QuoteBe it the Congress or JMM or their other allies in the ‘Mahamilawat,’ their entire election agenda is based on hurling personal abuses at Modi and spreading falsehood: PM Modi .
QuoteDespite ruling the nation for decades, the Congress party treated the tribal communities as a mere vote-bank, without doing anything for their welfare: PM Modi
QuoteThe BJP has always been inspired by Atal Ji’s vision for the tribal people which not only led him to create a separate state of Jharkhand but also a separate ministry for furthering tribal welfare: Prime Minister Modi

मंच पर विराजमान प्रदेश के लोकप्रिय मुख्यमंत्री श्री रघुवर दास जी, यहां के पूर्व मुख्यमंत्री भाई अर्जुन जी, भारतीय जनता पार्टी के प्रदेश अध्यक्ष श्री, इस चुनाव में सभी भारतीय जनता पार्टी के सभी उम्मीदवार, मंच पर विराजमान हमारे सभी नेतागण, एनडीए के सभी नेतागण और हम सब को आशीर्वाद देने के लिए आए हुए मेरे प्यारे भाइयो और बहनो। जितने लोग यहां हैं उतने ही वहां हैं मुझे मालूम नहीं वहां सुनाई देता होगा की नहीं देता होगा। ये इतनी विशाल जनसभा, 23 तारीख को क्या होने वाला है इसका ये जीता-जागता उदाहरण है।

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भाइयो-बहनो, बाबा बैद्यनाथ और बाबा बासुकीनाथ की कृपा हम सभी पर बनी हुई है, बाबा के चरणों में अपना वंदन अर्पित करता हूं।

साथियो, बाबा के आशीर्वाद से देश ये तय कर चुका है की फिर एक बार...मोदी सरकार, फिर एक बार...मोदी सरकार। बाबा धाम में आज मैं आपसे ये आशीर्वाद लेने आया हूं की हम देश के विकास के अपने संकल्प को पूरा करें, हर कसौटी पर हम खरा उतरे। भाइयो और बहनो, मुझे पूरा विश्वास है की संथाल परगना 19 मई को बाकी देश की तरह महामिलावट को पूरी तरह से साफ कर देगा।

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साथियो, बीते पांच सालो में भाजपा-एनडीए की मजबूत और ईमानदार सरकार ने कैसे काम किया है ये पूरे देश ने देखा है। 23 मई को क्या नतीजे आने वाले है ये देश की सबसे पुरानी पार्टी कांग्रेस भी अब भलीभांति समझ चुकी है। इसीलिए उसने नतीजों की तैयारी शुरू कर दी है अब आप सोच रहे होंगे जब विजय भाजपा-एनडीए की होने जा रही है तो फिर कांग्रेस क्या तैयारी करेगी।

भाइयो बहनो, कांग्रेस तैयारी कर रही है कि हार के बाद उसका ठीकरा पार्टी में किसके सिर पर फोड़ें? नामदार को बचाने के लिए क्या किया जाए, इसके लिए वहां एक्सरसाइज चल रही है। अब कांग्रेस ये तो कह नहीं सकती कि नामदार की वजह से चुनाव हार गए। ये तो वंशवाद के उसूलों के खिलाफ होगा, इसलिए आपने देखा होगा कि पांचवें चरण के बाद ही नामदार परिवार के दो सबसे करीबी दरबारियों ने अपनी तरफ से बैटिंग शुरू कर दी। वरना इनकी हिम्मत नहीं है कि बिना कप्तान से पूछे, मैच खेलने मैदान में उतर जाएं।

 

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भाइयो और बहनो, एक बल्लेबाज तो नामदार के गुरु हैं, जिन्हें पहले मैदान में उतरा गया है। उन्होंने सिखों की भावनाओं का मजाक उड़ाते हुए कहा कि 84 का सिख दंगा हुआ तो हुआ, हुआ तो...हुआ। ये जानते हुए कि सिख भाई-बहनो के पुराने जख्म हरे होंगे, नामदार ने अपने गुरु से ये बयान दिलवाया। दूसरे बल्लेबाज, गुजरात चुनाव के दौरान हिट विकेट होने के बाद से ही मैदान से बाहर थे। मुझे गाली देने के बाद से परदे के पीछे छिपे हुए थे। वो भी दो दिन से मैदान में पहुंच गए और जमकर के मुझे गालियां दे रहे हैं। भाइयो और बहनो, कांग्रेस में इस समय बड़ी-बड़ी बैठकें चल रही हैं, व्यूह रचना की जा रही है कि कैसे नामदार को बचाया जाए, कुछ भी करके कांग्रेस अपने नामदार पर हार की जिम्मेदारी नहीं आने देना चाहती। इसलिए कांग्रेस में अभी नाखून काटकर शहीद होने वालों की होड़ मची हुई है।

भाइयो और बहनो, कांग्रेस के एक परिवार की 55 साल की सरकार और मोदी को दी हुई 55 महीने की सरकार का फर्क आज भारत ही नहीं पूरी दुनिया महसूस कर रही है। आज देश में तेजी से विकास हो रहा है तो साथ ही गरीबी उतनी ही तेजी से कम हो रही है। हमने पांच साल एक ईमानदार, एक पारदर्शी सरकार चलाकर दिखाई है। घोटाले का एक दाग, इस सरकार पर नहीं है और जब मैं ये बात बाबा धाम में कह रहा हूं तो मुझे इस बात पर गर्व होता है की उनके भक्त को ईमानदार सरकार का नेतृत्व करने का देश की जनता ने सौभाग्य दिया है।

