QuoteThe strong government of the NDA in 2014 worked to strengthen the national security of our country and as a result India’s repute on the world stage has grown steadily: PM Modi in Maharashtra
QuoteOur government drove the country’s development across two paths simultaneously; one, to improve the lives of our people and secondly, to create modern infrastructure for the 21st century India: PM Modi
QuoteThe people of Maharashtra will no longer support the Congress and its Mahamilawati allies for giving derogatory statements about our armed forces: Prime Minister Modi

भारत माता की जय

भारत माता की जय

चुनाव के दिनों में मैं हमारी पार्टी के सभी वरिष्ठ नेताओं से रिक्वेस्ट करता रहता हूं की चुनाव में हम सब कार्यकर्ता एक समान है, कोई प्रोटोकॉल की जरूरत नहीं होती है। लेकिन हमारे देवेंद्र जी प्रोटोकॉल के बड़े पक्के है इसीलिए वो इधर-उधर मेहनत कर के भी पहुंच जाते है। अभी उनको नंदुरबार जाना था तो फिर से वो इजाजत ले के दौड़े, मैं उनको समझाता था की भाई कोई जरूरत नहीं है सब जगह पर कहीं आप जाइए कहीं मैं चला जाऊंगा लेकिन वो प्रोटोकॉल का पालन करने वाले व्यक्ति है। लेकिन मैं हमेशा कहता हूं चुनाव के दिनों में हर एक की शक्ति का इतना उपयोग होता है की लेकिन वो बड़े शिष्ट कार्यकर्ता हैं।

मंच पर विराजमान महायुति के सभी वरिष्ठ नेतागण और इतनी बड़ी तादाद में आए हुए मेरे प्यारे भाइयो और बहनो। साथियो,  डिंडोरी, नासिक और धुले, सब दूर से आए हुए हमें आशीर्वाद देने आए हुए, आपके इस स्नेह के कारण अच्छों- अच्छों की घबराहट, उनका बीपी तेज हो गया होगा, वो बौखलाए जा रहे हैंआपने देखा होगा, मैंने तो देश की सुरक्षा, वंशवाद, भ्रष्टाचार, उन बातों को लेता हूं और दूसरी तरफ विकास की चर्चा करता हूं लेकिन कुछ लोगों को जैसे ही मैं वंशवाद बोलता हूं, भ्रष्टाचार बोलता हूं, देश की सुरक्षा की बात करता हूं। मैं  बोलता यहां हूं और उनको बिजली का करंट वहां लगता है।  और फिर करंट लगता है तो कैसा मुंह से कुछ ना कुछ निकलता है। ऐसा उनके मुंह से भी गाली-गलौज, ये दौर चुनाव के पहले दो चरण के बाद तो ये जरा और तेज हो गया है पहले दिन में 50 गाली देते थे अब 100 दे रहे हैं।  

पहले ऊंची आवाज में बोलते अब चीख-चीख कर बोल रहे हैं और उसका कारण क्या है, मालूम है? पहले दो चरण के मतदान ने देशभर से जो संदेश आ रहे हैं,  इनको अपनी जमीन खिसकती नजर आ रही है

