MP means 'Maximum Progress': PM Modi in Gwalior

Published By : Admin | November 16, 2018 | 19:42 IST
Congress must answer why during the time of Emergency, Rajmata Ji was jailed for a long time: PM Modi
For 55 years Congress were in power. During all those years, Madhya Pradesh was termed 'Bimaru': PM Modi
In the last 15 years, definition of MP has changed. It has now become 'Maximum Progress': PM Modi
Congress manufactures lies and spreads it. But now people are more aware. They know about Congress' lies: PM
Even today, the Congress cries fowl of demonetisation. Why is it so? Because they faced the heat of demonetisation: PM Modi
Our fight against corruption won't end. Those who have looted the poor must return what they have looted: PM

मुझे लगता है ग्वालियर वालों ने कांग्रेस को दिन में तारे दिखा दिए हैं!

मंच पर विराजमान मंत्रिपरिषद के मेरे साथी श्रीमान नरेंद्र सिंह जी तोमर, श्री प्रभात झा, श्री अनूप मिश्रा, बहन माया सिंह जी, ग्वालियर के मेयर भाई विवेक जी, प्रदेश के महामंत्री बंशीलाल जी, दतिया के जिलाध्यक्ष भाई विक्रम जी, भिंड के जिलाध्यक्ष भाई संजीव जी, मुरैना से श्री अनूप जी, ग्वालियर शहर के भाई श्री देवेश जी,  ग्रामीण से भाई वीरेंद्र जी, मंच पर विराजमान भारतीय जनता पार्टी के सभी वरिष्ठ नेतागण और इस चुनाव में भारतीय जनता पार्टी के उम्मीदवार, हमारे सभी कर्मठ कार्यकर्ता समाजसेवा के वृति कार्यकर्ता मुरैना से श्रीमान रुस्तम सिंह जी, यहां आइए रुस्तम सिंह जी, ग्वालियर से जयभान सिंह, ग्वालियर दक्षिण से नारायण सिंह, गोहद से लाल सिंह जी, भाण्डेर से रजनी प्रजापति, मेहगांव से श्री राकेश जी, सेवड़ा से राजा लाल, करैरा से राजकुमार जी, डबरा से कप्तान सिंह जी, लाहर से रसाल सिंह जी, ग्वालियर पूर्व से श्रीमान सतीश जी, भिंड से चौधरी राकेश जी, दिमनी से शिवमंगल सिंह जी, अटेर से अरविंद सिंह जी, जौरा से सूबेदार सिंह जी, ग्वालियर ग्रामीण से भारत सिंह जी, सुमावली से अजब सिंह जी...आप सब दोनों हाथ ऊपर करके भारत माता की जय बोल करके हमारे सभी साथियों को आशीर्वाद दें...भारत माता की...जय! भारत माता की…जय! बहुत-बहुत धन्यवाद।  

मैं आज सबसे पहले ग्वालियर के लिए शिकायत करना चाहता हूं...करूं? आप बुरा मान जाएंगे तो क्या होगा..नहीं मानेंगे? आप बड़े राजा दिल के लोग हैं जी... शिकायत करूं? पक्का? बुरा नहीं मानेंगे ना? मैं आप पे भरोसा करके बोल देता हूं... देखिए 2014 में हम लोकसभा का चुनाव लड़ रहे थे और उसी कालखंड में मेरा ग्वालियर भी आना हुआ था। मैं स्वयं...भारतीय जनता पार्टी ने प्रधानमंत्री का उम्मीदवार घोषित किया था...एक प्रकार से मैं, मेरे लिए आपके बीच आया था लेकिन उस समय इससे आधे लोग भी नहीं आए थे, और आज..आज मैं हैरान हूं जब उन्होंने हमारे नरेंद्र जी ने सबके मोबाइल के फ्लैश चालू करवाए तो मेरी नजर नहीं पहुंच रही थी इतनी बड़ी तादाद में आप लोगों का आना, ये हमारे सभी साथियों को आशीर्वाद देने के लिए...ये ग्वालियर इलाके के लोगों का इतना बड़ा जमावड़ा भाइयो-बहनो, दिल्ली में बैठे हुए पंडितों को पता चल जाएगा हवा का रुख किस तरफ है। भाइयो-बहनो, ये ग्वालियर की धरती तप, तपस्या और त्याग की धरती है। ये ऋषि गालव जी की तपोभूमि और ये शौर्य की प्रेरणा देने वाली धरती है। रानी लक्ष्मीबाई हों, तात्या टोपे हों, राम प्रसाद बिस्मिल हों...एक से बढ़कर एक ये क्रांतिदूतों की कर्मस्थली रही है। इस धरती को मैं नमन करता हूं। 

और हम भारतीय जनता पार्टी के लिए एक विशेष विरासत भी इस धरती से जुड़ी हुई है...राजमाता से लोकमाता बनी हुईं राजमाता विजयाराजे सिंधिया जी। एक मां की तरह हम जैसे अनेक कार्यकर्ताओं को उन्होंने संबल दिया। मां का अपूर्व..अभूतपूर्व प्यार और मुझे बराबर याद है जब मैं 90 के दशक में एकता यात्रा लेकर के चला था…शिवपुरी में रात 9 बजे आने के बजाय रात को 2 बजे पहुंचे। कार्यक्रम पूरा करके जल्दी-जल्दी सोने के लिए प्रबंध कर रहे थे, इतने में मेरे दरवाजे पर आवाज आई...मैं हैरान था रात को दो-ढाई बजे कौन आया...जब दरवाजा खोला तो स्वयं राजमाता जी अपने साथ 3-4 साथियों को लेकर के एक ट्रे में गर्म-गर्म दूध के ग्लास लेकर के आई थीं और कहने लगीं बेटा पहले रात को दूध पीकर के सो जाना। कोई कल्पना कर सकता है कि राजपरिवार में पली-बढ़ी एक मां, अपने एक छोटा सा कार्यकर्ता और वो भी रात को 3 बजे...उसको गर्म दूध पिलाने के लिए आए और सिर्फ मुझे नहीं हमारी एकता यात्रा के ड्राइवर...साथी जो भी थे हर एक के कमरे में जाकर के उस मां ने दूध का कटोरा उनके हाथ में पकड़ाया। ये प्यार जिस मां ने दिया और आज हम भारतीय जनता पार्टी के लोग...हम इस देश के नागरिक, राजमाता जी का जन्मशती वर्ष मना रहे हैं...और ऐसे समय मेरा ग्वालियर की धरती पर आना, राजमाता का पुण्य स्मरण करना और उनको आदरपूर्वक नमन करना ये अपने आप में एक बहुत बड़ा सौभाग्य है। 

