INDI-Agadhi plans to have five PMs in 5 years if elected: PM Modi in Solapur

Published By : Admin | April 29, 2024 | 20:57 IST
INDI-Agadhi plans to have five PMs in 5 years if elected: PM Modi in Solapur
We provided the National Commission for OBCs a constitutional status, enforced reservation for OBCs in medical colleges: PM Modi

भारत माता की.. भारत माता की.. भारत माता की.. 

माझ्या प्रिय सोलापूरकरांना अतिशय मनापासून नमस्कार करतो.. जय जय राम कृष्ण हरे! सोलापूरचे ग्रामदैवत श्री सिद्धेश्वराच्या चरणी मी नतमस्तक होतो। भगवान विट्ठल और जगदगुरु बसवेश्वरा की इस धरती का ये आशीर्वाद, छत्रपति शिवाजी महाराज की ये धरती पर ये जनसैलाब, ये उत्साह साफ-साफ बता रहा है..फिर एक बार.. फिर एक बार..फिर एक बार.. 

साथियों,

ये सोलापुर का प्यार देखिए..ये 2024 में दूसरी बार मैं आपके पास आया। लेकिन साथियों जब जनवरी में आया था तब कुछ लेकर के आया था आपके हकों को पूरा करने के लिए आया था..कुछ देने के लिए आया था..लेकिन आज मैं आपसे कुछ मांगने के लिए आया हूं और मांगने के लिए इसलिए आया हूं कि आगे मैं बहुत कुछ देना चाहता हूं..और मुझे धन दौलत नहीं चाहिए, मुझे यश कीर्ति नहीं चाहिए। मुझे आपका आशीर्वाद चाहिए और मैं आपसे आशीर्वाद मांगने के लिए आया हूं। 

साथियों,

इस चुनाव में आप अगले 5 वर्ष के लिए विकास की गारंटी को चुनेंगे। दूसरी ओर वो लोग हैं, जिन्होंने 2014 से पहले देश को भ्रष्टाचार, आतंकवाद और कुशासन के गर्त में धकेल दिया था। अपने कलंकित इतिहास के बाद भी कांग्रेस फिर से देश की सत्ता हथियाने का सपना देख रही है। इन्हें अंदाजा ही नहीं कि पहले दो चरण के चुनाव में ही इंडी अघाड़ी का डिब्बा गोल हो चुका है।

भाइयों बहनों,

एक ओर आपका ये सेवक मोदी सिर झुकाकर आपके पास आता रहता है। आपने 10 साल तक मोदी को परखा है। उसके एक-एक कदम को देखा है। उसके एक-एक शब्द को नापा है। आप मोदी को भलीभांति जानते हैं। दूसरी ओर, इंडी अघाड़ी में नेता के नाम पर महायुद्ध चल रहा है। अब मुझे बताइये भाई, इतना बड़ा देश जिसका नाम तय नहीं है, जिसका चेहरा पता नहीं है क्या इतना बड़ा देश उनके हाथ में दे सकते हैं क्या? कोई गलती से भी दे सकता है क्या?

भाइयों-बहनों

ये लोग इन दिनों सत्ता हथियाने के लिए देश का बंटवारा करते ही रहे हैं। अब एक नया फॉर्मूला लाये हैं। ये नया फॉर्मूला लाये हैं 5 साल में 5 पीएम। हर वर्ष एक पीएम। वो जितना खजाना लूटना है लूटेगा..फिर दूसरे साल दूसरा पीएम। फिर वो लूट करेगा। तीसरे साल तीसरा पीएम। चौथे साल चौथा पीएम। पांचवें साल पांचवां पीएम। क्यों भाई, ये नकली शिवसेना वाले तो कह रहे हैं कि उनके यहां तो पार्टी में तो पीएम पद के लिए ढेर सारे लोग हैं। उनके एक बड़बोले नेता ने तो कह दिया हम एक साल में चार पीएम बनाए तो उसमें क्या जाता है। आप मुझे बताइये 5 साल..5 पीएम जैसे फॉर्मूले से इतना बड़ा देश चल सकता है क्या..जरा मन से बताइये..मुझे पता चले..चल सकता है क्या..कभी भी हम उस दिशा में जा सकते हैं क्या?  नहीं चल सकता ना? लेकिन उनके पास अब ये ही एक रास्ता बचा है सत्ता हथियाने का> क्योंकि उन्हें देश नहीं चलाना है। उन्हें आपके भविष्य की चिंता नहीं है। उन्हें मलाई खानी है मलाई। 

भाइयों-बहनों

ये हमारा महाराष्ट्र सामाजिक न्याय की धरती है। इस धरती ने ज्योतिबा फुले, सावित्रीबाई फुले, बाबा साहेब अंबेडकर के रूप में ऐसी महान संताने दी हैं, जिन्होंने समाज के सबसे कमजोर वर्गों को ताकत दी, प्रेरणा दी। आपने कांग्रेस के 60 साल का शासन भी देखा है और आपने मोदी का 10 साल का सेवाकाल भी देखा है। पिछले 10 वर्षों में सामाजिक न्याय के लिए जितना काम हुआ उतना आजादी के बाद इसके पहले कभी नहीं हुआ था। 

