देश का प्रत्येक युवा युनिक पीपुल बनने के लिए संकल्पबद्घ बनें : डॉ. एपीजे अब्दुल कलाम

पूर्व राष्ट्रपति डॉ. कलाम ने इंडिया केन डू इट, इंडिया केन विन की युवाओं को शपथ दिलवाई

मुख्यमंत्री श्री मोदी ने युवा शक्ति को स्किल-विल-विन की सफलता का मंत्र दिया

विवेकानंद की 150वीं जन्मजयंति गुजरात युवाशक्ति वर्ष के तौर पर मनाएगा : स्किल डेवलपमेंट पर ध्यान केन्द्रित किया जाएगा : श्री मोदी

महात्मा मंदिर-गांधीनगर में स्वामी विवेकानंद युवा परिषद में युवा शक्ति के विशाल दर्शन

गांधीनगर गुरुवार: पूर्व राष्ट्रपति डॉ. एपीजे अब्दुल कलाम ने गांधीनगर में स्वामी विवेकानंद युवा परिषद में राष्ट्र की युवा शक्ति में अपार विश्वास जताते हुए कहा कि, युवाओं का ज्योतिर्मय मानस देश के भविष्य को उज्जवल बनाने में सक्षम है। उन्होंने कहा कि, युवाओं को दृढ़ विश्वास, सद्भावपूर्ण जीवन और कठोर पुरुषार्थ द्वारा सफलता हासिल होगी। डॉ. कलाम ने युवाओं को संकल्पबद्घ होने का अनुरोध करते हुए इसकी शपथ दिलवाई।

मुख्यमंत्री श्री नरेन्द्र मोदी ने गुजरात में युवाशक्ति वर्ष मनाए जाने की घोषणा करते हुए कहा कि, स्वामी विवेकानंद के सपने पूरे करने के लिए गुजरात की युवाशक्ति स्किल-विल-विन की सफलता का मंत्र अपनाएं और भारतवर्ष को जगतगुरु बनाने के अपने कौशल्य, इच्छाशक्ति और विजय के संकल्प से सफलता हासिल करे।

स्वामी विवेकानंद की 150वीं जन्मजयंति मनाने की गरिमामय शुरुआत देश में आज से गुजरात ने की। गांधीनगर, महात्मा मंदिर परिसर में राज्य सरकार ने स्वामी विवेकानंद युवा परिषद का शानदार आयोजन किया, जिसमें गुजरात की युवाशक्ति के विशाल दर्शन हुए।

डॉ. एपीजे अब्दुल कलाम ने इस मौके पर- आई केन डू इट, वी केन डू इट, इंडिया केन डू इट जैसे शब्दों द्वारा आत्मविश्वास की शपथ दिलवाई। मन में दृढ़ संकल्प हो तो जीत दूर नहीं, इसका उल्लेख करते हुए उन्होंने कहा कि, आई केन विन, वी केन विन, इंडिया केन विन।

डॉ. कलाम ने युवाओं को सीख देते हुए कहा कि, थॉमस अल्वा एडीसन, राइट ब्रदर्स, ग्राहम बेल, सरदार वल्लभभाई पटेल, मैडम क्यूरी, डॉ. सीवी रमन, मदर टेरेसा, जेआरडी टाटा ने विभिन्न क्षेत्रों में अपना उल्लेखनीय योगदान प्रदान किया और यूनिक पीपुल बनें। स्वामी विवेकानंद की आज की 150वीं जन्मजयंति के वर्ष की शुरुआत में भी भारत का प्रत्येक युवा यूनिक पीपुल, पर्सनालिटी बनने के लिए पुरुषार्थ करे।

पूर्व राष्ट्रपति ने अहमदाबाद में 1999 में हुए एक प्रसंग का स्मरण करते हुए कहा कि, उस वक्त अहमदाबाद के मेरे दौरे के दरमियान एक लडक़ी मुझे मिलने को आई थी। उसने मुझसे शिकायत की कि आई केन सिंग ए सॉन्ग ऑफ इंडिया। मैं भारत के लिए गाना चाहती हूं। लेकिन मेरे परिवारजन अमरीका के गुणगान गाते हैं कि, अमरीका स्वच्छ देश है, सुंदर देश है और वहां सुविधाएं अच्छी हैं। मैने उस लडक़ी को विजन-2020 के अमल तक इंतजार करने को कहा था। लेकिन आज के अहमदाबाद और गुजरात की कायापलट देखकर मुझे उस लडक़ी को यह कहने की इच्छा हो रही है कि, बेटा अब तू आज यह गीत गा सकती है, क्योंकि यहां गुड गवर्नेंस है, करप्शन फ्री स्टेट है, गुड एन्वायर्नमेंट है। गुजरात का चित्र उज्जवल भारत की छवि पेश करता है।