भाइयो और बहनो, कांग्रेस हो या झारखंड मुक्ति मोर्चा, इन महामिलावटी लोगों के पास सिवाय झूठ, प्रपंच, ठगी कुछ नहीं सोच सकते है। इनकी पूरी रणनीति और पूरी राजनीति अफवाहों पर आधारित है। मैं बाबा के पवित्र धाम से अपने आदिवासी भाई-बहनो को वनों में रहने वाले साथियो को फिर बता दूं की वोट के लिए ये महामिलावटी किसी को भी ठग सकते हैं। आप आश्वस्त रहिए, जब तक मोदी है, जब तक भारतीय जनता पार्टी है तब तक आपकी जमीन आपके हक को कोई हाथ भी नहीं लगा पाएगा।

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साथियो, कांग्रेस ने इतने वर्षों तक देश में शासन किया, लेकिन उसने हमेशा आदिवासी समुदाय को सिर्फ एक वोटबैंक के रूप में इस्तेमाल किया है। जबकि अटल बिहारी वाजपेयी जी ने आदिवासी हितों को ध्यान में रखते हुए झारखंड राज्य ही नहीं बनाया बल्कि जनजातीय मंत्रालय भी उन्हीं की सरकार की देन था। भाइयो और बहनो, आपका ये सेवक अटल जी की प्रेरणा से ही आज डगर-डगर पर आगे बढ़ रहा है। उन्हीं की प्रेरणा से हमने जनजातीय समुदाय को वनसंपदा में अधिकार सुनिश्चित कराया है। खनन से होने वाले लाभ का एक हिस्सा उसी इलाके में खर्च हो। इसके लिए हमने बाकायदा कानून बनाया है और इसकी वजह से झारखंड को भी करीब-करीब 6 हजार करोड़ रुपया अतिरिक्त मिल पाए हैं। इन पैसो से यहां स्कूल, शौचालय, पीने का पानी, सड़क और रोजगार के दूसरे साधन बनाए जा रहे हैं।

साथियो, वन धन और जन-धन योजना के माध्यम से वन उपज का ज्यादा से ज्यादा लाभ आदिवासियों को मिले, उन्हें बिचौलियों से मुक्ति मिले, हम ये सुनिश्चित करने का प्रयास कर रहे हैं। हमने वन उपज पर MSP का दायरा भी बढ़ाया है। पहले 10 वन उपजों पर ही MSP मिला करता था, अब इसकी संख्या बढ़ाकर 50 कर दी गई है।

साथियो, यहां के किसानों का जीवन आसान बनाने के लिए हम निरंतर काम कर रहे हैं। पीएम किसान योजना के तहत हम सीधे किसानों के खाते में मदद जमा कर रहे हैं। झारखंड में तो रघुवीर जी की सरकार भी मदद दे रही है ऐसे में यहां के किसानों को डबल लाभ हो रहा है।

साथियो, बाबा धाम का विकास करने के लिए यहां सुविधाओं के निर्माण के लिए हम पूरी तरह प्रतिबद्ध है। यही कारण है की यहां रेल और ऋण के साथ-साथ एयरपोर्ट की सुविधा भी विकसित की जा रही है। एयरपोर्ट के बनने से यहां टूरिज्म के क्षेत्र में और अधिक अवसर पैदा होंगे। वहीं साहिबगंज में गंगा जी पर बन रहा मल्टी मॉडल बंदरगाह इस क्षेत्र में उद्योगों को बढ़ावा देगा, रोजगार के अवसर पैदा करेगा।

साथियो, देवघर स्वास्थ्य सेवाओं के मामले में भी एक बड़ा केंद्र बन कर के उभर रहा है। यहां बन रहा AIIMS तो पूरे संथाल परगना सहित ओडिशा और पश्चिम बंगाल तक के लोगों के काम आने वाला है। इसके अलावा आयुष्मान भारत योजना के तहत गरीबों को आदिवासियों को पिछड़ो, वंचितों को पांच लाख रुपए तक मुफ्त इलाज पहले से ही मिलना शुरू हो गया है।
 

भाइयो-बहनो, गरीब मेहनत करके जब गरीबी से बाहर निकलने की कोशिश करता है, कुछ किनारे पर पहुंचता भी है लेकिन अगर परिवार में एक बीमारी आ जाए तो गरीब पूरी पीढ़ी फिर से गरीब बन जाती है। मैं इन गरीबों के बीच से आया हूं और इसीलिए मैंने तय किया है बीमारी के कारण अब गरीब, गरीब नहीं रहेगा। वो गरीबी से बाहर आएगा और बीमारी की चिंता ये मोदी करेगा, ये मैंने आपको वादा किया है।

