Goa symbolizes the spirit of ‘Ek Bharat Shreshtha Bharat’: PM Modi
Modi guarantees that soon the Olympic Games will be held in India: PM Modi
Congress’s philosophy is ‘Loot, Zindagi ke Saath bhi, Zindagi ke Baad bhi: PM Modi

समेस्त गोयकारांक म्हजो नमस्कार !

2024 के इस ऐतिहासिक चुनाव में अभी तक 2 चरण की वोटिंग पूरी हो चुकी है। ज़मीन से आ रहे फीडबैक और आप जैसे मेरे परिवारजनों का उत्साह, एक ही संकेत दे रहा है, फिर एक बार- मोदी सरकार ! फिर एक बार- मोदी सरकार ! फिर एक बार- मोदी सरकार ! अब मैं जरा एक दूसरा नारा आप से बोलवाता हूँ, बोलेंगे आप, मैं बोलूंगा और आपको बोलना है, फिर एक बार ! ठीक है। गरीबों की सरकार...फिर एक बार। SC-ST-OBC की सरकार...फिर एक बार। युवा को अवसर देने वाली सरकार... फिर एक बार- मोदी सरकार ! महिलाओं को सुविधा देने वाली सरकार...फिर एक बार। फिशरमेन को समर्पित सरकार....फिर एक बार। टूरिज्म को बढ़ाने वाली सरकार...फिर एक बार। किसानों का कल्याण करने वाली सरकार..फिर एक बार। भारत को आधुनिक बनाने वाली सरकार, फिर एक बार।

भाइयों और बहनों,

मैं जब मंच पर आया,तो मैं तय नहीं कर पा रहा था कि चुनाव सभा है कि विजय सभा। आप का उमंग उत्साह देख करके लग रहा है कि जैसे आप विजय सभा organize किए है। भाइयों औऱ बहनों, गोवा, भारत भक्तों की भूमि है। हम भाई हेमंत सुमन जैसे सेनानियों को याद करते हैं, जिन्होंने यहां विदेशी सरकार के सेक्रेटेरिएट पर तिरंगा फहराया था। ये धरती जगन्नाथ राव जोशी जी जैसे सत्याग्रहियों की धरती है। गोवा के मंदिर जितने भव्य हैं, गोवा के चर्च भी उतने ही खूबसूरत हैं। एक भारत श्रेष्ठ भारत की बहुत ही सुंदर तस्वीर गोवा में दिखती है। और इसलिए पूरी दुनिया के लिए गोवा आकर्षण का केंद्र बना हुआ है। यहां आना एक सुखद अनुभव होता है।

भाइयों और बहनों,

चौबीस का ये चुनाव, दो धाराओं के बीच का चुनाव है। एक धारा NDA की है, जो देश के नागरिकों की Aspiration के लिए, काम करती है, जो धारा हर काम में पूर्णता को ले करके Saturation अप्रोच पर काम करती है। हमारे खिलाफ दूसरी धारा इंडी अलायंस की है, जो अपने स्वार्थ के लिए, अपने परिवार के लिए काम करती है। हमारी अप्रोच तुष्टिकरण की नहीं, हमारी अप्रोच संतुष्टिकरण की है। मुझे याद है, मैंने यहीं गोवा में पहली बार, भाजपा की इस सैचुरेशन अप्रोच पर विस्तार से बात की थी। सैचुरेशन अप्रोच यानि सबका साथ-सबका विकास। सैचुरेशन अप्रोच यानि बिना किसी भेदभाव, सभी को सरकारी योजनाओं का लाभ मिलना चाहिए। और हमारा गोवा तो इस सैचुरेशन अप्रोच का बेहतरीन मॉडल है। हमारे प्रमोद सावंत जी के नेतृत्व में, उनकी पूरी टीम ने सैचुरेशन अप्रोच को जिस प्रकार से जमीन पर उतारा है, यहां टॉयलेट कवरेज कितनी है- 100 परसेंट। यहां बिजली कवरेज कितनी है- 100 परसेंट। यहां एलपीजी कवरेज कितनी है- 100 परसेंट। यहां नल कनेक्शन कितने हैं- 100 परसेंट। औऱ यही तो सच्चा सेकुलरिज्म है। यही तो सच्चा सोशल जस्टिस है। इस Hundred percent गवर्नेंस की गारंटी से सबसे अधिक लाभ गरीब को हुआ है, हमारे किसान भाई बहन को हुआ है, हमारे मछुआरे भाई बहन को हुआ है, हमारी माताओं-बहनों को हुआ है।

