Quoteകോൺഗ്രസിനെ പിരിച്ചുവിട്ടിരുന്നെങ്കിൽ ഇന്ത്യ ഇന്ന് അഞ്ച് പതിറ്റാണ്ടെങ്കിലും മുന്നിലെത്തുമായിരുന്നു: പ്രധാനമന്ത്രി മുംബൈയിൽ
Quoteഇന്ന് ലോകത്തിലെ ഏറ്റവും ആധുനികമായ അടിസ്ഥാന സൗകര്യങ്ങൾ മുംബൈയിൽ വരുന്നു: പ്രധാനമന്ത്രി മോദി മുംബൈയിൽ
Quoteമുംബൈ ഇന്ത്യയുടെ സാമ്പത്തിക ശക്തികേന്ദ്രമാണ്: മഹാരാഷ്ട്രയിലെ മുംബൈയിൽ പ്രധാനമന്ത്രി മോദി
Quoteകോൺഗ്രസിൻ്റെയും INDI സഖ്യത്തിൻ്റെയും മാവോയിസ്റ്റ് സാമ്പത്തിക ശാസ്ത്രം മുംബൈയുടെ ചക്രങ്ങളെ കുരുക്കും: പ്രധാനമന്ത്രി മോദി മുംബൈയിൽ

जय भवानी..जय भवानी, जय शिवाजी, छत्रपती शिवाजी महाराज की..छत्रपति शिवाजी महाराज की.. समस्त मुंबईकरांना माझा राम- राम, कसे आहात तुम्ही? आप सभी हमें आशीर्वाद देने आएं हैं, मैं आपका हृदय से बहुत-बहुत आभार व्यक्त करता हूं।

साथियों,

मुंबई ये शहर सिर्फ सपने नहीं देखता, मुंबई सपनों को जीता है। कुछ कर गुजरने का संकल्प लेकर चलने वालों को मुंबई ने कभी निराश नहीं किया है। इस ड्रीम सिटी में, मैं आपसे 2047 के ड्रीम को लेकर के आया हूं। एक सपना है देश का, एक संकल्प है देश का, हम सबने मिलकर विकसित भारत बनाना है और इसमें मुंबई की बहुत बड़ी भूमिका है।

साथियों,

आप मुंबई के लोग रफ्तार की कीमत सबसे ज्यादा समझते हैं। भारत के साथ आजाद हुए कितने ही देश हमसे आगे निकल गए, हम क्या किसी से कम थे? फिर कमी कहां थी? कमी उस सरकार में थी जिसने भारतीयों के सामर्थ्य पर भरोसा नहीं किया, विश्वास नहीं किया और मैंने ऐसे-ऐसे प्रधानमंत्री देखे हैं और मैं आप सबको कहूंगा मुंबईवालों को कि यूट्यूब पर जाकर के लाल किले से अब तक कौन प्रधानमंत्री, क्या बोले हैं सारा अवेलेबल है, आप हैरान हो जाएंगे एक वो भी वक्त था जब देश के प्रधानमंत्री लाल किले से हम भारतीयों को आलसी कहकर पुकारते थे, जिन सरकारों की सोच ऐसी रही हो, वो देश को कभी आगे नहीं बढ़ा सकते। मैं आज पूरी गंभीरता से कह रहा हूं आजादी के बाद गांधी जी की सलाह पर अगर कांग्रेस को भंग कर दिया गया होता तो आज भारत कम से कम 5 दशक आगे होता। आजादी के बाद भारत की सभी व्यवस्थाओं का जो कांग्रेसीकरण हुआ, उसने देश के 5 दशक बर्बाद किए हैं। साथियों, देश आज़ाद हुआ तो भारत दुनिया की छठी बड़ी अर्थव्यवस्था था। हम दुनिया में नंबर छह पर थे और 2014 में जब कांग्रेस गई और हमें जब सत्ता सुपुर्द की तब देश की अर्थव्यवस्था 6 नंबर से 11 नंबर पहुंच गई थी। ये इन्होंने काम करके गये हैं और जब से आपने इस सेवक को काम दिया 10 साल में आज देश, दुनिया की पांचवें नंबर की आर्थिक ताकत बनकर के खड़ा है। आज भारत में, मुंबई में रिकॉर्ड इंवेस्टमेंट आ रहा है और मेरी गारंटी है कि कुछ ही सालों में जब मैं आपके बीच आऊंगा तो हम दुनिया की तीसरी बड़ी आर्थिक ताकत बन चुके होंगे और मैं आपको भी गारंटी देने आया हूं और मैं आपके बच्चों के लिए विश्वास लेकर के आया हूं। मैं आपको विकसित भारत देकर जाने वाला हूं इसलिए मोदी 24x7 फोर 2047 के मंत्र के साथ हर पल आपके नाम, हर पल देश के नाम, जी-जान से जुटा है।

