Amravati is on way to becoming people's capital. I congratulate people & Govt. Of Andhra Pradesh: PM
Appreciate Chandrababu Naidu for his efforts in forming the new capital & integrating whatever is best across the world: PM
Urban development should be taken up as an opportunity not as a challenge: PM Modi
Govt. Of India has taken a step to create 100 smart cities: PM
In the coming times, Amravati would lead the nation in urban development: PM Narendra Modi
Be it Andhra Pradesh or Telangana, the soul is Telegu; both the states must progress: PM Modi
In coming times, Andhra Pradesh would be an innovation & start-up hub: PM
I have got soil from the temple of democracy, the Parliament & water from the Yamuna river: PM

आज विजया-दशमी के इस पावन पर्व पर और नवरात्रि की शक्ति उपासना के बाद आंध्र प्रदेश एक महत्वपूर्ण कदम उठा रहा है। आज आंध्र प्रदेश की राजधानी, जो राजधानी सदियों से अपनी एक सांस्कृतिक विरासत ले करके जी रही है, अपनी एक ऐतिहासिक विरासत को ले करके जी रही है, उस संस्कृति के साथ जोड़ते हुए, उस ऐतिहासि‍क विरासत के साथ जोड़ते हुए अमरावती नए रंग-रूप के साथ, नए आधुनिक साज-सज्जा के साथ आंध्र के आशा-अपेक्षा का केंद्र बिन्दु बनने जा रही है और एक प्रकार से सच्चे अर्थ में people’s capital बनने जा रही है। मैं यहां की सरकार को, यहां के नागरिकों को हृदय से बहुत-बहुत बधाई देता हूं, अभिनंदन करता हूं।

सरकार बनने के इतने कम समय में चंद्रबाबू ने जिस गति से इस काम को हाथ में लिया और इसको दुनिया में जो कुछ श्रेष्ठ है उसको समाहित करने का प्रयास किया इसलिए मैं चंद्रबाबू जी को हृदय से बहुत-बहुत अभिनंदन देता हूं।

हमारा देश आजाद होने के बाद बहुत कम नए शहर बने हैं और उसके कारण भारत में नए शहर बनाना, ये विषय उतनी मात्रा में लोगों में प्रचलित नहीं है कि आज के युग में जितनी मात्रा में होना चाहिए था। दुर्भाग्य से पिछले कुछ दशकों में हमारे देश में एक ऐसी सोच बनी कि urbanization एक समस्या है और उसी के चलते हमने इस growth centre की तरफ अनदेखी की है। आज समय की मांग है कि urban development को हमें समस्या नहीं मानना चाहिए, उसे एक opportunity मानना चाहिए। और इसीलिए भारत सरकार ने, दुनिया जिस प्रकार से बदलती रही है, जिस प्रकार से technology का उपयोग हो रहा है, हमें एक आधुनिक शहरों की रचना की ओर जाना होगा और 100 smart city की दिशा में जाने का एक अहम कदम भारत सरकार ने उठाया है। और ये शहर economy activity के भी centre हो, आर्थिक growth के भी वो इंजन बनें, इस प्रकार के शहरों की एक रचना नए सिरे से करने की दिशा में हमारा प्रयास है और तब जा करके ये नए आधुनिक शहर जिसमें आधुनिक से आधुनिक technology का उपयोग हो, आधुनिक से आधुनिक transportation हो, walk to work की योजना हो, green हो, no wastage वाला city बने।

मैं आशा करता हूं कि देश के अंदर urban development की दिशा में जो नए कदम उठाए हैं, उसमें अमरावती, आंध्रप्रदेश एक सीमा चिन्ह के रूप में मार्गदर्शक काम करेगा, ऐसा मुझे विश्वास है।