साथियो, साल 2014 में महायुती भारतीय जनता पार्टी-एनडीए की एक मजबूत सरकार बनाने में आप सभी का बहुत बड़ा योगदान रहा है। आपके आशीर्वाद का ही असर है की आज दुनिया भर में भारत की साख नई उंचाई पर है, अब कोई भी भारत को आंख उठा कर देखने से पहले 100 बार सोचता है। ये आपको सही लगती है मेरी बात, मैंने जो कहा सही लगता है आपको?  मेरी बात में भरोसा है? आपको अगर याद होगा, जब मैं 2013 -2014 में जब मैं चुनाव लड़ रहा था, पहली बार लोकसभा का चुनाव लड़ रहा था, पहली बार देश के सामने अपनी बात लेकर के गया था तो सारे देश में खासकर के हमारे दिल्ली में एक जमात है। वो बैठ कर के दिन में एक सरकार बनाते हैं और तीसरे दिन गिराते हैं, तो उनके खेल चलते रहते हैं तो जैसे ही मेरा चुनाव लड़ना तय हुआ तो उन्होंने एक एजेंडा सेट किया। मोदी जहां जाएगा कोई भी इंटरव्यू करेगा तो उसको पूछेंगे की तुम्हें विदेश नीति तो मालूम नहीं है तुम गुजरात के बाहर कुछ जानते नहीं हो ये दुनिया के लोगों से तुम कैसे बात करोगे?  देश की विदेश नीति का क्या होगा? दुनिया में हिन्दुस्तान की इज्जत का क्या होगा?  ये सवाल मुझे पूछते थे। तब मैंने कहा देखो भाई मैं ज्यादा बहुत जनता नहीं हूं, नया हूं सिखने का प्रयास करूंगा लेकिन मैं  इतना वादा करता हूं  की हम न आंख झुकाकर बात करेंगे न आंख उठाकर के बात करेंगे, हम आंख में आंख मिलाकर बात करेंगे ये मैंने 2013-14 में कहा था। उस समय शायद मेरी बात लोगों को लगा हो की यार मोदी ने बड़ा शानदार डायलॉग मारा, ऐसा लगा होगा। लेकिन आज 5 साल के बाद क्या हर हिन्दुस्तानी दुनिया के 7 फुट वाला इंसान होगा तो भी, चमड़ी का कोई भी रंग होगा तो भी, आंख में आंख मिलाकर बात कर सकता है की नहीं कर सकता है? कर सकता है की नहीं कर सकता है?  

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भाइयो-बहनो, ना सिर्फ सरकार, हर हिन्दुस्तानी सीना तान के खड़ा हुआ है। ये कैसे हुआ? ये इतना बड़ा दुनिया में जय-जय कार कैसे हुआ? इधर कुछ हो नहीं रहा है ये महिलाएं उधर देख रही हैं। ये कैसे हुआ? मोदी, मोदी, मोदी आप कर रहे हैं, मोदी ने नहीं किया है ये आपके एक वोट की ताकत है वोट की ताकत, आपने सही बटन दबाया दुनिया के सामने हिन्दुस्तान ताकत बन के खड़ा हो गया, ये ताकत है आपके वोट की। ये आपके एक वोट की ताकत है की आज भारत अपने सामने मौजूद चुनौतियों का डटकर मुकाबला कर रहा है। आप पिछले एक हफ्ते की घटनाओं को देख लीजिए, इस दौरान आस-पास के देशों में कई बम फूटे, कल भी श्रीलंका में सीरियल बम ब्लास्ट हुए, सैकड़ों लोग मारे गए और वो भी ईस्टर के पवित्र दिन, जब चर्च में लोग इकट्ठा होकर के दिव्यात्मा की अनुभूति कर रहे थे, दिव्यात्मा में लीन थे, शांति का संदेश दे रहे थे तब नर राक्षसों ने आ कर के उन्हें मौत के घाट उतार दिया। उनका कोई गुनाह नहीं था, कोई दोष नहीं था वे अपनी आस्था के अनुसार दिव्यात्मा का स्मरण करते हुए, उसके रास्ते पर चलने का संकल्प ले रहे थे