ग्वालियर की धरती पर आएं और यहां की हर दीवार से, हर गली से, हर चौराहे से, हर पेड़-पौधे से जो आवाज बार-बार गूंज करके निकलती है, वो आवाज अटल बिहारी वाजपेयी की है। इसी धरती से उनकी जिह्वा पर से बह रही मां सरस्वती, ग्वालियर का बच्चा-बच्चा जिससे परिचित रहा। यही धरती कभी हमारे कुशाभाऊ ठाकरे की कर्मभूमि रही। सादगी, त्याग, तपस्या, कर्मठता, समर्पण सब चीजें एक जगह पे समेटी हुई यानि कुशाभाऊ ठाकरे। राजमाता जी हों, अटल बिहारी वाजपेयी जी हों, कुशाभाऊ ठाकरे जी हों, ग्वालियर की धरती पर इन सभी महापुरुषों का पुण्य स्मरण होना बहुत स्वाभाविक है और इसीलिए आज सबसे पहले मैं हमारे उन महापुरुषों को, उनकी संकल्प भूमि को, उनकी कर्मभूमि को नमन करते हुए इस धरती के लोगों से आशीर्वाद मांगने के लिए आया हूं। मेरे साथियों के लिए आशीर्वाद मांगने के लिए आया हूं और मुझे विश्वास है भाइयो-बहनो, ये ग्वालियर की ताकत है जो राजमाता को लोकमाता बना देती है। 

और जब राजमाता की याद आती है तो आपातकाल के दिनों को हम कैसे भूल सकते हैं। मैं जरा कांग्रेस के नेताओं से पूछना चाहता हूं और राजमाता जी के परिवार के जो लोग कांग्रेस में हैं उनको भी पूछना चाहता हूं, विशेष रूप से उनसे पूछना चाहता हूं...ग्वालियर की जनता के नात...ये ग्वालियर की जनता की आवाज उठाना चाहता हूं...जरा बताइए...इमरजेंसी के समय, आपातकाल के समय ये कांग्रेस सरकार ने जिस कांग्रेस का झंडा लेकर के आज आप घूम रहे हो, राजमाता जी को किस गुनाह की सजा के तहत 19 महीने तक जेल में बंद कर दिया था जरा जवाब दो। और आपमें अगर हिम्मत है, आप अपनी पार्टी के कर्ताधर्ता लोगों से जरा पूछने की हिम्मत करो कि आपकी दादीमां को 19 महीने तक जेल में क्यों पीड़ित किया गया था, क्या गुनाह था उनका, क्यों उनको जेलों में यातना दी गई थी? और अगर वो निर्दोष थीं तो फिर कांग्रेस पार्टी ने ये पाप क्यों किया था उस प्रकार का, उस सरकार ने लोकतंत्र के नाम पर गला घोंटने का प्रयास क्यों किया था? 

मेरे प्यारे भाइयो-बहनो, ये कांग्रेस पार्टी की परंपरा रही है, मैं..मैं, नहीं तो कोई नहीं... यही एक सूत्र कांग्रेस पार्टी का जीवनमंत्र रहा है। इस देश में मिलीजुली सरकारें अगर बनीं और कांग्रेस के समर्थन से बनीं 2 महीने, 4 महीने, 6 महीने, साल...पीठ में छूरा भोंक करके देश को स्थिर करते समय...उनको कभी देश के नुकसान की चिंता नहीं होती है क्योंकि वो कांग्रेस पार्टी एक परिवार के लिए पैदा हुई है, एक परिवार के लिए जीती है, एक परिवार के लिए जूझती है और एक परिवार के लिए देश का भविष्य भी दांव पे लगा देती है। क्या भाइयो-बहनो...क्या मध्य प्रदेश का भाग्य ऐसी कांग्रेस के हाथ में दे सकते हैं? ऐसी कांग्रेस को फिर से प्रवेश दे सकते हैं? ये मध्य प्रदेश की विकास यात्रा में फिर से रुकावट पैदा करने देंगे क्या? ऐसे तत्त्वों को घुसने देंगे क्या? जिसके भी दिल में अपने बच्चों के भविष्य की चिंता है..अपने बेटे-बेटियों के भविष्य की चिंता है, वे 50 बार सोचें कि आपने जिस बर्बादी को भुगता है, क्योंकि जवानी कांग्रेस के कालखंड में बीती है, आप तो बर्बाद हो चुके, क्या आप अपने बेटे-बेटियों को बर्बाद होने देना चाहते हैं? उनका भविष्य अंधकार में जाने देना चाहते हैं, उनके भविष्य को बर्बाद होने देना चाहते हैं? अगर नहीं चाहते हैं तो यहीं से संकल्प करके उठिए कि अब हिन्दुस्तान में कही पर भी नहीं, मध्य प्रदेश में कहीं पर भी नहीं, ग्वालियर हो, मुंड हो, मुरैना हो, कोई भी इलाका हो कांग्रेस को पैर नहीं रखने देंगे ये हमें निर्णय करना होगा भाइयो-बहनो। 