अभी जापान के मंत्री श्री बता रहे थे कि नया शहर बनाना कितना कठिन होता है उसका जापान को भली-भांति अनुभव है। मेरे जीवन में भी ऐसा अवसर आया, जब 2001 में गुजरात में भयंकर भूकम्प आया, उसके बाद मुझे गुजरात के मुख्यमंत्री का दायित्व आया, पूरा कच्छ् जिला हमारा और अन्य जिलों के महत्वपूर्ण शहर एक प्रकार से ध्वस्त हो चुके थे, हमारे सामने बड़ी चुनौती थी उन सभी गांवों को, शहरों को खड़ा करना। लेकिन जब political wheel हो, जनता-जनार्दन का समर्थन हो, स्पष्ट दृष्टि हो तो सिद्धियां प्राप्त हो के रहती हैं और आज वो जिला हिंदुस्तान के fastest गति से आगे बढ़ने वाले जिलों में अपनी जगह बना रहा है।

जब ये अमरावती का मुझे निमंत्रण मिला, मैंने बाबू को कहा था मैं जरूर आऊंगा लेकिन जब मैंने अखबार में पढ़ा कि चंद्रबाबू तेलंगाना के मुख्यमंत्री के घर गए जा करके उन्होंने उनको निमंत्रण दिया, ये जब समाचार मेरे पास आए तब मेरी खुशियों का पार नहीं रहा था और इसलिए मैं उनको विशेष बधाई देता हूं, इस काम के लिए।

कुछ लोगों के राजनीतिक स्वार्थ के कारण विचार-विमर्श की प्रक्रिया को पूर्ण किए बिना हड़बड़ में, जल्दबाजी में आंध्र और तेलंगाना विभाजन हुआ। लेकिन इस सारी प्रक्रिया में जो निर्दोष लोगों को जान गंवानी पड़ी, संपत्ति का अपरम्पार नुकसान हुआ, उसकी पीड़ा मुझे आज भी है। अंग्रेज कुछ ऐसी चीजें छोड़ करके गए कि उसके कारण आज भी हमारे देश में कभी-न-कभी कोई-न-कोई तनाव पैदा होता है। पिछली सरकार भी कुछ ऐसा करके गई है कि जिसके कारण आंध्र और तेलंगाना के बीच हर समय कोई न कोई तनाव के कारण बने रहते हैं। लेकिन अब समय की मांग है कि हम आंध्र और तेलंगाना, चाहे आंध्र हो, चाहे तेलंगाना हो, हमारी आत्मा तेलुगु है। और इस तेलुगु आत्मा की दो भुजाएं हैं एक तेलंगाना, एक आंन्ध्र और दोनों इतनी प्रगति करें, दोनों एक-दूसरे को इतने पूरक हों कि हिंदुस्तान की शान बढ़ाने में ये हमारी शक्ति बनी रहे।

मुझे विश्वास है कि भारत सरकार ने जो एक startup का अभियान चलाया है उस startup का सबसे ज्यादा लाभ लेने की किसी की ताकत है तो इस धरती की है। आंध्र के लाखों जवान दुनिया के अनेक देशों में professionals के नाते अपनी उत्तम जगह बनाई है। आंध्र प्रदेश के पास ऐसे प्रतिभावान नौजवान हों, बुद्धिमान youth हो वे innovation के लिए, startup के लिए एक पूरा नया साम्राज्य आंध्र की धरती पर खडा कर सकते हैं। मुझे विश्वास है कि इसके द्वारा आने वाले दिनों में आंध्र एक नई आर्थिक क्रान्ति का नेतृत्व करेगा। ये युवा केन्द्रित आर्थिक क्रान्ति होगी। जिस देश के पास eight hundred million 65 साल से कम आयु की उम्र के नौजवान हों, वो देश नई-नई आर्थिक शक्ति बन सकता है, नई आर्थिक क्रान्ति कर सकता है।

मुझे विश्वास है कि भले आंध्र और तेलंगाना अलग हुए हों लेकिन दोनों में आगे बढ़ने की शक्ति है और दोनों एक-दूसरे को पूरक बन करके आगे बढ़ने का प्रयास करेंगे, उतना ही दोनों प्रदेशों को लाभ होगा।

जब अटल बिहारी वाजपेयी जी इस देश के प्रधानमंत्री थे तब इस देश में तीन नए राज्य बने थे, तीन राज्यों का विभाजन हुआ था लेकिन कोई कटुता नहीं थी, कोई संघर्ष नहीं हुआ, कोई लहु नहीं बहे और बाद में भी कोई संकट पैदा नहीं हुआ। मुझे आंध्र और तेलंगाना के बीच में भी वो ही स्थिति लाने का प्रयास करना है।