भाइयों और बहनों,

कांग्रेस ने अपने 60 वर्षों में जो उनको सत्ता भोगने का अवसर मिला था, SC/ST/OBC वर्ग के हर हक को रोकने का निरंतर प्रयास किया। और उसके पीछे उनकी फिलॉसफी थी, उनकी फिलॉसफी ये थी कि इनको ऐसे ही रहने दो ताकि वो हमारे आश्रित रहे और जब चाहे तब हम उनसे जो वोट चाहिए लेते रहे। जान-बूझ कर ऐसा किया, लेकिन मोदी का आपसे दिल का नाता है। और इसलिए 10 वर्षों में हमने सच्चे सामाजिक न्याय पर अभूतपूर्व बल दिया है। और मैंने एक बार कहा था सोलापुर में..मेरे यहां अहमदाबाद में जो मिल मजदूर थे उसमें हमारे पद्मशाली समाज के लोग बहुत थे और कोई हफ्ता मेरे जीवन में ऐसा नहीं गया होगा कि मुझे किसी ना किसी पद्मशाली परिवार ने भोजन ना कराया हो। और एक प्रकार से मैं उनका नमक खाकर के बड़ा हुआ हूं। और आज जो मैं गरीबों की सेवा कर रहा हूं ना मैं उनका कर्ज चुका रहा हूं। हमने ओबीसी कमीशन को संवैधानिक दर्जा दिया। मेडिकल की परीक्षा में OBC आरक्षण लागू किया। ये भाजपा है जिसने SC/ST के आरक्षण में, जो पॉलिटिकल आरक्षण होता है..वो हर 10 साल में बढ़ाना होता है। पहले अटल जी की सरकार को मौका मिला था उन्होंने 10 साल बढ़ाया। फिर मोदी को मौका मिला हमने भी 10 साल बढ़ाया है। हमने किसी का भी हक छीने बिना, ना दलित का हक छीना, ना आदिवासी का हक छीना, ना ओबीसी का हक छीना, लेकिन सामाजिक न्याय के उत्तम व्यवहार को लेते हुए हमने जो सामान्य वर्ग के गरीब लोग हैं, उन सामान्य वर्ग के गरीब लोगों को न्याय देने के लिए 10 प्रतिशत आरक्षण उनको भी दिया। और देश में कोई आग नहीं लगी, पुतले नहीं जले। इतना ही नहीं इस देश के सभी दलित नेताओं ने उसका पुरजोर स्वागत किया। हमारा सामाजिक न्याय का तरीका समाज में विभेद पैदा करने का नहीं है, समाज को जोड़ने का है। आज देखिए मेडिकल की, इंजीनियरिंग की पढ़ाई में हमने एक बड़ा क्रांतिकारी निर्णय लिया है। आज कुछ लोगों को मजाक लगती होगी, लेकिन हमने तय किया है मुझे अब गरीब मां का बेटा भी डॉक्टर बनाना है। गरीब मां की बेटी को भी डॉक्टर बनाना है..मुझे गरीब मां के संतानों को डॉक्टर, इंजीनियरिंग, बड़े-बड़े पदों पर ले जाना है। लेकिन क्या हर गरीब के नसीब में इंग्लिश मीडियम में पढ़ना संभव है क्या भाई..क्या हर बच्चा इंग्लिश मीडियम में पढ़ सकता है क्या? अगर वो मराठी मीडियम में पढ़ता है तो उसका गुनाह क्या है? ये ऐसे लोग सरकार चलाते थे अगर आप मराठी मीडियम में पढ़ते हैं तो आपके लिए भविष्य के लिए ताले लग जाते थे। मोदी ने सामाजिक न्याय के लिए कह दिया अब डॉक्टर बनना है तो भी मराठी भाषा में बन सकते हो, इंजीनियर बनना है तो भी मराठी भाषा में बन सकते हो..अंग्रेजी नहीं आयेगी तो भी आप देश चला सकते हो भाइयों-बहनों, ये मोदी का सपना है।

साथियों,

कांग्रेस कभी नहीं चाहती थी कि देश में दलित, आदिवासी और OBC लीडरशीप देश का नेतृत्व करे। ये वही कांग्रेस है जिसने डॉ.बाबासाहेब अंबेडकर से लेकर बाबू जगजीवन राम तक हर दलित नेता का अपमान किया। बाबा साहेब को भारत रत्न भी तब मिला, जब बीजेपी से सहयोग के केंद्र में कांग्रेस विरोधी सरकार चल रही थी। भाजपा का हमेशा प्रयास रहा है कि SC/ST/OBC को ज्यादा से ज्यादा प्रतिनिधित्व मिले। 2014 में आपने प्रचंड बहुमत दिया..तो एनडीए ने दलित के बेटे को देश का राष्ट्रपति बनाया। 2019 में, जब आपने फिर से एक बार हमें प्रचंड जनादेश दिया तो हमने देश के इतिहास में पहली बार एक आदिवासी बेटी को भारत के राष्ट्रपति के रूप में प्रस्थापित किया।

