"Narendra Modi addresses 3rd convocation of PDPU"
"Narendra Modi congratulates the students of PDPU, wishes them the very best"
"You are not only studying energy but also are the energy of India: Shri Modi to students who got their degrees"
"Narendra Modi talks about the need and importance of energy security"
"Narendrabhai is an inspiration for the youth and a person who has always emphasized on education’s role in self-development: Mukesh Ambani"

पंडित दीनदयाल पेट्रोलियम युनिवर्सिटी: तीसरा दीक्षांत समारोह

मुख्यमंत्री द्वारा 671 युवाओं को पीडीपीयु डिग्री प्रदान

PDPU चेयरमेन, रिलायंस ग्रुप के प्रमुख मुकेश अम्बानी का सम्बोधन

ब्रिटिश पेट्रोलियम के ग्रुप एक्जीक्युटिव बॉब डडली की उपस्थिति

मुख्यमंत्री: दुनिया को ऊर्जा के संकट से उबारने के लिए भारत के युवा नये ऊर्जा संशोधन के मार्ग दिखलाएं

देश के विकास में ऊर्जाशक्ति का साक्षात्कार करवाएं

युपीए सरकार की ऊर्जा नीति विकास अवरोधक

गुजरात ने गैर परम्परागत ऊर्जा स्त्रोत के अभिनव प्रयोग किए

गुजरात के मुख्यमंत्री श्री नरेन्द्र मोदी ने पंडित दीनदयाल युनिवर्सिटी, PDPU के तीसरे दीक्षांत समारोह में दुनिया को ऊर्जा के संकत से उबारकर ऊर्जाशक्ति का साक्षात्कार करवाने का युवाशक्ति से आह्वान किया।

Narendra Modi addresses 3rd convocation of PDPU

पेट्रोलियम एनर्जी सेक्टर में कुशल मानव संसाधन विकास और संशोधन के लिए मुख्यमंत्री की प्रेरणा से कार्यरत, गांधीनगर के नजदीक स्थित PDPU केम्पस में आज तीसरा दीक्षांत समारोह सम्पन्न हुआ। PDPU के पीएचडी, पोस्ट ग्रेज्युएट और अंडर ग्रेज्युएट डिग्रियों में उत्तीर्ण 671 युवक- युवतियों को मुख्यमंत्री, रिलायंस ग्रुप के चेयरमेन मुकेश अम्बानी और ब्रिटिश पेट्रोलियम ग्रुप के एक्जिक्युटिव प्रेसिडेंट बॉब डडली द्वारा डिग्रियां और पदक प्रदान किए गए।

डिग्रियां प्राप्त करने वाले डिग्रीधारकों को उज्जवल भविष्य की शुभकामना देते हुए मुख्यमंत्री ने विश्वास जताया कि युवा भारत को नयी ऊर्जा की ओर ले जाएंगे।

हिन्दुस्तान की युवाशक्ति को राष्ट्र और मानवजाति के विकास और भलाई में शामिल करेंगे तो पिछले 60 वर्ष की कमियों को हम 10 वर्ष में पूरा कर सकेंगे। इसका उल्लेख करते हुए श्री मोदी ने आत्मविश्वास से अनेक कठिनाइयों और संकट के बीच देश को नई ऊंचाइयों पर ले जाने का युवा शक्ति के समक्ष आह्वान किया।

गुजरात के मुख्यमंत्री ने कहा कि देश के वातावरण में फिलहाल भले ही अंधेरा छाया हो लेकिन सपने साकार करने के लिए युवा आत्मविश्वास से इस परिस्थिति को बदल देंगे। भारत की महान विरासत के साथ जुड़े हुए महात्मा गांधी, राम मनोहर लोहिया और पंडित दीनदयाल उपाध्याय जैसे तीन महापुरुषों ने राष्ट्र निर्माण के लिए जो प्रेरणा दी थी, वह आज भी यथावत है।

