एनसीसी के शिविरों से हर युवा राष्ट्र के लिए कुछ अच्छा करने के लिए प्रेरित हो रहा है: प्रधानमंत्री मोदी 
राष्ट्रीय कैडेट कोर को उनकी यूनिफॉर्म और यूनिफॉर्मिटी को लेकर नहीं बल्कि उनकी यूनिटी को लेकर जाना जाता है: पीएम मोदी 
भारत का युवा भ्रष्टाचार को बर्दाश्त नहीं कर पा रहा है, हम भ्रष्टाचार को उखाड़ फेंकने का हर संभव प्रयास कर रहे हैं: प्रधानमंत्री 
भीम ऐप के माध्यम से डिजिटल लेन-देन को बढ़ावा दें और दूसरों को उस प्लेटफार्म से जुड़ने के लिए प्रेरित करें: एनसीसी कैडेट्स से प्रधानमंत्री मोदी

करीब एक महीना अनेक नये मित्रों के साथ हर कोई अपने-अपने साथ अपनी एक अलग पहचान ले करके आया, अपनी विविधताओं को लेकर आया, लेकिन महीने के भीतर-भीतर एक ऐसा माहौल बन गया कि आप सबके बीच एक अटूट नाता जुड़ गया। एक अपनेपन का नाता, और जब आप दूसरे राज्‍य के कैडेट से मिलते होंगे तो उनकी विशेषताओं, विविधताओं को जान करके अजरच होता होगा। इतनी उत्‍सुकताएं ले करके आप यहां से जाएंगे कि मन करेगा कि भारत के नागर‍िक के नाते आने वाले समय में मैं भारत को जितना ज्‍यादा जानू, भारत के हर कौन को जितना ज्‍यादा जानू, भारत की हर विविधता को पहचानू, अपने आप को उसके भीतर पाऊं। इसका संस्‍कार बीज यह NCC के कैंप में सहज रूप से हमारे भीतर बोया जाता है। यूं तो लगता है कि हम परेड करते हैं, यूं तो लगता है कि हम uniform पहनकरके आए हैं, यूं तो लगता है कि हम राजपथ के लिए तैयारी कर रहे हैं, लेकिन हमें पता तक नहीं होता है कि हम हमारे भीतर यह विशाल भारत को कैसे संजोने लग जाते हैं। हम भारतमय कैसे बन जाते हैं। भारत के लिए कुछ न कुछ करने का मन में जज्‍बा कैसे पैदा हो जाता है। पता तक नहीं चलता। एक ऐसी Eco system, एक ऐसा वातावरण जो हमें पल-पल के लिए मेरा देश, मेरे देश का भविष्‍य, मेरे उज्‍जवल भविष्‍य में मेरी भूमिका, मेरा कर्तव्‍य, इन सारी बातों की प्रेरणा ले करके आप अपने-अपने क्षेत्र में यहां से लौट रहे हैं। राजपथ पर परेड में NCC के कैडेट और जिनको राजपथ पर चलने का, दिखने का मौका नहीं मिला, वैसे पार्श्‍व भूमि में काम करने वाले महीने भर कठोर तपस्‍या करने वाले हर किसी के प्रति दुनिया के दस देश के मेहमान और पूरा हिंदुस्‍तान और विश्‍वभर में फैला हुआ भारतीय समुदाय आपके हर कदम पर नाज़ कर रहा था। आपके हर कदम पर गर्व कर रहा था। जब आप चल रहे थे तो वह अनुभव कर रहा था कि मेरा देश आगे बढ़ रहा है। जब आप अपना हौंसला बुलंदी से दिखाते थे तो हर देशवासी feel कर रहा था कि देश का हौंसला बुलंदियों की ओर जा रहा है। यह माहौल, यह वातावरण यहां तक सीमित नहीं रहना चाहिए। कसौटी इसके बाद शुरू होती है। NCC इसकी पहचान है एकता और अनुशासन। NCC यह कोई मैकेनिज्‍म नहीं है। NCC एक मिशन है, NCC यह सिर्फ uniform और uniformity नहीं है, यह सच्‍चे अर्थ में unity है। और इसलिए इस भाव को ले करके आखिरकार यह परेड, यह कैम्‍प, यह अनुशासन, यह कड़ी मेहनत किस काम के लिए है, यह सब क्‍यों? देश के गरीब से गरीब व्‍यक्ति के हक का धन इन चीजों में क्‍यों लगाया जाता है, वो इसलिए लगाया जाता है कि देश के भीतर ऐसे न्‍युक्लियस तैयार हो ऐसी ईकाईयां बनती चलें, जो मिशन मोड में औरों को भी प्रेरित करते रहे और देश का जज्‍बा बढ़ता चले और इसलिए एक प्रकार से जिंदगी को बनाने का और उस बनी हुई जिंदगी से देश को बनाने का यह एक प्रयास होता है। अगर हम यही पर सब छोड़ कर जाते हैं। सिर्फ memories को, स्‍मृतियों को जीवनभर दोस्‍तों के बीच बांटते रहने के लिए काम आने वाली हैं, तो शायद कुछ कमी रह गई। हम सबको इस बात का गर्व होना चाहिए कि हमारा देश आजाद होने के बाद armed forces के लिए rules and regulation और नियमों का निर्माण होने से पहले इस देश में NCC का एक्‍ट बना था। राष्‍ट्र रक्षा से भी पहले राष्‍ट्र निर्माण को हमारे देश में युवा पीढ़ी के साथ जोड़ा गया था।