साथियों,

पिछले 10 वर्षों में इतना सब कुछ काम हुआ है, लेकिन मोदी चैन से बैठता नही है। लोग परेशान हो जाते हैं, कि मोदी जी इतना दौड़ते क्यों हो? मोदी, मौज करने के लिए पैदा नहीं हुआ है। मोदी, मोदी दिन रात आपके सपनों को जीता है। आपके सपने ही मोदी के संकल्प हैं, और इसलिए मेरा पल-पल आपके नाम, मेरा पल-पल देश के नाम, 24 बाई सेवन फॉर 2047। इतने सारे काम हुए, अनगिनत काम मैं बता सकता हूँ, जीवन को कोई भी क्षेत्र उठा लिजिए, मैंने कुछ न कुछ अच्छा करने की कोशिश की होगी और पिछले 10 सालों में इतने सारे काम होने के बाद फिर भी मोदी दौडता है क्योंकि जो दस साल में मैंने किया है न इतना सारा किया है फिर भी मेरे हिसाब से तो ये ट्रेलर है, ये ट्रेलर है। अभी तो बहुत कुछ करना है, गोवा को, देश को बहुत आगे लेकर जाना है। और आप मोदी की गारंटी नोट करके रखिए। आने वाले साल में गरीबों के 3 करोड़ नए पक्के घर बनेंगे। और मेरी आपको एक रिक्वेस्ट है, मेरा एक काम करोगे, ऐसे नही, जरा तेज गति से बताओ। मेरा एक काम करोगे। देखिए चुनाव अभियान में आप घर-घर जाते होंगे, मोहल्ले में जाते होंगे, गांव में जाते होंगे। कहीं पर भी ऐसा परिवार ध्यान में आए कि जिसको अभी पक्का घर नहीं मिला है, हो सकता है गांव में पांच लोगों को मिल गया हो लेकिन एकाध छूट गया होगा, आप उनका नाम पता लिख लिजिए, मुझे भेज दिजिए, चार जून के बाद, नई सरकार बनने के बाद, मेरी तरफ से उनको कह देना, तीसरी बारी में उनका पक्का घर पक्का हो जाएगा। तो बता दोगे, औऱ ये मोदी की गारंटी है, उनको पक्का घर मिलेगा। और आप भी उसी विश्वास से कह देना कि आप का पक्का घर पक्का।

क्यों, मेरे लिए तो आप सब ही मोदी है। शहरों में जो हमारे मिडिल क्लास परिवार हैं, जो किराए पर रहते हैं, उनको मालिकी की मालिकन की हक वाला घर बनाने के लिए मदद दी जाएगी। ये मोदी की गारंटी, बता दीजिए। अभी तक हमने घर-घर सस्ते सिलेंडर का उज्ज्वला कनेक्शन पहुंचाया है। अब हम घर-घर पाइप से सस्ती गैस पहुंचाने के लिए तेज़ गति से काम करेंगे। अभी तक हमने करोड़ों गरीब परिवारों को 5 लाख रुपए तक का मुफ्त इलाज दिया है। अब हम गोवा के हर परिवार में जो बुजुर्ग हैं, सीनियर सिटीज़न हैं, जो सत्तर साल के ऊपर के हैं, और हम जानते हैं हमारे परिवारों में आजकल माता- पिता, दादा-दादी, नाना -नानी, बुजुर्ग को कोई न कोई बीमारी हो ही जाती है, सब कोई मोदी जैसे थोड़े ही होते हैं, कोई न कोई बीमारी हो जाती है औऱ जो घर में कमाने वाला बेटा होता है या बेटी होती है उसको अपने बच्चों को भी संभालना होता है, अपने बच्चे की भी चिंता करनी होती है औऱ ऊपर से माता पिता की बिमारी का खर्चा आ जाता है तो मध्यम वर्गीय परिवार को बहुत मुश्किल हो जाता है। तो आप घर घर जाकर बता दिजिए, उनसे फार्म भर दिजिए. सत्तर साल से ऊपर के कोई भी नागरिक होंगे अब उनका इलाज का खर्चा दिल्ली में जो आपका बेटा बैठा है न वो मोदी करेगा। ये मोदी की गारंटी है। तो आप जाकरके सबका फार्म भरवा देंगे सबका, हर एक का फार्म भरवा देंगे, हर एक का फार्म भरवा देंगे जो सत्तर साल से ऊपर के हैं। कर लेंगे? दूसरा उसमें जो 85 से ऊपर के होंगे,उनके लिए नियम हमने नया बनाया है उनको पोलिंग स्टेशन पर आने की जरूरत नहीं है वो अपने घर से वोट कर सकते हैं। जो दिव्यांग हैं वो अपने घर से वोट कर सकते हैं। औऱ इसके लिए मैं चाहूंगा कि सरकार के साथ मिल करके योजना बना करके, ऐसे लोगों का वोटिंग हो जाए।
साथियों, कहने का तात्पर्य ये है,कि मेरा गोवा का हर परिवार, हर फैमिली के पास इन सारी सुविधाओं के कारण पैसा बचेगा और वो अपने बच्चो के लिए खर्च कर पाएगें, उनकी बहुत बड़ी चिंता मोदी दूर कर देगा।

