QuoteOver the 9 years the BJP Government at the Center has enabled the creation of infrastructure in the state of Rajasthan in terms of its roadways and highways: PM Modi
QuoteThe Congress Government has only established a state of loot, falsity and lies: PM Modi
QuoteThe Congress Government has only indulged in the politics of blame-game and intra-party politics that have taken the state of Rajasthan towards ruin: PM Modi
QuoteThe rampant abuse of the downtrodden, especially the women and Dalits have gone out of hand, with many of them undergoing systemic exploitation under the Congress regime: PM Modi
QuoteUsing the acronym ‘INDIA’ the Congress Party yet again with its allies intends to loot the country: PM Modi

श्याम बाबा की… श्याम बाबा की… शाकंभरी माता की… जीण माता की.. सालासर बालाजी की.. लोहार्गल तीर्थ और हर्षनाथ धाम की… वीरों की धरती शेखावाटी को मेरा शत-शत प्रणाम। यहाँ के बारे में कहा जाता है-
बोली जाणी मीठी मिसरी, घमी सुहावै म्हाटी।
धनवानां विद्वानां की, या महापुरसां की थाती।
घम अनमोल रतन निपजावै, वाह भाई शेखावाटी।।


यहाँ आने पर आध्यात्मिक अनुभूति भी मिलती है, और दिव्य आशीर्वाद भी मिलता है। शेखावटी की धरती शिक्षा संत स्वामी केशवानंद जी की जन्म भूमि है। ये श्रद्धानंद जी महाराज, अमृतानाथ जी महाराज, बुद्धगिरी जी महाराज और रतिनाथ जी महाराज की तपोभूमि है। इसी धरती ने हमें भैरोसिंह शेखावत, जगदीश प्रसाद माथुर और मदन लाल सैनी जैसे नेता दिए हैं। इसी शेखावाटी से निकले जगदीप धनखड़ जी आज देश के उपराष्ट्रपति हैं। इसलिए, आज जब मैं सीकर आया हूँ, तो मेरे मन में एक अलग उमंग है उत्साह है, ऊर्जा है। आप इतनी बड़ी संख्या में हमें आशीर्वाद देने आए हैं। जहां-जहां भी नजर पहुंचती है लोग ही लोग है। वहां तो पीछे बिल्डिंग के ऊपर भी लोग दिखते हैं। ये जनसैलाब बता रहा है कि आने वाले चुनाव में ऊंट किस करवट बैठेगा। अब राजस्थान की करवट भी बदलेगी और मेरी गारंटी है राजस्थान की किस्मत भी बदलेगी। इसलिए आज राजस्थान में चारों तरफ एक ही गूंज है, एक ही स्वर है, एक ही नारा है- जीतेगा कमल, खिलेगा कमल!

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साथियों,
भाजपा की सरकार, राजस्थान की दिन-रात सेवा करने के लिए प्रतिबद्ध है। अभी कुछ देर पहले, आपने शायद यहां टीवी पर कार्यक्रम देखा होगा, किसानों के बैंक खातों में पीएम किसान सम्मान निधि के लगभग 18 हजार करोड़ रुपए भेजे गए गए है। राजस्थान के भी 55 लाख से ज्यादा किसानों को आज 1200 करोड़ रुपए से ज्यादा सीधे उनके खाते में पहुंच गए हैं। आज मुझे राजस्थान के अलग-अलग जिलों में 7 मेडिकल कॉलेजों के शिलान्यास उसका अवसर भी मिला है। सीकर, चित्तौड़गढ़, धौलपुर, सिरोही, और श्रीगंगानगर के मेडिकल कॉलेजों का लोकार्पण भी आज हुआ है। युवाओं के भविष्य के लिए नए एकलव्य स्कूल भी मैंने राजस्थान के लोगों को समर्पित किए हैं।

साथियों,
केंद्र सरकार की तरफ से राजस्थान की सेवा का ये सिलसिला लगातार चल रहा है। इससे पहले कुछ सप्ताह पहले मैं बीकानेर आया था। तब भी मुझे अमृतसर-जामनगर एक्सप्रेसवे और 24 हजार करोड़ रुपयों की परियोजनाओं के लोकार्पण-शिलान्यास का सौभाग्य मिला था। राजस्थान में अच्छी सड़कों के लिए, अच्छे हाईवे के लिए, राज्य के विकास के लिए भाजपा सरकार लगातार केंद्र से पैसा दे रही है।
जब केंद्र में, साथियों ये याद रखना... याद रखोगे..? याद रखोगे..? जरा हाथ ऊपर करके बताओ याद रखोगे..? पक्का याद रखोगे..? केंद्र में जब कांग्रेस की सरकार थी तो 10 साल में राजस्थान को टैक्स की हिस्सेदारी के रूप में एक लाख करोड़ रुपए ही दिए गए थे। बीते 9 वर्षो में भाजपा की सरकार ने टैक्स की हिस्सेदारी के रूप में राजस्थान को 4 लाख करोड़ रुपए से भी ज्यादा पहुंचाए हैं। कहां एक लाख करोड़ और कहां चार लाख करोड़। जब केंद्र में 10 साल कांग्रेस की सरकार थी, तो राजस्थान को सेंट्रल ग्रांट के रूप में भी करीब 50 हजार करोड़ रुपए ही दिए गए थे। हमारी सरकार ने बीते 9 वर्षों में सेंट्रल ग्रांट के तौर पर राजस्थान को डेढ़ लाख करोड़ रुपए से ज्यादा दिए हैं। लेकिन जबसे यहां कांग्रेस की सरकार बनी है, तबसे यहां विकास के काम में सिर्फ रोड़े अटकाने का ही काम चल रहा है। मैंने राजस्थान सहित पूरे देश की बहनों से वादा किया था कि उनके घर तक पाइप से पानी पहुंचाऊंगा। और जब इतनी बड़ी मात्रा में माताएं-बहने आशीर्वाद देने आई हैं हमने इसके लिए जल जीवन मिशन शुरु किया। आज देशभर में, आंकड़ा सुनिए दोस्तों... आज देश भर में 9 करोड़ से अधिक नए परिवारों तक पानी के कनेक्शन पहुंच चुके हैं। अनेक राज्यों में शत-प्रतिशत नल से जल देने का काम पूरा हो गया है। लेकिन राजस्थान के लोगों को कांग्रेस की सरकार पानी के लिए भी तरसा कर रखना चाहती है। राजस्थान, हर घर जल योजना में बहुत पीछे चल रहा है। यहां शेखावाटी के लोग जानते हैं कि कुंभाराम लिफ्ट पेयजल योजना के साथ इन्होंने क्या किया। जब यहां भाजपा सरकार थी, तब इस पर 5 हजार करोड रुपए का खर्च होने का अनुमान था। कांग्रेस की सरकार बनी तो उन्होंने परियोजना को तो लटका दिया। आज इसकी लागत भी करीब-करीब दोगुनी हो गई है। यानि कांग्रेस ने पानी का भी नुकसान किया और पैसे का भी नुकसान किया।