Narendra Modi addresses 3rd convocation of PDPU

यूनिवर्सिटी एजुकेशन पर १८०० वर्ष तक हिन्दुस्तान की यूनिवर्सिटियों नालंदा, तक्षशिला और वल्लभी विश्वविद्यापीठों ने दुनिया पर प्रभाव जमाया था। परन्तु ८०० वर्ष के गुलामी काल में हमारी ये ज्ञान संपदा कुंठित हो गई। अब हमारी ज्ञान शक्ति की यूनिवर्सिटी वैश्विक प्रभावी होनी चाहिए। इसका उल्लेख करते हुए उन्होंने कहा कि पीडीपीयू मात्र पेट्रोलियम यूनिवर्सिटी के रूप में ही नहीं बल्कि एनर्जी यूनिवर्सिटी के रूप में विश्व को ऊर्जा शिक्षा के क्षेत्र में नई दिशा दे, यह संकल्प किया जाना चाहिए।

उन्होंने कहा कि विश्व के समक्ष आज ऊर्जा की कमी का संकट है, ऐसे में विश्व को गांधी जी के प्रकृति संपदा के चिंतन को दुनिया के समक्ष रखा जा सकता है।

मुख्यमंत्री ने कहा कि गुजरात में ऊर्जा शक्ति के प्राकृतिक संचय के लिए रूफ टॉप सोलर पैनल और नर्मदा कैनाल पर सूर्य शक्ति और पानी के सर्वाधिक उपयोग की तकनीक का उपयोग विकसित किया गया है। इस दिशा में पीडीपीयू नये रिसर्च का मार्ग अपनाए और गांधीनगर को सोलर सिटी बनाने की चुनौती स्वीकार करे, यह जरूरी है।

उन्होंने कहा कि गुजरात ऑटोमोबाइल सेक्टर में अग्रिम स्थान हासिल कर रहा है, ऐसे में ऑटो सेक्टर के लिए एनर्जी सेविंग का नया मॉडल पीडीपीयू तैयार करे और समाज को नई ऊर्जा शक्ति का साक्षात्कार करवाए।

देश की वर्तमान यूपीए सरकार में ऊर्जा नीति के आयोजन के अभाव में २०,००० मेगावाट की क्षमता वाले तैयार पॉवर प्रोजेक्ट में सवा लाख करोड़ का पूंजी निवेश लंबित है, क्योंकि पॉवर प्रोडक्शन के लिए एनर्जी, फ्यूल नहीं है। जहां एनर्जी, फ्यूल है वहां बिजली परिवहन के लिए पॉवर ट्रांसमिशन नेटवर्क नहीं है, और जहां सब कुछ है वहां विकास के लिए यूपीए सरकार की नीति अवरोधक है। इस दुर्भाग्यपूर्ण स्थिति का निवारण हमारी युवा पीढ़ी के सशक्तिकरण में है। उन्होंने भारत के युवाओं से परिवर्तन के लिए देश को प्रथम सर्वोपरि, इंडिया फर्स्ट का मंत्र साकार करने का आह्वान किया।

पीडीपीयू के प्रमुख और रिलायंस इंडस्ट्रीज के चेयरमैन तथा मैनेजिंग डायरेक्टर मुकेश अंबानी ने डिग्री हासिल करने वाले सभी विद्यार्थियों को शुभकामनाएं दी। इस समारोह में विशेष अतिथि के तौर पर उपस्थित ब्रिटिश पेट्रोलियम कंपनी के ग्रुप चीफ एक्जीक्यूटिव बॉब डडली, शेल ग्रुप ऑफ कंपनीज के पूर्व चेयरमैन विक्रम सिंह मेहता ने अपने विचार रखे। राज्य के ऊर्जा विभाग के अग्र सचिव डीजे पांडियन ने स्वागत भाषण दिया। यूनिवर्सिटी के डायरेक्टर जनरल ने यूनिवर्सिटी की शैक्षणिक प्रवृत्तियों की रूपरेखा पेश की।

पंडित दीनदयाल पेट्रोलियम यूनिवर्सिटी के इस तीसरे दीक्षांत समारोह में ६७१ विद्यार्थियों को उपस्थित महानुभावों द्वारा डिग्रियां प्रदान की गईं। इनमें एक विद्यार्थी पीएचडी, १७२ विद्यार्थी अनुस्नातक, ४७६ विद्यार्थी स्नातक और पूर्व स्नातक स्तर के थे। इनमें से २२ विद्यार्थियों को गोल्ड मैडल हासिल हुआ। इस मौके पर ऊर्जा मंत्री सौरभभाई पटेल सहित अनेक अग्रणी, उच्च अधिकारियों और डिग्री प्राप्त करने वाले विद्यार्थियों के परिजनों ने विद्यार्थियों को शुभकामनाएं दी।

Narendra Modi addresses 3rd convocation of PDPU

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November 22, 2024

गुटेन आबेन्ड

स्टटगार्ड की न्यूज 9 ग्लोबल समिट में आए सभी साथियों को मेरा नमस्कार!