भाइयों बहनों मुझे गर्व है आजादी के बाद पहली हुआ है..ये आजादी के बाद पहली बार ये दशक ऐसा आया है कि आज विधायकों की संख्या देख लीजिए, सांसदों की संख्या देख लीजिए पूरे देश में विधायक, एमएलसी, सांसद हो, लोकसभा हो, राज्यसभा हो, SC/ST/OBC सबसे ज्यादा भाजपा के चुनकर के आते हैं। आज केंद्रीय मंत्रिमंडल में 60 प्रतिशत इन्हीं वर्गों से आए हुए लोग केंद्र में मंत्री हैं और देश को नई ऊंचाइयों पर ले जा रहे हैं। आज कांग्रेस और इंडी अघाड़ी वाले OBC प्रतिनिधित्व के नाम पर झूठ फैला रहे हैं। असल में इन लोगों की खुद की सच्चाई देश के सामने आ गई है। और इससे ये बौखलाए हुए हैं। परेशानी हो रही है। आपने देखा होगा इस पूरे चुनाव में ये इंडी-अघाड़ी के जितने लोग हैं उनके भाषण का मुद्दा क्या है? देश का कोई मुद्दा है। सिर्फ और सिर्फ मोदी को रोज नई गाली देना। पूरी डिक्शनरी उन्होंने खोलकर रख दी है। नई-नई गालियां रोज निकालते रहते हैं..अरे भाई देश के लिए तो कुछ बोलो। उनके पास विजन नहीं जी। हमारे पास विजन भी है और ये जीवन भी है विजन के लिए खपाने के लिए। 

साथियों,

दशकों तक कांग्रेस ने SC/ST/OBC के साथ जिस तरह से विश्वासघात किया, उससे ये सभी कांग्रेस और इंडी अघाड़ी से पूरी तरह छिटक चुके हैं। इस वजह से कांग्रेस और इंडी अघाड़ी वाले बुरी तरह बौखला गए हैं। इसलिए ये लोग लगातार झूठ फैला रहे हैं कि संविधान बदल देंगे आरक्षण खत्म कर देंगे। मैं पहले ही कह चुका हूं कि अगर आज खुद बाबा साहेब अंबेडकर चाहे तो बाबा साहेब अंबेडकर भी आरक्षण खत्म नहीं कर सकते हैं। मोदी का तो सवाल ही नहीं उठता है। और अगर हमारी सरकार की नीयत.. उसमें कहीं पर भी खोट होती..मेरा 5 साल का रिकॉर्ड देख लीजिए..2019 से 2024 आज भी मोदी के पास जितने वोट चाहिए, हैं, लेकिन ये रास्ता हमें मंजूर नहीं है। सैकड़ों सालों तक जिनके साथ अन्याय हुआ। हमारे पूर्वजों ने पाप किए होंगे, मेरे लिए ये प्रायश्चित का अवसर है, और इसलिए आरक्षण को जितनी ताकत मैं दे सकता हूं मैं देने के लिए कमिटेड हूं। 

मैं आज देश से अधिक से अधिक सीटें इसलिए मांग रहा हूं ताकि
कांग्रेस और इंडी अघाड़ी के लोग जब दलित उनके हाथ से निकल गए, आदिवासी उनके हाथ से निकल गए, OBC उनके हाथ से निकल गए, ये बहुत बड़ी मात्रा में विजयी होकर के बीजेपी के साथ आते हैं तब उन्होंने तय किया है और प्रयोग भी शुरू कर दिया है SC/ST/OBC के आरक्षण में लूट मारने का और वो माइनॉरिटी को देना चाहते हैं। भाइयों-बहनों मुझे इसलिए ताकत चाहिए मैं कांग्रेस का आपके खिलाफ जो षड्यंत्र है उसको देश में कहीं पर भी करने ना दूं। कर्नाटक में उन्होंने खेल खेला है। आरक्षण का बहुत बड़ा हिस्सा माइनॉरिटी को देने का खेल खेला है। ये मैं होने नहीं दूंगा। और इसलिए मैं आपसे आशीर्वाद मांगने आया हूं कि मोदी को मजबूत करो। 

साथियों, 

कांग्रेस के 60 वर्षों के राज में देश में सबसे ज्यादा SC/ST/OBC परिवार के ही उन्ही के सबसे ज्यादा हाल खराब है। आप अपने गांव में देख लीजिए। अगर गांव के बाहर झोपड़ी में रहना पड़ता हो कौन हैं हमारे SC समाज के लोग हैं। मुसीबत में जीना पड़ता है कौन हैं? हमारे ST समाज के लोग हैं। तकलीफों में जीना पड़ता है कौन हैं? हमारे OBC समाज के लोग हैं। मोदी ने इन परिवारों को ही अपनी प्राथमिकता बनाया। 10 वर्षों में गरीब कल्याण की जितनी भी योजनाएं हमने बनाईं..हमारी योजना सबके लिए हैं। बिना भेदभाव के है। समाज के हर वर्ग के लिए है और स्वाभाविक है जो लोग 50-60 साल से पिछड़े हुए थे उन्हें उसका लाभ पहले मिल रहा है। और हम तो मानते हैं कि देश की संपत्ति पर पहला अधिकार उन लोगों का है जो पंक्ति में आखिर में बैठे हुए हैं। महात्मा गांधी भी यही कहते थे मुफ्त राशन हो, मुफ्त इलाज हो, पक्के घर हो, शौचालय हो, बिजली हो, गैस हो, पानी हो, ये सब कुछ की वंचित समाज को जरूरत थी। और वंचित समाज की वो आकांक्षाएं आजादी के इतने सालों के बाद आपका सेवक मोदी पूरी कर रहा है। (भाई वहां वो सज्जन तस्वीर लेकर आएं हैं, मैंने तस्वीर देख ली है, आप बैठिए। पीछे आप लोगों को परेशान कर रहे हैं। आपका मैं बहुत आभारी हूं आपके प्यार के लिए, लेकिन औरों को परेशान मत करो भाई) SC/ST/OBC परिवारों को इन योजनाओं से जोड़ने के लिए हमारी सरकार घर-घर पहुंची है,गांव-गांव पहुंची है।