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भाइयों और बहनों,
कांग्रेस ने राजस्थान में सरकार चलाने के नाम पर सिर्फ लूट की दुकान चलाई है, झूठ का बाजार सजाया है। कांग्रेस का मतलब ही है- लूट की दुकान, झूठ का बाज़ार! और लूट की इस दुकान का सबसे ताजा प्रॉडक्ट है- राजस्थान की लाल डायरी। आपने लाल डायरी के बारे में सुना है ना? कहते हैं इस लाल डायरी में कांग्रेस सरकार के काले कारनामे दर्ज हैं। लोग कह रहे हैं कि लाल डायरी के पन्ने खुले तो अच्छे-अच्छे निपट जाएंगे। कांग्रेस के बड़े से बड़े नेताओं की इस लाल डायरी का नाम सुनते ही बोलती बंद हो रही है। ये लोग भले ही मुंह पर ताला लगा लें, लेकिन ये लाल डायरी इस चुनाव में पूरी कांग्रेस का डिब्बा गोल करने जा रही है।

साथियों,
लोकतंत्र में हर सरकार को अपने काम का हिसाब देना होता है। लेकिन क्या राजस्थान में कांग्रेस आपको अपने काम का हिसाब देती है क्या? जरा जोर से बताइए ना अपने काम का हिसाब देती है क्या?
जो चार साल सिर्फ सोएगा, वो अपने काम का हिसाब कैसे देगा? इन लोगों ने सरकार का हर दिन, आपसी खींचतान में, वर्चस्व की लड़ाई में बर्बाद किया है। साथियों, आज केंद्र की भाजपा सरकार, आपके सुख-दुख की साथी बनकर, आपके जीवन से मुश्किलें कम करने के लिए काम कर रही है। देश के करोड़ों लोगों को पक्का घर बनाकर लखपति बनाने की गारंटी दी है। साथियों पक्का घर बनाकर लखपति बनाने की गारंटी किसने दी है?.. ये गारंटी किसने दी है? इस गारंटी को किसने पूरा किया है? - भाजपा सरकार ने। देश के करोड़ों गरीबों को मुफ्त राशन की गारंटी किसने दी?... किसने दी?..- भाजपा सरकार ने दी। कोरोना के काल में करोड़ों गरीबों को मुफ्त वैक्सीन की गारंटी किसने दी?- भाजपा सरकार ने दी। देश के करोड़ों गरीबों को अस्पताल में 5 लाख तक के मुफ्त इलाज की गारंटी किसने दी?.. किसने दी? जनऔषधि केंद्र में गरीबों को सस्ती दवाइयों की गारंटी किसने दी?... किसने दी?... गरीब का बच्चा भी ईंजीनियर-डॉक्टर बन सके, अंग्रेजी न आने की वजह से पीछे न रह जाए, इसके लिए मातृभाषा में पढ़ाई की गारंटी किसने दी?... पूरी ताकत से बोलिए किसने दी?...गरीब के कल्याण के लिए दिल्ली में बैठा आपका ये सेवक पूरे समर्पित भाव से काम कर रहा है।

भाइयों और बहनों,
हमारे सीकर की पहचान तो शिक्षा नगरी के रूप में भी होती है। यहां के गांव-ढाणी डॉक्टर-इंजीनियर बनाते आए हैं। केंद्र की भाजपा सरकार युवाओं को शिक्षा और रोज़गार के नए अवसर देने में जुटी है। लेकिन राजस्थान में क्या हो रहा है? राजस्थान में युवाओं के भविष्य से खिलवाड़ हो रहा है, पेपरलीक उद्योग चल रहा है, पेपरलीक उद्योग। ...राजस्थान के युवा काबिल हैं, समर्थ हैं, लेकिन यहां की सरकार उनके भविष्य को बर्बाद कर रही है। यहां सत्ताधारी दल के लोगों पर ही पेपरलीक माफिया होने का आरोप लग रहा है। लग रहा है ना... लग रहा है ना..राजस्थान के युवाओं को पेपरलीक माफिया से बचाने के लिए क्या करना पड़ेगा? कांग्रेस को हटाना ही होगा। क्या करना होगा? भाइयों और बहनों, राज्य सरकारों की एक और सबसे बड़ी जिम्मेदारी होती है, नागरिकों की सुरक्षा की, कानून-व्यवस्था की। लेकिन कांग्रेस सरकार ये भी नहीं कर पा रही। आए दिन गैंगवॉर की खबरों ने राजस्थान जैसे शांतिप्रिय प्रदेश को उसकी साख की साख को बिगाड़ दिया है। राजस्थान में दलितों पर अत्याचार चरम पर है। राजस्थान में नशे की तस्करी, नशे का कारोबार फल-फूल रहा है। हमारे तीज-त्यौहारों पर खतरा मंडराता रहा है। कब पत्थर चलने लगें, कब गोलियां चले, कब कर्फ्यू लग जाए, कोई नहीं जानता। भाइयों और बहनों, राजस्थान के लोग कुछ भी बर्दाश्त कर सकते हैं, लेकिन राजस्थान के लोग बहन-बेटियों के सम्मान से खिलवाड़ कभी भी बर्दाश्त नहीं कर सकते। मां पद्मावती और पन्ना धाय की इस धरती की बेटियों के साथ जो हो रहा है, वो आक्रोश से भर देता है। किसी दलित बेटी के साथ दुष्कर्म होता है, और फिर उस पर एसिड डाल दिया जाता है। किसी दलित बहन के साथ उसके पति के सामने गैंगरेप होता है, आरोपी उसका वीडियो बनाते हैं। पुलिस में रिपोर्ट नहीं लिखी जाती, बेखौफ़ आरोपी वीडियो वायरल कर देते हैं। छोटी-छोटी बच्चियां, स्कूलों में पढ़ाने वाली टीचर्स तक यहां सुरक्षित नहीं हैं। और साथियों, कार्रवाई करने के बजाय कांग्रेस के नेता पीड़ित महिलाओं पर ही झूठ बोलने का आरोप लगा रहे हैं। वाकई, बहुत हो गया। भाइयों-बहनों राजस्थान की धरती है, ये वीरों की धरती है, ये पराक्रमियों की धरती है, ये याचना करने वाले लोग नहीं है, ये हुंकार करने वाले लोग हैं। और इसलिए इस बार चारो ओर एक ही हुंकार है, एक ही नारा है... हर राजस्थानी का एक ही संकल्प है... बहन बेटियों पर अत्याचार, नहीं सहेगा राजस्थान! बहन बेटियों पर अत्याचार... बहन बेटियों पर अत्याचार.. बहन बेटियों पर अत्याचार... दलित पर अत्याचार... दलित पर अत्याचार... कर्ज़ से मरता किसान... कर्ज़ से मरता किसान...! अपराध बेलगाम- नहीं सहेगा राजस्थान !