पिछली सरकार ने बहुत-सी ऐसी चीजें की हैं, जिसको ठीक करने में हमारी काफी ताकत जा रही है, काफी समय जा रहा है, लेकिन मैं इन दोनों प्रदेशवासियों को विश्वास दिलाना चाहता हूं कि भारत सरकार हर प्रकार से आपके साथ रहेगी और हर संभव सहायता करती रहेगी।

भारत सरकार और चंद्रबाबू के बीच में frequency इतनी match होती है, काम करने में एक-दूसरे को समझने में इतनी सुविधा है और उसके कारण सरकार बनने के बाद जो पहला ध्यान दिया गया वो हमने Human Resource Development पर दिया है। आंध्र के अंदर Human Resource Development का एक capital कैसे बने, उस दिशा में हमने ध्यान केन्द्रित किया है। Reorganization Act के तहत Human Resource Development को प्राथमिकता देकर के अब तक 11 शैक्षणिक संस्थानों के काम को आगे बढ़ाया गया है - Indian Institute of Technology (IIT), Indian Institute of Information Technology, Indian Institute of Management, All India Institute of Medical Science, NIT, Indian Institute of Science Education and Research, Central University, Petroleum University. ये सारी इकाईयां इतने कम समय में खड़ी करनी के दिशा में अहम कदम उठा लिए गए हैं।

प्रजा के इस राजधानी जब बन रही है तब आप लोग अपने-अपने गांव से पवित्र माटी और पानी लाए हैं और आपने सच्चे अर्थ में इसको प्रजा की पाट नगरी बनाने की दिशा में एक सफल आयोजन किया है। जब मुझे इस योजना का पता चला और आज मैं आ रहा था, तो मुझे भी विचार आया और मैं भी माटी और पानी साथ लेकर के आया। मैं माटी लाया हूं, भारत के लोकतंत्र का मंदिर - संसद के परिसर में से माटी लाया हूं और पानी यमुना जी नदी में से लाया हूं और यमुना जी, हमारे देश में कोई भी नदी सिर्फ नदी नहीं होती है, हमारे देश में नदी एक संस्कृति होती है। और जब मैंने चंद्रबाबू को ये दिया तो उनको आश्चर्य हुआ और वो मुझे कह रहे कि बड़ा emotional touch है मेरे मन को। लेकिन मैं आंध्रवासियों को कहना चाहता हूं कि ये सिर्फ संसद परिसर की मिट्टी या यमुना जी नदी का जल, इतना ही नहीं है ये तो एक प्रकार से देश की राजधानी अब अमरावती पहुंच गई है इसका संदेश है। ये प्रतीक इस बात का संदेश लेकर के आया है, ये symbol में वो ताकत है, वो विश्वास देता है कि आंध्र के विकास की यात्रा में दिल्ली कंधे से कंधा मिलाकर के चलेगा, हर समय साथ रहेगा और नई ऊंचाइयों को पार करके रहेगा।

जिन लोगों को आंध्र और तेलंगाना का विभाजन करने के साथ एक हमेशा की समस्या के बीज बोने का इरादा रहा है, वे आज भी विष पैदा करने के लिए उसमें खाद डाल रहे हैं। भ्रम फैलाने की कोशिश कर रहे हैं, नौजवानों की भावनाओं को भड़काने का प्रयास कर रहे हैं, लेकिन मैं आज इस अमरावती सांस्कृतिक नगरी से आंध्रवासियों को विश्वास दिलाना चाहता हूं कि Reorganization Act के अंदर जो भी बातें कही गई है उसको Letter and Spirit के साथ भारत सरकार साथ रहेगी, लागू करेगी, ये मैं विश्वास दिलाने आया हूं।

आप विश्वास रखिए चंद्रबाबू और नरेन्द्र मोदी की जोड़ी, जो बातें तय हुई है उसको साकार करके रहेगी, समय सीमा में साकार करके रहेगी और आंध्र के सपनों को पूरा करके रहेगी। मेरे साथ बोलिए भारत माता की जय, भारत माता की जय, भारत माता की जय, बहुत-बहुत धन्यवाद।