मिनिस्टर विन्फ़्रीड, कैबिनेट में मेरे सहयोगी ज्योतिरादित्य सिंधिया और इस समिट में शामिल हो रहे देवियों और सज्जनों!

Indo-German Partnership में आज एक नया अध्याय जुड़ रहा है। भारत के टीवी-9 ने फ़ाउ एफ बे Stuttgart, और BADEN-WÜRTTEMBERG के साथ जर्मनी में ये समिट आयोजित की है। मुझे खुशी है कि भारत का एक मीडिया समूह आज के इनफार्मेशन युग में जर्मनी और जर्मन लोगों के साथ कनेक्ट करने का प्रयास कर रहा है। इससे भारत के लोगों को भी जर्मनी और जर्मनी के लोगों को समझने का एक प्लेटफार्म मिलेगा। मुझे इस बात की भी खुशी है की न्यूज़-9 इंग्लिश न्यूज़ चैनल भी लॉन्च किया जा रहा है।

साथियों,

इस समिट की थीम India-Germany: A Roadmap for Sustainable Growth है। और ये थीम भी दोनों ही देशों की Responsible Partnership की प्रतीक है। बीते दो दिनों में आप सभी ने Economic Issues के साथ-साथ Sports और Entertainment से जुड़े मुद्दों पर भी बहुत सकारात्मक बातचीत की है।

साथियों,

यूरोप…Geo Political Relations और Trade and Investment…दोनों के लिहाज से भारत के लिए एक Important Strategic Region है। और Germany हमारे Most Important Partners में से एक है। 2024 में Indo-German Strategic Partnership के 25 साल पूरे हुए हैं। और ये वर्ष, इस पार्टनरशिप के लिए ऐतिहासिक है, विशेष रहा है। पिछले महीने ही चांसलर शोल्ज़ अपनी तीसरी भारत यात्रा पर थे। 12 वर्षों बाद दिल्ली में Asia-Pacific Conference of the German Businesses का आयोजन हुआ। इसमें जर्मनी ने फोकस ऑन इंडिया डॉक्यूमेंट रिलीज़ किया। यही नहीं, स्किल्ड लेबर स्ट्रेटेजी फॉर इंडिया उसे भी रिलीज़ किया गया। जर्मनी द्वारा निकाली गई ये पहली कंट्री स्पेसिफिक स्ट्रेटेजी है।

साथियों,

भारत-जर्मनी Strategic Partnership को भले ही 25 वर्ष हुए हों, लेकिन हमारा आत्मीय रिश्ता शताब्दियों पुराना है। यूरोप की पहली Sanskrit Grammer ये Books को बनाने वाले शख्स एक जर्मन थे। दो German Merchants के कारण जर्मनी यूरोप का पहला ऐसा देश बना, जहां तमिल और तेलुगू में किताबें छपीं। आज जर्मनी में करीब 3 लाख भारतीय लोग रहते हैं। भारत के 50 हजार छात्र German Universities में पढ़ते हैं, और ये यहां पढ़ने वाले Foreign Students का सबसे बड़ा समूह भी है। भारत-जर्मनी रिश्तों का एक और पहलू भारत में नजर आता है। आज भारत में 1800 से ज्यादा जर्मन कंपनियां काम कर रही हैं। इन कंपनियों ने पिछले 3-4 साल में 15 बिलियन डॉलर का निवेश भी किया है। दोनों देशों के बीच आज करीब 34 बिलियन डॉलर्स का Bilateral Trade होता है। मुझे विश्वास है, आने वाले सालों में ये ट्रेड औऱ भी ज्यादा बढ़ेगा। मैं ऐसा इसलिए कह रहा हूं, क्योंकि बीते कुछ सालों में भारत और जर्मनी की आपसी Partnership लगातार सशक्त हुई है।