भाइयो और बहनो, एक तरफ हम झारखंड के विकास के लिए समर्पित हैं, वहीं दूसरी तरफ झारखंड मुक्ति मोर्चा और कांग्रेस के लोग घुसपैठियों के साथ खड़े हैं। लेकिन भाजपा का स्पष्ट मत है कि हम देश में एक-एक घुसपैठिए की पहचान करेंगे। ये हमारे संसाधनों के साथ-साथ हमारी सुरक्षा के लिए भी बहुत बड़ा खतरा है और हमें जागना जरूरी है। भाइयो और बहनो, राष्ट्र रक्षा जैसे विषय पर भी कांग्रेस और उसके साथी उनके मुंह पर वोट बैंक का ताला लग गया है, चुप हैं। अभी हाल में आपने देखा की ईस्टर के पवित्र अवसर पर श्रीलंका में क्या हुआ। आतंकियों ने चर्च में, होटलों में, बम धमाके करके सैकड़ों लोगों की जान ले ली।

साथियो, आतंकवाद ऐसी चुनौती है जिसका बहुत कड़ाई से मुकाबला किया जाना जरूरी है लेकिन कांग्रेस और उसके साथियो की नीतियां ऐसी रही है की वो आतंकवाद और नक्सलवाद को कुचल नहीं सकती।

भाइयो बहनो, मैं जरा आपसे पूछना चाहता हूं, आप जवाब देंगे? सब के सब देंगे? आपने देखा होगा जो 8 सीट पर चुनाव लड़ रहे हैं, वो भी अभी कपड़े सिलाई करवा रहे हैं प्रधानमंत्री बनने के लिए। जो 20 सीट पर चुनाव लड़ रहे है वो भी कपड़े तैयार कर रहे है प्रधानमंत्री बनने के लिए, जो 40 सीट लड़ रहे है वो भी कर रहे है। ये जितने चेहरे प्रधानमंत्री बनने की कतार में खड़े हैं, जरा एक-एक चेहरे को याद करो, कोई बहन हो, कोई भाई हो, जो भी हो याद करो और मुझे बताओ, इनमें से आतंकवाद के खिलाफ लड़ाई लड़ने की ताकत कौन रखता है, कौन रखता है? आतंकवाद से कौन भीड़ सकता है? आतंकवाद को खत्म कौन कर सकता है और कोई ये न समझे, मैं दुनिया के लोगों को कई वर्षों से कह रहा हूं, कोई ये मत सोचिएगा की आतंकवाद तो अभी वहां आया है कल हमारे यहां नहीं आएगा। ये श्रीलंका में देख लीजिए ईस्टर का पर्व चल रहा था और आतंकवादियों ने चर्च में जा करके हमले कर दिए। जिसको भी बचना होगा उन सब को आतंकवाद को खत्म करने वाली ताकतों के साथ आना ही पड़ेगा। कांग्रेस अब देशद्रोह का कानून भी खत्म करना चाहती है, यानी पत्थरबाजों, आतंकियों और उनके समर्थकों, नक्सलियों और उन्हें खाद पानी देने वालों को कांग्रेस, खुली छूट देना चाहती है। लेकिन साथियो, भाजपा इन्हें ऐसा कतई करने नहीं देगी। हम नई रीति, नई नीति पर चल पड़े हैं। हमारी सरकार के दौरान देश के वीर सपूतों ने आतंकियों को घर में घुसकर करके मारा है। सही किया कि नहीं किया? मोदी ठीक कर रहा है? आतंकवाद के खिलाफ ऐसे ही लड़ना चाहिए कि नहीं लड़ना चाहिए?

साथियो, जिस आदिवासी समाज ने अंग्रेजों से लोहा लिया, जहां भगवान बिसरा मुंडा की एक समृद्ध विरासत है, वो समाज और देश को तोड़ने वाली महामिलावटी सोच को कतई स्वीकार नहीं कर सकता।
साथियो, कांग्रेस की इन साजिशों के बीच आपका ये सेवक हमारे सैनिकों और हमारे जनजातीय नायकों को सम्मान के लिए प्रतिबद्ध है। यही कारण है की झारखंड सहित देश के अनेक राज्यों में जनजातीय नायकों के स्मारक बनाए जा रहे हैं। भाइयो और बहनो, विकास का ये रास्ता सशक्त हो, मजबूत हो इसके लिए संथाल परगना में पूरी शक्ति से कमल खिलाना है। और भाइयो बहनो, आप सोचिए जो धरती से जुड़े हुए लोग होते हैं वो कैसे निर्णय करते हैं? ये हमारा संथाल परगना, हमारी यहां की परंपरा हमारी यहां की विशेषता, हमारी संस्कृति ये बहुमूल्य है। ये भारत का गौरव गान है यहां पर लेकिन दिल्ली में बैठे हुए लोगों को इसकी परवाह ही नहीं थी, परवाह ही नहीं थी। हमने रेलवे में जो अनाउंसमेंट होता है अब वो संथाली भाषा में शुरू किया। मैंने देखा की जब संथाली भाषा में बोलते हैं डिब्बे में जितने लोग होते है ताली बजाते हैं। अब ये काम, ये काम पहले नहीं हो सकता था क्या, नहीं हो सकता था? क्या ये काम मुश्किल था क्या? लेकिन उनके अंदर अहंकार भर है उनको संथाली, संथाली यही सोचते हैं, ये इसी के कारण ये दुर्दशा हुई है।