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पेपर लीक से युवा परेशान- नहीं सहेगा राजस्थान! भ्रष्टाचार- नहीं सहेगा राजस्थान !

साथियों,
कांग्रेस आज देश की सबसे बड़ी दिशाविहीन पार्टी बनकर रह गई है। इन दिनों कांग्रेस और उसके सहयोगी दलों ने एक नया पैंतरा चला है। ये पैंतरा है, नाम बदलने का। पहले के जमाने में, राजस्थान के लोग व्यापारियों की दुनिया को बराबर जानते हैं, पहले के जमाने में कोई पीढ़ी, कोई कंपनी अगर बदनाम हो जाए तो फ्रॉड करने वाली कंपनी का चिट्ठा लिकल जाए तो तुरंत वो कंपनी वाले नया बोर्ड लगाकर के अपना कारोबार शुरू कर के लोगों को भ्रमित करने का काम करते थे। नाम बदल करके लोगों को मूरख बना कर के अपना धंधा पानी चलाने की कोशिश करते थे। कांग्रेस और उसके साथियों की जमात, ऐसी फ्रॉड कंपनियों की नकल कर रही है। UPA के कुकर्म लोगों को याद ना आएं, इसलिए, इन्होंने अपना नाम यूपीए से बदलकर आईएनडीआईए कर दिया और इतना लंबा कर दिया कि लोग भूल जाएं। UPA ने नाम बदला है ताकि ये आतंकवाद के सामने घुटने टेकने का अपना पाप छिपा सकें। इन्होंने नाम बदला है ताकि ये कर्जमाफी के नाम पर किसानों से विश्वासघात को छिपा सकें। UPA नाम बदला है ताकि ये गरीबों के साथ किए गए छल-कपट को छिपा सकें। और मैं आज राजस्थान की धरती से देश के लोगों को एक और बात बताना चाहता हूं। इनका तरीका वही है, जो हमेशा देश के दुश्मनों ने अपनाया है। पहले भी, ये तो आईएनडीआईए के नाम से आए हैं, लेकिन पहले इंडिया के नाम के पीछे अपने पाप को छुपाने का प्रयास किया गया है। इंडिया नाम तो ईस्ट इंडिया कंपनी में भी था। ईस्ट इंडिया कंपनी में था कि नहीं था? लेकिन इंडिया नाम, अपनी भारतभक्ति दिखाने के लिए नहीं बल्कि भारत को लूटने के इरादे से लगाया गया था। आपको याद होगा कि कांग्रेस के शासनकाल में SIMI यानि स्टूडेंट इस्लामिक मूवमेंट ऑफ इंडिया बना था। नाम में इंडिया था, लेकिन मिशन, इंडिया को आतंकी हमलों से बर्बाद करने का था। जब इसके कुकर्म सामने आए तो सीमी भी बैन किया गया। और ये बैन हुआ तो फिर ये नया नाम लेकर आए- उन्होंने भी नाम बदला... SIMI बन गया PFI यानि पॉपुलर फ्रंट ऑफ इंडिया। नाम नया, नाम में फिर इंडिया, लेकिन काम वही पुराना।

साथियों,
आईएनडीआईए के नाम के लेबल से ये अपने पुराने कारनामों को छुपाना चाहते हैं। यूपीए के कारनामों को छुपाना चाहते हैं। अगर इनको वाकई इंडिया की परवाह होती तो, क्या ये विदेश में जाकर के विदेशियों से भारत में दखल देने के लिए बात करते क्या? अगर इन्हें इंडिया की चिंता होती तो, क्या ये सर्जिकल स्ट्राइक और एयर स्ट्राइक पर सवाल उठाते क्या? इनको इंडिया की चिंता होती, तो क्या ये गलवान में भारत की सेना के शौर्य को कठघरे में रखते क्या? साथियों, ये वही चेहरे हैं जो आतंकी हमला होने पर दुनिया के आगे रोते थे, खुद कुछ नहीं करते थे। इन्हें देश के सुरक्षाबलों के सामर्थ्य पर भरोसा नहीं है। ये वही चेहरे हैं, जिन्होंने हमारे सैनिकों का हक मारा है। दशकों तक हमारे सैनिक वन रैंक वन पेंशन मांगते रहे, लेकिन इन्होंने नहीं दिया। जो लोग टुकड़े-टुकड़े गैंग को गले लगाते हैं, जो लोग भारत में भाषा के आधार पर बंटवारा करते हैं, जो लोग विदेशों से संबंध भी इस आधार पर बनाते हैं, कि उनका वोट बैंक नाराज़ ना हो जाए, इनके लिए राष्ट्रहित नहीं बल्कि वोटबैंक सर्वोपरि है, वो लोग जब आईएनडीआईओ की बात करते हैं, तो दिखावा लगता है, छलावा लगता है, झूठ लगता है। भाइयों और बहनों, इन लोगों में अहंकार कूट-कूट कर भरा हुआ है। एक बार इन्होंने नारा दिया था इंदिरा Is India, India इज इंदिरा। और तब देश की जनता ने इनका हिसाब चुकता किया था, चुन-चुन कर के साफ कर दिया था.. इन्हें उखाड़ फेंका था उनलोगों को। अहंकार से भरे इन लोगों ने फिर वही पाप दोहराया है। ये सुधरने को तैयार नहीं है... ये लोग कह रहे हैं UPA is India, India is UPA. इनका जनता फिर से एक बार वही हाल करेगी जो पहले किया था।