Explore More
୭୮ତମ ସ୍ୱାଧୀନତା ଦିବସ ଅବସରରେ ଲାଲକିଲ୍ଲାରୁ ପ୍ରଧାନମନ୍ତ୍ରୀ ଶ୍ରୀ ନରେନ୍ଦ୍ର ମୋଦୀଙ୍କ ଅଭିଭାଷଣ

ଲୋକପ୍ରିୟ ଅଭିଭାଷଣ

୭୮ତମ ସ୍ୱାଧୀନତା ଦିବସ ଅବସରରେ ଲାଲକିଲ୍ଲାରୁ ପ୍ରଧାନମନ୍ତ୍ରୀ ଶ୍ରୀ ନରେନ୍ଦ୍ର ମୋଦୀଙ୍କ ଅଭିଭାଷଣ
Bumper Apple crop! India’s iPhone exports pass Rs 1 lk cr

Media Coverage

Bumper Apple crop! India’s iPhone exports pass Rs 1 lk cr
NM on the go

Nm on the go

Always be the first to hear from the PM. Get the App Now!
...
Jammu and Kashmir of the 21st century is scripting a new chapter of development: PM at inauguration of Sonamarg Tunnel
January 13, 2025
Delighted to be amongst the wonderful people of Sonamarg, With the opening of the tunnel here, connectivity will significantly improve and tourism will see a major boost in Jammu and Kashmir: PM
The Sonamarg Tunnel will give a significant boost to connectivity and tourism: PM
Improved connectivity will open doors for tourists to explore lesser-known regions of Jammu and Kashmir: PM
Jammu and Kashmir of the 21st century is scripting a new chapter of development: PM
Kashmir is the crown of the country, the crown of India, I want this crown to be more beautiful and prosperous: PM

लेफ्टिनेंट गवर्नर श्री मनोज सिन्हा जी, जम्मू कश्मीर के मुख्यमंत्री श्री उमर अब्दुल्ला जी, कैबिनेट में मेरे सहयोगी श्री नितिन गडकरी जी, श्री जितेंद्र सिंह जी, अजय टम्टा जी, डिप्टी सीएम सुरेंदर कुमार चौधरी जी, नेता प्रतिपक्ष सुनील शर्मा जी, सभी सांसद, विधायक और जम्मू-कश्मीर के मेरे प्यारे भाइयों और बहनों।

मैं सबसे पहले तो देश की उन्नति के लिए, जम्मू कश्मीर की उन्नति के लिए जिन श्रमिक भाइयों ने कठिन से कठिन परिस्थितियों में काम किया, जीवन को भी संकट में डाल करके काम किया। सात हमारे श्रमिक साथियों ने अपनी जान गंवाई, लेकिन हम अपने संकल्प से डिगे नहीं, मेरे श्रमिक साथी डिगे नहीं, किसी ने घर वापस जाने को कहा नहीं, इन मेरे श्रमिक साथियों ने हर चुनौतियों को पार करते हुए, इस कार्य को पूरा किया है। और जिन सात साथियों को हमने खोया है, मैं आज सबसे पहले उनका पुण्य स्मरण करता हूं।

साथियों,

ये मौसम, ये बर्फ, ये बर्फ की सफेद चादर से ढकी ये खूबसूरत पहाड़ियां, दिल एकदम प्रसन्न हो जाता है। दो दिन पहले, हमारे मुख्यमंत्री जी ने सोशल मीडिया पर यहां की कुछ तस्वीरें शेयर की थीं। उन तस्वीरों को देखने के बाद, यहां आपके बीच आने के लिए मेरी बेसब्री और बढ़ गई थी। और जैसा अभी मुख्यमंत्री जी ने बताया कि मेरा कितना लंबे कालखंड से आप सबसे नाता रहा है, और यहां आता हूं तो बरसों पहले के दिन याद आने लग जाते हैं, और जब मैं भारतीय जनता पार्टी के संगठन के कार्यकर्ता के रूप में काम करता था, तब अक्सर यहां आना होता था। इस एरिया में मैंने काफी समय बिताया है, सोनमर्ग हो, गुलमर्ग हो, गांदरबल में, बारामूला हो, सब जगह हम घंटों-घंटों, कई-कई किलोमीटर पैदल सफर किया करते थे। और बर्फबारी तब भी बड़ी जबरदस्त हुआ करती थी, लेकिन जम्मू कश्मीर के लोगों की गर्मजोशी ऐसी है कि ठंडक का ऐहसास नहीं होता था।