मेरे दिल में भाइयो बहनो, बचपन में यानी कुछ साल पहले, मैंने एक सिने कलाकार का इंटरव्यू पढ़ा था। वो फिल्म कलाकार, यहां संथाल में कुछ उनका शूटिंग चल रहा था उसके अनुभव लिखे थे तो मृगया फिल्म बनी थी यहां पर तो उसका शूटिंग चल रहा था और वो जो कलाकार था उसने जनजातीय वेश में अपना तीर चलाने का कार्यक्रम कर रहा था और हमारे संथाल के सारे लोग दूर-दूर शांति से बैठ कर के शूटिंग देख रहे थे और बहुत डिसिप्लिन से देख रहे थे। दो-दो, तीन-तीन दिन शूटिंग चला, सब शांति से चला और एक दिन वो कोई दृश्य चल रहा था तीर चलाने का, सारे लोग गुस्से से एक दम से दौड़ पड़े, एक दम से झगड़ा करने लगे तो इन्होंने कहा भैया क्या हो गया? दो-तीन दिन से शूटिंग चल रहा है शांति से चल रहा है और आज अचानक ये सब नाराज क्यों हो गए, तो नाराजगी क्या थी? तो ये जब मैंने पढ़ा, मेरे संथाल के लोगों के प्रति मेरा मान-सम्मान इतना बढ़ गया है जी तब तो मैं राजनीति में नहीं था जी। क्या घटना थी, वो जो कलाकार था वो तीर चला रहा था तो तीर चलाते समय वो अपने अंगूठे का उपयोग करता था तो ये संथाल के जवानों ने आकर के उसको रोका की तुम हमारी परम्पराओं का अपमान करते हो। अंगूठे का उपयोग कर के हम संथाल के लोग तीर नहीं चलाते है क्योंकि एकलव्य ने अंगूठे दान में दे दिया, उसके बाद हम उसके वंशज उस अंगूठे का उपयोग नहीं करते है।

जिस धरती पर, जिस धरती पर ये गौरव संस्कृति के ये गौरव पड़ा हो भाइयो, उसके लिए हम जो करें वो कम है, जो करे वो कम है। और इसीलिए मुझे, मुझे आप प्रधानमंत्री की बजाए आपका अपना मान लीजिए भाइयो, मैं आपका अपना हूं। मैं आपके लिए हूं और विकास शायद 70 साल में इस इलाके ने नहीं देखा है। ये मोदी कर के देगा, ये मैं आपको वादा करने आया हूं।

भाइयो बहनो, कमल के फूल पर पड़ा आपका हर वोट मोदी के खाते में आएगा और इसीलिए आप 19 तारीख को भारी मतदान कीजिए और जो फिर एक बार मोदी सरकार बनने वाली है। आप भी वो सरकार बनाने वाले हो इस विश्वास के साथ कमल पर बटन दबाइए। भाइयो बहनो, नई जो पार्लियामेंट बनेगी, उसमें झारखंड के सारे के सारे कमल सुशोभित होने चाहिए। अब तक जो मतदान हुआ है, सारी की सारी बैठकें भारतीय जनता पार्टी जीत रही है और 19 को जो मजदान होगा, उसमें भी भाजपा और हमारे साथी दल सारी की सारी सीटें जीतने वाले हैं। और इसीलिए भाइयो बहनो, मैं फिर एक बार आपका हृदय से आभार व्यक्त करता हूं। आप इतनी बड़ी तादाद में आशीर्वाद देने आए मैं हृदय से आपका अभिनंदन करता हूं। मेरे साथ बोलिए,

भारत माता की...जय
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भारत माता की...जय
बहुत बहुत धन्यवाद।

 

 

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The world and the enemies of the country have seen what happens when ‘Sindoor’ turns into ‘Barood’: PM Modi in Bikaner, Rajasthan
May 22, 2025
QuoteIn the last 11 years work has been done at an unprecedented pace for building modern infrastructure: PM
QuoteThe country has named the railway stations being modernised as Amrit Bharat stations, Today, more than 100 of these Amrit Bharat stations are ready: PM
QuoteWe are completing irrigation projects and linking rivers at the same time: PM
QuoteOur Government gave a free hand to the three Armed Forces, together the three Forces created such a ‘Chakravyuh’ that Pakistan was forced to kneel down: PM
QuoteThe world and the enemies of the country have seen what happens when ‘Sindoor’ turns into ‘Barood’: PM
QuoteOperation Sindoor has determined three principles to deal with terrorism: PM
QuoteNow India has made it clear, Pakistan will have to pay a heavy price for every terrorist attack, And this price will be paid by Pakistan's army, Pakistan's economy : PM
QuotePakistan will now have to pay a heavy price for playing with the lives of Indians: PM

भारत माता की जय!

भारत माता की जय!

भारत माता की जय!

थाने सगलां ने राम-राम!