साथियों,
हम जानते हैं कि आजादी का आंदोलन जब पूरी प्रखरता पर था तो महात्मा गांधी ने एक नारा दिया था। ये नारा देश के लोगों की प्रेरणा बन गया था। और आजादी के आंदोलन में इस नारे ने ऊर्जा भर दी थी। नौजवान स्कूल-कॉलेज में अपनी किताबें छोड़ कर के महात्मा गांधी के आदेश पर आजादी के लिए चल पड़े थे, जेलें भर दी थी, क्योंकि गोलियां कम पड़ गई थी। वो दिन थे और तब महात्मा गांधी ने जो नारा दिया था। आज फिर से देश के कल्याण के लिए, देश के उज्ज्वल भविष्य के लिए उस नारे की फिर से जरूरत है दोस्तों। इस नारे को फिर से गांव-गांव और घर-घर पहुंचाने की जरूरत है। क्या नारा था ? महात्मा गांधी ने नारा दिया था क्विट इंडिया- अंग्रेजों इंडिया छोड़ो... अंग्रेजों इंडिया छोड़ो...और अंग्रेजों को देश छोड़कर जाना पड़ा था। वैसे ही आज हम समृद्ध भारत बनाने का संकल्प लेकर चल रहे हैं। जैसे गांधी जी ने क्विट इंडिया का मंत्र दिया था, वैसे ही आज का मंत्र है- भ्रष्टाचार- क्विट इंडिया... भ्रष्टाचार- छोड़ो इंडिया..। परिवारवाद- क्विट इंडिया... परिवारवाद छोड़ो इंडिया। तुष्टिकरण- क्विट इंडिया- तुष्ट्रिकरण छोड़ो इंडिया..। क्विट इंडिया ही देश को बचाएगा और देश को विकसित भारत बनाएगा।

भाइयों और बहनों,
राजस्थान के लिए भी भाजपा का रोडमैप स्पष्ट है, नीति साफ है। आने वाले 5 साल में जब भारत दुनिया की तीसरी बड़ी इकोनॉमी होगा, तो उसमें राजस्थान की बहुत बड़ी हिस्सेदारी होगी। भाजपा सरकार बनते ही, यहां भ्रष्टाचारियों पर, अपराधियों पर कड़ी कार्रवाई की जाएगी। भाजपा सरकार राजस्थान के नौजवान की आकांक्षा को सम्मान देगी। भाजपा की डबल इंजन सरकार बिना रुके, बिना थके काम करेगी। राजस्थान के पास सामर्थ्य की कमी नहीं है। राजस्थान के विकास के लिए जैसे पूरा राजस्थान आज मेरा साथ दे रहा है मेरा शेखावाटी भी पीछे नहीं रहेगा, ये मुझे पूरा भरेसा है। साथियों हाथ ऊपर करके जवाब दीजिए शेखावटी की हर सीट, हर विधानसभा सीट पर, हर बूथ पर कमल खिला कर के रहेंगे। ये संकल्प है? ये वादा है? साथियों ये ऊर्जा पूरे राजस्थान के हर बूथ पर कमल खिलाएगी। इसी विश्वास के साथ घर-घर ये मंत्र लेकर चले जाइए... भ्रष्टाचारी क्विट इंडिया... परिवारवादी- क्विट इंडिया.. इस मंत्र को लेकर के आगे बढ़ें
बहुत-बहुत धन्यवाद !


मेरे साथ बोलिए भारत माता की...

भारत माता की...

भारत माता की...

जय..

 

  • कृष्ण सिंह राजपुरोहित भाजपा विधान सभा गुड़ामा लानी November 21, 2024

    जय श्री राम 🚩 वन्दे मातरम् जय भाजपा विजय भाजपा
  • Devendra Kunwar October 08, 2024

    BJP
  • दिग्विजय सिंह राना September 20, 2024

    हर हर महादेव
  • JBL SRIVASTAVA May 27, 2024

    मोदी जी 400 पार
  • Vaishali Tangsale February 12, 2024

    🙏🏻🙏🏻🙏🏻
  • ज्योती चंद्रकांत मारकडे February 11, 2024

    जय हो
  • Uma tyagi bjp January 28, 2024

    जय श्री राम
  • Amrut Shinde,harali.b.k.tal-gadhinglaj,zilha-kolhapur, stete-maharastra.(adhaar-575704633321.) September 30, 2023

    Loot ki Dukaan & Jhoot ka Bazaar . G-20SUMMIT univercity connect finalo.conect join wishesh news wiçshit Bharat me oh congress dukaane all stete locks karo.vrna mushibat aegi G-20SUMMIT univercity culguru pm narendraji modi.
  • Er DharamendraSingh August 06, 2023

    🕉🚩नमो नमो
  • Rajeev Kumar Rajeev July 30, 2023

    भारत माता की जय देश और विश्व की शान है मोदी जी आप
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Our government is making the vision of women-led development the axis of development: PM Modi in Bhopal, Madhya Pradesh
May 31, 2025
QuotePM inaugurates, lays foundation stone of multiple development projects in Bhopal
QuoteThe name of Lokmata Devi Ahilyabai Holkar fills us with reverence, Words fall short to speak about her great personality: PM
QuoteDevi Ahilyabai was a great guardian of India's heritage: PM
QuoteMata Ahilyabai is a symbol of invaluable contribution of our women power in nation building: PM
QuoteOur government is making the vision of women-led development the axis of development: PM
QuoteThe Namo Drone Didi campaign is encouraging the rural women, increasing their income: PM
QuoteToday, a large number of women scientists are working in all our major space missions: PM
QuoteOperation Sindoor has also become a symbol of the strength of our women power: PM

मध्य प्रदेश के राज्यपाल श्रीमान मंगुभाई पटेल, हमारे लोकप्रिय मुख्यमंत्री श्रीमान मोहन यादव जी, टेक्नोलॉजी के माध्यम से हमारे साथ जुड़े हुए केंद्रीय मंत्री, इंदौर से तोखन साहू जी, दतिया से राम मोहन नायडू जी, सतना से मुरलीधर मोहोल जी, यहां मंच पर उपस्थित राज्य के उपमुख्यमंत्री जगदीश देवड़ा जी, राजेंद्र शुक्ला जी, लोकसभा में मेरे साथी वी डी शर्मा जी, अन्य मंत्रिगण, जनप्रतिनिधिगण और विशाल संख्या में आए हुए मेरे प्यारे भाइयों और बहनों।