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साथियों,

कुछ लोग कहते हैं कि मोदी जो ये कहता है, वो असंभव है। निराशा की गर्त में डूब हुए लोग उनमें आशा का संचार करना लोहे के चने चबाने का काम होता है और इसलिए निराशा को पार करके बैठे हुए लोग हर पल, हर चीज असंभव ही अनुभव करते हैं। ये वो लोग हैं जिनको लगता था राम मंदिर भी उनको असंभव लगता था।

साथियों,

दुनिया को कभी ना कभी इस बात को स्वीकार करना पड़ेगा कि भारत भूमि में रहने वाले लोग अपने विचारों के इतने पक्के थे, अपने इरादों के इतने पक्के थे कि एक सपना लेकर के 500 साल तक लड़ते रहे। ये छोटा इतिहास नहीं है 500 साल का अविरत संघर्ष, अनेक पीढ़ियों का संघर्ष, लाखों लोगों का बलिदान और 500 साल तक संजोया हुआ सपना आज रामलला भव्य मंदिर में विराजमान हैं। ये निराशा की गर्त में डूबे हुए वो लोग हैं जिनको आर्टिकल-370 का हटना भी असंभव लगता था, आज हमारी आंखों के सामने आर्टिकल-370 की जो दीवार थी ना वो दीवार को मैंने कब्रिस्तान में गाड़ दिया है और जो सपने संजो रहे हैं कि वे कभी 370 का पुनर्जागरण करेंगे, फिर से लगाएंगे वो कान खोलकर के सुन लें ये विरासत मामूली विरासत नहीं है, दुनिया की कोई ताकत दोबारा 370 नहीं ला सकती है।