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साथियो, आप याद कीजिए, 2014 से पहले भारत की स्थिति क्या थी। आए दिन देश के अलग-अलग कोने में बम धमाके होते थे की नहीं होते थे? कभी मुंबई में बम धमाका, कभी पुणे में बम धमाका, कभी हैदराबाद में बम धमाका, कभी काशी में बम धमाका, कभी अयोध्या में बम धमाका, कभी जम्मू में बम धमाका होता था की नहीं होता था? और तब यहां कांग्रेस और एनसीपी की सरकार और अपने को बड़ा खैर-खा मानने वाले लोग यहां बैठे थे सरकार में, बड़े अनुभवी बताने वाले बैठे थे। सरकार क्या करती थी उस समय? बम धमाके होते थे क्या करते थे ये लोग? श्रद्धांजलि सभाएं करते थे और क्या करते थे, शोक मनाते थे।  उनकी सरकार दुनियाभर में पाकिस्तान के नाम पर रोती रहती थी, देखिए पाकिस्तान हमारे देश में आ के ऐसा करता है, देखिए पाकिस्तान हमारे देश में ऐसा करता है। लेकिन आपके इस चौकीदार ने क्या किया? आपके इस चौकीदार ने कांग्रेस-एनसीपी सरकारों की इस डरपोक रीति- नीति को बदल दिया। हमने आतंक की फैक्ट्री में, आतंक की फैक्ट्री में घुस कर बिना किसी भेद-भाव सफा चट कर के आ गए, परिणाम आपके सामने है। आज आतंकवाद, जो कभी हिन्दुस्तान के हर कोने में बम धमाका करने की ताकत रखता था । धीरे-धीरे सिकुड़ता-सिकुड़ता जम्मू- कश्मीर के कुछ ही क्षेत्र में सिमट गया है और वहां भी कोई हफ्ता ऐसा नहीं जाता है हमारे जवान उनको खोज कर के रात भर गोलियां चलाते हैं और सुबह होते-होते खेल पूरा कर देते हैं। आज हर आतंकी को पता है कि अगर देश के किसी हिस्से में बम धमाका किया, तो ये मोदी है ये उन्हें पाताल में भी खोजकर सजा देगा,  और उनके आकाओं को भी खत्म कर के रहेगा।

भाइयो-बहनो, आपने जो मजबूत सरकार 2014 में बनाई थी, उसने सुरक्षा की गारंटी तो दी ही थी विकास का झंडा भी बुलंद किया है। हमारी सरकार ने देश के विकास को दो पटरियों पर एक साथ चलाया है। एक सामान्य मानवी के जीवन स्तर को ऊपर उठाना और दूसरा 21वीं सदी के लिए जैसा भारत हम बनाना चाहते हैं। विश्व स्तर की व्यवस्थाएं खड़ी करना चाहते हैं, उस प्रकार का इंफ्रास्ट्रक्चर का विकास करना। एक तरफ हम देश के हर गरीब परिवार को हर वर्ष 5 लाख रुपए तक का मुफ्त इलाज सुनिश्चित कर रहे हैं। वही दूसरी तरफ हर 3 संसदीय सीट के बीच में एक मेडिकल कॉलेज और एक बड़ा अस्पताल बनाने की दिशा में काम कर रहे हैं। इतना ही नहीं देश के गांवों में डेढ़ लाख, हिंदुस्तान के अंदर 6 लाख करीब-करीब गांव हैं। डेढ़ लाख गांवों में आधुनिक वैलनेस सेंटर बनाए जा रहे हैं यानी 4 गांव के बीच में एक बड़ी व्यवस्था, इसका एक बहुत बड़ा अभियान हम चला रहे हैं। स्वास्थ्य केंद्र भी ऐसे, जहां शुरुआती जांच हर प्रकार की हो जाए और फिर अगर जरूरत पड़े, बड़े अस्पताल में जाने की आवश्यकता है तभी उसको जितना जल्द हो सके पता चल जाए और उसको बड़ी हॉस्पिटल पहुंचाया जाए ताकि 3 महीने के बाद पता चले,  4 महीने के बाद पता चले बीमारी का और तब तक बहुत कुछ खो चुका हो। ऐसी परिस्थिति पैदा न हो ये काम हम शुरू कर रहे हैं, कई गांवों में काम हो चुका है।

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साथियो, एक तरफ हम तेज गति से गांव-गांव में सड़कें बना रहे हैं, वहीं देश के हर घर को रोशन करने के लिए मुफ्त बिजली कनेक्शन भी दे रहे हैं। एक तरफ हमने हर गरीब के बैंकों में खाते खुलवाए और दूसरी तरफ बैंकों के दरवाजे गरीबों के लिए, किसानों के लिए, पशुपालकों के लिए, मछुआरों के लिए खोल दिए। बिना गारंटी के ऋण आज स्वरोजगार के लिए आसानी से उपलब्ध है। एक तरफ हम डिजिटल लेन-देन के लिए देश को प्रोत्साहित कर रहे हैं, वहीं दूसरी तरफ अब गांव-गांव में डाकघरों में भी बैंकों में हम बदलाव ला रहे हैं। डाकिये के माध्यम से बैंक की सेवाओं को भी गांव, गरीब के दरवाजे पर खड़ा कर रहे हैं। अरसे बाद डाकियों के वेतन में भी उचित वृद्धि का काम भी हमारी ही सरकार ने किया है। इतना ही नहीं साथियो एक तरफ हम भारत माला और सागर माला के माध्यम से दो गुणी गति से हाईवे का विस्तार कर रहे हैं, तो दूसरी तरफ हम उड़ान योजना के माध्यम से नासिक जैसे शहरों में एयर कनेक्टिविटी बढ़ा रहे हैं।