आज NCC 70 साल की हो गई है। सात दशक यात्रा और मेरे जैसे लाखों-लाखों NCC के कैडेट देशभक्ति के संस्‍कार पा करके जीवन की राह पर चलते पड़े। दोस्‍तों, NCC से हमें sense of mission मिलता है। 70 साल NCC के होना समय की मांग है कि एक बार हम relook करे, जहां से चले थे जहां पहुंचे और आगे जहां देश को ले जाना है। इस NCC का रूप क्‍या हो, और कौन सी नई चीजें जोड़ी जाए। उसका विस्‍तार क्‍या हो और इन सारे विषयों से जुड़े हुए लोगों से मैं आह्वान करूंगा कि जब हम NCC के 75 साल मनाएं हम एक खाका तैयार करें और उस 75 साल के मिशन को एक ऐसी ऊंचाईयों पर NCC को ले जाने वाला बनाए कि देश के हर कौने में NCC अपनी करतूतों के कारण, NCC के कैडेट के करतूतों के कारण देश के हर कौने में कुछ नयापन आए, कुछ बदलाव आए, कोई गौरव की भावना जगे। इस संकल्‍प को ले करके हम आज जब 70 साल कर रहे है, 75 साल का मिशन तय करे। मैं नहीं मानता हूं कि मेरे देश का कोई नौजवान अब भ्रष्‍टाचार को सहने के लिए तैयार है। भ्रष्‍टाचार के खिलाफ नफरत का भाव समाज में अनुभव हो रहा है, लेकिन सिर्फ हम भ्रष्‍टाचार से नफरत ही करते रहे, रोष प्रकट करते रहे, गुस्‍सा दिखाते रहे। इतने से काम चलेगा क्‍या? फिर तो यह लड़ाई बहुत लम्‍बी चलानी पड़ेगी, यह लड़ाई रूकने वाली नहीं है। यह भ्रष्‍टाचार के खिलाफ की लड़ाई, यह कालेधन की लड़ाई मेरे देश के नौजवानों का भविष्‍य बनाने के लिए हैं। और अगर मेरे देश के नौजवानों का भविष्‍य बनता है तो उसी से मेरे देश का भविष्‍य भी बनने वाला है। लेकिन मैं इस देश का प्रधानमंत्री आज भारत के नौजवानों से कुछ मांगना चाहता हूं। मेरे NCC के कैडेट से कुछ मांगना चाहता हूं।