साथियों,

हमारा देश दशकों तक सीरियल बम धमाकों से लहूलुहान होता रहा, आतंकी हमलों से मां भारती का सीना चीर दिया जाता था। मुंबई जैसे हमारे शहर थर्राते रहते थे, एक ही गूंज सुनाई देती थी। कहीं कोई लावारिस चीज दिखाई दे तो पुलिस को जानकारी देना, एयरपोर्ट जाओ, स्टेशन पर जाओ हर जगह पर लिखा रहता था लावारिस चीज को हाथ मत लगाना, लावारिस चीज से चौकन्ना रहना 10 साल हो गए सुना है क्या? सब बंद हो गया कि नहीं हो गया? ये इनको असंभव लगता था और अभी आज बता रहे थे तीन तलाक, देश की संसद ने तीन तलाक को ही तलाक..तलाक..तलाक कह दिया। महिलाओं को 33 परसेंट आरक्षण 40 साल तक इंतजार करते रहे लोग, संसद में बहस होती थी और जो आज संविधान को सिर पर रखकर नाच रहे हैं उन लोगों ने पार्लियामेंट में 33 परसेंट आरक्षण के बिल को छीनकर के फाड़ दिया था। इन सबकी छाती पर बैठकर के आरक्षण हुआ कि नहीं हुआ? कांग्रेस 60 साल तक कहती रही कि गरीबी हटाएंगे और इनका तो फैशन था आप सच में जरा जो हिस्ट्री में रूचि रखते हैं जरा देख लीजिए आप लाल किले से इन प्रधानमंत्रियों के भाषण सुनेंगे और इन परिवार के सभी प्रधानमंत्रियों के भाषण सुनेंगे तो उनके 20-25 मिनट के भाषण में 10 मिनट वो गरीबी पर बोलते थे और कोई भी चुनाव का उनका भाषण सुन लीजिए वो गरीब..गरीब.. गरीब..गरीब.. गरीब..गरीब.. गरीब..गरीब.. गरीब..गरीब.. गरीब..गरीब.. गरीब..गरीब.. गरीब..गरीब.. गरीब..गरीब.. गरीब..गरीब.. गरीब.. माला ही जपते रहते थे, लोगों की आंख में धूल झोंकते थे और गरीबों को एहसास कराते रहते थे कि तुम तो गरीबी में ही जीने के लिए ही पैदा हुए हो। इस देश में गरीबी को हटाना असंभव लगता था। भाइयों-बहनों, मोदी ने दस साल में 25 करोड़ लोगों को गरीबी से बाहर निकालकर के दिखा दिया है, जो असंभव लगता था, वो संभव हुआ कि नहीं हुआ? संभव हुआ कि नहीं हुआ? ये किसने संभव बनाया? ये किसने संभव बनाया? ये किसने संभव बनाया? कौन सी ताकत है, जिसने ये किया है? ये कौन सी ताकत है? मोदी नहीं, ये आपके वोट की ताकत है ना इसके कारण हुआ है। ये आपके वोट का सामर्थ्य है और इसलिए मैं जो अपने बच्चों का उज्ज्वल भविष्य चाहते हैं, जो शांति और सुरक्षा चाहते हैं, जो विकास के अनगिनत अवसर चाहते हैं, जो भारत को विश्व में माथा ऊंचा करके जीने वाला देश के रूप में देखना चाहते हैं ऐसे हर नागरिक को कहता हूं जरा घर से बाहर निकलिए और अपने वोट का उपयोग कीजिए और मेरा आपसे आग्रह है मैं आज मुंबईकर के पास आया हूं, आपसे आशीर्वाद मांगने आया हूं, आप रिकॉर्ड तोड़कर मतदान करके दिखाइए इस बार और जब मदतान करने के लिए घर से निकलें ना तो याद करना कभी वो बम धमाके हुआ करते थे, सुबह घर से निकलते थे तो शाम को जिंदा लौटेंगे कि नहीं लौटेंगे इसका कोई विश्वास नहीं था, आज गर्व के साथ आपकी बेटी शाम को आनंद से घर लौट सकती है ये याद करके जाना और कमल पर और मेरे साथियों के जो सिंबल है उनपर अपना बटन दबाकर के मोदी को जरा मजबूत कीजिए। आपका एक वोट राष्ट्रहित में बड़े फैसलों का आधार बना है और इसलिए एक-एक वोट जरूरी है।

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साथियों,

इन लोगों ने जब जनादेश चुराकर सरकार बनाई, मैं महाराष्ट्र की बात कर रहा हूं, जनादेश को चुराकर सरकार बनाई तो विकास कार्यों से भी अपनी दुश्मनी निकाली। बुलेट ट्रेन का काम हो, मुंबई मेट्रो का काम हो, डेडिकेटेड फ्रेट कॉरिडोर हो, JNPT में कंटेनर टर्मिनल का काम हो, मुंबई से जुड़े हर बड़े प्रोजेक्ट को इन्होंने लटकाया-अटकाया और भटकाया। ये मुंबई के लोगों से दुश्मनी निकाल रहे थे। साथियों, मोदी का एक महत्वपूर्ण संकल्प है, मोदी मुंबई को उसका हक लौटाने के लिए आया है। आज दुनिया का आधुनिकतम इंफ्रास्ट्रक्चर मुंबई को मिल रहा है। आज यहां अटल सेतु है, मुंबई मेट्रो का विस्तार हो रहा है, मुंबई लोकल का आधुनिकीकरण हो रहा है, नवी मुंबई में एयरपोर्ट बन रहा है, वंदे भारत ट्रेनें चल रही हैं और वो दिन दूर नहीं जब देश की पहली बुलेट ट्रेन मुंबई को मिलेगी।