साथियो, नासिक सहित पूरे महाराष्ट्र में समंदर के किनारे जो  बंदरगाह से कनेक्टिविटी है उसको मजबूत करने के लिए 200  से ज्यादा प्रोजेक्ट्स चल रहे हैं। नासिक को ड्राई पोर्ट की सुविधा भी मिलनी तय है। नासिक, जालना, वर्धा और सांगली में मल्टी लॉजिस्टिक पार्क बनाए जा रहे हैं। इनसे व्यापर की सुविधा होगी, उद्योग कारखाने लगेंगे, फूड प्रोसेसिंग सेंटर के लिए नए रास्ते खुलेंगे, अंगूर जैसे फलों के एक्सपोर्ट में मदद मिलेगी और युवाओं को नए अवसर भी मिलेंगे।  

साथियो, देश के हर व्यक्ति तक विकास पहुंचे ये प्रयास हमने किया है, किसान हो या फिर आदिवासी जीवन के हर चरण के लिए कुछ न कुछ किया है। आदिवासी बच्चों की पढ़ाई के लिए देशभर में एकलव्य मॉडल स्कूल खोले जा रहे हैं। आदिवासी युवाओं के खेल कौशल को निखारने के लिए आदिवासी क्षेत्रों में खेल से जुड़ी सुविधाएं बनाई जा रही हैं। आदिवासी हस्तशिल्प का प्रचार-प्रसार करने के लिए ऑनलाइन व्यवस्था को मजबूत किया गया है। आदिवासी साथियों की कमाई के लिए, वन उपजों को समर्थन मूल्य के दायरे में लाया गया है। वन उपजों का अधिक मूल्य मिले, इसके लिए वनधन केंद्र खोले जा रहे हैं।  

भाइयो और बहनो, अपने अन्नदाता, अपने किसानों के लिए हमारी सरकार ने बीज से बाजार तक एक मजबूत व्यवस्था तैयार करने का प्रयास किया है। 22 फसलों का लागत, लागत का डेढ़ गुणा समर्थन मूल्य देने का वादा हमारी सरकार ने पूरा किया है। यहां के किसानों को अब पीएम किसान सम्मान निधि से भी मदद मिलने का रास्ता खुला है। अनेक किसान परिवारों के खाते में पैसे आने शुरू हो चुके हैं। जिनको अभी नहीं मिले हैं उनको भी मिलना तय है। अब तो हमने फैसला किया है की 23 मई को, 23 मई को चुनाव के नतीजे आने वाले हैं, कल 23 अप्रैल है। मैं 23 मई की बात कर रहा हूं, 23मई को चुनाव के नतीजे आएंगे, फिर एक बार मोदी सरकार,फिर एक बार मोदी सरकार, 23 मई के बाद जब फिर एक बार मोदी सरकार आएगी तो महाराष्ट्र के सभी किसानों को ये मदद पहुंचाई जाएगी। अभी जो 5 एकड़ की जमीन का नियम है वो शर्त भी हटा दी जाएगी।  