साथियों,

ये भाजपा सरकार है, आजादी के बाद पहली बार, अब आप मुझे बताइए, देश आजाद हुआ उसके पहले भी फिशरमैन थे, की नहीं थे? जरा जवाब दीजिए न, फिशरमैन थे की नहीं थे? राम के जमाने में भी मछुआरे थे कि नहीं थे? लेकिन देश आजाद होने के बाद, ये कांग्रेस सरकार वालों को कभी मछुआरों की याद नहीं आय़ी। ये मोदी है, जिसने आ करके फिशरीज सेक्टर का अलग मंत्रालय बनाया, अलग बजट बनाया। ताकि हमारे कोस्टल एरिया , हमारे मछुआरे भाई बहन, उनके जीवन में बदलाव आए। हमने मछुआरों को किसान क्रेडिट कार्ड दिया, हमने बोट्स को आधुनिक बनाने के लिए मदद दी। और अब भाजपा ने घोषणा की है कि फिशरमेन साथियों के लिए बीमा कवरेज को बढ़ाया जाएगा, insurance बढ़ाया जाएगा। बीजेपी सरकार फिशरमेन भाइ बहनों के लिए प्रोडक्शन और प्रोसेसिंग क्लस्टर भी बनाएगी। मछुआरों की आय बढ़ाने के लिए ऑर्गेनिक सी-वीड की खेती को बढ़ावा दिया जाएगा।

साथियों,

आज पूरी दुनिया भारत को जानना चाहती है, भारत को देखना चाहती है, हमारी विरासत के प्रति आकर्षित है। और इसलिए इंडी गठबंधन के 10 साल में जितने विदेशी टूरिस्ट भारत आए थे, मोदी के आने के बाद पहले की तुलना में करीब दो करोड़ ज्यादा विदेशी टूरिस्ट पिछले 10 साल में भारत आए हैं। इंडी अलायंस के 10 साल की तुलना में विदेशी टूरिस्ट्स से मिलने वाला फॉरेन एक्सचेंज मोद के काल खंड में double हो गया, double। इसका सबसे ज्यादा लाभ गोवा को ही मिलता है। इसमें बीजेपी सरकार की ई- टूरिस्ट वीजा की बड़ी भूमिका रही है। इन सबका फायदा गोवा के आप सभी भाई बहनों को हो रहा है। ये भाजपा की ही सरकार है, जिसने कोरोना के समय में पूरे देश में, आपको याद होना चाहिए, जब हमें वैक्सीन देने की बात आयी तो मैंने कहा सबसे पहले गोवा को मौका देना चाहिए। औऱ हिन्दुस्तान में सबसे पहले पूरे राज्य का वैक्सीनेशन, सभी नागरिकों का वैक्सीनेशन गोवा में हुआ था, क्यों? इसके पीछे कारण था, पोलिटिकल आदमी क्या सोचता भाई जहां चालीस पचास पार्लियामेंट की सीटें पहले वहां काम करो,ये दो सीट वाले हैं अभी जल्दी क्या है। मोदी सीट का हिसाब नहीं लगाता है, चुनाव का लेखा जोखा नहीं लगाता है, मुझे मालूम था, गोवा में अगर वैक्सीनेशन का काम हो जाता है तो टूरिस्ट यहां आने में जरा भी झिझक नहीं करेगा, और मेरा गोवा का टूरिज्म तुरंत चालू हो जाएगा। दिल्ली में बैठ करके, गोवा की इतनी बारीकी से चिंता करने वाली इसके पहले कभी कोई सरकार नही आयी होगी,ये मैं आपको दावा से कह सकता हूँ।

साथियों,

भाजपा, गोवा को इंटरनेशनल कॉनफरेन्स का भी एक बड़ा केंद्र बनाने में जुटी है। आजकल कॉनफरेन्स टूरिज्म बड़ा महत्व का है। आपने देखा होगा, स्पोर्टस भी टूरिज्म का सेंटर बन रहा है, आपने देखा होगा हमने ब्रिक्स समिट गोवा में की थी, हमने G-20 की कितनी शानदार मीटिंग्स यहां आर्गनाइज की थी औऱ पूरी दुनिया में हमने गोवा की ब्राडिंग, मार्केटिंग का प्रयास किया। हमने ब्रिक्स देशों का फुटबाल कम्पीटिशन भी यही गोवा में किया। हमारी सरकार गोवा के इंफ्रास्ट्रक्चर पर बहुत काम कर रही है। गोवा के दोनों एयरपोर्ट्स से यहां टूरिज्म को औऱ आजकल मैं एक नया मिशन लेकर चला हूँ, वो भी गोवा के लिए ही है, मैं हर किसी को कहता हूँ ‘वेड इन इंडिया’। शादी करने के लिए दुनिया में जाकरके रूपए बरबाद करने क जरूरत नहीं है, मेरे देश में गोवा जैसी शानदार जगह है, शादियां यहां होनी चाहिए, और मेरा मूवमेंट है वेड इन इंडिया ताकि मेरे यहां के लोगों को रोजी रोटी मिले। जुआरी ब्रिज और वंदे भारत ट्रेन जैसी सुविधाएं, गोवा की कनेक्टिविटी को और सशक्त कर रही हैं। आयुष अस्पताल से, यहां वेलनेस को भी बढ़ावा मिल रहा है।

साथियों,

ये हमारा गोवा फुटबॉल की धरती है। और इसलिए भारत में ओलंपिक हों, ये गोवा का कौन नौजवान नहीं चाहता है। मैं गोवा के खेल प्रेमियों को ये भी गारंटी देता हूं- भारत में ओलंपिक हो, आपका ये सपना भी हम जरूर पूरा करेंगे, ये मैं आपको वादा करता हूँ।