साथियों, 

कांग्रेस ने 100 से ज्यादा देश के जिलों को ही पिछड़े घोषित करके उनको अपने हाल पर छोड़ दिया था। इन जिलों में सबसे ज्यादा SC और ST परिवार के ही लोग रहते हैं। हमने उसको एक नया रूप दिया। नया मिशन लिया और उसे हमने एस्पिरेशनल डिस्ट्रिक्ट बनाया, आकांक्षी जिला बनाया और उसका मेरे ऑफिस से डेली मॉनिटरिंग होता है। परिणाम ये है कि गरीबों की भलाई के लिए योजनाएं, एस्पिरेशनल डिस्ट्रिक्ट की योजनाएं, अब एस्पिरेशनल ब्लॉक की योजनाएं, डेली मॉनिटरिंग, हर चीज की जानकारी, उसका परिणाम ये है कि आज 10 साल के मोदी के कार्यकाल में इतने कम समय में देश में पहली बार 25 करोड़ गरीब गरीबी से बाहर निकले। और ज्यादातर इन्हीं जिलों से लोग हैं। और इसलिए मैं कहता हूं जब नीयत सही होती है ना तो नतीजे भी सही मिलते हैं। 

साथियों,

भाजपा का सामाजिक न्याय का एक और उदाहरण वाइब्रेंट विलेज प्रोग्राम भी है। अगर मोदी की नज़र कांग्रेस की तरह सिर्फ वोट बैंक पर होती तो सीमा के जो गांव हैं, जिनको लोग आखिरी गांव कहते थे..मैं उन गांवों को सबसे पहला गांव कहता हूं। सूरज की पहली किरण भी वहीं आती है जी और सूरज डूबता है तो आखिरी किरण भी वहीं से आती है। गांव के लिए वाइब्रेंट विलेज प्रोग्राम कौन चाहता है। वहां तो वोटर ही नहीं हैं, गिने-चुने वोटर हैं। लेकिन मेरे लिए वोटर मायने बाद में रखता है, पहले वो मेरे देश का नागरिक है। मेरे देश के 140 करोड़ नागरिक में से एक हैं वो। वो मेरी सीमा का प्रहरी है। अगर मोदी की नजर कांग्रेस की तरह वोटबैंक पर होती तो 24 हजार करोड़ रुपए की पीएम जनमन योजना बनाकर के आदिवासियों में भी जो सबसे पिछड़ी जनजातियां हैं, उनके लिए अलग से योजना ना बनाता और उनके कल्याण के लिए काम ना करता। ये वोटर ज्यादा नहीं है संख्या कम है लेकिन मेरे देश के आखिरी व्यक्ति को भी मैं मजबूत बनाना चाहता हूं। हम विश्वकर्मा योजना लाए। जिनके हाथों में सामर्थ्य है, जिनकी उंगलियों में सामर्थ्य है ऐसे देश में लाखों लोग हैं, ऐसे मेरे विश्वकर्मा साथी SC में हैं, ST समाज में हैं, ज्यादातर OBC समाज में हैं। 60 साल में कांग्रेस ने कभी पूछा ही नहीं। मोदी ने पहली बार इन साथियों के लिए 13 हजार करोड़ रुपए की पीएम विश्वकर्मा योजना बनाई। 

भाइयों और बहनों,

गरीब कल्याण की इन योजनाओं का सबसे अधिक लाभ SC/ST/OBC परिवार की हमारी माताओं-बहनों को हुआ है। शौचालय के आभाव में सैनिटरी पैड के आभाव में ज्यादातर हमारी बेटियां स्कूल छोड़ देती थीं। अब मोदी ने ये समस्या दूर कर दी। बिना गारंटी के मुद्रा लोन पाने वाले 50 परसेंट से ज्यादा लाभार्थी SC/ST/OBC हैं। इनमें से 70 परसेंट लोन हमारी माताओं और बहनों को मिला है। ये जो हमारी खादी है ना खादी,स्वतंत्रता आंदोलन की निशानी है और मैं तो कहता हूं आजाद के पहले लोग कहते थे, आजादी के बाद क्या? ? मैं तो एक वाक्य में कहता हूं पहले खादी फॉर नेशन, नाउ खादी फॉर फैशन> कांग्रेस ने तो उस खादी को भी बर्बाद कर दिया था। खादी के काम में भी बड़ी संख्या में हमारे ये ही समाज के लोग हैं, जो अति वंचित लोग हैं। मोदी ने खादी को फिर से जीवंत कर दिया। 

साथियों, 

कांग्रेस ने तो बाबासाहेब के संविधान को जम्मू कश्मीर में लागू ही नहीं होने दिया। आर्टिकल-370 बना कर कांग्रेस ने देश के संविधान का अपमान किया था। NDA सरकार ने, मोदी ने 370 हटाई तो सामाजिक न्याय का अधिकार जम्मू कश्मीर में जो हमारे लोग हैं उनको मिला। पहली बार उनको SC/ST/OBC और महिलाओं को वहां अधिकार मिला है, उनको आरक्षण मिला है। भाइयों-बहनों ये है सामाजिक न्याय का मोदी का ट्रैक रिकॉर्ड..इसलिए पूरी इंडी-अघाड़ी बौखलायी हुई है। 