साथियों,

आज भारत दुनिया की fastest-growing large economy है। दुनिया का हर देश, विकास के लिए भारत के साथ साझेदारी करना चाहता है। जर्मनी का Focus on India डॉक्यूमेंट भी इसका बहुत बड़ा उदाहरण है। इस डॉक्यूमेंट से पता चलता है कि कैसे आज पूरी दुनिया भारत की Strategic Importance को Acknowledge कर रही है। दुनिया की सोच में आए इस परिवर्तन के पीछे भारत में पिछले 10 साल से चल रहे Reform, Perform, Transform के मंत्र की बड़ी भूमिका रही है। भारत ने हर क्षेत्र, हर सेक्टर में नई पॉलिसीज बनाईं। 21वीं सदी में तेज ग्रोथ के लिए खुद को तैयार किया। हमने रेड टेप खत्म करके Ease of Doing Business में सुधार किया। भारत ने तीस हजार से ज्यादा कॉम्प्लायेंस खत्म किए, भारत ने बैंकों को मजबूत किया, ताकि विकास के लिए Timely और Affordable Capital मिल जाए। हमने जीएसटी की Efficient व्यवस्था लाकर Complicated Tax System को बदला, सरल किया। हमने देश में Progressive और Stable Policy Making Environment बनाया, ताकि हमारे बिजनेस आगे बढ़ सकें। आज भारत में एक ऐसी मजबूत नींव तैयार हुई है, जिस पर विकसित भारत की भव्य इमारत का निर्माण होगा। और जर्मनी इसमें भारत का एक भरोसेमंद पार्टनर रहेगा।

साथियों,

जर्मनी की विकास यात्रा में मैन्यूफैक्चरिंग औऱ इंजीनियरिंग का बहुत महत्व रहा है। भारत भी आज दुनिया का बड़ा मैन्यूफैक्चरिंग हब बनने की तरफ आगे बढ़ रहा है। Make in India से जुड़ने वाले Manufacturers को भारत आज production-linked incentives देता है। और मुझे आपको ये बताते हुए खुशी है कि हमारे Manufacturing Landscape में एक बहुत बड़ा परिवर्तन हुआ है। आज मोबाइल और इलेक्ट्रॉनिक्स मैन्यूफैक्चरिंग में भारत दुनिया के अग्रणी देशों में से एक है। आज भारत दुनिया का सबसे बड़ा टू-व्हीलर मैन्युफैक्चरर है। दूसरा सबसे बड़ा स्टील एंड सीमेंट मैन्युफैक्चरर है, और चौथा सबसे बड़ा फोर व्हीलर मैन्युफैक्चरर है। भारत की सेमीकंडक्टर इंडस्ट्री भी बहुत जल्द दुनिया में अपना परचम लहराने वाली है। ये इसलिए हुआ, क्योंकि बीते कुछ सालों में हमारी सरकार ने Infrastructure Improvement, Logistics Cost Reduction, Ease of Doing Business और Stable Governance के लिए लगातार पॉलिसीज बनाई हैं, नए निर्णय लिए हैं। किसी भी देश के तेज विकास के लिए जरूरी है कि हम Physical, Social और Digital Infrastructure पर Investment बढ़ाएं। भारत में इन तीनों Fronts पर Infrastructure Creation का काम बहुत तेजी से हो रहा है। Digital Technology पर हमारे Investment और Innovation का प्रभाव आज दुनिया देख रही है। भारत दुनिया के सबसे अनोखे Digital Public Infrastructure वाला देश है।

साथियों,

आज भारत में बहुत सारी German Companies हैं। मैं इन कंपनियों को निवेश और बढ़ाने के लिए आमंत्रित करता हूं। बहुत सारी जर्मन कंपनियां ऐसी हैं, जिन्होंने अब तक भारत में अपना बेस नहीं बनाया है। मैं उन्हें भी भारत आने का आमंत्रण देता हूं। और जैसा कि मैंने दिल्ली की Asia Pacific Conference of German companies में भी कहा था, भारत की प्रगति के साथ जुड़ने का- यही समय है, सही समय है। India का Dynamism..Germany के Precision से मिले...Germany की Engineering, India की Innovation से जुड़े, ये हम सभी का प्रयास होना चाहिए। दुनिया की एक Ancient Civilization के रूप में हमने हमेशा से विश्व भर से आए लोगों का स्वागत किया है, उन्हें अपने देश का हिस्सा बनाया है। मैं आपको दुनिया के समृद्ध भविष्य के निर्माण में सहयोगी बनने के लिए आमंत्रित करता हूँ।

Thank you.

दान्के !