साथियों,

गोवा को विकास की नई ऊंचाई पर ले जाने के इन प्रयासों के बीच, कांग्रेस और उसके साथी हर तरफ देश में Negativity फैलाने में जुटी है। कांग्रेस, सिर्फ वोट बैंक के लिए एक भारत श्रेष्ठ भारत की भावना का, हमारे संविधान का अपमान कर रही है। इससे जुड़ा एक बड़ा खुलासा गोवा में कांग्रेस के कैंडिडेट ने भी किया है। इस खुलासे ने कांग्रेस की सच्चाई बता दी है, उसका हिडन एजेंडा बाहर लाए हैं कि देश का संविधान उसके लिए कोई मायने नहीं रखता।

साथियों,

ये वोटबैंक के लिए कांग्रेस की सोची-समझी साजिश है। और ये अकेली घटना नहीं है। देश को बांटने वाली बात कर्नाटका के कांग्रेस सांसद ने भी कही है। कांग्रेस की यही सोच है, जिसके कारण 70 साल तक जम्मू कश्मीर में आर्टिकल-370 बना रहा। जिसके कारण, देश सालों-साल तक आतंकवाद की आग में जलता रहा। आपके एक वोट ने, आर्टिकल-370 को जमीन के भीतर दफना दिया, दोस्तों। वो इतिहास के पन्नों पर जड़ गया। और मेरे मित्र, मनोहर पर्रिकर आज हमारे बीच होते, तो शायद ये खबर उनके लिए खुशी की खबर होती। लेकिन इंडी-गठबंधन आर्टिकल-370 को भी वापस लाने की बात कर रही है। मुझे बताइए, मेरे गोवा के भाई बहन, क्या आर्टिकल 370 वापस लाने देंगे क्या? कांग्रेस के मंसूबे पार होने देंगे क्या?

साथियों,

कांग्रेस, वोट बैंक के तुष्टिकरण के लिए खतरनाक खेल में जुटी है। कांग्रेस धर्म के आधार पर आरक्षण देना चाहती है। कांग्रेस SC/ST/OBC के हक में से एक हिस्सा अपने वोट-बैंक को देना चाहती है। कर्नाटका में इन्होंने ये काम शुरु भी कर दिया है।

साथियों,

आज पूरी दुनिया भारत के टूरिज्म सेक्टर में, हॉस्पिटैलिटी सेक्टर में, एविएशन सेक्टर में, मैन्युफेक्चरिंग सेक्टर में इन्वेस्ट करना चाहती है। लेकिन कांग्रेस का प्लान, आपकी संपत्ति पर 55 परसेंट टैक्स लगाने का है। कांग्रेस के शहज़ादे की उनकी विदेश यात्राओं का राज खुल गया है। वहां से कांग्रेस के शहजादे एक एक्स-रे मशीन लाए हैं। और पब्लिकली बोलते हैं कि उनकी सरकार बनने के बाद देश का एक्स रे किया जाएगा। औऱ एक्स रे मशीन से कांग्रेस आपकी संपत्ति की जांच करके उसे अपने वोटबैंक में बांटना चाहती है। मान लीजिए, यहां किसी फिशरमेन के पास, दो बोट होगी, और वो बोट जीवन के अंतकाल में अपने बेटे को देना चाहता है तो नहीं दे पाएगा, कांग्रेस ऐसा कानून ला रही है कि उसमें से एक बोट सरकार जब्त कर लेगी, एक ही बोट अपने संतान को दे पाएगा। औऱ आप जानते हैं ना कांग्रेस का पसंदीदा वोटबैंक कौन है? इसलिए पूरा देश कांग्रेस पर इल्ज़ाम लगा रहा है, और मुखर हो कर बोल रहा है-कांग्रेस की लूट- ज़िंदगी के साथ भी और ज़िंदगी के बाद भी।

भाइयों और बहनों,

भाजपा ऐसे काम करती है, जिससे देश को खुशी मिले, हर नागरिक को खुशी मिले, आपको खुशी मिले। लेकिन कांग्रेस, ऐसे काम करती है, जिससे देश विरोधी ताकतों को खुशी होती है। आप देखिए, इन्होंने EVM को लेकर कितना झूठ बोला, भाई। आए दिन, चुनाव हार गए तो क्यों EVM, चुनाव हारना तय है तो क्यों EVM, जब चाहो तब EVM को गाली, जब चाहो EVM को गाली दो, हिन्दुस्तान के नागरिकों का EVM से विश्वास उठ जाए, उसके लिए जितनी कोशिश होती है उतनी की। इन्होंने भारत के लोकतंत्र के खिलाफ अविश्वास पैदा करने की कोशिश की। लोगों को भड़काने की कोशिश की। लेकिन सुप्रीम कोर्ट ने दूध का दूध और पानी का पानी कर दिया। सुप्रीम कोर्ट ने साफ कह दिया कि EVM सही है, EVM से होने वाला चुनाव सही है EVM के उपयोग से भारत का लोकतंत्र मजबूत भी हुआ है, भारत का लोकतंत्र आधुनिक भी हुआ है। अब मुझे बताइए, इतने सालों से कांग्रेस का झूठ चल रहा है, क्या कांग्रेस ने माफी मांगनी चाहिए या नहीं चाहिए? कांग्रेस ने देश से माफी मांगनी चाहिए या नहीं चाहिए? ये माफी नहीं मांगेगे। ये अंहकार में सातंवें आसमान पर पहुंचे हुए हैं। लेकिन मोदी को बदनाम करने के लिए किसी भी हद तक जा सकते हैं।