इतिहास गवाह है, 55 साल कांग्रेस के 15 साल बीजेपी के...हम चुनौती देते हैं कांग्रेस वालों को...किसी भी तराजू पर तौल लीजिए 55 साल में आपने मध्य प्रदेश को जितना दिया हमने 15 साल में उससे अनेक गुना दिया है क्योंकि मध्य प्रदेश का भविष्य हमारे सपनों का भविष्य है। एक समय था ये हमारा MP...मध्य प्रदेश...ये बीमारू राज्य की गिनती में आता था, आता था कि नहीं आता था? आता था कि नहीं आता था? तब यहां सरकार किसकी थी..सरकार किसकी थी...जिम्मेवार कौन था...बर्बादी कौन लाया...दुनियाभर में मध्य प्रदेश को बदनाम किसने किया? उसे बीमारू से बाहर किसने निकाला...बीमारू से बाहर किसने निकाला...ये बीमारू का कलंक किसने मिटाया? अरे एक मध्य प्रदेश कभी बीमारू कहा जाता था...आज MP का मतलब हो गया है...मध्य प्रदेश का मतलब बदल गया है...अब MP कहते हैं, तो तुरंत लगता है MP का मतलब हो गया है Maximum Progress…उनके जमाने में मध्य प्रदेश का मतलब था बीमारू…15 साल के भाजपा के शासन का मतलब हो गया है Maximum Progress- MP. और इसीलिए भाइयो-बहनो, मैं आज आपसे आग्रह करने आया हूं...आज गांवों में गरीबों को घर देने में आपको मालूम है पूरे हिन्दुस्तान में सबसे अच्छा काम कहां हुआ है? मालूम है..? ये कांग्रेस वाले नहीं बोलेंगे...पूरे हिन्दुस्तान में ग्रामीण इलाके में गरीबों को घर देने का नंबर-1 प्रदेश, मध्य प्रदेश है। 

भाइयो-बहनो, गांवों में सड़क हमें तो बराबर याद है...जब हम गुजरात से आते थे झाबुआ हो करके...मालवा से होकर के मध्य प्रदेश बाई रोड आते थे, तो ड्राइवर कहता था कि साहब पूछने की जरूरत नहीं मध्य प्रदेश आया कि नहीं आया...गुजरात का रोड खत्म होते ही गाड़ी हिलने लगे तो मान लीजिए मध्य प्रदेश आ गया है...उस समय जब दिग्विजय जी राज करते थे, कांग्रेस शासन चलाती थी...किसी को पूछना नहीं पड़ता था कि गुजरात कहां खत्म हुआ..मध्य प्रदेश कहां शुरू हुआ..रास्ते की हालत बता देती थी कि मध्य प्रदेश आ गया। भाइयो-बहनो, ये हालत जिन्होंने बनाई हो, ये बर्बादी जिन्होंने की हो, ऐसे लोगों को भाइयो-बहनो फिर से मध्य प्रदेश के लोगों के पास वोट मांगने का अधिकार नहीं है। 

और उनके खेल देखो मध्य प्रदेश में मैंने सुना है 8 अलग-अलग इलाके में कांग्रेस 8 अलग-अलग भाषा बोलती है। जैसा इलाका...और वहां कहते हैं नहीं-नहीं मुख्यमंत्री तो इधर वाला ही बनने वाला है...दूसरे इलाके में जा करके नहीं-नहीं मुख्यमंत्री तो यही बनने वाला है। 8-8 मुख्यमंत्रियों के चेहरे लेकर के ये भटक रहे हैं जी! क्या ये मध्य प्रदेश की जनता को जानते नहीं है क्या? ये कांग्रेस वाले अभी भी वो आपातकाल की मनोदशा में जी रहे हैं। उनको लगता है कि इमरजेंसी में दिल्ली से एक झूठ बोला जाता था, हिन्दुस्तान में वो धीरे-धीरे percolate हो जाता था…लोग मान लेते थे। अरे जमाना बदल चुका है…50 साल उसके बाद बीत चुके हैं और इसीलिए आज आपके हर झूठ को पल-पल लोग चुनौती दे रहे हैं। आप सोचते होंगे कि आप छिंदवाड़ा में एक बात बोलोगे और ग्वालियर में दूसरी बोलोगे तो लोगों को पता नहीं चलेगा. अरे वहां मंच से उतरने से पहले लोगों को पता चल जाता है कि आपने छिंदवाड़ा में क्या बोला और ग्वालियर में क्या बोला है। क्यों जनता के साथ धोखा कर रहे हो? अरे हिम्मत है तो मुख्यमंत्री के उम्मीदवार का नाम घोषित करके निकलो ना! जिस पार्टी के मुखिया अपनी पार्टी का सिरमौर कौन होगा, इसका नाम तय नहीं कर पाते वो आपका भविष्य तय कर पाएंगे क्या..आपका भाग्य तय कर पाएंगे क्या..आपका भाग्य बदल पाएंगे क्या? और इसीलिए भाइयो-बहनो, मैं शिवराज जी की सरकार को एक काम के लिए और बधाई देना चाहता हूं जी...हमारे देश में जब भी कृषि विकास की बात आती थी तो कृषि विकास यानि हरियाणा, पंजाब और पश्चिम उत्तर प्रदेश, गंगा-यमुना का तट इसी की चर्चा होती थी। इस भ्रामकता के सामने मध्य प्रदेश के किसानों ने कमाल करके दिखाया, शिवराज जी की सरकार ने कमाल करके दिखाया और कृषि क्षेत्र में लगातार-लगातार हिन्दुस्तान में नंबर एक पर रहने का काम ये मध्य प्रदेश ने किया और उसका कारण...शिवराज जी ने पानी पहुंचाने पर बल दिया, जरूरत के अनुसार बिजली पहुंचाने पर बल दिया। ये जब कांग्रेस यहां राज करती थी 15 साल पहले, क्या शाम को खाना खाने के लिए घर में बिजली आती थी क्या? आज घर में 24 घंटे बिजली देने का काम शिवराज जी की सरकार ने किया है भाइयो-बहनो। मध्य प्रदेश बीजेपी की सरकार ने किया है और इसीलिए उनको जरा बड़ी कठिनाई हो रही है कि इन कामों पर कैसे चलें। 