मैं जानता हूं आप मुझे कभी निराश नहीं करेंगे। मेरे देश के नौजवान मुझे निराश नहीं करेंगे। न मैं आपसे वोट मांगने के लिए कह रहा हूं। न मैं राजनीति के मंच पर हमारी प्रगति हो इसके लिए आपकी मदद चाहता हूं। मेरे देश के नौजवानों मैं आपसे मदद चाहता हूं भारत को इस भ्रष्‍टाचार रूपी दिमक से मुक्ति दिलाने के लिए। आपको लगता होगा कि हम क्‍या कर सकते हैं? आपको लगता होगा क‍ि हम ज्‍यादा से ज्‍यादा किसी को कुछ देंगे नहीं। ज्‍यादा से ज्‍यादा हम किसी से कुछ लेंगे नहीं। वो तो आप करेंगे ही, लेकिन इतने से बात अटकेगी नहीं। एक काम अगर आप ठान लें और नियम बना ले कि साल में कम से कम सौ नए परिवारों को मैं इस काम के लिए जोड़ूंगा, वो कौन सा काम है। अगर accountability आती है, transparency आती है, तो अपनेआप चीजों में बदलाव आता है। क्‍या आप तय कर सकते हैं कि अब हम जहां भी कुछ खरीद करने जाएंगे, जहां भी पैसे का लेन-देन होगा वो cash से नहीं करेंगे। हम सब mobile phone वाले हो गए हैं। क्‍या भीम एप डाउनलोड करके हम भीम एप के द्वारा ही हर चीज़ खरीदेंगे और जिस दुकान से खरीदेंगे, जिस Store में जाते होंगे, जिस Mall में जाते होंग उन पर भी आग्रह करेंगे या नहीं, यह आपको करना होगा। आप इसकी आदत डालिये। आप देखिए इतनी transparency आना शुरू हो जाएगा, इतनी accountability सरल हो जाएगी कि हम भ्रष्‍टाचार मुक्‍त भारत की दिशा में मजबूत कदम उठा पाएंगे और यह काम मेरे नौजवानों की मदद के बिना नहीं हो सकता। मेरे NCC के कैडेट एक मिशन मोड़ में इस काम का उठा ले कीसी की हिम्‍मत है कि देश को भ्रष्‍टाचार की ओर खींचे रख पाए। इतना ही भ्रष्‍ट व्‍यक्ति इतने ही बड़े पद पर पहुंच जाएगा, तो भी उसको ईमानदारी के रास्‍ते पर आने के लिए मजबूर होना पड़ेगा।

देश में कभी-कभी निराशा होती थी कि भ्रष्‍टाचार की बातें बड़ी होती है, लेकिन बड़े-बड़े लोगों को कुछ नहीं होता है। आज ऐसे कालखंड से आप गुजर रहे हैं। एक ऐसे समय से गुजर रहे हैं कि भ्रष्‍टाचार के कारण इस देश के तीन-तीन पूर्व मुख्‍यमंत्री जेलों में सड़ रहे हैं। कौन कहता है ‘ईश्‍वर नहीं है’ कौन कहता है ईश्‍वर के यहां न्‍याय नहीं है। अब कोई बचने वाला नहीं है। और इसलिए मैं आज NCC के कैडेट के सामने उनके माध्‍यम से देशभर के NCC के कैडेट हो NSS के नौजवान हो, नेहरू युवा केंद्र के नौजवान हो, स्‍कूल-कॉलेज के छात्र हो, मेरे देश के लिए जीने-मरने वाले नौजवान हो मैं आपसे मदद चाहता हूं। इस लड़ाई के लिए आप मेरे साथ सिपाही बन करके आ जाइये। आइये हम मिल करके भारत को इस दिमक से मुक्ति दिला दें, तो देश के गरीबों के हक की लड़ाई हम हम जीत पाएंगे। हम बुराईयों को मिटाते हैं, उसका सबसे ज्‍यादा फायदा मेरे देश के गरीबों को होता है। जब पैसे सही जगह पर खर्च होते हैं तो किसी गरीब के घर में सस्‍ती दवाई पहुंचती है। जब पैसे सही जगह पर खर्च होते हैं तो एक गरीब बच्‍चों के पढ़ने के लिए अच्‍छे शिक्षक, अच्‍छे स्‍कूल की व्‍यवस्‍था बनती है। जब पैसे सही जगह पर उपयोग होते हैं तो गांव तक जाने के लिए सड़क बनती है, जब पैसे सही जगह पर उपयोग होते हैं तो इस देश के दलित, पीडि़त, शोषित, वंचित उनके लिए कुछ करने का अवसर पैदा होता है। और इसलिए मेरे देश के प्‍यारे नौजवानों अब इन दिनों आधार के विषय में चर्चा सुन रहे हैं। जो लोग Technology को जानते हैं, जो बदलते हुए युग को जानते हैं उनको मालूम है कि डेटा यह दुनिया में आने वाले समय में एक बहुत बड़ी ताकत बनने वाला है। जिसके पास डेटा है वो देश ताकतवर माना जाएगा, वो दिन दूर नहीं होगा। आधार ने डिजिटल वर्ल्‍ड में डेटा की दुनिया में बहुत बड़ी ताकत का भारत को गर्व दिया है, गौरव दिया है। और अब आधार के माध्‍यम से लोगों को जो benefit मिलने चाहिए, गरीब को, सामान्‍य मानव को वो पहले गलत हाथों में चले जाते थे। भ्रष्‍टाचार का वो भी एक रास्‍ता था, जो बच्‍ची पैदा नहीं होती थी, वो सरकारी दफ्तर में बड़ी होती थी, शादी हो जाती थी और विधवा भी हो जाती थी और सरकारी खजाने से विधवा पेंशन भी चला जाता था। यही कारोबार चलता रहा, आधार के कारण, Direct benefit transfer के कारण जो हक़दार थे, उनका identification हो पाया, उन्‍हीं को मिलने लगा। और मेरे देश के नौजवानों सिर्फ Technology की मदद से कुछ ही योजनाओं में अभी तो शत-प्रतिशत नहीं है, आरंभ है, करीब-करीब 60 हजार करोड़ रुपया देश का जो गलत हाथों में जाता था, वो बच गया। यह सब संभव है। और इसलिए मेरे नौजवान cashless society की दिशा में less cash का मंत्र ले करके भीम ऐप का सर्वाधिक उपयोग करते हुए हम अगर खरीद बिक्री का सारा कारोबार, फीस भी देनी है तो भीम ऐप से देंगे। तो आप देखिए किस प्रकार से देश में बदलाव शुरू होता है।