साथियों,

आगे बढ़ते हुए भारत में NDA गठबंधन रोजगार के नए-नए सेक्टर्स बना रहा है। पिछले 10 साल में भारत में सवा लाख से ज्यादा नए स्टार्टअप्स बने हैं। 8 हज़ार से अधिक स्टार्टअप्स तो अकेले हमारे मुंबई में हैं। बीते 10 सालों में भारत मोबाइल मैन्युफैक्चरिंग में दुनिया का दूसरा सबसे बड़ा देश बना है जी। हम कभी मोबाइल फोन इंपोर्ट करते थे आज हम मोबाइल फोन एक्सपोर्ट कर रहे हैं जी। टेक्नोलॉजी से लेकर टेक्सटाइल तक, टैलेंट से लेकर टूरिज्म तक, स्पेस से लेकर स्पोर्ट्स तक आने वाले 5 सालों में नौजवानों के लिए असीम अवसरों से भरा भारत दुनिया की नजरों में एक बहुत बड़ी आशा का कारण, विश्वास का कारण बना हुआ है और इसका बहुत बड़ा फायदा मुंबई के युवाओं को होगा, मुंबई के प्रोफेशनल्स को होगा। हमारी सरकार मातृभाषा में पढ़ाई को भी बहुत महत्व दे रही है। नई नेशनल एजुकेशन पॉलिसी के तहत अब मराठी में भी मेडिकल और इंजीनियरिंग की पढ़ाई संभव होगी। मैंने सुप्रीम कोर्ट से कहा था मैंने कम से कम आप जजमेंट का ऑपरेटिव पार्ट होता है वो तो उस क्लाइंट की भाषा में दो ये क्या अंग्रेजी का झंडा लेकर घूम रहे हो तुम लोग और आज सुप्रीम कोर्ट से अगर कोई मराठी भाषी व्यक्ति का केस चल रहा है और उसको जजमेंट का ऑपरेटिव पार्ट मराठी में चाहिए तो मिलना तय हो चुका है दोस्तों।

भाइयों और बहनों,

शहरी मिडिल क्लास हो या फिर शहरी गरीब, ease of living ये मोदी की प्राथमिकता है। जो झुग्गियों में रहता है उसको भी आज पक्के घर का भरोसा मिला है। सबके घर का सपना पूरा हो, इसके लिए मोदी सरकार हजारों करोड़ की मदद दे रही है। आज महाराष्ट्र के 45 हजार से ज्यादा रीयल एस्टेट प्रोजेक्ट्स रेरा कानून के दायरे में आए हैं मतलब इन्वेस्टर के लिए विश्वास का पक्का व्यवस्था मिली है। अकेले महाराष्ट्र में ही 17 हजार से ज्यादा इन्वेस्टर्स की शिकायतों का निवारण हुआ है।

साथियों,

क्वालिटी हेल्थकेयर और सस्ता हेल्थकेयर, ये हमारा फोकस है और अब तो मोदी ने ये तय किया है आप जो बेटे-बेटी कमाते हैं ना आज हर घर में बुजुर्ग होते ही हैं, माता-पिता, दादा-दादी, चाचा-चाची, नाना-नानी और 70 साल के बाद छोटी-मोटी कोई ना कोई बीमारी तो होती ही होती है अब जो बेटा- बेटी मेहनत करके कमाते हैं उनके सामने चिंता रहती है, वो मां-बाप को संभालने के लिए तैयार हैं लेकिन एक तरफ अगर बीमारी आ गई तो चिंता रहती है कि रोजमर्रा की जिंदगी कैसे गुजारेंगे और बच्चों की आशा-अपेक्षाओं का क्या? हर कमाने वाले बेटे-बेटी को चिंता रहती है। मोदी ने तय किया है कोई भी व्यक्ति, हिंदुस्तान का कोई भी व्यक्ति जो 70 साल से ऊपर है अब उनके बीमारी में उनके इलाज की चिंता उनके बेटा- बेटी पर नहीं रहेगी, ये जिम्मा मोदी संभालेगा। हम जानते हैं मेडिकल इंश्योरेंस कराने में आपको कितनी दिक्कत आती थी, वो भी अब भूल जाइये अब मोदी आपके बुजुर्ग माता-पिता का अस्पताल में इलाज करायेगा और वो भी मुफ्त।