साथियों,

7 मई को होने वाले चुनाव में आपको देश विरोधी हर ताकत को हराना है। आपका सपना पूरा करने में साउथ गोवा से बहन पल्लवी श्रीनिवास डेम्पो और नॉर्थ गोवा से मेरे पुराने साथी श्रीपद नाइक, ये दोनों, विजयी हो करके आएगें औऱ ये दिल्ली में मेरी बहुत मदद करेंगे। दिल्ली सरकार को बहुत मजबूती मिलेगी औऱ आपको आपके सपने पूरा करने के लिए एक बहुत अच्छे प्रतिनीधि मिलेंगे। औऱ इसलिए आज मैं आपसे आशिर्वाद मांगने के लिए आया हूँ। मैं आपसे वोट मांगने आय़ा हूँ। औऱ मेरे गोवा के भाईय़ों बहनों, आप जब कमल के निशान पर बटन दबाएगें न तो आपका वोट सीधा सीधा मोदी के खाते में जाएगा। तो आप घर घर जाएगें। घर घर जाएगें। ज्यादा से ज्यादा मतदाताओं को वोट करवाएगें, सारे पुराने रिकार्ड तोडेंगे, भारी मतदान करेंगे। देखिए गोवा के साथ मेरा एक और रिश्ता है, आज मैं जो कुछ भी हूँ न, मेरे जीवन में हर टर्निंग प्वाइंट गोवा में ही हुआ है। मेरा प्रधानमंत्री बनने का, पार्टी का फैसला भी यहीं गोवा में हुआ था। तो गोवा में मेरा भाग्य लिखा जाता है। औऱ इसलिए मैं कहता हूँ, मुझे ऐसे दो मजबूत साथी पार्लियामेंट में चाहिए, आपके मुझे आशिर्वाद चाहिए औऱ पोलिंग बूथ जीतने का लक्ष्य लिजिए। अच्छा मेरी एक पर्सनल रिक्वेस्ट है, करोगे? जरा हाथ ऊपर करके बताइए, करोगे? देखिए, घर-घर जाइए और कहना मोदी जी आए थे, मोदी जी ने आपको नमस्कार भेजा है। मेरा नमस्कार पहुंचा देंगे? पहुंचा देंगे? मेरे साथ बोलिए, भारत माता की जय ! भारत माता की जय ! भारत माता की जय !
बहुत बहुत धन्यवाद

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Text of PM’s address at Christmas Celebrations hosted by the Catholic Bishops' Conference of India
December 23, 2024
It is a moment of pride that His Holiness Pope Francis has made His Eminence George Koovakad a Cardinal of the Holy Roman Catholic Church: PM
No matter where they are or what crisis they face, today's India sees it as its duty to bring its citizens to safety: PM
India prioritizes both national interest and human interest in its foreign policy: PM
Our youth have given us the confidence that the dream of a Viksit Bharat will surely be fulfilled: PM
Each one of us has an important role to play in the nation's future: PM

Respected Dignitaries…!

आप सभी को, सभी देशवासियों को और विशेषकर दुनिया भर में उपस्थित ईसाई समुदाय को क्रिसमस की बहुत-बहुत शुभकामनाएं, ‘Merry Christmas’ !!!

अभी तीन-चार दिन पहले मैं अपने साथी भारत सरकार में मंत्री जॉर्ज कुरियन जी के यहां क्रिसमस सेलीब्रेशन में गया था। अब आज आपके बीच उपस्थित होने का आनंद मिल रहा है। Catholic Bishops Conference of India- CBCI का ये आयोजन क्रिसमस की खुशियों में आप सबके साथ जुड़ने का ये अवसर, ये दिन हम सबके लिए यादगार रहने वाला है। ये अवसर इसलिए भी खास है, क्योंकि इसी वर्ष CBCI की स्थापना के 80 वर्ष पूरे हो रहे हैं। मैं इस अवसर पर CBCI और उससे जुड़े सभी लोगों को बहुत-बहुत बधाई देता हूँ।