साथियों,

सामाजिक न्याय का एक और तरीका आधुनिक इंफ्रास्ट्रक्चर का निर्माण भी है। कांग्रेस ने वर्षों तक गांवों और शहरों में खाई बनाकर रखी, कुछ ही शहरों के विकास पर फोकस किया। NDA सरकार, देश के हर कोने के विकास को लेकर प्रतिबद्ध है। ये क्षेत्र पंढरपुर यात्रा से जुड़े श्रद्धालुओं का तीर्थ है। यहां तो तुलजा भवानी ने छत्रपति शिवाजी महाराज को अपना आशीर्वाद दिया था। 10 साल में हमने पंढरपुर की रेलवे कनेक्टिविटी के लिए सैकड़ों करोड़ रुपये खर्च किए। पुणे-फलटण रेलमार्ग जो 23 साल से अटका पड़ा था हमने उसको पूरा कराया। हमने सोलापुर-हैदराबाद, सोलापुर-सांगली, सोलापुर-विजापुर ऐसे कई महामार्ग के काम शुरू कराए। सोलापुर को तो महाराष्ट्र की पहली वंदे भारत ट्रेन भी मिली है। शक्तिपीठ महामार्ग से समृद्धि महामार्ग जैसे हाईटेक सड़कों के काम भी हो रहे हैं। इन विकास कार्यों के कारण इस क्षेत्र में श्रद्धालुओं की संख्या में 4 गुना की बढ़ोत्तरी हुई है। अब हमारे वारकरी भाई-बहनों के अलावा दूसरे राज्यों से भी बड़ी संख्या में श्रद्धालु आ रहे हैं। यहां युवाओं के लिए आस्था और पर्यटन से जुड़े नए अवसर बन रहे हैं।

साथियों,

आज महाराष्ट्र में एकनाथ शिंदे जी, देवेंद्र फडणवीस जी और अजीत पवार जी की सरकार आपके लिए दिन-रात मेहनत कर रही है। मेरा अनुरोध है कि 7 मई को आप मेरे नौजवान साथी राम सातपुते जी को भारी संख्या में वोट देंराम सातपुते जी सोलापुर के विकास की एक मजबूत कड़ी बनकर काम करेंगे। और जब आप कमल के निशान पर बटन दबाओगे ना तो आपका वोट सीधा-सीधा मोदी को मिलेगा। ज्यादा से ज्यादा मतदान कराओगे? हर पोलिंग बूथ जीतोगे? पुराने सारे रिकॉर्ड तोड़ोगे? या मेरा एक और काम करोगे? यहां से जाकर अपने परिजनों से मिलना और उनको कहिएगा मोदी जी सोलापुर आए थे आपको प्रणाम भेजा है। मेरा प्रणाम पहुंचा देंगे? 

मेरे साथ बोलिए भारत माता की.. भारत माता की..जय श्री राम..जय श्री राम..

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Text of PM Modi's address at the Parliament of Guyana
November 21, 2024

Hon’ble Speaker, मंज़ूर नादिर जी,
Hon’ble Prime Minister,मार्क एंथनी फिलिप्स जी,
Hon’ble, वाइस प्रेसिडेंट भरत जगदेव जी,
Hon’ble Leader of the Opposition,
Hon’ble Ministers,
Members of the Parliament,
Hon’ble The चांसलर ऑफ द ज्यूडिशियरी,
अन्य महानुभाव,
देवियों और सज्जनों,

गयाना की इस ऐतिहासिक पार्लियामेंट में, आप सभी ने मुझे अपने बीच आने के लिए निमंत्रित किया, मैं आपका बहुत-बहुत आभारी हूं। कल ही गयाना ने मुझे अपना सर्वोच्च सम्मान दिया है। मैं इस सम्मान के लिए भी आप सभी का, गयाना के हर नागरिक का हृदय से आभार व्यक्त करता हूं। गयाना का हर नागरिक मेरे लिए ‘स्टार बाई’ है। यहां के सभी नागरिकों को धन्यवाद! ये सम्मान मैं भारत के प्रत्येक नागरिक को समर्पित करता हूं।

साथियों,

भारत और गयाना का नाता बहुत गहरा है। ये रिश्ता, मिट्टी का है, पसीने का है,परिश्रम का है करीब 180 साल पहले, किसी भारतीय का पहली बार गयाना की धरती पर कदम पड़ा था। उसके बाद दुख में,सुख में,कोई भी परिस्थिति हो, भारत और गयाना का रिश्ता, आत्मीयता से भरा रहा है। India Arrival Monument इसी आत्मीय जुड़ाव का प्रतीक है। अब से कुछ देर बाद, मैं वहां जाने वाला हूं,