देश के विज्ञान ऋषि और पूर्व राष्ट्रपति डॉ. कलाम ने देश की युवा शक्ति को संबोधित करते हुए कहा कि, आपको सोचना चाहिए कि अगर मेरी माता सुखी तो समाज सुखी, समाज सुखी तो गुजरात सुखी और गुजरात सुखी तो देश सुखी। उन्होंने युवाओं के जीवन निर्माण में शिक्षकों की भूमिका की सराहना की।

मुख्यमंत्री श्री मोदी ने इस मौके पर गुजरात की युवा शक्ति को विवेकानंद के सपने पूरे करने के लिए स्किल-विल-विन (कौशल्य-इच्छाशक्ति और जीत का संकल्प) का प्रेरक मंत्र दिया।

श्री मोदी ने कहा कि, स्वामी विवेकानंद की 150वीं जन्मजयंति का अवसर गुजरात युवाशक्ति वर्ष के रूप में मनाएगा और समग्र वर्ष के दौरान लाखों युवाओं को हूनर कौशल्य में सामथ्र्यवान बनाने के लिए स्वामी विवेकानंद कौशल्य वद्र्घन केन्द्र कार्यरत करेगा। स्वामी विवेकानंद को युवाशक्ति का प्रेरणास्त्रोत करार देते हुए उन्होंने कहा कि, उनके अधूरे सपने साकार करने के लिए युवाशक्ति अपनी कौशल्यक्षमता और इच्छाशक्ति से भारत माता को जगतगुरु बनाने के संकल्प को जीत में परिवर्तित करेगी।

श्री मोदी ने कहा कि, स्वामी विवेकानंद युवाशक्ति के प्रेरणामूर्ति रहे हैं। उनके 150 वर्ष पहले गुलामी काल में जन-जन में निराशा का माहौल था तब नरेन्द्रजी का जन्म हुआ और 40 वर्ष के जीवनकाल के विवेकानंदजी आज भी आधुनिक गर्व का मानस रखने वाले युवा वर्ग के प्रेरणास्त्रोत रहे हैं। इस युवाशक्ति को राष्ट्र भक्ति में प्रेरित करने के लिए स्वामी विवेकानंद की 150वीं जन्मजयंति का अवसर आया है। स्वामी विवेकानंद के अधूरे सपने पूरे करने का संकल्प लेने का श्री मोदी ने युवाशक्ति से अनुरोध किया। गुजरात पूरा वर्ष युवाशक्ति वर्ष के रूप में मनाएगा और हर पल स्वामी विवेकानंद का स्मरण कर देश के लिए जहां है, वहीं कर्तव्यरत रहने का उन्होंने आह्वान किया।

श्री मोदी ने कहा कि, वेद से विवेकानंद तक की भारत की आध्यात्मिकता का अनुष्ठान युवाशक्ति को राष्ट्र निर्माण के लिए प्रेरणा देता है। विवेकानंद को विश्वास था कि गुलामी की बेड़ी में जकड़ी हुई भारतमाता का जागृत रूप ही 21वीं सदी में विश्वगुरु बनेगा। इसकी भूमिका प्रस्तुत करते हुए श्री मोदी ने कहा कि, भारत विश्व का सबसे युवा देश है और आने वाले 20 वर्षों में 24 करोड़ युवक और इसमें जुड़ जाएंगे, यही युवाशक्ति भारत का भाग्य बदलने में समर्थ बनेगी। चीन में 20 वर्ष में मात्र दो करोड़ युवा जुड़ेंगे इसकी तुलना में भारत की विराट युवाशक्ति अपना संकल्प पूर्ण करने के लिए जीवन समर्पित करेगी तो भारतमाता को जगतगुरु बनने से कोई नहीं रोक सकता।