राजस्थान के राज्यपाल हरिभाऊ बागड़े जी, यहां के लोकप्रिय मुख्यमंत्री श्रीमान भजन लाल जी, पूर्व मुख्यमंत्री बहन वसुंधरा राजे जी, केंद्रीय कैबिनेट के मेरे साथी अश्विनी वैष्णव जी, अर्जुन राम मेघवाल जी, राजस्थान की उप-मुख्यमंत्री दीया कुमारी जी, प्रेम चंद जी, राजस्थान सरकार के अन्य मंत्रीगण, संसद में मेरे साथी मदन राठौर जी, अन्य सांसद और विधायकगण, और मेरे प्यारे भाइयों और बहनों।

आप सभी यहां इतनी विशाल संख्या में आए हैं, और इतनी भयंकर गर्मी के बीच। और आज इस कार्यक्रम से, देश के 18 राज्यों और केंद्र शासित प्रदेशों से भी लाखों लोग ऑनलाइन आज यहां हमारे साथ जुड़े हैं। अनेक राज्यों के राज्यपाल, मुख्यमंत्री, लेफ्टिनेंट गवर्नर, अन्य जनप्रतिनिधि आज हमारे साथ हैं। मैं देशभर से जुड़े सभी महानुभावों का, जनता-जनार्दन का, अभिनंदन करता हूं।

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भाइयों और बहनों,

मैं यहां पर करणी माता का आशीर्वाद लेकर आपके बीच आया हूं। करणी माता के आशीर्वाद से विकसित भारत बनाने का हमारा संकल्प और मज़बूत हो रहा है। थोड़ी देर पहले, विकास से जुड़ी 26 हजार करोड़ रुपए की परियोजनाओं का यहां शिलान्यास और लोकार्पण हुआ है। मैं इन परियोजनाओं के लिए देशवासियों को, राजस्थान के मेरे भाई-बहनों को बहुत-बहुत बधाई देता हूं।

साथियों,

विकसित भारत बनाने के लिए आज देश में आधुनिक इंफ्रास्ट्रक्चर बनाने का बहुत बड़ा महायज्ञ चल रहा है। हमारे देश की सड़कें आधुनिक हों, हमारे देश के एयरपोर्ट आधुनिक हों, हमारे यहां रेल और रेलवे स्टेशन आधुनिक हों, इसके लिए पिछले 11 साल में अभूतपूर्व गति से काम किया गया है। आप कल्पना कर सकते हैं, इंफ्रास्ट्रक्चर के इन कामों पर देश पहले जितना पैसा खर्च करता था, आज उससे 6 गुना ज्यादा पैसा खर्च कर रहा है, 6 गुना ज्यादा। आज भारत में हो रहे इन विकास कार्यों को देखकर दुनिया भी हैरान है। आप उत्तर में जाएंगे, तो चिनाब ब्रिज जैसा निर्माण देखकर लोग हैरान हैं। पूर्व की तरफ जाएंगे, तो अरुणाचल की सेला टनल, असम का बोगीबिल ब्रिज आपका स्वागत करते हैं। पश्चिम भारत में आएंगे, तो मुंबई में समंदर पर बना अटल सेतु नज़र आएगा। सुदूर दक्षिण में देखेंगे, तो पंबन ब्रिज मिलेगा, जो अपनी तरह का, देश का पहला ब्रिज है।

साथियों,

आज भारत अपनी ट्रेनों के नेटवर्क को भी आधुनिक कर रहा है। ये वंदे भारत ट्रेनें, अमृत भारत ट्रेनें, नमो भारत ट्रेनें, ये देश की नई गति और नई प्रगति को दर्शाती है। अभी देश में करीब 70 रूट्स पर वंदेभारत ट्रेनें चल रही हैं। इससे दूर-सुदूर के इलाकों में भी आधुनिक रेल पहुंची है। बीते 11 साल में, सैकड़ों रोड ओवर ब्रिज और रोड अंडर ब्रिज का निर्माण किया गया है। चौंतीस हज़ार किलोमीटर से ज्यादा के नए रेल ट्रैक बिछाए गए हैं। अब ब्रॉड गेज लाइनों पर मानव रहित क्रॉसिंग्स, वो बात इतिहास बन चुकी है, खत्म हो चुकी है। हम मालगाड़ियों के लिए अलग से स्पेशल पटरियां, Dedicated freight corridor का काम भी तेजी से पूरा कर रहे हैं। देश के पहले बुलेट ट्रेन प्रोजेक्ट पर काम चल रहा है। और इन सबके साथ ही, हम एक साथ देश के करीब 1300 से अधिक रेलवे स्टेशनों को भी आधुनिक बना रहे हैं।

साथियों,

आधुनिक हो रहे इन रेलवे स्टेशनों को देश ने अमृत भारत स्टेशन का नाम दिया है। आज इनमें से 100 से अधिक अमृत भारत स्टेशन बनकर के तैयार हो गए हैं। सोशल मीडिया पर भी लोग देख रहे हैं कि इन रेलवे स्टेशनों का पहले क्या हाल था, और अब कैसे इनकी तस्वीर बदल गई है।