साथियों,

आज मैं भारत के प्रधानमंत्री के रूप में आपके बीच हूं, लेकिन 24 साल पहले एक जिज्ञासु के रूप में मुझे इस खूबसूरत देश में आने का अवसर मिला था। आमतौर पर लोग ऐसे देशों में जाना पसंद करते हैं, जहां तामझाम हो, चकाचौंध हो। लेकिन मुझे गयाना की विरासत को, यहां के इतिहास को जानना था,समझना था, आज भी गयाना में कई लोग मिल जाएंगे, जिन्हें मुझसे हुई मुलाकातें याद होंगीं, मेरी तब की यात्रा से बहुत सी यादें जुड़ी हुई हैं, यहां क्रिकेट का पैशन, यहां का गीत-संगीत, और जो बात मैं कभी नहीं भूल सकता, वो है चटनी, चटनी भारत की हो या फिर गयाना की, वाकई कमाल की होती है,

साथियों,

बहुत कम ऐसा होता है, जब आप किसी दूसरे देश में जाएं,और वहां का इतिहास आपको अपने देश के इतिहास जैसा लगे,पिछले दो-ढाई सौ साल में भारत और गयाना ने एक जैसी गुलामी देखी, एक जैसा संघर्ष देखा, दोनों ही देशों में गुलामी से मुक्ति की एक जैसी ही छटपटाहट भी थी, आजादी की लड़ाई में यहां भी,औऱ वहां भी, कितने ही लोगों ने अपना जीवन समर्पित कर दिया, यहां गांधी जी के करीबी सी एफ एंड्रूज हों, ईस्ट इंडियन एसोसिएशन के अध्यक्ष जंग बहादुर सिंह हों, सभी ने गुलामी से मुक्ति की ये लड़ाई मिलकर लड़ी,आजादी पाई। औऱ आज हम दोनों ही देश,दुनिया में डेमोक्रेसी को मज़बूत कर रहे हैं। इसलिए आज गयाना की संसद में, मैं आप सभी का,140 करोड़ भारतवासियों की तरफ से अभिनंदन करता हूं, मैं गयाना संसद के हर प्रतिनिधि को बधाई देता हूं। गयाना में डेमोक्रेसी को मजबूत करने के लिए आपका हर प्रयास, दुनिया के विकास को मजबूत कर रहा है।

साथियों,

डेमोक्रेसी को मजबूत बनाने के प्रयासों के बीच, हमें आज वैश्विक परिस्थितियों पर भी लगातार नजर ऱखनी है। जब भारत और गयाना आजाद हुए थे, तो दुनिया के सामने अलग तरह की चुनौतियां थीं। आज 21वीं सदी की दुनिया के सामने, अलग तरह की चुनौतियां हैं।
दूसरे विश्व युद्ध के बाद बनी व्यवस्थाएं और संस्थाएं,ध्वस्त हो रही हैं, कोरोना के बाद जहां एक नए वर्ल्ड ऑर्डर की तरफ बढ़ना था, दुनिया दूसरी ही चीजों में उलझ गई, इन परिस्थितियों में,आज विश्व के सामने, आगे बढ़ने का सबसे मजबूत मंत्र है-"Democracy First- Humanity First” "Democracy First की भावना हमें सिखाती है कि सबको साथ लेकर चलो,सबको साथ लेकर सबके विकास में सहभागी बनो। Humanity First” की भावना हमारे निर्णयों की दिशा तय करती है, जब हम Humanity First को अपने निर्णयों का आधार बनाते हैं, तो नतीजे भी मानवता का हित करने वाले होते हैं।

साथियों,

हमारी डेमोक्रेटिक वैल्यूज इतनी मजबूत हैं कि विकास के रास्ते पर चलते हुए हर उतार-चढ़ाव में हमारा संबल बनती हैं। एक इंक्लूसिव सोसायटी के निर्माण में डेमोक्रेसी से बड़ा कोई माध्यम नहीं। नागरिकों का कोई भी मत-पंथ हो, उसका कोई भी बैकग्राउंड हो, डेमोक्रेसी हर नागरिक को उसके अधिकारों की रक्षा की,उसके उज्जवल भविष्य की गारंटी देती है। और हम दोनों देशों ने मिलकर दिखाया है कि डेमोक्रेसी सिर्फ एक कानून नहीं है,सिर्फ एक व्यवस्था नहीं है, हमने दिखाया है कि डेमोक्रेसी हमारे DNA में है, हमारे विजन में है, हमारे आचार-व्यवहार में है।

साथियों,

हमारी ह्यूमन सेंट्रिक अप्रोच,हमें सिखाती है कि हर देश,हर देश के नागरिक उतने ही अहम हैं, इसलिए, जब विश्व को एकजुट करने की बात आई, तब भारत ने अपनी G-20 प्रेसीडेंसी के दौरान One Earth, One Family, One Future का मंत्र दिया। जब कोरोना का संकट आया, पूरी मानवता के सामने चुनौती आई, तब भारत ने One Earth, One Health का संदेश दिया। जब क्लाइमेट से जुड़े challenges में हर देश के प्रयासों को जोड़ना था, तब भारत ने वन वर्ल्ड, वन सन, वन ग्रिड का विजन रखा, जब दुनिया को प्राकृतिक आपदाओं से बचाने के लिए सामूहिक प्रयास जरूरी हुए, तब भारत ने CDRI यानि कोएलिशन फॉर डिज़ास्टर रज़ीलिएंट इंफ्रास्ट्रक्चर का initiative लिया। जब दुनिया में pro-planet people का एक बड़ा नेटवर्क तैयार करना था, तब भारत ने मिशन LiFE जैसा एक global movement शुरु किया,