साथियों,

आज का दिन बहुत ही खास है। आज देश के हर कोने में उत्सव का माहौल है। आज से ही प्रयागराज में महाकुंभ का आरंभ हो रहा है, करोड़ों लोग वहां पवित्र स्नान के लिए उमड़ रहे हैं। आज पंजाब समेत पूरा उत्तर भारत लोहड़ी की उमंग से भरा है, ये समय उत्तरायण, मकर संक्रांति, पोंगल जैसे कई त्योहारों का है। मैं देश और दुनिया में इन त्योहारों को मना रहे सभी लोगों के मंगल की कामना करता हूं। साल का ये समय, यहां वादी में चिल्लई कलां का होता है। 40 दिनों के इस मौसम का आप डटकर मुकाबला करते हैं। और इसका एक और पक्ष है, ये मौसम, सोनमर्ग जैसे टूरिस्ट डेस्टिनेशन्स के लिए नए मौके भी लाता है। देश भर से सैलानी यहां पहुंच रहे हैं। कश्मीर की वादियों में आकर वो लोग, आपकी मेहमान-नवाज़ी का भरपूर आनंद ले रहे हैं।

साथियों,

आज मैं एक बड़ी सौगात लेकर आपके एक सेवक के रूप में आपके बीच आया हूं। कुछ दिन पहले मुझे, जम्मू में और जैसा मुख्यमंत्री जी ने बताया 15 दिन पहले ही आपके अपने रेल डिवीजन का शिलान्यास करने का अवसर मिला था। ये आपकी बहुत पुरानी डिमांड थी। आज मुझे सोनमर्ग टनल, देश को, आपको सौंपने का मौका मिला है। यानि जम्मू कश्मीर की, लद्दाख की, एक और बहुत पुरानी डिमांड आज पूरी हुई है। और आप पक्का मानिए, ये मोदी है, वादा करता है तो निभाता है। हर काम का एक समय होता है और सही समय पर सही काम भी होने वाले हैं।

साथियों,

और जब मैं सोनमर्ग टनल की बात कर रहा था, इससे सोनमर्ग के साथ-साथ कारगिल और लेह के लोगों की, हमारे लेह के लोगों की ज़िंदगी भी बहुत आसान होगी। अब बर्फबारी के दौरान एवलांच से या फिर बरसात में होने वाली लैंड स्लाइड के कारण, जो रास्ते बंद होने की परेशानी आती थी, वो परेशानी कम होगी। जब रास्ते बंद होते हैं, तो यहां से बड़े अस्पताल आना-जाना मुश्किल हो जाता था। इससे यहां ज़रूरी सामान मिलने में भी मुश्किलें होती थीं, अब सोनमर्ग टनल बनने से ये दिक्कतें बहुत कम हो जाएंगी।

साथियों,

केंद्र में हमारी सरकार बनने के बाद ही 2015 में सोनमर्ग टनल के वास्तविक निर्माण का काम शुरू हुआ, और मुख्यमंत्री जी ने बहुत ही अच्छे शब्दों में उस कालखंड का वर्णन भी किया। मुझे खुशी है कि इस टनल का काम हमारी ही सरकार में पूरा भी हुआ है। और मेरा तो हमेशा एक मंत्र रहता है, जिसका प्रारंभ हम करेंगे, उसका उद्घाटन भी हम ही करेंगे, होती है, चलती है, कब होगा, कौन जाने, वो जमाना चला गया है।