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साथियों,

विकास भी, विरासत भी, इस मंत्र का इन अमृत भारत रेलवे स्टेशनों पर, उसका नज़ारा साफ-साफ दिखाई देता है। ये स्थानीय कला और संस्कृति के भी नए प्रतीक हैं। जैसे राजस्थान के मांडलगढ़ रेलवे स्टेशन पर महान राजस्थानी कला-संस्कृति के दर्शन होंगे, बिहार के थावे स्टेशन पर मां थावेवाली के पावन मंदिर और मधुबनी चित्रकला को दर्शाया गया है। मध्य प्रदेश के ओरछा रेलवे स्टेशन पर आपको भगवान राम की आभा का एहसास होगा। श्रीरंगम स्टेशन का डिजाइन, भगवान श्रीरंगनाथ स्वामी जी के मंदिर से प्रेरित है। गुजरात का डाकोर स्टेशन, रणछोड़राय जी से प्रेरित है। तिरुवण्णामलै स्टेशन, द्राविड़ वास्तुकला के अनुसार डिजाइन किया गया है। बेगमपेट स्टेशन पर आपको काकतीय साम्राज्य के समय का आर्किटेक्चर देखने को मिलेगा। यानि हर अमृत स्टेशन पर आपको भारत की हज़ारों साल पुरानी विरासत के दर्शन भी होंगे। ये स्टेशन, हर राज्य में टूरिज्म को भी बढ़ावा देने के माध्यम बनेंगे, नौजवानों को रोजगार के नए मौके देंगे। और मैं उन-उन शहर के नागरिकों को, रेलवे में यात्रा करने वाले पैसेंजर से प्रार्थना करूंगा, ये सारी संपत्ति के मालिक आप हैं, कभी भी वहां गंदगी ना हो, इस संपत्ति का नुकसान ना हो, क्योंकि आप उसके मालिक हैं।

साथियों,

इंफ्रास्ट्रक्चर बनाने के लिए जो पैसा सरकार खर्च करती है, वो रोजगार भी बनाता है, व्यापार-कारोबार भी बढ़ाता है। जो हज़ारों करोड़ रुपए सरकार लगा रही है, ये पैसा मज़दूर की जेब में जा रहा है। ये दुकानदार को मिल रहा है, दुकान और फैक्ट्री में काम करने वाले लोगों को मिल रहा है। रेत-बजरी-सीमेंट, ये सारी चीजें ढोने वाले ट्रक-टैंपो चलाने वालों को भी इससे फायदा होता है। और जब ये इंफ्रास्ट्रक्चर बनकर तैयार हो जाता है, तो फिर अनेक गुना और फायदे होते हैं। किसान की उपज कम कीमत में बाज़ार तक पहुंचती है, वेस्टेज कम होती है। जहां सड़कें अच्छी होती हैं, नई ट्रेनें पहुंचती हैं, वहां नए उद्योग लगते हैं, पर्यटन को बहुत बढ़ावा मिलता है, यानि इंफ्रास्ट्रक्चर पर लगने वाले पैसे से हर परिवार का, खासतौर पर हमारे नौजवानों का सबसे अधिक फायदा होता है।

साथियों,

इंफ्रास्ट्रक्चर पर जो काम हो रहा है, उसका हमारे राजस्थान को भी बड़ा लाभ मिल रहा है। आज राजस्थान के गांव-गांव में अच्छी सड़कें बन रही हैं। बॉर्डर के इलाकों में भी शानदार सड़कें बन रही हैं। इसके लिए बीते 11 साल में अकेले राजस्थान में करीब-करीब 70 हज़ार करोड़ रुपए खर्च किए गए हैं। राजस्थान में रेलवे के विकास के लिए भी केंद्र सरकार इस साल करीब 10 हज़ार करोड़ रुपए खर्च करने जा रही है। ये 2014 से पहले की तुलना में 15 गुना अधिक है। अभी थोड़ी देर पहले ही, यहां से मुंबई के लिए एक नई ट्रेन को हरी झंडी दिखाई गई है। आज ही कई इलाकों में स्वास्थ्य, जल और बिजली से जुड़ी योजनाओं का शिलान्यास और लोकार्पण हुआ है। इन सारे प्रयासों का लक्ष्य है, हमारे राजस्थान के शहर हो या गांव, तेजी से उन्नति की ओर बढ़ सकें। राजस्थान के युवाओं को उनके शहर में ही अच्छे अवसर मिल सकें।

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साथियों,

राजस्थान के औद्योगिक विकास के लिए भी डबल इंजन सरकार तेजी से काम कर रही है। अलग-अलग सेक्टर्स के लिए यहां भजनलाल जी की सरकार ने नई औद्योगिक नीतियां जारी की हैं। बीकानेर को भी इन नई नीतियों का लाभ मिलेगा, और आप तो जानते हैं, जब बीकानेर की बात आती है, तो बीकानेरी भुजिया का स्वाद, और बीकानेरी रसगुल्लों की मिठास, विश्वभर में अपनी पहचान बनाएगी भी और बढ़ाएगी भी। राजस्थान की रिफाइनरी का काम भी अंतिम चरण में है। इससे राजस्थान पेट्रोलियम आधारित उद्योगों का प्रमुख हब बनेगा। अमृतसर से जामनगर तक जो 6-लेन का इकोनॉमिक कॉरिडोर बन रहा है, वो राजस्थान में श्रीगंगानगर, हनुमानगढ़, बीकानेर, जोधपुर, बाड़मेर और जालौर से गुजर रहा है। दिल्ली-मुबंई एक्सप्रेसवे का काम भी राजस्थान में लगभग पूरा हो गया है। कनेक्टिविटी का ये अभियान, राजस्थान में औद्योगिक विकास को नई ऊंचाई पर ले जाएगा।