भाइयों और बहनों,

10 साल पहले तक सामान्य गरीब और मिडिल क्लास के लिए बैंक लोन सपना होता था। आज बिना गारंटी का लोन मिल रहा है। पहले फुटपाथ पर, रेहड़ी पर काम करने वालों को बैंक के दरवाजे तक जाने की हिम्मत नहीं थी जिनको कोई नहीं पूछता था मोदी उनको पूजता है और मैं हमारे शिंदे जी वगैरह का आभार व्यक्त करता हूं कि एक आध साल पहले मुझे यहां बुलाया था और करीब एक लाख रेहड़ी- पटरी वाले भाई- बहन इकट्ठे हुए थे और उनको हजारों- करोड़ रुपये बैंक से लोन मिला था। उनकी पूरी जिंदगी बदल गई। वरना पहले क्या था रेहड़ी- पटरी वालों साहूकार के पास से बहुत महंगे ब्याज में पैसे लेते थे और कारोबार में से ज्यादा पैसा ब्याज में चला जाता था। आज उनको बैंक से लोन मिलता है और गारंटी कौन देता है? गारंटी मोदी देता है, बिना गारंटी पैसे मिलता है और ये मेरे रेहड़ी- पटरी वाले भाई- बहन, पाई-पाई समय पर चुकता करते हैं बैंकों पर कोई बोझ नहीं होने देते हैं।

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साथियों,

मोदी के पास 10 साल का रिपोर्ट कार्ड है और 25 साल का रोडमैप भी है और दूसरी तरफ इंडी गठबंधन वालों के पास क्या है? जितने लोग उतनी बातें, जितने दल उतनी घोषणाएं और जितने दल उतने प्रधानमंत्री। कांग्रेस के माओवादी मेनिफेस्टो में जितनी घोषणाएं हैं अगर उनका हिसाब लगाएं तो देश दिवालिया हो जाएगा। इनकी नज़र हमारे मंदिरों के सोने पर है। इनकी नजर महिलाओं के मंगलसूत्र पर है। इन लोगों ने 50 परसेंट इन्हेरिटेंस टैक्स का आइडिया फ्लोट किया है यानी आप अपने बच्चों को अपनी विरासत नहीं दे पाएंगे। आपने कितनी ही मेहनत करके कितना ही कमाया हो इकट्ठा किया हो आधा ये सरकार छीन लेना चाहती है। आपको बच्चों को नहीं देने देगी। ये आपकी प्रॉपर्टी का एक्सरे करके, अपने वोटबैंक को, जो वोट जिहाद करते हैं ना उनको देने के लिए वो निर्णय कर चुके हैं। साथियों, ये इनके इरादे बहुत खतरनाक हैं। कांग्रेस के लिए ये अस्तित्व बचाने की लड़ाई है। वो किसी भी हद तक जा सकती है।

साथियों,

मुंबई तो भारत का economic powerhouse है। आप देखिए, 10 साल पहले शेयर बाज़ार कहां था और आज कहां है? आज देश के लाखों-लाख छोटे-छोटे निवेशक बाज़ार से जुड़े हैं। दुनिया के 4th largest stock मार्केट पर देश-दुनिया का भरोसा बढ़ता जा रहा है। इंडी अघाड़ी वाले जो साजिशें रच रहे हैं, उसका एक मकसद इस भरोसे को भी तोड़ना है। मैं आपको सावधान कर रहा हूं कांग्रेस और इंडी अघाड़ी की माओवादी इकोनॉमिक्स, मुंबई के पहिए ही जाम कर देगी दोस्तों। मैं कल्पना करता हूं कि इनकी सोच देश के लिए कितनी भयंकर आर्थिक स्थिति पैदा कर सकती है।