साथियों,

इस टनल से इससे सर्दियों के इस मौसम में सोनमर्ग की कनेक्टिविटी भी बनी रहेगी, इससे सोनमर्ग समेत इस पूरे इलाके में टूरिज्म को भी नए पंख लगने वाले हैं। आने वाले दिनों में, रोड और रेल कनेक्टिविटी के बहुत सारे प्रोजेक्ट्स, जम्मू-कश्मीर में पूरे होने वाले हैं। यहीं पास में ही एक और बड़े कनेक्टिविटी प्रोजेक्ट पर भी काम चल रहा है। अब तो कश्मीर वादी, रेल से भी जुड़ने वाली है। मैं देख रहा हूं कि इसको लेकर भी यहां ज़बरदस्त खुशी का माहौल है। ये जो नई सड़कें बन रही हैं, ये जो रेल कश्मीर तक आने लगी है, अस्पताल बन रहे हैं, कॉलेज बन रहे हैं, यही तो नया जम्मू कश्मीर है। मैं आप सभी को इस टनल के लिए, और डेवलपमेंट के इस नए दौर के लिए भी तहे दिल से बधाई देता हूं।

साथियों,

आज भारत, तरक्की की नई बुलंदी की तरफ बढ़ चला है। हर देशवासी, 2047 तक भारत को डेवलप्ड नेशन बनाने में जुटा है। ये तभी हो सकता है, जब हमारे देश का कोई भी हिस्सा, कोई भी परिवार तरक्की से, डेवलपमेंट से पीछे ना छूटे। इसके लिए ही हमारी सरकार सबका साथ-सबका विकास की भावना के साथ पूरे समर्पण से दिन-रात काम कर रही है। बीते 10 साल में जम्मू कश्मीर सहित पूरे देश के 4 करोड़ से ज्यादा गरीबों को पक्के घर मिले हैं। आने वाले समय में तीन करोड़ और नए घर गरीबों को मिलने वाले हैं। आज भारत में करोड़ों लोगों को मुफ्त इलाज मिल रहा है। इसका जम्मू कश्मीर के लोगों को भी बड़ा फायदा हुआ है। नौजवानों की पढ़ाई के लिए देशभर में नए IIT, नए IIM, नए एम्स, नए मेडिकल कॉलेज, नर्सिंग कॉलेज, पॉलिटेक्निकल कॉलेज लगातार बनते चले जा रहे हैं। जम्मू-कश्मीर में भी बीते 10 साल में एक से बढ़कर एक एजुकेशन इंस्टीट्यूशंस बने हैं। इसका बहुत बड़ा लाभ यहां के मेरे बेटे-बेटियों, हमारे नौजवानों को हुआ है।

साथियों,

आज जम्मू कश्मीर से लेकर अरुणाचल प्रदेश तक, आज आप देख रहे हैं कि कितनी शानदार रोड, कितनी टनल्स, कितने ब्रिज बन रहे हैं। हमारा जम्मू कश्मीर तो अब टनल्स का, ऊंचे-ऊंचे पुलों का, रोपवे का हब बनता जा रहा है। दुनिया की सबसे ऊंची टनल्स यहां बन रही हैं। दुनिया के सबसे ऊंचे रेल-रोड ब्रिज, केबल ब्रिज, यहां बन रहे हैं। दुनिया की सबसे ऊंची रेल लाइन्स यहां बन रही हैं। हमारे चिनाब ब्रिज की इंजीनियरिंग देखकर पूरी दुनिया हैरत में है। अभी पिछले ही हफ्ते इस ब्रिज पर पैसेंजर ट्रेन का ट्रायल पूरा हुआ है। कश्मीर की रेलवे कनेक्टिविटी बढ़ाने वाला केबल ब्रिज, जोजिला, चिनैनी नाशरी और सोनमर्ग टनल के प्रोजेक्ट, उधमपुर-श्रीनगर-बारामुला का रेल लिंक प्रोजेक्ट, शंकराचार्य मंदिर, शिवखोड़ी और बालटाल-अमरनाथ रोपवे की स्कीम, कटरा से दिल्ली का एक्सप्रेसवे, आज जम्मू कश्मीर में रोड कनेक्टिविटी से जुड़े ही 42 thousand करोड़ रुपए से ज्यादा के प्रोजेक्ट्स पर काम चल रहा है। चार नेशनल हाईवे प्रोजेक्ट, दो रिंग रोड पर काम तेजी से जारी है। सोनमर्ग जैसी 14 से ज्यादा टनल्स पर यहां काम चल रहा है। ये सारे प्रोजेक्ट, जम्मू कश्मीर को देश के सबसे कनेक्टेड सूबे में से एक बनाने वाले हैं।