साथियों,

राजस्थान में पीएम सूर्य घर मुफ्त बिजली योजना भी तेजी से आगे बढ़ रही है। इस योजना से राजस्थान के 40 हजार से ज्यादा लोग जुड़ चुके हैं। इससे लोगों का बिजली बिल जीरो हुआ है, और लोगों को सोलर बिजली पैदा करके कमाई का नया रास्ता भी मिला है। आज यहां बिजली से जुड़े कई प्रोजेक्ट्स का शिलान्यास और लोकार्पण हुआ है। इनसे भी राजस्थान को और ज्यादा बिजली मिलेगी। बिजली का बढ़ता उत्पादन भी राजस्थान में औद्योगिक विकास को नई गति दे रहा है।

साथियों,

राजस्थान की ये भूमि, रेत के मैदान में हरियाली लाने वाले महाराजा गंगा सिंह जी की भूमि है। हमारे लिए पानी का क्या महत्व है, ये इस क्षेत्र से बेहतर भला कौन जानता है। हमारे बीकानेर, श्रीगंगानगर, हनुमानगढ़, पश्चिम राजस्थान के ऐसे अनेक क्षेत्रों के विकास में पानी का बहुत बड़ा महत्व है। इसलिए, एक तरफ हम सिंचाई परियोजनाओं को पूरा कर रहे हैं और साथ ही, नदियों को जोड़ रहे हैं। पार्वती-कालीसिंध-चंबल लिंक परियोजना से राजस्थान के अनेक जिलों को लाभ होगा, यहां की धरती, यहां के किसानों को फायदा होगा।

साथियों,

राजस्थान की ये वीर धरा हमें सिखाती है, कि देश और देशवासियों से बड़ा और कुछ नहीं। 22 अप्रैल को आतंकवादियों ने, धर्म पूछकर हमारी बहनों की मांग का सिंदूर उजाड़ दिया था। वो गोलियां पहलगाम में चली थीं, लेकिन उन गोलियों से 140 करोड़ देशवासियों का सीना छलनी हुआ था। इसके बाद हर देशवासी ने एकजुट होकर संकल्प लिया था, कि आतंकवादियों को मिट्टी में मिला देंगे, उन्हें कल्पना से भी बड़ी सजा देंगे। आज आपके आशीर्वाद से, देश की सेना के शौर्य से, हम सब उस प्रण पर खरे उतरे हैं, हमारी सरकार ने तीनों सेनाओं को खुली छूट दे दी थी, और तीनों सेनाओं ने मिलकर ऐसा चक्रव्यूह रचा कि पाकिस्तान को घुटने टेकने के लिए मजबूर कर दिया।

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साथियों,

22 तारीख के हमले के जवाब में हमने 22 मिनट में आतंकियों के 9 सबसे बड़े ठिकाने तबाह कर दिए। दुनिया ने, और देश के दुश्मनों ने भी देख लिया कि जब सिंदूर, जब सिंदूर बारूद बन जाता है, तो नतीजा क्या होता है।

वैसे साथियों,

ये संयोग ही है, 5 साल पहले जब बालाकोट में देश ने एयर स्ट्राइक की थी, उसके बाद, मेरी पहली जनसभा राजस्थान में ही सीमा पर हुई थी। वीरभूमि का, वीरभूमि का ही ये तप है कि ऐसा संयोग बन जाता है, अब इस बार जब ऑपरेशन सिंदूर हुआ, तो उसके बाद मेरी पहली जनसभा फिर यहां वीरभूमि, राजस्थान की सीमा पर, बीकानेर में आप सभी के बीच हो रही है।

साथियों,

चुरू में मैंने कहा था, एयर स्ट्राइक के बाद मैं आया था, तब मैंने कहा था - 'सौगंध मुझे इस मिट्टी की, मैं देश नहीं मिटने दूंगा, मैं देश नहीं झुकने दूंगा’। आज मैं राजस्थान की धरती से देशवासियों से बड़ी नम्रता के साथ कहना चाहता हूं, मैं देश के कोने-कोने में जो तिरंगा यात्राओं का हूजूम चल रहा है, मैं देशवासियों से कहता हूं – जो, जो सिंदूर मिटाने निकले थे, जो सिंदूर मिटाने निकले थे, उन्हें मिट्टी में मिलाया है। जो हिंदुस्तान का लहू बहाते थे, जो हिंदुस्तान का लहू बहाते थे, आज कतरे-कतरे का हिसाब चुकाया है। जो सोचते थे, जो सोचते थे, भारत चुप रहेगा, आज वो घरों में दुबके पड़े हैं, जो अपने हथियारों पर घमंड करते थे, जो अपने हथियारों पर घमंड करते थे, आज वो मलबे के ढेर में दबे हुए हैं।

मेरे प्यारे देशवासियों,

ये शोध-प्रतिशोध का खेल नहीं, ये शोध-प्रतिशोध का खेल नहीं, ये न्याय का नया स्वरूप है, ये न्याय का नया स्वरूप है, ये ऑपरेशन सिंदूर है। ये सिर्फ आक्रोश नहीं है, ये सिर्फ आक्रोश नहीं है, ये समर्थ भारत का रौद्र रूप है। ये भारत का नया स्वरूप है। पहले, पहले घर में घुसकर किया था वार, पहले घर में घुसकर किया था वार, अब सीधा सीने पर किया प्रहार है। आतंक का फन कुचलने की, आतंक का फन कुचलने की, यही नीति है, यही रीति है, यही भारत है, नया भारत है। बोलो-