उन्होंने कहा कि विवेकानंदजी ने अपना समग्र जीवन समाज सुधारक के रूप में समर्पित किया था। ईश्वर का साक्षात्कार करने की नरेन्द्र की लगन भीतर के उस पागलपन की हद तक थी कि दिन-रात उनका मन ईश्वर के दर्शन के लिए तड़पता रहता था। ऐसे में, जब रामकृष्ण परमहंस ने जैसे परमगुरु ने महाकाली के दर्शन करवाए, उसी पल विवेकानंदजी ने परमात्मा को छोडक़र राष्ट्रनिर्माण का संकल्प लिया। इन्ही विवेकानंदजी ने कहा कि, जिस ईश्वर की पूजा करते हो, उस देव-देवता की सभी मूर्तियां पानी में डुबा दो और मात्र भारतमाता की सेवा करो, यही एक आराध्य है। आज विवेकानंदजी के सपने पूरे करने के लिए 100 करोड़ भारतवासी संकल्प करें तो भारत विश्वगुरु बन जाएगा। भारत की आध्यात्मिक संस्कृति में ऐसा आंतरिक सामथ्र्य है कि समाज के दूषणों, अस्पृश्यता, कुरिवाजों और अंधविश्वास के खिलाफ आक्रोशपूर्वक समाज जागृति के लिए समर्थ समाज सुधारक भी इसी धरती ने दिए हैं।

भारत भ्रमण के दौरान विवेकानंदजी को आध्यात्मिक चेतना की अनुभूति सोमनाथ के समुद्रतट पर मिली थी, इसका गौरवपूर्ण उल्लेख करते हुए श्री मोदी ने विवेकानंदजी के आजादी संग्राम के लिए क्रांति दृष्टि के उदाहरण प्रस्तुत करते हुए कहा कि, गुजरात के साथ जीवन का सबसे ज्यादा नाता था। श्यामजी कृष्ण वर्मा, नाना साहेब पेशवा जैसे क्रांतिवीरों के साथ उन्होंने भारतमाता को गुलामी की बेडिय़ों से मुक्त करने पर चर्चा की थी। गुजरात की धरती विवेकानंदजी की चरणधूल से पावन हुई है। उन्होंने कहा कि, नारीशक्ति के जागरण और नारी सशक्तिकरण के लिए तथा दरिद्रनारायण की सेवा के लिए विवेकानंदजी ने जो प्रेरणा दी है वह आज भी उतनी ही प्रासंगिक है।

9-11 की अमरीका पर आतंकवादी घटना और 9-11 की स्वामी विवेकानंद की शिकागो की विश्व धर्म परिषद में स्वामी विवेकानंद ने समग्र विश्व को भारत की आध्यात्मिकता की सर्वोपरिता से मोहित कर दिया था, इसकी भूमिका में श्री मोदी ने कहा कि पिछले 100 वर्ष में दुनिया में जो संकट आए हैं, उसके समक्ष विवेकानंद के विचार ही समय की मांग है। श्री मोदी ने गुजरात के युवाओं को प्रेरणा देते हुए तीन वस्तुओं को सफलता प्राप्ति की चाबी बतलाया। युवाओं में स्किल-विल-विन का संकल्प ही दुनिया में गुजरात के युवाओं के सामथ्र्य को साबित करेगा।

इस अवसर पर खेलकूद, युवा एवं सांस्कृतिक मामलों के मंत्री फकीरभाई वाघेला ने स्वागत भाषण दिया। जबकि वड़ोदरा रामकृष्ण मिशन के स्वामी निखिलेश्वरानंदजी, शिवानंद आश्रम के स्वामी आध्यात्मानंदजी ने भी अपने विचार व्यक्त किए। कार्यक्रम में गुजरात विधानसभा के अध्यक्ष गणपतभाई वसावा, मंत्रिमंडल के सदस्य, सचिव, महानुभाव, विभिन्न यूनिवर्सिटियों के विद्यार्थी भारी संख्या में मौजूद थे।

 

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PM Modi highlights extensive work done in boosting metro connectivity, strengthening urban transport
January 05, 2025

The Prime Minister, Shri Narendra Modi has highlighted the remarkable progress in expanding Metro connectivity across India and its pivotal role in transforming urban transport and improving the ‘Ease of Living’ for millions of citizens.

MyGov posted on X threads about India’s Metro revolution on which PM Modi replied and said;

“Over the last decade, extensive work has been done in boosting metro connectivity, thus strengthening urban transport and enhancing ‘Ease of Living.’ #MetroRevolutionInIndia”