साथियों,

पिछली बार आप सभी के साथ मुझे प्रधानमंत्री निवास पर क्रिसमस मनाने का अवसर मिला था। अब आज हम सभी CBCI के परिसर में इकट्ठा हुए हैं। मैं पहले भी ईस्टर के दौरान यहाँ Sacred Heart Cathedral Church आ चुका हूं। ये मेरा सौभाग्य है कि मुझे आप सबसे इतना अपनापन मिला है। इतना ही स्नेह मुझे His Holiness Pope Francis से भी मिलता है। इसी साल इटली में G7 समिट के दौरान मुझे His Holiness Pope Francis से मिलने का अवसर मिला था। पिछले 3 वर्षों में ये हमारी दूसरी मुलाकात थी। मैंने उन्हें भारत आने का निमंत्रण भी दिया है। इसी तरह, सितंबर में न्यूयॉर्क दौरे पर कार्डिनल पीट्रो पैरोलिन से भी मेरी मुलाकात हुई थी। ये आध्यात्मिक मुलाक़ात, ये spiritual talks, इनसे जो ऊर्जा मिलती है, वो सेवा के हमारे संकल्प को और मजबूत बनाती है।

साथियों,

अभी मुझे His Eminence Cardinal जॉर्ज कुवाकाड से मिलने का और उन्हें सम्मानित करने का अवसर मिला है। कुछ ही हफ्ते पहले, His Eminence Cardinal जॉर्ज कुवाकाड को His Holiness Pope Francis ने कार्डिनल की उपाधि से सम्मानित किया है। इस आयोजन में भारत सरकार ने केंद्रीय मंत्री जॉर्ज कुरियन के नेतृत्व में आधिकारिक रूप से एक हाई लेवल डेलिगेशन भी वहां भेजा था। जब भारत का कोई बेटा सफलता की इस ऊंचाई पर पहुंचता है, तो पूरे देश को गर्व होना स्वभाविक है। मैं Cardinal जॉर्ज कुवाकाड को फिर एक बार बधाई देता हूं, शुभकामनाएं देता हूं।

साथियों,

आज आपके बीच आया हूं तो कितना कुछ याद आ रहा है। मेरे लिए वो बहुत संतोष के क्षण थे, जब हम एक दशक पहले फादर एलेक्सिस प्रेम कुमार को युद्ध-ग्रस्त अफगानिस्तान से सुरक्षित बचाकर वापस लाए थे। वो 8 महीने तक वहां बड़ी विपत्ति में फंसे हुए थे, बंधक बने हुए थे। हमारी सरकार ने उन्हें वहां से निकालने के लिए हर संभव प्रयास किया। अफ़ग़ानिस्तान के उन हालातों में ये कितना मुश्किल रहा होगा, आप अंदाजा लगा सकते हैं। लेकिन, हमें इसमें सफलता मिली। उस समय मैंने उनसे और उनके परिवार के सदस्यों से बात भी की थी। उनकी बातचीत को, उनकी उस खुशी को मैं कभी भूल नहीं सकता। इसी तरह, हमारे फादर टॉम यमन में बंधक बना दिए गए थे। हमारी सरकार ने वहाँ भी पूरी ताकत लगाई, और हम उन्हें वापस घर लेकर आए। मैंने उन्हें भी अपने घर पर आमंत्रित किया था। जब गल्फ देशों में हमारी नर्स बहनें संकट से घिर गई थीं, तो भी पूरा देश उनकी चिंता कर रहा था। उन्हें भी घर वापस लाने का हमारा अथक प्रयास रंग लाया। हमारे लिए ये प्रयास केवल diplomatic missions नहीं थे। ये हमारे लिए एक इमोशनल कमिटमेंट था, ये अपने परिवार के किसी सदस्य को बचाकर लाने का मिशन था। भारत की संतान, दुनिया में कहीं भी हो, किसी भी विपत्ति में हो, आज का भारत, उन्हें हर संकट से बचाकर लाता है, इसे अपना कर्तव्य समझता है।

साथियों,

भारत अपनी विदेश नीति में भी National-interest के साथ-साथ Human-interest को प्राथमिकता देता है। कोरोना के समय पूरी दुनिया ने इसे देखा भी, और महसूस भी किया। कोरोना जैसी इतनी बड़ी pandemic आई, दुनिया के कई देश, जो human rights और मानवता की बड़ी-बड़ी बातें करते हैं, जो इन बातों को diplomatic weapon के रूप में इस्तेमाल करते हैं, जरूरत पड़ने पर वो गरीब और छोटे देशों की मदद से पीछे हट गए। उस समय उन्होंने केवल अपने हितों की चिंता की। लेकिन, भारत ने परमार्थ भाव से अपने सामर्थ्य से भी आगे जाकर कितने ही देशों की मदद की। हमने दुनिया के 150 से ज्यादा देशों में दवाइयाँ पहुंचाईं, कई देशों को वैक्सीन भेजी। इसका पूरी दुनिया पर एक बहुत सकारात्मक असर भी पड़ा। अभी हाल ही में, मैं गयाना दौरे पर गया था, कल मैं कुवैत में था। वहां ज्यादातर लोग भारत की बहुत प्रशंसा कर रहे थे। भारत ने वैक्सीन देकर उनकी मदद की थी, और वो इसका बहुत आभार जता रहे थे। भारत के लिए ऐसी भावना रखने वाला गयाना अकेला देश नहीं है। कई island nations, Pacific nations, Caribbean nations भारत की प्रशंसा करते हैं। भारत की ये भावना, मानवता के लिए हमारा ये समर्पण, ये ह्यूमन सेंट्रिक अप्रोच ही 21वीं सदी की दुनिया को नई ऊंचाई पर ले जाएगी।

Friends,

The teachings of Lord Christ celebrate love, harmony and brotherhood. It is important that we all work to make this spirit stronger. But, it pains my heart when there are attempts to spread violence and cause disruption in society. Just a few days ago, we saw what happened at a Christmas Market in Germany. During Easter in 2019, Churches in Sri Lanka were attacked. I went to Colombo to pay homage to those we lost in the Bombings. It is important to come together and fight such challenges.