भाइयो-बहनो, हमने ग्वालियर को स्मार्ट सिटी बनाने का सपना देखा है और ये स्मार्ट सिटी के तहत ग्वालियर को आने वाले दिनों में जो मध्य प्रदेश में 7 स्मार्ट सिटी बनने वाले हैं उसमें एक हमारा ग्वालियर भी होगा। और इन 5 शहरों में...7 शहरों में 5 साल में 23 हजार करोड़ रुपया...भारत सरकार 23 हजार करोड़ रुपया लगाने वाली है भाइयो-बहनो। आप कल्पना कर सकते हैं, जब 23 हजार करोड़ रुपया लगेगा तब ग्वालियर और यहां के 7 शहरों की शक्ल-सूरत कितनी बदल जाएगी...यहां की ज़िंदगी कितनी बदल जाएगी, इसका आप अंदाज कर सकते हो। भाइयो-बहनो, ये कांग्रेस पार्टी नौजवानों को उकसाने के लिए झूठ फैला रही है। हमारा मंत्र है बालक-बालिकाओं को पढ़ाई, युवा को कमाई, किसान को सिंचाई और बुजुर्गों को दवाई। इन मंत्र को लेकर के हम लगातार काम कर रहे हैं। हमने प्रधानमंत्री मुद्रा योजना बनाई। बिना बैंक गारंटी हमारे देश का नौजवान बैंक से रुपये ले सकता है। अपनी योजना लेकर के जा सकता है...और मुझे खुशी है अकेले मध्य प्रदेश में एक करोड़ ऐसे लोग बैंक से लोन लेकर के...10,000 रुपये से 50 लाख रुपये तक की पूंजी लेकर के अपने पैरों पर खडे़ हुए...अकेले मध्य प्रदेश में एक करोड़ भाइयो-बहनो। आज मेरे देश का नौजवान रोजगार के लिए घर-घर भटकना पसंद नहीं करता है। वो अपने पैरों पर खड़े हो करके दो-चार-पांच लोगों को रोजगार देने का इरादा रखता है और मुद्रा योजना के तहत हमने ये काम करके दिखाया है। 

भाइयो-बहनो, हमने जन धन योजना की...कांग्रेस का वादा था, श्रीमती इंदिरा गांधी का और ये कांग्रेस के नेता की दादीमां का...उनका नारा था कि बैंकों का राष्ट्रीयकरण गरीबों के लिए कर रहे हैं। बैंकों का राष्ट्रीयकरण करने के 50 साल बाद भी हिन्दुस्तान के 50% लोगों का बैंक में खाता नहीं था। ये वादे करना, लोगों की आंख में धूल झोंकना, चुनाव में वोट पा लेना और भूल जाना...यही कांग्रेस की परंपरा रही है। हमने आके तय किया, बैंक का दरवाजा गरीबों के लिए खोल दिया जाएगा। प्रधानमंत्री जन धन अकाउंट खोल दिए हमने। अकेले मध्य प्रदेश में 3 करोड़ लोगों के बैंक के अकाउंट खोले गए भाइयो-बहनो। आज गरीब से गरीब इंसान भी...सब्जी का ठेला चलाने वाला, अखबार इकट्ठा करने वाला, फुटपाथ पर बैठ करके जूते रिपेयर करने वाला, आज बैंक के अंदर अपना अकाउंट...खाता खोल करके बैंक में जाकर के गर्व से खड़ा होता है, ये काम हमने किया है। भाइयो-बहनो, लघु और मध्यम वर्ग के मकान...पहली बार हिन्दुस्तान में मध्यम वर्गीय परिवार...उनको कभी मकान बनाने का सपना पूरा नहीं होता था...ये पहली सरकार ऐसी है जिन्होंने उनको बैंक के अंदर रियायत दी और उनके जीवन में हमने बदलाव लाने का प्रयास किया है। 