साथियो, यहां के प्याज की खेती करने वाले किसानों की सुविधाएं बनाने पर भी सरकार का जोर है। सरकर द्वारा स्टोरेज की क्षमता बढ़ाने और प्याज के ट्रांसपोर्टेशन पर लगने वाले खर्च को कम करने का प्रयास किया जा रहा हैं। अभी मैं मंच पे पूछ रहा था क्यूंकि मैं गुजरात में था तो मेरा महाराष्ट्रीयन परिवारों में भोजन के लिए जाना-आना जरा ज्यादा होता था। तो साल में एक दिन वो एक त्यौहार बनाते थे और उस त्यौहार के दिन सब के सब लोग कांदा खाते थे, प्याज खाते थे, हर चीज प्याज की बनती थी पूरा दिन तो उस दिन मैं खास मराठी परिवार में जाता था तो मैं अभी इनको पूछ रहा था तो किसी ने कहा कोई चंपा षष्ठी बोलते हैं, अलग-अलग बोलते हैं। लेकिन देखिए समाज की व्यवस्था एक साथ प्याज को मार्केट देने का कैसा बढ़िया तरीका था। पूरे एक दिन में सभी लोग प्याज खाते थे और उसका परिणाम ये था ये प्याज को बहुत बड़ा मार्केट मिल जाता था। ऐसी एक परंपरा खड़ी हुई थी यानी हमारे पूर्वज कितने समझदार और दीर्घदृष्टि थे। मुझे गुजरात का अनुभव है और आदिवासियों में तो हमारे यहां आपके यहां पड़ोस में ही लोग है, ये अक्सर होता है। कहने का मतलब सामाजिक व्यवस्था में भी कृषि इकोनामी, एग्रीकल्चर इकोनामी इसका विशेष महत्व था।  

भाइयो और बहनो, मुझे पिछले दिनों जो पार्लियामेंट में आपके सारे विधायक और आपके एमपी हमारे सब मिलने आए थे और प्याज एक्सपोर्ट करने के विषय में विस्तार से मेरे से चर्चा की थी और जितने सुझाव दिए थे सारे मैंने लागू कर दिए थे। प्याज का एक्सपोर्ट बढ़ाने के लिए केंद्र सरकार ने एक्सपोर्ट इंसेंटिव को भी बढ़ा कर दो गुणा कर दिया है।  

साथियो, कांग्रेस में आपको कांग्रेस की एक चालाकी के बारे में भी बताना चाहता हूं। ये चालाकी ये है बिचौलियों को फायदा पहुंचाने  के लिए फसलों की कीमत से खेल करना। आपने देखा भाइयो जैसे ही महंगाई जरा भी बढ़ती है, कांग्रेस अपने दरबारियों को मध्यम वर्ग की गृहणियों के पास भेज कर के इंटरव्यू करवाती है। और फिर वो चिल्लाती हैं दाम बढ़ गया, दाम बढ़ गया और पूरे  देश में चला देते हैं। उस वक़्त उसे किसान याद नहीं आता है और अगर दाम गिर जाते हैं। प्याज के दाम कम हो गए, टमाटर का दाम कम हो गए तो फिर क्या करते किसान के पास पहुंच जाते है और टीवी पर उनकी बाइट लेते हैं और किसान कहता है देखो हम लूट गए, लूट गए। ये ऐसे बदमाशी करते थे, महंगाई बढ़ी तो हाउस वाइफ को पूछो।  अगर प्याज, आलू , टमाटर का दाम गिरा तो किसान को पूछो लेकिन जो बिचौलिये, जो माल खा जाते हैं उनकी बात छुपा देते थे और आपकी मुसीबत का कारण उपभोक्ता नहीं है वो तो आवश्यक पैसे देने के लिए हमेशा तैयार होता है। आपकी मुसीबत का कारण किसान का पसीना नहीं है, आपकी मुसीबत का कारण ये बिचौलिये हैं बिचौलिये और मोदी ने लड़ाई जो लड़ी है ना ये बिचौलियों के खिलाफ लड़ी है। इतने वर्षों के राज में कांग्रेस ने किसान और उपभोक्ता के बीच सीधा संबंध कभी बनने नहीं दिया। अब हमारी सरकर बिचौलियों के राज को खत्म करने के लिए काम कर रही है। जैसे डेयरी सेक्टर में सरकारी संगठन होते हैं वैसे ही अन्य कृषि सेंटरों में फार्मर प्रोड्यूसर्स आर्गेनाईजेशन FPO  बनाए जा रहे हैं। देश में 22 हजार से ज्यादा ग्रामीण हाटों को विकसित किया जा रहा है। ये काम किसानों और ग्राहकों की बीच की दूरी को खत्म करेंगे और किसानों को उसकी मेहनत की उचित कीमत मिलेगी।  