साथियों,

विकसित भारत के सफर में, बहुत बड़ा कंट्रीब्यूशन, हमारे टूरिज्म सेक्टर का है। बेहतर कनेक्टिविटी के चलते, जम्मू कश्मीर के उन इलाकों तक भी टूरिस्ट पहुंच पाएंगे, जो अभी तक अनछुए हैं। बीते दस सालों में जम्मू कश्मीर में अमन और तरक्की का जो माहौल बना है, उसका फायदा हम पहले ही टूरिज्म सेक्टर में देख रहे हैं। साल 2024 में 2 करोड़ से अधिक टूरिस्ट जम्मू कश्मीर आए हैं। यहां सोनमर्ग में भी 10 साल में 6 गुना ज्यादा टूरिस्ट बढ़े हैं। इसका लाभ आप लोगों को हुआ है, आवाम को हुआ है, होटल वालों, होम स्टे वालों, ढाबों वालों, कपड़े की दुकान वालों, टैक्सी वालों, सभी को हुआ है।

साथियों,

21वीं सदी का जम्मू-कश्मीर आज विकास की नई गाथा लिख रहा है। पहले के मुश्किल दिनों को पीछे छोड़कर हमारा कश्मीर, अब फिर से धरती का स्वर्ग होने की पहचान वापस पा रहा है। आज लोग रात के समय लाल चौक पर आइसक्रीम खाने जा रहे हैं, रात के समय भी वहां बड़ी रौनक रहती है। और कश्मीर के मेरे जो आर्टिस्ट साथी हैं, उन्होंने तो पोलो व्यू मार्केट को नया हैबिटेट सेंटर बना दिया है। मैं सोशल मीडिया पर देखता हूं कि कैसे यहां के म्यूजिशियंस, आर्टिस्ट, सिंगर वहां ढेर सारी परफॉर्मेंस करते रहते हैं। आज श्रीनगर में लोग अपने बाल-बच्चों के साथ सिनेमा हॉल में जाकर फिल्में देखते हैं, आराम से खरीदारी करते हैं। हालात बदलने वाले इतने सारे काम कोई सरकार अकेले नहीं कर सकती। जम्मू-कश्मीर में हालात बदलने का बहुत बड़ा श्रेय यहां की आवाम को जाता है, आप सभी को जाता है। आपने जम्हूरियत को मजबूत किया है, आपने भविष्य को मजबूत किया है।

साथियों,

ये जम्मू कश्मीर के नौजवानों के लिए एक शानदार फ्यूचर सामने मुझे साफ-साफ दिखाई दे रहा हूं। आप स्पोर्ट्स में ही देखिए, कितने मौके बन रहे हैं। कुछ महीने पहले ही श्रीनगर में पहली बार एक इंटरनेशनल मैराथन हुई है। जिसने भी वो तस्वीरें देखीं, वो आनंद से भर गया था और मुझे याद है, उस मैराथन में मुख्यमंत्री जी ने भी हिस्सा लिया था, इसका वीडियो भी वायरल हुआ था, और मैंने भी विशेषरूप से मुख्यमंत्री जी को बधाई दी थी, जब मुझे वो तुरंत दिल्ली में मिले थे। मुलाकात के दौरान मैं उनका उत्साह देख रहा था, उमंग देख रहा था और मैराथन के बारे में, वो बड़ी बारीकी से मुझे बता रहे थे।

साथियों,

वाकई ये नए जम्मू-कश्मीर का एक नया दौर है। हाल में ही चालीस साल बाद कश्मीर में इंटरनेशनल क्रिकेट लीग हुई है। उससे पहले हमने डल लेक के इर्दगिर्द कार रेसिंग के वो खूबसूरत नज़ारे भी देखे हैं। हमारा ये गुलमर्ग तो एक तरह से भारत के लिए विंटर गेम्स की कैपिटल बनता जा रहा है। गुलमर्ग में चार खेलो इंडिया विंटर गेम्स हो चुके हैं। अगले महीने पांचवें खेलो इंडिया विंटर गेम्स भी शुरु होने वाले हैं। बीते 2 साल में ही देशभर से अलग-अलग स्पोर्ट्स टूर्नामेंट के लिए ढाई हज़ार खिलाड़ी जम्मू कश्मीर आए हैं। जम्मू कश्मीर में नब्बे से ज्यादा खेलो इंडिया सेंटर बनाए गए हैं। हमारे यहां के साढ़े चार हज़ार नौजवान ट्रेनिंग ले रहे हैं।