साथियों,

मुंबई चैत्य भूमि से प्रेरणा पाती है। ये भी हमारी सरकार है, जिसने चैत्य भूमि सहित देश-दुनिया में बाबा साहेब के पंचतीर्थ विकसित किए हैं। साथियों, शिवतीर्थ की इस भूमि में यहां कभी बाला साहेब ठाकरे और वीर सावरकर की हुंकार गूंजी थी। लेकिन आज विश्वासघाती अघाड़ी को देखकर, उनकी आत्मा को कितना दुख होता होगा। ये नकली शिवसेना वाले इन्होंने बाला साहेब को धोखा दिया, इन्होंने शिवसैनिकों के बलिदान को धोखा दिया। सत्ता के लिए ये राम मंदिर को गाली देने वालों के साथ चले गए। सत्ता के लिए ये मुंबई हमले के बाद पार्टी कर रहे लोगों के साथ चले गए, जो कांग्रेस दिन-रात वीर सावरकर को गालियां देती हैं, आज ये उसकी गोद में बैठे हैं और मैं एनसीपी के नेता को चुनौती देता हूं आप राहुल से बयान करवाइये कि वो जिंदगी में कभी भी वीर सावरकर का अपमान नहीं करेगा जरा एक बयान करवा दीजिये। अभी उन्होंने चुनाव है इसलिए उन्होंने चुप करवाया है, ताला मारा है उसको, लेकिन जरा बुलवा दीजिए एक बार कि मैं जीवनभर वीर सावरकर के खिलाफ एक शब्द नहीं बोलूंगा। जरा एक बार बुलवा दीजिए उनको, वो नहीं कर सकते क्योंकि उनको पता है चुनाव खत्म होते ही फिर से वीर सावरकर को गालियां देना शुरू करने वाले हैं। साथियों, महाराष्ट्र की मिट्टी के साथ धोखा करने वाले लोग, महाराष्ट्र के गौरव को ठेस पहुंचाने वाले लोग साथियों, वो भी एक वक्त था कभी शिवसेना की पहचान, यहां घुसपैठियों के खिलाफ खड़े होने की थी। आज वो ही नकली शिवसेना, CAA का विरोध कर रही है। इनको अब हिंदुओं, बौद्ध, जैन, सिख शरणार्थियों को नागरिकता देने पर भी आपत्ति है। हिंदुस्तान में ऐसा हृदय परिवर्तन किसी पार्टी का नहीं हुआ, जैसा अभी की नकली शिवसेना का हुआ है।

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साथियों,

अपने वोटबैंक को खुश करने के लिए, तुष्टिकरण के लिए, इस पूरी अघाड़ी ने, पूरी मुंबई को, पूरे देश को धोखा दिया है। जिस कसाब ने मुंबइकरों को दहलाया इस शहर को खून से रंग दिया ये लोग उसको क्लीन चिट दे रहे हैं। जिस पाकिस्तान की आज दुनिया में कोई नहीं सुन रहा, ये अघाड़ी वाले सर्जिकल और एयरस्ट्राइक पर उसी पाकिस्तान की भाषा बोल रहे हैं। ये हमारी सेना को ही झूठा करार दे रहे हैं। छत्रपति शिवाजी महाराज की इस धरती का इससे बड़ा अपमान और क्या होगा?

साथियों,

इंडी अघाड़ी वाले लगातार बाबा साहेब अंबेडकर का, हमारे संविधान का भी अपमान कर रहे हैं। बाबा साहेब धर्म के आधार पर आरक्षण के खिलाफ थे। पूरी संविधान सभा एकमत हुई थी कि हमारे देश में धर्म के आधार पर आरक्षण नहीं होगा लेकिन इंडी अघाड़ी वाले दलित, पिछड़े, आदिवासियों के हक का आरक्षण छीनकर, धर्म के आधार पर वोट जिहाद करने वालों को देना चाहते हैं। सत्ता के लिए इनकी ये धोखेबाज़ी नहीं चलेगी और आर्टिकल-370 हटाकर देश में एक संविधान लागू कराने वाला मोदी, संविधान का सबसे बड़ा रक्षक है। और जो लोग जो लोग आज संविधान को माथे पर लेकर के नाच रहे हैं उन्होंने पहले संविधान के शरीर को तोड़ा, हमारे संविधान की जो पहली प्रत है उसमें एक हिस्सा है संविधान के संबंध में लिखा हुआ बातें, दूसरा उसमें चित्र काम है वो सब मिलाकर के एक संविधान बना है और इन चित्रों में हजारों साल की हमारी विरासत को चित्रांकित किया गया है। इन्होंने पहला काम किया पंडित नेहरू ने वो चित्र वाला संविधान अलमारी में रख दिया और सिर्फ बाद में, बाद में उसके आत्मा को उन्होंने चूर- चूर कर दिया। अब ये लोग संविधान की पीठ में छुरा भोंकने की कोशिश कर रहे हैं। मैं कांग्रेस को किसी दलित, पिछड़े, आदिवासी का आरक्षण कभी भी छीनने नहीं दूंगा और ये मोदी की गारंटी है।