भाइयो-बहनो, मैं आज कांग्रेस के कुछ झूठ की भी चर्चा करना चाहता हूं। जरा कांग्रेस पार्टी जवाब दे...उन्होंने चुनाव के पहले कर्नाटक में ऐसा ही चुनावी घोषणा पत्र निकाला था जैसा अभी मध्य प्रदेश में लोगों की आंख में धूल झोंकने का किया है। हमारे देश के किसानों की दुर्दशा किसने की..आपको मालूम है, किसान कांग्रेस के समय अगर बैंक से कर्जे लेता था, तो 15% उसको ब्याज होता था...ये शिवराज जी की सरकार है कि किसान को शून्य ब्याज से पैसा दिया जाता है। ये हमने करके दिखाया है भाइयो-बहनो। ये कांग्रेस पार्टी ने कर्नाटक में किसानों के लिए बड़े-बड़े वादे किए थे। भाइयो-बहनो, कांग्रेस सरकार ने कर्नाटक में...अभी-अभी सरकार बनी है...कर्जमाफी...किसानों का वादा किया था लेकिन बैंको ने FIR करके अनेक किसानों को कर्ज न चुकाने के लिए जेलों में बंद करके रख दिया है। भाइयो-बहनो, ये मैं मध्य प्रदेश के किसानों को कहना चाहता हूं, वो दिन याद कीजिए, जब कांग्रेस की सरकार होती थी...यूरिया लेने जाते थे...लाठियों के मार झेलने पड़ते थे। हमारे आने के बाद यूरिया..जितना चाहे, जब चाहे आज उपलब्ध करा दिया गया है। कांग्रेस के समय में कांग्रेस के पास मिनिमम सपोर्ट प्राइस के लिए मांग हुआ करती थी...लागत से डेढ़ गुना की मांग होती थी...10-10 साल तक कांग्रेस उन फाइलों पर बैठी रही...उन्होंने दिया नहीं। भाइयो-बहनो, ये भारतीय जनता पार्टी को आपने दिल्ली में बैठाया और हमने किसानों के एमएसपी को लागत का डेढ़ गुना करने का वादा पूरा कर दिया। 

कांग्रेस का काम वादाखिलाफी का है, हमारा काम वादा निभाने का है और लोगों का कल्याण करने का है। भाइयो-बहनो, वन रैंक वन पेंशन...कांग्रेस के जमाने में..वन रैंक वन पेंशन...हर चुनाव में लॉलीपॉप पकड़ा देते थे सेना के जवानों को, उनकी डिसिप्लीन का दुरुपयोग करते थे। सेना के जवान अनुशासन में रहने के कारण कभी मोर्चे नहीं निकालते थे, मुंह खोलते नहीं थे और हर चुनाव में ये वन रैंक वन पेंशन के नारे देते थे और जब बहुत दबाव बना और मैंने जब घोषणा की 2013 में कि हमारी सरकार आएगी तो वन रैंक वन पेंशन देगी तो वो मारे-मारे बजट के अंदर 500 करोड़ रुपया लेके आ गए। 500 करोड़ रुपये से वन रैंक वन पेंशन हो नहीं सकता है। जब हमने लागू किया तो करीब-करीब 12,000 करोड़ रुपया लग गया। भाइयो-बहनो, देश के लिए जीने-मरने वाले जवान, उनका मान-सम्मान और ये चंबल का पूरा इलाका...इस ग्वालियर का इलाका...ये देश की सेवा के लिए हर परिवार से कोई ना कोई जवान सीमा पर तैनात रहता है, ऐसे जवानों को वन रैंक वन पेंशन देने का काम हमारी सरकार ने किया है। 

भाइयो-बहनो, चाहे युवा हो, चाहे किसान हो, चाहे हमारे देश के लघु उद्योंगों से जुड़े हुए लोग हों, चाहे छोटे कारोबारी हों...हर क्षेत्र में हमने विकास को माहात्म्य दिया है और भारतीय जनता पार्टी का एक ही मंत्र है विकास..विकास..और विकास। कांग्रेस का मंत्र है बांटो...बांटो...बांटो, भाई को भाई से जुदा करो, एक जाति को दूसरी जाति से जुदा करो, एक शहर को गांव से लड़ाओ, गांव को शहर से लड़ाओ हर जगह पर भेद करो, खाई पैदा करो, बंटवारा करो। हमारा मंत्र है सबका साथ, सबका विकास। ये सबका साथ, सबका विकास इसी मंत्र को लेकर के मैं आज ग्वालियर वासियों के पास आया हूं। मध्य प्रदेश में आज मेरा दूसरा कार्यक्रम है. मैंने सुबह छत्तीसगढ़ से शुरू किया है। मैं शहडोल भी गया और अभी ग्वालियर आया हूं। हवा का रुख साफ दिख रहा है। भाइयो-बहनो आप संकल्प कीजिए, ज्यादा से ज्यादा मतदान करेंगे और नियम बनाइए, पहले मतदान फिर जलपान। पहले मतदान करेंगे बाद में जलपान करेंगे। भारी संख्या में मतदान कीजिए। भारतीय जनता पार्टी के लोगों को विजयी बनाइए और मध्य प्रदेश की विकास यात्रा को एक नई प्रेरणा, नई ताकत, नई ऊर्जा देकर के आप आगे बढ़ें, इसी एक अपेक्षा के साथ मेरे साथ जोड़ से बोलिए भारत माता की...जय...भारत माता की...जय...भारत माता की...जय! 

 

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Text of PM Modi's address at the Parliament of Guyana
November 21, 2024

Hon’ble Speaker, मंज़ूर नादिर जी,
Hon’ble Prime Minister,मार्क एंथनी फिलिप्स जी,
Hon’ble, वाइस प्रेसिडेंट भरत जगदेव जी,
Hon’ble Leader of the Opposition,
Hon’ble Ministers,
Members of the Parliament,
Hon’ble The चांसलर ऑफ द ज्यूडिशियरी,
अन्य महानुभाव,
देवियों और सज्जनों,

गयाना की इस ऐतिहासिक पार्लियामेंट में, आप सभी ने मुझे अपने बीच आने के लिए निमंत्रित किया, मैं आपका बहुत-बहुत आभारी हूं। कल ही गयाना ने मुझे अपना सर्वोच्च सम्मान दिया है। मैं इस सम्मान के लिए भी आप सभी का, गयाना के हर नागरिक का हृदय से आभार व्यक्त करता हूं। गयाना का हर नागरिक मेरे लिए ‘स्टार बाई’ है। यहां के सभी नागरिकों को धन्यवाद! ये सम्मान मैं भारत के प्रत्येक नागरिक को समर्पित करता हूं।