सबसे पहले मैं मां भारती को भारत की मातृशक्ति को प्रणाम करता हूं। आज यहां इतनी बड़ी संख्या में माताएं-बहनें-बेटियां हमें आशीर्वाद देने आई हैं। मैं आप सभी बहनों के दर्शन पाकर धन्य हो गया हूं।

भाइयों और बहनों,

आज लोकमाता देवी अहिल्याबाई होल्कर जी की तीन सौवीं जन्म जयंती है।140 करोड़ भारतीयों के लिए ये अवसर प्रेरणा का है, राष्ट्र निर्माण के लिए हो रहे भागीरथ प्रयासों में अपना योगदान देने का है। देवी अहिल्याबाई कहती थीं, कि शासन का सही अर्थ जनता की सेवा करना और उनके जीवन में सुधार लाना होता है। आज का कार्यक्रम, उनकी इस सोच को आगे बढ़ाता है। आज इंदौर मेट्रो की शुरुआत हुई है। दतिया और सतना भी अब हवाई सेवा से जुड़ गए हैं। ये सभी प्रोजेक्ट मध्य प्रदेश में सुविधाएं बढ़ाएंगे, विकास को गति देंगे और रोजगार के अनेक नए अवसर बनाएंगे। मैं आज इस पवित्र दिवस पर विकास के इन सारे कामों के लिए आप सबको, पूरे मध्य प्रदेश को बहुत-बहुत बधाई देता हूं।

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साथियों,

लोकमाता देवी अहिल्याबाई होलकर, ये नाम सुनते ही मन में श्रद्धा का भाव उमड़ पड़ता है। उनके महान व्यक्तित्व के बारे में बोलने के लिए शब्द कम पड़ जाते हैं। देवी अहिल्याबाई प्रतीक हैं, कि जब इच्छाशक्ति होती है, दृढ़ प्रतिज्ञा होती है, तो परिस्थितियां कितनी ही विपरीत क्यों ना हों, परिणाम लाकर दिखाया जा सकता है। ढाई-तीन सौ साल पहले, जब देश गुलामी की जंजीरों में जकड़ा हुआ था, उस समय ऐसे महान कार्य कर जाना, कि आने वाली अनेक पीढ़ियां उसकी चर्चा करें, ये कहना तो आसान है, करना आसान नहीं था।

साथियों,

लोकमाता अहिल्याबाई ने प्रभु सेवा और जन सेवा, इसे कभी अलग नहीं माना। कहते हैं, वे हमेशा शिवलिंग अपने साथ लेकर चलती थीं। उस चुनौतीपूर्ण कालखंड में एक राज्य का नेतृत्व कांटों से भरा ताज, कोई कल्पना कर सकता है, कांटों से भरा ताज पहनने जैसा वो काम, लेकिन लोकमाता अहिल्याबाई ने अपने राज्य की समृद्धि को नई दिशा दी। उन्होंने गरीब से गरीब को समर्थ बनाने के लिए काम किया। देवी अहिल्याबाई भारत की विरासत की बहुत बड़ी संरक्षक थीं। जब देश की संस्कृति पर, हमारे मंदिरों, हमारे तीर्थ स्थलों पर हमले हो रहे थे, तब लोकमाता ने उन्हें संरक्षित करने का बीड़ा उठाया, उन्होंने काशी विश्वनाथ सहित पूरे देश में हमारे अनेकों मंदिरों का, हमारे तीर्थों का पुनर्निर्माण किया। औऱ ये मेरा सौभाग्य है कि जिस काशी में लोकमाता अहिल्याबाई ने विकास के इतने काम किए, उस काशी ने मुझे भी सेवा का अवसर दिया है। आज अगर आप काशी विश्वनाथ महादेव के दर्शन करने जाएंगे, तो वहां आपको देवी अहिल्याबाई की मूर्ति भी वहाँ पर मिलेगी।

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साथियों,

माता अहिल्याबाई ने गवर्नेंस का एक ऐसा उत्तम मॉडल अपनाया, जिसमें गरीबों और वंचितों को सबसे ज्यादा प्राथमिकता दी गई। रोजगार के लिए, उद्यम बढ़ाने के लिए उन्होंने अनेक योजनाओं को शुरू किया। उन्होंने कृषि और वन-उपज आधारित कुटीर उद्योग और हस्तकला को प्रोत्साहित किया। खेती को बढ़ावा देने के लिए, छोटी-छोटी नहरों की जाल बिछाई, उसे विकसित किया, उस जमाने में आप सोचिए 300 साल पहले। जल संरक्षण को बढ़ावा देने के लिए उन्होंने कितने ही तालाब बनवाए और आज तो हम लोग भी लगातार कह रहे हैं, catch the rain, बारिश के एक एक बूंद पानी को बचाओ। देवी अहिल्या जी ने ढाई सौ-तीन सौ साल पहले हमें ये काम बताया था। किसानों की आय बढ़ाने के लिए उन्होंने कपास और मसालों की खेती को प्रोत्साहित किया। आज ढाई सौ-तीन सौ साल के बाद भी हमें बार बार किसानों को कहना पड़ता है, कि crop diversification बहुत जरूरी है। हम सिर्फ धान की खेती करके या गन्ने की खेती करके अटक नहीं सकते, देश की जरूरतों को, सारी चीजों को हमें diversify करके उत्पादित करना चाहिए। उन्होंने आदिवासी समाज के लिए, घुमन्तु टोलियों के लिए, खाली पड़ी जमीन पर खेती की योजना बनाई। ये मेरा सौभाग्य है, कि मुझे एक आदिवासी बेटी, आज जो भारत के राष्ट्रपति पद पर विराजमान है, उनके मार्गदर्शन में मेरे आदिवासी भाई-बहनों की सेवा करने का मौका मिला है। देवी अहिल्या ने विश्व प्रसिद्ध माहेश्वरी साड़ी के लिए नए उद्योग लगाए और बहुत कम लोगों को पता होगा, कि देवी अहिल्या जी हूनर की पारखी थी और वो जूनागढ़ से गुजरात में, जूनागढ़ से कुछ परिवारों को माहेश्वर लाईं और उनको साथ जोड़कर के, आज से ढाई सौ-तीन सौ साल पहले ये माहेश्वरी साड़ी का काम आगे बढ़ाया, जो आज भी अनेक परिवारों को वो गहना बन गया है, और जिससे हमारे बुनकरों को बहुत फायदा हुआ।