Friends,

This Christmas is even more special as you begin the Jubilee Year, which you all know holds special significance. I wish all of you the very best for the various initiatives for the Jubilee Year. This time, for the Jubilee Year, you have picked a theme which revolves around hope. The Holy Bible sees hope as a source of strength and peace. It says: "There is surely a future hope for you, and your hope will not be cut off." We are also guided by hope and positivity. Hope for humanity, Hope for a better world and Hope for peace, progress and prosperity.

साथियों,

बीते 10 साल में हमारे देश में 25 करोड़ लोगों ने गरीबी को परास्त किया है। ये इसलिए हुआ क्योंकि गरीबों में एक उम्मीद जगी, की हां, गरीबी से जंग जीती जा सकती है। बीते 10 साल में भारत 10वें नंबर की इकोनॉमी से 5वें नंबर की इकोनॉमी बन गया। ये इसलिए हुआ क्योंकि हमने खुद पर भरोसा किया, हमने उम्मीद नहीं हारी और इस लक्ष्य को प्राप्त करके दिखाया। भारत की 10 साल की विकास यात्रा ने हमें आने वाले साल और हमारे भविष्य के लिए नई Hope दी है, ढेर सारी नई उम्मीदें दी हैं। 10 साल में हमारे यूथ को वो opportunities मिली हैं, जिनके कारण उनके लिए सफलता का नया रास्ता खुला है। Start-ups से लेकर science तक, sports से entrepreneurship तक आत्मविश्वास से भरे हमारे नौजवान देश को प्रगति के नए रास्ते पर ले जा रहे हैं। हमारे नौजवानों ने हमें ये Confidence दिया है, य़े Hope दी है कि विकसित भारत का सपना पूरा होकर रहेगा। बीते दस सालों में, देश की महिलाओं ने Empowerment की नई गाथाएं लिखी हैं। Entrepreneurship से drones तक, एरो-प्लेन उड़ाने से लेकर Armed Forces की जिम्मेदारियों तक, ऐसा कोई क्षेत्र नहीं, जहां महिलाओं ने अपना परचम ना लहराया हो। दुनिया का कोई भी देश, महिलाओं की तरक्की के बिना आगे नहीं बढ़ सकता। और इसलिए, आज जब हमारी श्रमशक्ति में, Labour Force में, वर्किंग प्रोफेशनल्स में Women Participation बढ़ रहा है, तो इससे भी हमें हमारे भविष्य को लेकर बहुत उम्मीदें मिलती हैं, नई Hope जगती है।

बीते 10 सालों में देश बहुत सारे unexplored या under-explored sectors में आगे बढ़ा है। Mobile Manufacturing हो या semiconductor manufacturing हो, भारत तेजी से पूरे Manufacturing Landscape में अपनी जगह बना रहा है। चाहे टेक्लोलॉजी हो, या फिनटेक हो भारत ना सिर्फ इनसे गरीब को नई शक्ति दे रहा है, बल्कि खुद को दुनिया के Tech Hub के रूप में स्थापित भी कर रहा है। हमारा Infrastructure Building Pace भी अभूतपूर्व है। हम ना सिर्फ हजारों किलोमीटर एक्सप्रेसवे बना रहे हैं, बल्कि अपने गांवों को भी ग्रामीण सड़कों से जोड़ रहे हैं। अच्छे ट्रांसपोर्टेशन के लिए सैकड़ों किलोमीटर के मेट्रो रूट्स बन रहे हैं। भारत की ये सारी उपलब्धियां हमें ये Hope और Optimism देती हैं कि भारत अपने लक्ष्यों को बहुत तेजी से पूरा कर सकता है। और सिर्फ हम ही अपनी उपलब्धियों में इस आशा और विश्वास को नहीं देख रहे हैं, पूरा विश्व भी भारत को इसी Hope और Optimism के साथ देख रहा है।

साथियों,

बाइबल कहती है- Carry each other’s burdens. यानी, हम एक दूसरे की चिंता करें, एक दूसरे के कल्याण की भावना रखें। इसी सोच के साथ हमारे संस्थान और संगठन, समाज सेवा में एक बहुत बड़ी भूमिका निभाते हैं। शिक्षा के क्षेत्र में नए स्कूलों की स्थापना हो, हर वर्ग, हर समाज को शिक्षा के जरिए आगे बढ़ाने के प्रयास हों, स्वास्थ्य के क्षेत्र में सामान्य मानवी की सेवा के संकल्प हों, हम सब इन्हें अपनी ज़िम्मेदारी मानते हैं।