साथियो, मुझे बताया गया है की कांग्रेस यहां नदियों के पानी को लेकर के तरह-तरह की अफवाह फैला रही है लोगों से झूठ  बोल कर के उन्हें गुमराह कर के वोट पाने का ये कांग्रेस का बहुत पुराना तरीका है। मैं इस क्षेत्र के लोगों से स्पष्ट कर देना चाहता हूं की आप लोगों की इच्छा के खिलाफ कोई कुछ नहीं करेगा और न ही कोई कुछ कर पाएगा। ये मैं आपको सार्वजनिक रूप से वादा करता हूं। इसीलिए जो कांग्रेस अफवाहएं फैला रही है, इतना ही नहीं HAL  के लिए अफवाहएं फैला रही है। अरे तुमने तो उसका गला घोट दिया सारे HAL  को खत्म कर दिया। हमने मेक इन इंडिया की तरह डिफेन्स की तरह हर चीज़ के उत्पादन बड़ा दिया है। नए- नए डिफेन्स कॉरिडोर बना रहे हैं, हम तो ताकत देने वाले है और मेरे शब्द लिखकर के रखिए 10 साल के भीतर-भीतर इसकी ताकत दो गुणा, तीन गुणा हो कर के रहने वाली है।  

साथियो, देश की सुरक्षा, सम्मान और स्वाभिमान की चौकीदारी आपके हाथ में है। आपको इस चौकीदार को मजबूत करना है।  डिंडोरी और धुले में कमल के निशान पर और नासिक में धनुष-बाण पर बटन दबाएंगे तो आपका हर वोट मोदी के खाते में आएगा।  

भाइयो-बहनो, आप मुझे कहिए हमारा देश मजबूत होना चाहिए  की नहीं होना चाहिए? आज की दुनिया में देश मजबूत होना जरुरी है की नहीं है? मजबूत देश के लिए मजबूत सरकार  चाहिए की नहीं चाहिए? मजबूत सरकार चाहिए की नहीं चाहिए? और मजबूत देश की सरकार चलाने के लिए मजबूत प्रधानमंत्री  भी होना चाहिए की नहीं होना चाहिए? मुझे बताइए आज ये जितने चेहरे आप देख रहे हो, उसमें किस पर भरोसा है आपका, किस पर भरोसा है, गांव में किसी को भी पूछ लीजिए किस पर भरोसा है? तो जिस पर भरोसा है उसको देश का कमान दोगे या जिस पर भरोसा ही नहीं है उस पर प्रयोग करोगे? आपको जिस पर भरोसा है उसकी ताकत बढ़ानी चाहिए की नहीं बढ़ानी चाहिए, इस चौकीदार को मजबूत करना चाहिए की नहीं करना चाहिए?  हर हिन्दुस्तानी चौकीदार बनना चाहिए की नहीं बनना चाहिए?  आप मेरे साथ संकल्प लेंगे, संकल्प लेंगे दोनों हाथ ऊपर कर के पूरी ताकत से बोलेंगे? मैं बोलूंगा उसके बाद आपको बोलना है चौकीदार। क्या बोलना है चौकीदार, क्या बोलना है चौकीदार।

अब मैं बोलूंगा आप बोलिए गांव-गांव है चौकीदार,  गांव-गांव है चौकीदार, भ्रष्टाचार के खिलाफ लड़ाई में चौकीदार, देश की सुरक्षा में चौकीदार,  गांव-गांव है चौकीदार, शहर- शहर है चौकीदार, बच्चा- बच्चा चौकीदार, बड़े-बुजुर्ग भी चौकीदार, माता-बहने चौकीदार, घर-घर में है चौकीदार, खेत खलिहान में चौकीदार, बाग-बगान में चौकीदार, देश के अंदर चौकीदार, सरहद पर भी चौकीदार, डॉक्टर इंजीनियर चौकीदार, शिक्षक-प्रोफेसर चौकीदार, लेखक पत्रकार चौकीदार, कलाकार भी चौकीदार, किसान-कामगार चौकीदार, दुकानदार भी चौकीदार, वकील-व्यापारी चौकीदार, छात्र- छात्राएं चौकीदार, पूरा हिन्दुस्तान चौकीदार,  पूरा हिन्दुस्तान चौकीदार,  पूरा हिन्दुस्तान चौकीदार।