भाइयों और बहनों,

मैंने लाल किले से कहा था यही समय है, सही समय है। ये भारत का समय है। ये समय का चक्र तेज़ी से चलता रहे इसकी बहुत बड़ी जिम्मेदारी मुंबई की है। हर मुंबईकर को मतदान करना है। सारे रिकॉर्ड तोड़ने हैं। भाजपा और शिवसेना के हमारे सारे उम्मीदवारों को विजयी बनाकर के दिल्ली भेजना है। हमारे एनसीपी के साथियों को, मैं नकली वालों की बात नहीं कर रहा, मुंबई नॉर्थ लोकसभा से श्रीमान पीयूष गोयल जी, मुंबई नॉर्थ- वेस्ट लोकसभा से रवींद्र वायकर जी, मंबई नॉर्थ- ईस्ट लोकसभा से मिहिर कोटेचा जी, मंबई नॉर्थ- सेंट्रल से उज्जवल निकम जी, मुंबई साउथ- सेंट्रल से राहुल शेवाले जी, मुंबई साउथ लोकसभा से श्रीमती यामिनी जाधव जी इन सभी के पक्ष में 20 मई को ज्यादा से ज्यादा मतदान करना है और जब आप वोट देंगे ना आप इनको वो वोट सीधा का सीधा मोदी के खाते में जाएगा। साथियों, मैं पूरा हिंदुस्तान घूम के आया हूं और मैं विश्वास से कहता हूं इस बार के चुनाव नतीजे पुराने सारे रिकॉर्ड तोड़ने वाले होंगे। भारत एक बहुत बड़ी शक्ति के रूप में उभरेगा 4 जून और इसलिए साथियों आप सबका सक्रिय सहयोग मेरे साथ बोलिए भारत माता की..

भारत माता की..

भारत माता की..

बहुत- बहुत धन्यवाद।

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PM Modi’s remarks during the BRICS session: ‘Peace and Security and Reform of Global Governance’
July 06, 2025

Your Highness,

Excellencies,

Namaskar!

I express my heartfelt gratitude to President Lula for the excellent organisation of the 17th BRICS Summit. Under Brazil’s dynamic chairmanship, our BRICS cooperation has gained fresh momentum and vitality. And let me say—the energy we’ve received isn’t just an espresso; it’s a double espresso shot! For this, I applaud President Lula's vision and his unwavering commitment. On behalf of India, I extend my heartfelt congratulations and best wishes to my friend, President Prabowo, on Indonesia’s inclusion in the BRICS family.

Friends,

The Global South has often faced double standards. Whether it's about development, distribution of resources, or security related matters, the interests of the Global South have not been given due importance. The Global South often received nothing more than token gestures on topics like climate finance, sustainable development, and technology access.

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Friends,

Two-thirds of humanity still lack proper representation in global institutions built in the 20th century. Many countries that play a key role in today’s global economy are yet to be given a seat at the decision-making table. This is not just about representation, it’s also about credibility and effectiveness. Without the Global South, these institutions are like a mobile phone with a SIM card but no network. They’re unable to function properly or meet the challenges of the 21st century. Whether it's ongoing conflicts across the world, the pandemic, economic crises, or emerging challenges in cyber or space, these institutions have failed to offer solutions.

Friends,

Today the world needs a new multipolar and inclusive world order. This will have to start with comprehensive reforms in global institutions. These reforms should not be merely symbolic, but their real impact should also be visible. There must be changes in governance structures, voting rights, and leadership positions. The challenges faced by countries in the Global South must be given priority in policymaking.

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Friends,

The expansion of BRICS and the inclusion of new partners reflect its ability to evolve with the times. Now, we must demonstrate the same determination to reform institutions like the UN Security Council, the WTO, and Multilateral Development Banks. In the age of AI, where technology evolves every week, it's unacceptable for global institutions to go eighty years without reform. You can’t run 21st-century software on 20th-century typewriters!

Friends,

India has always considered it a duty to rise above self interest and work towards the interest of humanity. We’re fully committed to work along with the BRICS countries on all matters, and provide our constructive contributions. Thank you very much.