साथियों,

आज हर तरफ जम्मू-कश्मीर के नौजवानों के लिए नए-नए मौके बन रहे हैं। जम्मू और अवंतिपोरा में एम्स का काम तेजी से हो रहा है। यानि अब इलाज के लिए देश के दूसरे हिस्से में जाने की मजबूरी कम होगी। जम्मू में आईआईटी-आईआईएम और सेंट्रल यूनिवर्सिटी के शानदार कैंपस में पढ़ाई हो रही है। जम्मू कश्मीर में जो कारीगरी और शिल्पकारी है, उसे हमारे विश्वकर्मा साथी आगे बढ़ा रहे हैं, उनको पीएम विश्वकर्मा और जम्मू कश्मीर सरकार की दूसरी स्कीम्स से मदद मिल रही है। हमारी निरंतर कोशिश है कि यहां नई इंडस्ट्री भी आए। यहां अलग-अलग इंडस्ट्री के लोग करीब 13 हज़ार करोड़ रुपए लगाने जा रहे हैं। इससे हज़ारों नौजवानों को यहां नौकरी मिलेगी। जम्मू कश्मीर बैंक भी अब काफी बेहतर तरीके से काम करने लगा है। बीते 4 साल में जम्मू कश्मीर बैंक का बिजनेस 1 लाख 60 हजार करोड़ से बढ़कर 2 लाख 30 हजार करोड़ रुपए हो गया है। यानि इस बैंक का बिजनेस बढ़ रहा है, लोन देने की कैपेसिटी भी बढ़ रही है। इसका फायदा, यहां के नौजवानों, किसानों-बागबानों, दुकानदारों-कारोबारियों, सबको हो रहा है।

साथियों,

जम्मू-कश्मीर का अतीत, अब विकास के वर्तमान में बदल चुका है। विकसित भारत का सपना, तभी पूरा होगा जब इसके शिखर पर तरक्की के मोती जड़े हों। कश्मीर तो देश का मुकुट है, भारत का ताज है। इसलिए मैं चाहता हूं कि ये ताज और सुंदर हो, ये ताज और समृद्ध हो। और मुझे ये देखकर खुशी होती है कि इस काम में मुझे यहां के नौजवानों का, बुजुर्गों का, बेटे-बेटियों का लगातार साथ मिल रहा है। आप अपने सपनों को हकीकत में बदलने के लिए, जम्मू-कश्मीर की प्रगति के लिए, भारत की प्रगति के लिए पूरी मेहनत से काम कर रहे हैं। मैं आपको फिर भरोसा देता हूं, मोदी आपके साथ कदम से कदम मिलाकर चलेगा। आपके सपनों के रास्ते में आने वाली हर बाधा को हटाएगा।

साथियों,

एक बार फिर, आज की विकास परियोजनाओं के लिए जम्मू-कश्मीर के मेरे हर परिवार को ढेर सारी शुभकामनाएं देता हूं। ये हमारे साथी नितिन जी ने, मनोज सिन्हा जी ने, और मुख्यमंत्री जी ने जिस तेजी से तरक्की हो रही है, जिस तेजी से विकास हो रहा है, जो नए-नए प्रोजेक्ट्स होने जा रहे हैं, उसका विस्तार से वर्णन किया है। और इसलिए मैं उसे दोहराता नहीं हूं। मैं आपको इतना ही कहता हूं कि अब ये दूरी मिट चुकी है, अब हमें मिलकर के सपने भी संजोने हैं, संकल्प भी लेने हैं और सिद्धि भी प्राप्त करनी है। मेरी आप सबको बहुत-बहुत शुभकामनाएं।

बहुत-बहुत धन्यवाद।