भारत माता की… जय

भारत माता की… जय

बहुत-बहुत धन्यवाद।

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PM reviews status and progress of TB Mukt Bharat Abhiyaan
May 13, 2025
QuotePM lauds recent innovations in India’s TB Elimination Strategy which enable shorter treatment, faster diagnosis and better nutrition for TB patients
QuotePM calls for strengthening Jan Bhagidari to drive a whole-of-government and whole-of-society approach towards eliminating TB
QuotePM underscores the importance of cleanliness for TB elimination
QuotePM reviews the recently concluded 100-Day TB Mukt Bharat Abhiyaan and says that it can be accelerated and scaled across the country

Prime Minister Shri Narendra Modi chaired a high-level review meeting on the National TB Elimination Programme (NTEP) at his residence at 7, Lok Kalyan Marg, New Delhi earlier today.

Lauding the significant progress made in early detection and treatment of TB patients in 2024, Prime Minister called for scaling up successful strategies nationwide, reaffirming India’s commitment to eliminate TB from India.

Prime Minister reviewed the recently concluded 100-Day TB Mukt Bharat Abhiyaan covering high-focus districts wherein 12.97 crore vulnerable individuals were screened; 7.19 lakh TB cases detected, including 2.85 lakh asymptomatic TB cases. Over 1 lakh new Ni-kshay Mitras joined the effort during the campaign, which has been a model for Jan Bhagidari that can be accelerated and scaled across the country to drive a whole-of-government and whole-of-society approach.

Prime Minister stressed the need to analyse the trends of TB patients based on urban or rural areas and also based on their occupations. This will help identify groups that need early testing and treatment, especially workers in construction, mining, textile mills, and similar fields. As technology in healthcare improves, Nikshay Mitras (supporters of TB patients) should be encouraged to use technology to connect with TB patients. They can help patients understand the disease and its treatment using interactive and easy-to-use technology.

Prime Minister said that since TB is now curable with regular treatment, there should be less fear and more awareness among the public.

Prime Minister highlighted the importance of cleanliness through Jan Bhagidari as a key step in eliminating TB. He urged efforts to personally reach out to each patient to ensure they get proper treatment.

During the meeting, Prime Minister noted the encouraging findings of the WHO Global TB Report 2024, which affirmed an 18% reduction in TB incidence (from 237 to 195 per lakh population between 2015 and 2023), which is double the global pace; 21% decline in TB mortality (from 28 to 22 per lakh population) and 85% treatment coverage, reflecting the programme’s growing reach and effectiveness.

Prime Minister reviewed key infrastructure enhancements, including expansion of the TB diagnostic network to 8,540 NAAT (Nucleic Acid Amplification Testing) labs and 87 culture & drug susceptibility labs; over 26,700 X-ray units, including 500 AI-enabled handheld X-ray devices, with another 1,000 in the pipeline. The decentralization of all TB services including free screening, diagnosis, treatment and nutrition support at Ayushman Arogya Mandirs was also highlighted.

Prime Minister was apprised of introduction of several new initiatives such as AI driven hand-held X-rays for screening, shorter treatment regimen for drug resistant TB, newer indigenous molecular diagnostics, nutrition interventions and screening & early detection in congregate settings like mines, tea garden, construction sites, urban slums, etc. including nutrition initiatives; Ni-kshay Poshan Yojana DBT payments to 1.28 crore TB patients since 2018 and enhancement of the incentive to ₹1,000 in 2024. Under Ni-kshay Mitra Initiative, 29.4 lakh food baskets have been distributed by 2.55 lakh Ni-kshay Mitras.

The meeting was attended by Union Health Minister Shri Jagat Prakash Nadda, Principal Secretary to PM Dr. P. K. Mishra, Principal Secretary-2 to PM Shri Shaktikanta Das, Adviser to PM Shri Amit Khare, Health Secretary and other senior officials.