साथियों,

देवी अहिल्याबाई को कई बड़े सामाजिक सुधारों के लिए भी हमेशा याद रखा जाएगा। आज अगर बेटियों की शादी की उम्र की चर्चा करें, तो हमारे देश में कुछ लोगों को सेक्यूलरिज्म खतरे में दिखता है, उनको लगता है ये हमारे धर्म के खिलाफ है। ये देवी अहिल्या जी देखिए, मातृशक्ति के गौरव के लिए उस जमाने में बेटियों की शादी की उम्र के विषय में सोचती थीं। उनकी खुद की शादी छोटी उम्र में हुई थी, लेकिन उनको सब पता था, बेटियों के विकास के लिए कौन सा रास्ता होना चाहिए। ये देवी अहिल्या जी थीं, उन्होंने महिलाओं का भी संपत्ति में अधिकार हो, जिन स्त्रियों के पति की असमय मृत्यु हो गई हो, वो फिर विवाह कर सकें, उस कालखंड में ये बातें करना भी बहुत मुश्किल होता था। लेकिन देवी अहिल्याबाई ने इन समाज सुधारों को भरपूर समर्थन दिया। उन्होंने मालवा की सेना में महिलाओं की एक विशेष टुकड़ी भी बनाई थी। ये पश्चिम की दुनिया के लोगों को पता नहीं है। हमें कोसते रहते हैं, हमारी माताओं बहनों के अधिकारों के नाम पर हमें नीचा दिखाने की कोशिश करते हैं। ढाई सौ-तीन सौ साल पहले हमारे देश में सेना में महिलाओं का होना, साथियों महिला सुरक्षा के लिए उन्होंने गांवों में नारी सुरक्षा टोलियां, ये भी बनाने का काम किया था। यानी माता अहिल्याबाई, राष्ट्र निर्माण में हमारी नारीशक्ति के अमूल्य योगदान का प्रतीक हैं। मैं, समाज में इतना बड़ा परिवर्तन लाने वाली देवी अहिल्या जी को आज श्रद्धापूर्वक नमन करता हूं, उनके चरणों में प्रणाम करता हूं और मैं उनसे प्रार्थना करता हूं, कि आप जहां भी हों, हम सभी पर अपना आशीर्वाद बरसाए।

साथियों,

देवी अहिल्या का एक प्रेरक कथन है, जो हम कभी भूल नहीं सकते। और उस कथन का अगर मोटे-मोटे शब्दों में मैं कहूं, उसका भाव यही था, कि जो कुछ भी हमें मिला है, वो जनता द्वारा दिया ऋण है, जिसे हमें चुकाना है। आज हमारी सरकार लोकमाता अहिल्याबाई के इन्हीं मूल्यों पर चलते हुए काम कर रही है। नागरिक देवो भव:- ये आज गवर्नेंस का मंत्र है। हमारी सरकार, वीमेन लेड डवलपमेंट के विजन को विकास की धुरी बना रही है। सरकार की हर बड़ी योजना के केंद्र में माताएं-बहनें-बेटियां हैं। आप भी जानती हैं, गरीबों के लिए 4 करोड़ घर बनाए जा चुके हैं और इनमें से अधिकतर घर हमारी माताओं-बहनों के नाम पर हैं, मालिकाना हक मेरी माताओं-बहनों को दिया है। इनमें से ज्यादातर महिलाएं ऐसी हैं, जिनके नाम पर पहली बार कोई संपत्ति दर्ज हुई है। यानी देश की करोड़ों बहनें पहली बार घर की मालकिन बनी हैं।

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साथियों,

आज सरकार, हर घर तक नल से जल पहुंचा रही है, ताकि हमारी माताओं-बहनों को असुविधा न हो, बेटियां अपनी पढ़ाई में ध्यान दे सकें। करोड़ों बहनों के पास पहले, बिजली, एलपीजी गैस और टॉयलेट जैसी सुविधाएं भी नहीं थीं। ये सुविधाएं भी हमारी सरकार ने पहुंचाईं। और ये सिर्फ सुविधाएं नहीं हैं, ये माताओं-बहनों के सम्मान का हमारी तरफ से एक नम्र प्रयास है। इससे गांव की, गरीब परिवारों की माताओं-बहनों के जीवन से अनेक मुश्किलें कम हुईं हैं।

साथियों,

पहले माताएं-बहनें अपनी बीमारियां छुपाने पर मजबूर थीं। गर्भावस्था के दौरान अस्पताल जाने से बचती थीं। उनको लगता था, कि इससे परिवार पर बोझ पड़ेगा और इसलिए दर्द सहती थीं, लेकिन परिवार में किसी को बताती नहीं थीं। आयुष्मान भारत योजना ने उनकी इस चिंता को भी खत्म किया है। अब वो भी अस्पताल में 5 लाख रुपए तक का मुफ्त इलाज करा सकती हैं।

साथियों,

महिलाओं के लिए पढ़ाई और दवाई के साथ ही जो बहुत जरूरी चीज है, वो कमाई भी है। जब महिला की अपनी आय होती है, तो घर में उसका स्वाभिमान और बढ़ जाता है, घर के निर्णयों में उसकी सहभागिता और बढ़ जाती है। बीते 11 वर्षों में हमारी सरकार ने देश की महिलाओं को आर्थिक रूप से सशक्त करने के लिए निरंतर काम किया है। आप कल्पना कर सकते है, 2014 से पहले, आपने मुझे सेवा करने का मौका दिया उसके पहले, 30 करोड़ से ज्यादा बहनें ऐसी थीं, जिनका कोई बैंक खाता तक नहीं था। हमारी सरकार ने इन सभी के बैंक में जनधन खाते खुलवाए, इन्हीं खातों में अब सरकार अलग-अलग योजनाओं का पैसा सीधा उनके खाते में भेज रही है। अब वे गांव हो या शहर अपना कुछ ना कुछ काम कर रही हैं, आर्थिक उपार्जन कर रही हैं, स्वरोजगार कर रही हैं। उन्हें मुद्रा योजना से बिना गारंटी का लोन मिल रहा है। मुद्रा योजना की 75 प्रतिशत से ज्यादा लाभार्थी, ये हमारी माताएं-बहनें-बेटियां हैं।