मेरे नौजवान साथियों एक उत्‍तम अनुभव जीवन में मिला है आपको । बहुत ही कम समय में देश के हर कौने के व्‍यक्ति के साथ जी करके देश का अनुभव करने का अवसर मिलता है। feeling मिलती है। भारत का एक नया स्‍पर्श आपको मिलता है, इस नव चेतना के साथ, इस नव संकल्‍प के साथ इस नव अरमान के साथ New India बनाने के लिए हम सभी संकल्‍प ले करके चले। 2022 में जब भारत आजादी के 75 साल मनाएगा, तब आजादी के दिवानों के सपने पूरे करने का सामर्थ्‍य हम अर्जित करके देश को आगे बढ़ाए, New India बनाए, आप सबको मेरी बहुत-बहुत शुभकामनाएं, धन्‍यवाद।

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प्रधानमंत्री 24 नवंबर को 'ओडिशा पर्व 2024' में हिस्सा लेंगे
November 24, 2024

प्रधानमंत्री श्री नरेन्द्र मोदी 24 नवंबर को शाम करीब 5:30 बजे नई दिल्ली के जवाहरलाल नेहरू स्टेडियम में 'ओडिशा पर्व 2024' कार्यक्रम में भाग लेंगे। इस अवसर पर वह उपस्थित जनसमूह को भी संबोधित करेंगे।

ओडिशा पर्व नई दिल्ली में ओडिया समाज फाउंडेशन द्वारा आयोजित एक प्रमुख कार्यक्रम है। इसके माध्यम से, वह ओडिया विरासत के संरक्षण और प्रचार की दिशा में बहुमूल्य सहयोग प्रदान करने में लगे हुए हैं। परंपरा को जारी रखते हुए इस वर्ष ओडिशा पर्व का आयोजन 22 से 24 नवंबर तक किया जा रहा है। यह ओडिशा की समृद्ध विरासत को प्रदर्शित करते हुए रंग-बिरंगे सांस्कृतिक रूपों को प्रदर्शित करेगा और राज्य के जीवंत सामाजिक, सांस्कृतिक और राजनीतिक लोकाचार को प्रदर्शित करेगा। साथ ही विभिन्न क्षेत्रों के प्रमुख पेशेवरों एवं जाने-माने विशेषज्ञों के नेतृत्व में एक राष्ट्रीय सेमिनार या सम्मेलन का आयोजन किया जाएगा।