साथियों,

भारत और गयाना का नाता बहुत गहरा है। ये रिश्ता, मिट्टी का है, पसीने का है,परिश्रम का है करीब 180 साल पहले, किसी भारतीय का पहली बार गयाना की धरती पर कदम पड़ा था। उसके बाद दुख में,सुख में,कोई भी परिस्थिति हो, भारत और गयाना का रिश्ता, आत्मीयता से भरा रहा है। India Arrival Monument इसी आत्मीय जुड़ाव का प्रतीक है। अब से कुछ देर बाद, मैं वहां जाने वाला हूं,

साथियों,

आज मैं भारत के प्रधानमंत्री के रूप में आपके बीच हूं, लेकिन 24 साल पहले एक जिज्ञासु के रूप में मुझे इस खूबसूरत देश में आने का अवसर मिला था। आमतौर पर लोग ऐसे देशों में जाना पसंद करते हैं, जहां तामझाम हो, चकाचौंध हो। लेकिन मुझे गयाना की विरासत को, यहां के इतिहास को जानना था,समझना था, आज भी गयाना में कई लोग मिल जाएंगे, जिन्हें मुझसे हुई मुलाकातें याद होंगीं, मेरी तब की यात्रा से बहुत सी यादें जुड़ी हुई हैं, यहां क्रिकेट का पैशन, यहां का गीत-संगीत, और जो बात मैं कभी नहीं भूल सकता, वो है चटनी, चटनी भारत की हो या फिर गयाना की, वाकई कमाल की होती है,

साथियों,

बहुत कम ऐसा होता है, जब आप किसी दूसरे देश में जाएं,और वहां का इतिहास आपको अपने देश के इतिहास जैसा लगे,पिछले दो-ढाई सौ साल में भारत और गयाना ने एक जैसी गुलामी देखी, एक जैसा संघर्ष देखा, दोनों ही देशों में गुलामी से मुक्ति की एक जैसी ही छटपटाहट भी थी, आजादी की लड़ाई में यहां भी,औऱ वहां भी, कितने ही लोगों ने अपना जीवन समर्पित कर दिया, यहां गांधी जी के करीबी सी एफ एंड्रूज हों, ईस्ट इंडियन एसोसिएशन के अध्यक्ष जंग बहादुर सिंह हों, सभी ने गुलामी से मुक्ति की ये लड़ाई मिलकर लड़ी,आजादी पाई। औऱ आज हम दोनों ही देश,दुनिया में डेमोक्रेसी को मज़बूत कर रहे हैं। इसलिए आज गयाना की संसद में, मैं आप सभी का,140 करोड़ भारतवासियों की तरफ से अभिनंदन करता हूं, मैं गयाना संसद के हर प्रतिनिधि को बधाई देता हूं। गयाना में डेमोक्रेसी को मजबूत करने के लिए आपका हर प्रयास, दुनिया के विकास को मजबूत कर रहा है।

साथियों,

डेमोक्रेसी को मजबूत बनाने के प्रयासों के बीच, हमें आज वैश्विक परिस्थितियों पर भी लगातार नजर ऱखनी है। जब भारत और गयाना आजाद हुए थे, तो दुनिया के सामने अलग तरह की चुनौतियां थीं। आज 21वीं सदी की दुनिया के सामने, अलग तरह की चुनौतियां हैं।
दूसरे विश्व युद्ध के बाद बनी व्यवस्थाएं और संस्थाएं,ध्वस्त हो रही हैं, कोरोना के बाद जहां एक नए वर्ल्ड ऑर्डर की तरफ बढ़ना था, दुनिया दूसरी ही चीजों में उलझ गई, इन परिस्थितियों में,आज विश्व के सामने, आगे बढ़ने का सबसे मजबूत मंत्र है-"Democracy First- Humanity First” "Democracy First की भावना हमें सिखाती है कि सबको साथ लेकर चलो,सबको साथ लेकर सबके विकास में सहभागी बनो। Humanity First” की भावना हमारे निर्णयों की दिशा तय करती है, जब हम Humanity First को अपने निर्णयों का आधार बनाते हैं, तो नतीजे भी मानवता का हित करने वाले होते हैं।

साथियों,

हमारी डेमोक्रेटिक वैल्यूज इतनी मजबूत हैं कि विकास के रास्ते पर चलते हुए हर उतार-चढ़ाव में हमारा संबल बनती हैं। एक इंक्लूसिव सोसायटी के निर्माण में डेमोक्रेसी से बड़ा कोई माध्यम नहीं। नागरिकों का कोई भी मत-पंथ हो, उसका कोई भी बैकग्राउंड हो, डेमोक्रेसी हर नागरिक को उसके अधिकारों की रक्षा की,उसके उज्जवल भविष्य की गारंटी देती है। और हम दोनों देशों ने मिलकर दिखाया है कि डेमोक्रेसी सिर्फ एक कानून नहीं है,सिर्फ एक व्यवस्था नहीं है, हमने दिखाया है कि डेमोक्रेसी हमारे DNA में है, हमारे विजन में है, हमारे आचार-व्यवहार में है।