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साथियों,

आज देश में 10 करोड़ बहनें सेल्फ हेल्प ग्रुप्स से जुड़ी हैं, जो कोई न कोई आर्थिक गतिविधि करती हैं। ये बहनें अपनी कमाई के नए साधन बनाएं, इसके लिए सरकार लाखों रुपयों की मदद कर रही है। हमने ऐसी 3 करोड़ बहनों को लखपति दीदी बनाने का संकल्प लिया है। मुझे संतोष है कि अब तक डेढ़ करोड़ से ज्यादा बहनें, लखपति दीदी बन भी चुकी हैं। अब गांव-गांव में बैंक सखियां लोगों को बैंकिंग से जोड़ रही हैं। सरकार ने बीमा सखियां बनाने का अभियान भी शुरु किया है। हमारी बहनें-बेटियां अब देश को बीमा की सुरक्षा देने में भी बहुत बड़ी भूमिका निभा रही हैं।

साथियों,

एक समय था, जब नई टेक्नोलॉजी आती थी, तो उससे महिलाओं को दूर रखा जाता था। हमारा देश आज उस दौर को भी पीछे छोड़ रहा है। आज सरकार का प्रयास है कि आधुनिक टेक्नॉलॉजी में भी हमारी बहनें, हमारी बेटियां आगे बढ़कर के नेतृत्व दें। अब जैसे आज खेती में ड्रोन क्रांति आ रही है। इसको हमारी गांव की बहनें ही नेतृत्व दे रही हैं। नमो ड्रोन दीदी अभियान से गांव की बहनों का हौसला बढ़ रहा है, उनकी कमाई बढ़ रही है और गांव में उनकी एक नई पहचान बन रही है।

साथियों,

आज बहुत बड़ी संख्या में हमारी बेटियां वैज्ञानिक बन रही हैं, डॉक्टर-इंजीनियर और पायलट बन रही हैं। हमारे यहां साइंस और मैथ्स पढ़ने वाली बेटियों की संख्या लगातार बढ़ रही है। आज जितने भी हमारे बड़े स्पेस मिशन हैं, उनमें बड़ी संख्या में वैज्ञानिक के नाते हमारी माताएं-बहनें-बेटियां काम कर रही हैं। चंद्रयान थ्री मिशन, पूरा देश गौरव कर रहा है। चंद्रयान थ्री मिशन में तो 100 से अधिक महिला वैज्ञानिक और इंजीनियर शामिल थीं। ऐसे ही जमाना स्टार्ट अप्स का है, स्टार्ट अप्स के क्षेत्र में भी हमारी बेटियां अदभुत काम कर रही हैं। देश में लगभग पैंतालीस परसेंट स्टार्ट अप्स की, उसमे कम से कम एक डायरेक्टर कोई न कोई हमारी बहन है, कोई न कोई हमारी बेटी है, महिला है। और ये संख्या लगातार बढ़ रही है।

साथियों,

हमारा प्रयास है, कि नीति निर्माण में बेटियों की भागीदारी लगातार बढ़े। बीते एक दशक में इसके लिए एक के बाद एक अनेक कदम उठाए गए हैं। हमारी सरकार में पहली बार पूर्ण कालिक महिला रक्षामंत्री बनीं। पहली बार देश की वित्तमंत्री, एक महिला बनीं। पंचायत से लेकर पार्लियामेंट तक, महिलाओं की संख्या लगातार बढ़ रही है। इस बार 75 सांसद महिलाएं हैं। लेकिन हमारा प्रयास है कि ये भागीदारी और बढ़े। नारीशक्ति वंदन अधिनियम के पीछे भी यही भावना है। सालों तक इस कानून को रोका गया, लेकिन हमारी सरकार ने इसे पारित करके दिखाया। अब संसद और विधानसभाओं में महिला आरक्षण पक्का हो गया है। कहने का अर्थ ये है कि भाजपा सरकार, बहनों-बेटियों को हर स्तर पर, हर क्षेत्र में सशक्त कर रही है।

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साथियों,

भारत संस्कृति और संस्कारों का देश है। और सिंदूर, ये हमारी परंपरा में नारीशक्ति का प्रतीक है। राम भक्ति में रंगे हनुमान जी भी सिंदूर को ही धारण किए हुए हैं। शक्ति पूजा में हम सिंदूर का अर्पण करते हैं। और यही सिंदूर अब भारत के शौर्य का प्रतीक बना है।

साथियों,

पहलगाम में आतंकियों ने सिर्फ भारतीयों का खून ही नहीं बहाया, उन्होंने हमारी संस्कृति पर भी प्रहार किया है। उन्होंने हमारे समाज को बांटने की कोशिश की है। और सबसे बड़ी बात, आतंकवादियों ने भारत की नारीशक्ति को चुनौती दी है। ये चुनौती, आतंकवादियों और उनके आकाओं के लिए काल बन गई है काल। ऑपरेशन सिंदूर, आतंकवादियों के खिलाफ भारत के इतिहास का सबसे बड़ा और सफल ऑपरेशन है। जहां पाकिस्तान की सेना ने सोचा तक नहीं था, वहां आतंकी ठिकानों को हमारी सेनाओं ने मिट्टी में मिला दिया। सैंकड़ों किलोमीटर अंदर घुसकर के मिट्टी में मिला दिया। ऑपरेशन सिंदूर ने डंके की चोट पर कह दिया है, कि आतंकवादियों के जरिए छद्म युद्ध, proxy war नहीं चलेगा। अब घर में घुसकर भी मारेंगे और जो आतंकियों की मदद करेगा, उसको भी इसकी भारी कीमत चुकानी पड़ेगी। अब भारत का एक-एक नागरिक कह रहा है, 140 करोड़ देशवासियों की बुलंद आवाज कह रही है- अगर, अगर तुम गोली चलाओगे, तो मानकर चलों गोली का जवाब गोले से दिया जाएगा।