साथियों,

"Democracy First- Humanity First” की इसी भावना पर चलते हुए, आज भारत विश्वबंधु के रूप में विश्व के प्रति अपना कर्तव्य निभा रहा है। दुनिया के किसी भी देश में कोई भी संकट हो, हमारा ईमानदार प्रयास होता है कि हम फर्स्ट रिस्पॉन्डर बनकर वहां पहुंचे। आपने कोरोना का वो दौर देखा है, जब हर देश अपने-अपने बचाव में ही जुटा था। तब भारत ने दुनिया के डेढ़ सौ से अधिक देशों के साथ दवाएं और वैक्सीन्स शेयर कीं। मुझे संतोष है कि भारत, उस मुश्किल दौर में गयाना की जनता को भी मदद पहुंचा सका। दुनिया में जहां-जहां युद्ध की स्थिति आई,भारत राहत और बचाव के लिए आगे आया। श्रीलंका हो, मालदीव हो, जिन भी देशों में संकट आया, भारत ने आगे बढ़कर बिना स्वार्थ के मदद की, नेपाल से लेकर तुर्की और सीरिया तक, जहां-जहां भूकंप आए, भारत सबसे पहले पहुंचा है। यही तो हमारे संस्कार हैं, हम कभी भी स्वार्थ के साथ आगे नहीं बढ़े, हम कभी भी विस्तारवाद की भावना से आगे नहीं बढ़े। हम Resources पर कब्जे की, Resources को हड़पने की भावना से हमेशा दूर रहे हैं। मैं मानता हूं,स्पेस हो,Sea हो, ये यूनीवर्सल कन्फ्लिक्ट के नहीं बल्कि यूनिवर्सल को-ऑपरेशन के विषय होने चाहिए। दुनिया के लिए भी ये समय,Conflict का नहीं है, ये समय, Conflict पैदा करने वाली Conditions को पहचानने और उनको दूर करने का है। आज टेरेरिज्म, ड्रग्स, सायबर क्राइम, ऐसी कितनी ही चुनौतियां हैं, जिनसे मुकाबला करके ही हम अपनी आने वाली पीढ़ियों का भविष्य संवार पाएंगे। और ये तभी संभव है, जब हम Democracy First- Humanity First को सेंटर स्टेज देंगे।

साथियों,

भारत ने हमेशा principles के आधार पर, trust और transparency के आधार पर ही अपनी बात की है। एक भी देश, एक भी रीजन पीछे रह गया, तो हमारे global goals कभी हासिल नहीं हो पाएंगे। तभी भारत कहता है – Every Nation Matters ! इसलिए भारत, आयलैंड नेशन्स को Small Island Nations नहीं बल्कि Large ओशिन कंट्रीज़ मानता है। इसी भाव के तहत हमने इंडियन ओशन से जुड़े आयलैंड देशों के लिए सागर Platform बनाया। हमने पैसिफिक ओशन के देशों को जोड़ने के लिए भी विशेष फोरम बनाया है। इसी नेक नीयत से भारत ने जी-20 की प्रेसिडेंसी के दौरान अफ्रीकन यूनियन को जी-20 में शामिल कराकर अपना कर्तव्य निभाया।

साथियों,

आज भारत, हर तरह से वैश्विक विकास के पक्ष में खड़ा है,शांति के पक्ष में खड़ा है, इसी भावना के साथ आज भारत, ग्लोबल साउथ की भी आवाज बना है। भारत का मत है कि ग्लोबल साउथ ने अतीत में बहुत कुछ भुगता है। हमने अतीत में अपने स्वभाव औऱ संस्कारों के मुताबिक प्रकृति को सुरक्षित रखते हुए प्रगति की। लेकिन कई देशों ने Environment को नुकसान पहुंचाते हुए अपना विकास किया। आज क्लाइमेट चेंज की सबसे बड़ी कीमत, ग्लोबल साउथ के देशों को चुकानी पड़ रही है। इस असंतुलन से दुनिया को निकालना बहुत आवश्यक है।

साथियों,

भारत हो, गयाना हो, हमारी भी विकास की आकांक्षाएं हैं, हमारे सामने अपने लोगों के लिए बेहतर जीवन देने के सपने हैं। इसके लिए ग्लोबल साउथ की एकजुट आवाज़ बहुत ज़रूरी है। ये समय ग्लोबल साउथ के देशों की Awakening का समय है। ये समय हमें एक Opportunity दे रहा है कि हम एक साथ मिलकर एक नया ग्लोबल ऑर्डर बनाएं। और मैं इसमें गयाना की,आप सभी जनप्रतिनिधियों की भी बड़ी भूमिका देख रहा हूं।

साथियों,

यहां अनेक women members मौजूद हैं। दुनिया के फ्यूचर को, फ्यूचर ग्रोथ को, प्रभावित करने वाला एक बहुत बड़ा फैक्टर दुनिया की आधी आबादी है। बीती सदियों में महिलाओं को Global growth में कंट्रीब्यूट करने का पूरा मौका नहीं मिल पाया। इसके कई कारण रहे हैं। ये किसी एक देश की नहीं,सिर्फ ग्लोबल साउथ की नहीं,बल्कि ये पूरी दुनिया की कहानी है।
लेकिन 21st सेंचुरी में, global prosperity सुनिश्चित करने में महिलाओं की बहुत बड़ी भूमिका होने वाली है। इसलिए, अपनी G-20 प्रेसीडेंसी के दौरान, भारत ने Women Led Development को एक बड़ा एजेंडा बनाया था।