भारत माता की जय।

भारत माता की जय।

भारत माता की जय।

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साथियों,

ऑपरेशन सिंदूर ने आतंकवाद से निपटने के तीन सूत्र तय कर दिए हैं। पहला- भारत पर आतंकी हमला हुआ, तो करारा जवाब मिलेगा। समय हमारी सेनाएं तय करेंगी, तरीका भी हमारी सेनाएं तय करेंगी, और शर्तें भी हमारी होंगी। दूसरा- एटम बम की गीदड़ भभकियों से भारत डरने वाला नहीं है। और तीसरा- हम आतंक के आकाओं और आतंक की सरपरस्त सरकार को अलग-अलग नहीं देखेंगे, उन्हें अलग-अलग नहीं देखेंगे, उन्हें एक ही मानेंगे। पाकिस्तान का ये स्टेट और नॉन-स्टेट एक्टर वाला खेल अब नहीं चलेगा। आपने देखा होगा, पूरी दुनिया में पाकिस्तान की पोल खोलने के लिए हमारे देश के सात अलग-अलग प्रतिनिधि मंडल पूरे विश्वभर में पहुंच रहे हैं। और इसमें देश के सभी राजनीतिक दलों के लोग हैं, विदेश नीति के जानकार हैं, गणमान्य नागरिक हैं, अब पाकिस्तान का असली चेहरा पूरी दुनिया को दिखाया जाएगा।

साथियों,

पाकिस्तान, भारत से कभी सीधी लड़ाई जीत ही नहीं सकता। जब भी सीधी लड़ाई होती है, तो बार-बार पाकिस्तान को मुंह की खानी पड़ती है। इसलिए, पाकिस्तान ने आतंकवाद को भारत के खिलाफ लड़ाई का हथियार बनाया है। आजादी के बाद, पिछले कई दशकों से यही चला आ रहा था। पाकिस्तान आतंक फैलाता था, निर्दोष लोगों की हत्याएं करता था, भारत में डर का माहौल बनाता था, लेकिन पाकिस्तान एक बात भूल गया, अब मां भारती का सेवक मोदी यहां सीना तानकर खड़ा है। मोदी का दिमाग ठंडा है, ठंडा रहता है, लेकिन मोदी का लहू गर्म होता है, और अब तो मोदी की नसों में लहू नहीं, गर्म सिंदूर बह रहा है। अब भारत ने दो टूक साफ कर दिया है, हर आतंकी हमले की पाकिस्तान को भारी कीमत चुकानी पड़ेगी। और ये कीमत, पाकिस्तान की सेना चुकाएगी, पाकिस्तान की अर्थव्य़वस्था चुकाएगी।

साथियों,

जब मैं दिल्ली से यहां आया तो बीकानेर के नाल एयरपोर्ट पर उतरा। पाकिस्तान ने इस एयरबेस को भी निशाना बनाने की कोशिश की थी। लेकिन वो इस एयरबेस को रत्तीभर भी नुकसान नहीं पहुंचा पाया। और वहीं यहां से कुछ ही दूर सीमापार पाकिस्तान का रहीमयार खान एयरबेस है, पता नहीं आगे कब खुलेगा, ICU में पड़ा है। भारत की सेना के अचूक प्रहार ने, इस एयरबेस को तहस-नहस कर दिया है।

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साथियों,

पाकिस्तान के साथ ना ट्रेड होगा, ना टॉक, अगर बात होगी तो सिर्फ पाकिस्तान के कब्जे वाले कश्मीर की, PoK की, और अगर पाकिस्तान ने आतंकियों को एक्सपोर्ट करना जारी रखा, तो उसको पाई-पाई के लिए मोहताज होना होगा। पाकिस्तान को भारत के हक का पानी नहीं मिलेगा, भारतीयों के खून से खेलना, पाकिस्तान को अब महंगा पड़ेगा। ये भारत का संकल्प है, और दुनिया की कोई ताकत हमें इस संकल्प से डिगा नहीं सकती है।

भाइयों और बहनों,

विकसित भारत के निर्माण के लिए सुरक्षा और समृद्धि, दोनों ज़रूरी है। ये तभी संभव है, जब भारत का कोना-कोना मजबूत होगा। आज का ये कार्यक्रम, भारत के संतुलित विकास का, भारत के तेज विकास का उत्तम उदाहरण है। मैं एक बार फिर इस वीर धरा से सभी देशवासियों को बधाई देता हूं। मेरे साथ बोलिए, दोनों मुट्ठी बंद करके, पूरी ताकत से बोलिए-

भारत माता की जय।

भारत माता की जय।

भारत माता की जय।

वंदे मातरम। वंदे मातरम।

वंदे मातरम। वंदे मातरम।

वंदे मातरम। वंदे मातरम।

वंदे मातरम। वंदे मातरम।

वंदे मातरम। वंदे मातरम।

वंदे मातरम। वंदे मातरम।