साथियों,

ऑपरेशन सिंदूर हमारी नारीशक्ति के सामर्थ्य का भी प्रतीक बना है। हम सभी जानते हैं, कि BSF का इस ऑपरेशन में कितना बड़ा रोल रहा है। जम्मू से लेकर पंजाब, राजस्थान और गुजरात की सीमा तक बड़ी संख्या में BSF की हमारी बेटियां मोर्चे पर रही थीं, मोर्चा संभाल रही थीं। उन्होंने सीमापार से होने वाली फायरिंग का मुंहतोड़ जवाब दिया। कमांड एंड कंट्रोल सेंटर्स से लेकर दुश्मन की पोस्टों को ध्वस्त करने तक, BSF की वीर बेटियों ने अद्भुत शौर्य दिखाया है।

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साथियों,

आज दुनिया, राष्ट्ररक्षा में भारत की बेटियों का सामर्थ्य देख रही है। इसके लिए भी बीते दशक में सरकार ने अनेक कदम उठाए हैं। स्कूल से लेकर युद्ध के मैदान तक, आज देश अपनी बेटियों के शौर्य पर अभूतपूर्व भरोसा कर रहा है। हमारी सेना ने पहली बार सैनिक स्कूलों के दरवाज़े बेटियों के लिए खोले हैं। 2014 से पहले एनसीसी में सिर्फ 25 प्रतिशत कैडेट्स ही बेटियां होती थीं, आज उनकी संख्या 50 प्रतिशत की तरफ आगे बढ़ रही है। कल के दिन देश में एक औऱ नया इतिहास बना है। आज अखबार में देखा होगा आपने, नेशनल डिफेंस एकेडमी यानी NDA से महिला कैडेट्स का पहला बैच पास आउट हुआ है। आज सेना, नौसेना और वायुसेना में बेटियां अग्रिम मोर्चे पर तैनात हो रही हैं। आज फाइटर प्लेन से लेकर INS विक्रांत युद्धपोत तक, वीमेन ऑफीसर्स अपनी जांबाजी दिखा रही हैं।

साथियों,

हमारी नौसेना की वीर बेटियों के साहस का ताज़ा उदाहरण भी देश के सामने है। आपको मैं नाविका सागर परिक्रमा के बारे में बताना चाहता हूं। नेवी की दो वीर बेटियों ने करीब ढाई सौ दिनों की समुद्री यात्रा पूरी की है, धरती का चक्कर लगाया है। हज़ारों किलोमीटर की ये यात्रा, उन्होंने ऐसी नाव से की जो मोटर से नहीं बल्कि हवा से चलती है। सोचिए, ढाई सौ दिन समंदर में, इतने दिनों तक समंदर में रहना, कई कई हफ्ते तक जमीन के दर्शन तक नहीं होना और ऊपर से समंदर का तूफान कितना तेज होता है, हमें पता है, खराब मौसम, भयानक तूफान, उन्होंने हर मुसीबत को हराया है। ये दिखाता है, कि चुनौती कितनी भी बड़ी हो, भारत की बेटियां उस पर विजय पा सकती हैं।

साथियों,

नक्सलियों के खिलाफ ऑपरेशन हों या फिर सीमापार का आतंक हो, आज हमारी बेटियां भारत की सुरक्षा की ढाल बन रही हैं। मैं आज देवी अहिल्या की इस पवित्र भूमि से, देश की नारीशक्ति को फिर से सैल्यूट करता हूं

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साथियों,

देवी अहिल्या ने अपने शासनकाल में विकास के कार्यों के साथ साथ विरासत को भी सहेजा। आज का भारत भी विकास और विरासत, दोनों को साथ लेकर चल रहा है। आधुनिक इंफ्रास्ट्रक्चर के निर्माण को देश कैसे गति दे रहे है, आज का कार्यक्रम इसका उदाहरण है। आज मध्य प्रदेश को पहली मेट्रो सुविधा मिली है। इंदौर पहले ही स्वच्छता के लिए दुनिया में अपनी पहचान बना चुका है। अब इंदौर की पहचान उसकी मेट्रो से भी होने जा रही है। यहां भोपाल में भी मेट्रो का काम तेज़ी से चल रहा है। मध्य प्रदेश में, रेलवे के क्षेत्र में व्यापक काम हो रहा है। कुछ दिन पहले ही केंद्र सरकार ने रतलाम-नागदा रूट को चार लाइनों में बदलने के लिए स्वीकृति दे दी है। इससे इस क्षेत्र में और ज्यादा ट्रेनें चल पाएंगी, भीड़भाड़ कम होगी। केंद्र सरकार ने इंदौर–मनमाड रेल परियोजना को भी मंजूरी दे दी है।

साथियों,

आज मध्य प्रदेश के दतिया और सतना भी हवाई यात्रा के नेटवर्क से जुड़ गए हैं। इन दोनों हवाई अड्डों से बुंदेलखंड और विंध्य क्षेत्र में एयर कनेक्टिविटी बेहतर होगी। अब माँ पीतांबरा, मां शारदा देवी और पवित्र चित्रकूट धाम के दर्शन करना और सुलभ हो जाएगा।

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साथियों,

आज भारत, इतिहास के उस मोड़ पर है, जहां हमें अपनी सुरक्षा, अपने सामर्थ्य और अपनी संस्कृति, हर स्तर पर काम करना है। हमें अपना परिश्रम बढ़ाना है। इसमें हमारी मातृशक्ति, हमारी माताओं-बहनों-बेटियों की भूमिका बहुत बड़ी है। हमारे सामने लोकमाता देवी अहिल्याबाई जी की प्रेरणा है। रानी लक्ष्मीबाई, रानी दुर्गावती, रानी कमलापति, अवंतीबाई लोधी, कित्तूर की रानी चेनम्मा, रानी गाइडिन्ल्यू, वेलु नाचियार, सावित्री बाई फुले, ऐसे हर नाम हमें गौरव से भर देते हैं। लोकमाता अहिल्याबाई की ये तीन सौवीं जन्मजयंती, हमें निरंतर प्रेरित करती रहे, आने वाली सदियों के लिए हम एक सशक्त भारत की नींव मजबूत करें, इसी कामना के साथ आप सभी को फिर से एक बार बहुत-बहुत शुभकामनाएं देता हूं। अपना तिरंगा ऊपर उठाकर के मेरे साथ बालिए –

भारत माता की जय!

भारत माता की जय!

भारत माता की जय!

वंदे मातरम!

वंदे मातरम!

वंदे मातरम!

वंदे मातरम!

वंदे मातरम!

वंदे मातरम!

वंदे मातरम!

वंदे मातरम!

वंदे मातरम!