साथियों,

भारत में हमने हर सेक्टर में, हर स्तर पर, लीडरशिप की भूमिका देने का एक बड़ा अभियान चलाया है। भारत में हर सेक्टर में आज महिलाएं आगे आ रही हैं। पूरी दुनिया में जितने पायलट्स हैं, उनमें से सिर्फ 5 परसेंट महिलाएं हैं। जबकि भारत में जितने पायलट्स हैं, उनमें से 15 परसेंट महिलाएं हैं। भारत में बड़ी संख्या में फाइटर पायलट्स महिलाएं हैं। दुनिया के विकसित देशों में भी साइंस, टेक्नॉलॉजी, इंजीनियरिंग, मैथ्स यानि STEM graduates में 30-35 परसेंट ही women हैं। भारत में ये संख्या फोर्टी परसेंट से भी ऊपर पहुंच चुकी है। आज भारत के बड़े-बड़े स्पेस मिशन की कमान महिला वैज्ञानिक संभाल रही हैं। आपको ये जानकर भी खुशी होगी कि भारत ने अपनी पार्लियामेंट में महिलाओं को रिजर्वेशन देने का भी कानून पास किया है। आज भारत में डेमोक्रेटिक गवर्नेंस के अलग-अलग लेवल्स पर महिलाओं का प्रतिनिधित्व है। हमारे यहां लोकल लेवल पर पंचायती राज है, लोकल बॉड़ीज़ हैं। हमारे पंचायती राज सिस्टम में 14 लाख से ज्यादा यानि One point four five मिलियन Elected Representatives, महिलाएं हैं। आप कल्पना कर सकते हैं, गयाना की कुल आबादी से भी करीब-करीब दोगुनी आबादी में हमारे यहां महिलाएं लोकल गवर्नेंट को री-प्रजेंट कर रही हैं।

साथियों,

गयाना Latin America के विशाल महाद्वीप का Gateway है। आप भारत और इस विशाल महाद्वीप के बीच अवसरों और संभावनाओं का एक ब्रिज बन सकते हैं। हम एक साथ मिलकर, भारत और Caricom की Partnership को और बेहतर बना सकते हैं। कल ही गयाना में India-Caricom Summit का आयोजन हुआ है। हमने अपनी साझेदारी के हर पहलू को और मजबूत करने का फैसला लिया है।

साथियों,

गयाना के विकास के लिए भी भारत हर संभव सहयोग दे रहा है। यहां के इंफ्रास्ट्रक्चर में निवेश हो, यहां की कैपेसिटी बिल्डिंग में निवेश हो भारत और गयाना मिलकर काम कर रहे हैं। भारत द्वारा दी गई ferry हो, एयरक्राफ्ट हों, ये आज गयाना के बहुत काम आ रहे हैं। रीन्युएबल एनर्जी के सेक्टर में, सोलर पावर के क्षेत्र में भी भारत बड़ी मदद कर रहा है। आपने t-20 क्रिकेट वर्ल्ड कप का शानदार आयोजन किया है। भारत को खुशी है कि स्टेडियम के निर्माण में हम भी सहयोग दे पाए।

साथियों,

डवलपमेंट से जुड़ी हमारी ये पार्टनरशिप अब नए दौर में प्रवेश कर रही है। भारत की Energy डिमांड तेज़ी से बढ़ रही हैं, और भारत अपने Sources को Diversify भी कर रहा है। इसमें गयाना को हम एक महत्वपूर्ण Energy Source के रूप में देख रहे हैं। हमारे Businesses, गयाना में और अधिक Invest करें, इसके लिए भी हम निरंतर प्रयास कर रहे हैं।

साथियों,

आप सभी ये भी जानते हैं, भारत के पास एक बहुत बड़ी Youth Capital है। भारत में Quality Education और Skill Development Ecosystem है। भारत को, गयाना के ज्यादा से ज्यादा Students को Host करने में खुशी होगी। मैं आज गयाना की संसद के माध्यम से,गयाना के युवाओं को, भारतीय इनोवेटर्स और वैज्ञानिकों के साथ मिलकर काम करने के लिए भी आमंत्रित करता हूँ। Collaborate Globally And Act Locally, हम अपने युवाओं को इसके लिए Inspire कर सकते हैं। हम Creative Collaboration के जरिए Global Challenges के Solutions ढूंढ सकते हैं।

साथियों,

गयाना के महान सपूत श्री छेदी जगन ने कहा था, हमें अतीत से सबक लेते हुए अपना वर्तमान सुधारना होगा और भविष्य की मजबूत नींव तैयार करनी होगी। हम दोनों देशों का साझा अतीत, हमारे सबक,हमारा वर्तमान, हमें जरूर उज्जवल भविष्य की तरफ ले जाएंगे। इन्हीं शब्दों के साथ मैं अपनी बात समाप्त करता हूं, मैं आप सभी को भारत आने के लिए भी निमंत्रित करूंगा, मुझे गयाना के ज्यादा से ज्यादा जनप्रतिनिधियों का भारत में स्वागत करते हुए खुशी होगी। मैं एक बार फिर गयाना की संसद का, आप सभी जनप्रतिनिधियों का, बहुत-बहुत आभार, बहुत बहुत धन्यवाद।