साथियों,

हमारी ह्यूमन सेंट्रिक अप्रोच,हमें सिखाती है कि हर देश,हर देश के नागरिक उतने ही अहम हैं, इसलिए, जब विश्व को एकजुट करने की बात आई, तब भारत ने अपनी G-20 प्रेसीडेंसी के दौरान One Earth, One Family, One Future का मंत्र दिया। जब कोरोना का संकट आया, पूरी मानवता के सामने चुनौती आई, तब भारत ने One Earth, One Health का संदेश दिया। जब क्लाइमेट से जुड़े challenges में हर देश के प्रयासों को जोड़ना था, तब भारत ने वन वर्ल्ड, वन सन, वन ग्रिड का विजन रखा, जब दुनिया को प्राकृतिक आपदाओं से बचाने के लिए सामूहिक प्रयास जरूरी हुए, तब भारत ने CDRI यानि कोएलिशन फॉर डिज़ास्टर रज़ीलिएंट इंफ्रास्ट्रक्चर का initiative लिया। जब दुनिया में pro-planet people का एक बड़ा नेटवर्क तैयार करना था, तब भारत ने मिशन LiFE जैसा एक global movement शुरु किया,

साथियों,

"Democracy First- Humanity First” की इसी भावना पर चलते हुए, आज भारत विश्वबंधु के रूप में विश्व के प्रति अपना कर्तव्य निभा रहा है। दुनिया के किसी भी देश में कोई भी संकट हो, हमारा ईमानदार प्रयास होता है कि हम फर्स्ट रिस्पॉन्डर बनकर वहां पहुंचे। आपने कोरोना का वो दौर देखा है, जब हर देश अपने-अपने बचाव में ही जुटा था। तब भारत ने दुनिया के डेढ़ सौ से अधिक देशों के साथ दवाएं और वैक्सीन्स शेयर कीं। मुझे संतोष है कि भारत, उस मुश्किल दौर में गयाना की जनता को भी मदद पहुंचा सका। दुनिया में जहां-जहां युद्ध की स्थिति आई,भारत राहत और बचाव के लिए आगे आया। श्रीलंका हो, मालदीव हो, जिन भी देशों में संकट आया, भारत ने आगे बढ़कर बिना स्वार्थ के मदद की, नेपाल से लेकर तुर्की और सीरिया तक, जहां-जहां भूकंप आए, भारत सबसे पहले पहुंचा है। यही तो हमारे संस्कार हैं, हम कभी भी स्वार्थ के साथ आगे नहीं बढ़े, हम कभी भी विस्तारवाद की भावना से आगे नहीं बढ़े। हम Resources पर कब्जे की, Resources को हड़पने की भावना से हमेशा दूर रहे हैं। मैं मानता हूं,स्पेस हो,Sea हो, ये यूनीवर्सल कन्फ्लिक्ट के नहीं बल्कि यूनिवर्सल को-ऑपरेशन के विषय होने चाहिए। दुनिया के लिए भी ये समय,Conflict का नहीं है, ये समय, Conflict पैदा करने वाली Conditions को पहचानने और उनको दूर करने का है। आज टेरेरिज्म, ड्रग्स, सायबर क्राइम, ऐसी कितनी ही चुनौतियां हैं, जिनसे मुकाबला करके ही हम अपनी आने वाली पीढ़ियों का भविष्य संवार पाएंगे। और ये तभी संभव है, जब हम Democracy First- Humanity First को सेंटर स्टेज देंगे।

साथियों,

भारत ने हमेशा principles के आधार पर, trust और transparency के आधार पर ही अपनी बात की है। एक भी देश, एक भी रीजन पीछे रह गया, तो हमारे global goals कभी हासिल नहीं हो पाएंगे। तभी भारत कहता है – Every Nation Matters ! इसलिए भारत, आयलैंड नेशन्स को Small Island Nations नहीं बल्कि Large ओशिन कंट्रीज़ मानता है। इसी भाव के तहत हमने इंडियन ओशन से जुड़े आयलैंड देशों के लिए सागर Platform बनाया। हमने पैसिफिक ओशन के देशों को जोड़ने के लिए भी विशेष फोरम बनाया है। इसी नेक नीयत से भारत ने जी-20 की प्रेसिडेंसी के दौरान अफ्रीकन यूनियन को जी-20 में शामिल कराकर अपना कर्तव्य निभाया।

साथियों,

आज भारत, हर तरह से वैश्विक विकास के पक्ष में खड़ा है,शांति के पक्ष में खड़ा है, इसी भावना के साथ आज भारत, ग्लोबल साउथ की भी आवाज बना है। भारत का मत है कि ग्लोबल साउथ ने अतीत में बहुत कुछ भुगता है। हमने अतीत में अपने स्वभाव औऱ संस्कारों के मुताबिक प्रकृति को सुरक्षित रखते हुए प्रगति की। लेकिन कई देशों ने Environment को नुकसान पहुंचाते हुए अपना विकास किया। आज क्लाइमेट चेंज की सबसे बड़ी कीमत, ग्लोबल साउथ के देशों को चुकानी पड़ रही है। इस असंतुलन से दुनिया को निकालना बहुत आवश्यक है।

साथियों,

भारत हो, गयाना हो, हमारी भी विकास की आकांक्षाएं हैं, हमारे सामने अपने लोगों के लिए बेहतर जीवन देने के सपने हैं। इसके लिए ग्लोबल साउथ की एकजुट आवाज़ बहुत ज़रूरी है। ये समय ग्लोबल साउथ के देशों की Awakening का समय है। ये समय हमें एक Opportunity दे रहा है कि हम एक साथ मिलकर एक नया ग्लोबल ऑर्डर बनाएं। और मैं इसमें गयाना की,आप सभी जनप्रतिनिधियों की भी बड़ी भूमिका देख रहा हूं।