साथियों,

Jesus Christ ने दुनिया को करुणा और निस्वार्थ सेवा का रास्ता दिखाया है। हम क्रिसमस को सेलिब्रेट करते हैं और जीसस को याद करते हैं, ताकि हम इन मूल्यों को अपने जीवन में उतार सकें, अपने कर्तव्यों को हमेशा प्राथमिकता दें। मैं मानता हूँ, ये हमारी व्यक्तिगत ज़िम्मेदारी भी है, सामाजिक दायित्व भी है, और as a nation भी हमारी duty है। आज देश इसी भावना को, ‘सबका साथ, सबका विकास और सबका प्रयास’ के संकल्प के रूप में आगे बढ़ा रहा है। ऐसे कितने ही विषय थे, जिनके बारे में पहले कभी नहीं सोचा गया, लेकिन वो मानवीय दृष्टिकोण से सबसे ज्यादा जरूरी थे। हमने उन्हें हमारी प्राथमिकता बनाया। हमने सरकार को नियमों और औपचारिकताओं से बाहर निकाला। हमने संवेदनशीलता को एक पैरामीटर के रूप में सेट किया। हर गरीब को पक्का घर मिले, हर गाँव में बिजली पहुंचे, लोगों के जीवन से अंधेरा दूर हो, लोगों को पीने के लिए साफ पानी मिले, पैसे के अभाव में कोई इलाज से वंचित न रहे, हमने एक ऐसी संवेदनशील व्यवस्था बनाई जो इस तरह की सर्विस की, इस तरह की गवर्नेंस की गारंटी दे सके।

आप कल्पना कर सकते हैं, जब एक गरीब परिवार को ये गारंटी मिलती हैं तो उसके ऊपर से कितनी बड़ी चिंता का बोझ उतरता है। पीएम आवास योजना का घर जब परिवार की महिला के नाम पर बनाया जाता है, तो उससे महिलाओं को कितनी ताकत मिलती है। हमने तो महिलाओं के सशक्तिकरण के लिए नारीशक्ति वंदन अधिनियम लाकर संसद में भी उनकी ज्यादा भागीदारी सुनिश्चित की है। इसी तरह, आपने देखा होगा, पहले हमारे यहाँ दिव्यांग समाज को कैसी कठिनाइयों का सामना करना पड़ता था। उन्हें ऐसे नाम से बुलाया जाता था, जो हर तरह से मानवीय गरिमा के खिलाफ था। ये एक समाज के रूप में हमारे लिए अफसोस की बात थी। हमारी सरकार ने उस गलती को सुधारा। हमने उन्हें दिव्यांग, ये पहचान देकर के सम्मान का भाव प्रकट किया। आज देश पब्लिक इंफ्रास्ट्रक्चर से लेकर रोजगार तक हर क्षेत्र में दिव्यांगों को प्राथमिकता दे रहा है।

साथियों,

सरकार में संवेदनशीलता देश के आर्थिक विकास के लिए भी उतनी ही जरूरी होती है। जैसे कि, हमारे देश में करीब 3 करोड़ fishermen हैं और fish farmers हैं। लेकिन, इन करोड़ों लोगों के बारे में पहले कभी उस तरह से नहीं सोचा गया। हमने fisheries के लिए अलग से ministry बनाई। मछलीपालकों को किसान क्रेडिट कार्ड जैसी सुविधाएं देना शुरू किया। हमने मत्स्य सम्पदा योजना शुरू की। समंदर में मछलीपालकों की सुरक्षा के लिए कई आधुनिक प्रयास किए गए। इन प्रयासों से करोड़ों लोगों का जीवन भी बदला, और देश की अर्थव्यवस्था को भी बल मिला।

Friends,

From the ramparts of the Red Fort, I had spoken of Sabka Prayas. It means collective effort. Each one of us has an important role to play in the nation’s future. When people come together, we can do wonders. Today, socially conscious Indians are powering many mass movements. Swachh Bharat helped build a cleaner India. It also impacted health outcomes of women and children. Millets or Shree Anna grown by our farmers are being welcomed across our country and the world. People are becoming Vocal for Local, encouraging artisans and industries. एक पेड़ माँ के नाम, meaning ‘A Tree for Mother’ has also become popular among the people. This celebrates Mother Nature as well as our Mother. Many people from the Christian community are also active in these initiatives. I congratulate our youth, including those from the Christian community, for taking the lead in such initiatives. Such collective efforts are important to fulfil the goal of building a Developed India.

साथियों,

मुझे विश्वास है, हम सबके सामूहिक प्रयास हमारे देश को आगे बढ़ाएँगे। विकसित भारत, हम सभी का लक्ष्य है और हमें इसे मिलकर पाना है। ये आने वाली पीढ़ियों के प्रति हमारा दायित्व है कि हम उन्हें एक उज्ज्वल भारत देकर जाएं। मैं एक बार फिर आप सभी को क्रिसमस और जुबली ईयर की बहुत-बहुत बधाई देता हूं, शुभकामनाएं देता हूं।

बहुत-बहुत धन्यवाद।