एनडीए सरकारें, इसी लक्ष्य के साथ काम कर रही हैं।


साथियों,

मैंने लाल किले से कहा था कि मैं एक लाख ऐसे युवाओं को राजनीति में लाना चाहता हूं, जिनके परिवार का राजनीति से कोई संबंध नहीं। आज NDA के अनेक ऐसे उम्मीदवारों को मतदाताओं ने समर्थन दिया है। मैं इसे बहुत शुभ संकेत मानता हूं। चुनाव आएंगे- जाएंगे, लोकतंत्र में जय-पराजय भी चलती रहेगी। लेकिन भाजपा का, NDA का ध्येय सिर्फ चुनाव जीतने तक सीमित नहीं है, हमारा ध्येय सिर्फ सरकारें बनाने तक सीमित नहीं है। हम देश बनाने के लिए निकले हैं। हम भारत को विकसित बनाने के लिए निकले हैं। भारत का हर नागरिक, NDA का हर कार्यकर्ता, भाजपा का हर कार्यकर्ता दिन-रात इसमें जुटा है। हमारी जीत का उत्साह, हमारे इस संकल्प को और मजबूत करता है। हमारे जो प्रतिनिधि चुनकर आए हैं, वो इसी संकल्प के लिए प्रतिबद्ध हैं। हमें देश के हर परिवार का जीवन आसान बनाना है। हमें सेवक बनकर, और ये मेरे जीवन का मंत्र है। देश के हर नागरिक की सेवा करनी है। हमें उन सपनों को पूरा करना है, जो देश की आजादी के मतवालों ने, भारत के लिए देखे थे। हमें मिलकर विकसित भारत का सपना साकार करना है। सिर्फ 10 साल में हमने भारत को दुनिया की दसवीं सबसे बड़ी इकॉनॉमी से दुनिया की पांचवीं सबसे बड़ी इकॉनॉमी बना दिया है। किसी को भी लगता, अरे मोदी जी 10 से पांच पर पहुंच गया, अब तो बैठो आराम से। आराम से बैठने के लिए मैं पैदा नहीं हुआ। वो दिन दूर नहीं जब भारत दुनिया की तीसरी सबसे बड़ी अर्थव्यवस्था बनकर रहेगा। हम मिलकर आगे बढ़ेंगे, एकजुट होकर आगे बढ़ेंगे तो हर लक्ष्य पाकर रहेंगे। इसी भाव के साथ, एक हैं तो...एक हैं तो...एक हैं तो...। मैं एक बार फिर आप सभी को बहुत-बहुत बधाई देता हूं, देशवासियों को बधाई देता हूं, महाराष्ट्र के लोगों को विशेष बधाई देता हूं।

मेरे साथ बोलिए,

भारत माता की जय,

भारत माता की जय,

भारत माता की जय,

भारत माता की जय,

भारत माता की जय!

वंदे मातरम, वंदे मातरम, वंदे मातरम, वंदे मातरम, वंदे मातरम ।

बहुत-बहुत धन्यवाद।