साथियों,

यहां अनेक women members मौजूद हैं। दुनिया के फ्यूचर को, फ्यूचर ग्रोथ को, प्रभावित करने वाला एक बहुत बड़ा फैक्टर दुनिया की आधी आबादी है। बीती सदियों में महिलाओं को Global growth में कंट्रीब्यूट करने का पूरा मौका नहीं मिल पाया। इसके कई कारण रहे हैं। ये किसी एक देश की नहीं,सिर्फ ग्लोबल साउथ की नहीं,बल्कि ये पूरी दुनिया की कहानी है।
लेकिन 21st सेंचुरी में, global prosperity सुनिश्चित करने में महिलाओं की बहुत बड़ी भूमिका होने वाली है। इसलिए, अपनी G-20 प्रेसीडेंसी के दौरान, भारत ने Women Led Development को एक बड़ा एजेंडा बनाया था।

साथियों,

भारत में हमने हर सेक्टर में, हर स्तर पर, लीडरशिप की भूमिका देने का एक बड़ा अभियान चलाया है। भारत में हर सेक्टर में आज महिलाएं आगे आ रही हैं। पूरी दुनिया में जितने पायलट्स हैं, उनमें से सिर्फ 5 परसेंट महिलाएं हैं। जबकि भारत में जितने पायलट्स हैं, उनमें से 15 परसेंट महिलाएं हैं। भारत में बड़ी संख्या में फाइटर पायलट्स महिलाएं हैं। दुनिया के विकसित देशों में भी साइंस, टेक्नॉलॉजी, इंजीनियरिंग, मैथ्स यानि STEM graduates में 30-35 परसेंट ही women हैं। भारत में ये संख्या फोर्टी परसेंट से भी ऊपर पहुंच चुकी है। आज भारत के बड़े-बड़े स्पेस मिशन की कमान महिला वैज्ञानिक संभाल रही हैं। आपको ये जानकर भी खुशी होगी कि भारत ने अपनी पार्लियामेंट में महिलाओं को रिजर्वेशन देने का भी कानून पास किया है। आज भारत में डेमोक्रेटिक गवर्नेंस के अलग-अलग लेवल्स पर महिलाओं का प्रतिनिधित्व है। हमारे यहां लोकल लेवल पर पंचायती राज है, लोकल बॉड़ीज़ हैं। हमारे पंचायती राज सिस्टम में 14 लाख से ज्यादा यानि One point four five मिलियन Elected Representatives, महिलाएं हैं। आप कल्पना कर सकते हैं, गयाना की कुल आबादी से भी करीब-करीब दोगुनी आबादी में हमारे यहां महिलाएं लोकल गवर्नेंट को री-प्रजेंट कर रही हैं।

साथियों,

गयाना Latin America के विशाल महाद्वीप का Gateway है। आप भारत और इस विशाल महाद्वीप के बीच अवसरों और संभावनाओं का एक ब्रिज बन सकते हैं। हम एक साथ मिलकर, भारत और Caricom की Partnership को और बेहतर बना सकते हैं। कल ही गयाना में India-Caricom Summit का आयोजन हुआ है। हमने अपनी साझेदारी के हर पहलू को और मजबूत करने का फैसला लिया है।

साथियों,

गयाना के विकास के लिए भी भारत हर संभव सहयोग दे रहा है। यहां के इंफ्रास्ट्रक्चर में निवेश हो, यहां की कैपेसिटी बिल्डिंग में निवेश हो भारत और गयाना मिलकर काम कर रहे हैं। भारत द्वारा दी गई ferry हो, एयरक्राफ्ट हों, ये आज गयाना के बहुत काम आ रहे हैं। रीन्युएबल एनर्जी के सेक्टर में, सोलर पावर के क्षेत्र में भी भारत बड़ी मदद कर रहा है। आपने t-20 क्रिकेट वर्ल्ड कप का शानदार आयोजन किया है। भारत को खुशी है कि स्टेडियम के निर्माण में हम भी सहयोग दे पाए।

साथियों,

डवलपमेंट से जुड़ी हमारी ये पार्टनरशिप अब नए दौर में प्रवेश कर रही है। भारत की Energy डिमांड तेज़ी से बढ़ रही हैं, और भारत अपने Sources को Diversify भी कर रहा है। इसमें गयाना को हम एक महत्वपूर्ण Energy Source के रूप में देख रहे हैं। हमारे Businesses, गयाना में और अधिक Invest करें, इसके लिए भी हम निरंतर प्रयास कर रहे हैं।

साथियों,

आप सभी ये भी जानते हैं, भारत के पास एक बहुत बड़ी Youth Capital है। भारत में Quality Education और Skill Development Ecosystem है। भारत को, गयाना के ज्यादा से ज्यादा Students को Host करने में खुशी होगी। मैं आज गयाना की संसद के माध्यम से,गयाना के युवाओं को, भारतीय इनोवेटर्स और वैज्ञानिकों के साथ मिलकर काम करने के लिए भी आमंत्रित करता हूँ। Collaborate Globally And Act Locally, हम अपने युवाओं को इसके लिए Inspire कर सकते हैं। हम Creative Collaboration के जरिए Global Challenges के Solutions ढूंढ सकते हैं।

साथियों,

गयाना के महान सपूत श्री छेदी जगन ने कहा था, हमें अतीत से सबक लेते हुए अपना वर्तमान सुधारना होगा और भविष्य की मजबूत नींव तैयार करनी होगी। हम दोनों देशों का साझा अतीत, हमारे सबक,हमारा वर्तमान, हमें जरूर उज्जवल भविष्य की तरफ ले जाएंगे। इन्हीं शब्दों के साथ मैं अपनी बात समाप्त करता हूं, मैं आप सभी को भारत आने के लिए भी निमंत्रित करूंगा, मुझे गयाना के ज्यादा से ज्यादा जनप्रतिनिधियों का भारत में स्वागत करते हुए खुशी होगी। मैं एक बार फिर गयाना की संसद का, आप सभी जनप्रतिनिधियों का, बहुत-बहुत आभार, बहुत बहुत धन्यवाद।