कोविड-19 के कुशल प्रबंधन के लिए मैं मॉरिशस की सरकार और लोगों को बधाई देना चाहूंगा: प्रधानमंत्री मोदी
विकास के प्रति भारत का रूख मानव केंद्रित है, हम मानवता के कल्याण के लिये काम करना चाहते हैं: पीएम मोदी
भारत के विकास सहयोग में कोई भी शर्त अंतर्निहित नहीं होती है और न ही कोई राजनीतिक या वाणिज्यिक हित जुड़ा होता है: प्रधानमंत्री

मॉरीशस गणराज्य के प्रधानमंत्री माननीय प्रविंद कुमार जुगनॉथ जी, वरिष्ठ मंत्री और मॉरीशस के गणमान्य लोगों, विशिष्ट अतिथियों, नमस्कार, बोनजॉर।

आप सभी को मेरी हार्दिक बधाई। सबसे पहले मैं मॉरीशस की सरकार और वहां के लोगों को कोविड-19 वैश्विक महामारी के प्रभावी प्रबंधन के लिए बधाई देता हूं। मुझे खुशी है कि भारत दवाइयों की समय पर आपूर्ति और अपने अनुभवों को साझा करते हुए आपके इस प्रयास में मदद करने में सक्षम है।

मित्रों, आज हम भारत और मॉरीशस के बीच विशेष मित्रता में एक और ऐतिहासिक घटना का उत्सव मना रहे हैं। राजधानी पोर्ट लुइस में सुप्रीम कोर्ट के नए भवन का निर्माण हमारे सहयोग और हमारे साझा मूल्यों का प्रतीक है। भारत और मॉरीशस दोनों हमारी लोकतांत्रिक प्रणालियों के महत्वपूर्ण स्तंभों के रूप में अपनी स्वतंत्र न्यायपालिकाओं का सम्मान करते हैं। यह प्रभावशाली नई इमारत अपने आधुनिक डिजाइन और निर्माण के साथ इस सम्मान का प्रतीक है। मुझे खुशी है कि यह परियोजना निर्धारित समय पर और प्रारंभिक अनुमानित लागत के अंदर पूरी हुई है।

प्रधानमंत्री जुगनॉथ जी, अभी कुछ महीने पहले ही, हमने संयुक्त रूप से युगांतकारी मेट्रो परियोजना और एक अत्याधुनिक अस्पताल का उद्घाटन किया था। मुझे यह जानकर खुशी हुई कि ये दोनों परियोजनाएं मॉरीशस के लोगों के लिए उपयोगी साबित हो रही हैं।

मित्रों, मॉरीशस में ही मैंने पहली बार भारत के सागर (एसएजीएआर) दृष्टिकोण– इस क्षेत्र में सबकी सुरक्षा और विकास- के बारे में बात की थी। ऐसा इसलिए है क्योंकि मॉरीशस हिंद महासागर क्षेत्र में भारत के दृष्टिकोण के केंद्र में है और आज, मैं इसमें यह जोड़ना चाहता हूं कि मॉरीशस भारत की विकास साझेदारी के दृष्टिकोण के केंद्र में भी है।

मित्रों, महात्मा गांधी ने ठीक ही कहा था और, मैं उसे यहां उद्धृत करता हूं- मैं पूरी दुनिया के संदर्भ में सोचना चाहता हूं। मेरी देशभक्ति में आम तौर पर मानव जाति का भला शामिल है। इसलिए, भारत की मेरी सेवा में मानवता की सेवा शामिल है। यह भारत का मार्गदर्शक दर्शन है। भारत विकास करना चाहता है और भारत दूसरों के विकास की जरूरतों में मदद करना चाहता है।

मित्रों, भारत का विकास का दृष्टिकोण मुख्य रूप से मानव-केंद्रित है। हम मानवता के कल्याण के लिए काम करना चाहते हैं। इतिहास ने हमें सिखाया है कि विकास साझेदारी के नाम पर राष्ट्रों को निर्भरता भागीदारी में धकेला गया। इसने औपनिवेशिक और शाही शासन को जन्म दिया। इसने वैश्विक शक्ति केंद्रों को उभरने में मदद की और, इसका नुकसान मानवता को उठाना पड़ा।

मित्रों, भारत विकास की जो साझेदारी बढ़ा रहा है उसमें सम्मान, विविधता, भविष्य की चिंता और सतत विकास शामिल है।

मित्रों, विकास सहयोग में भारत के लिए सबसे बुनियादी सिद्धांत अपने सहयोगियों का सम्मान करना है। विकास से संबंधित सबकों को साझा करना हमारी एकमात्र प्रेरणा है। यही कारण है कि हमारा विकास सहयोग बिना किसी शर्त के होता है। यह राजनीतिक या व्यावसायिक सोचों से प्रभावित नहीं होता है।

मित्रों, भारत की विकास साझेदारियां विविधतापूर्ण हैं। भारत वाणिज्य से संस्कृति, ऊर्जा से इंजीनियरिंग, स्वास्थ्य से आवास, सूचना प्रौद्योगिकी से बुनियादी ढांचा, खेल से विज्ञान तक जैसे क्षेत्रों में दुनिया भर के देशों के साथ काम कर रहा है। अगर भारत को अफगानिस्तान में संसद भवन के निर्माण में मदद करने के लिए सम्मानित किया जाता है, तो नाइजर में महात्मा गांधी कन्वेंशन सेंटर बनाने के साथ जुड़ने पर भी इसे गर्व है। हमें एक आपातकालीन और ट्रॉमा अस्पताल के निर्माण के माध्यम से नेपाल में वहां की स्वास्थ्य सेवाओं को बेहतर बनाने में मदद करने में खुशी हुई है। और, हम श्रीलंका के सभी नौ प्रांतों में आपातकालीन एम्बुलेंस सेवाओं को स्थापित करने के उसके प्रयासों में मदद करने के लिए भी समान रूप से गौरवान्वित हैं।

हमें खुशी है कि नेपाल के साथ हम जो तेल पाइपलाइन परियोजना पर काम कर रहे हैं, उससे वहां पेट्रोलियम उत्पादों की उपलब्धता सुनिश्चित करने में मदद मिलेगी और इसी तरह, हम मालदीव के चौंतीस द्वीपों में पेयजल और स्वच्छता की उपलब्धता सुनिश्चित करने की दिशा में योगदान करने के लिए खुश हैं। हमने स्टेडियम और अन्य सुविधाओं के निर्माण में मदद करके अफगानिस्तान और गुयाना जैसे देशों में क्रिकेट को लोकप्रिय बनाने की कोशिश की है।

हम युवा अफगान क्रिकेट टीम को भारत में प्रशिक्षण देने को लेकर उत्साहित हैं। हम अब मालदीव के क्रिकेट खिलाड़ियों की प्रतिभा को विकसित करने के लिए इसी तरह से मदद कर रहे हैं। हम इसे अत्यधिक गर्व का विषय मानते हैं कि भारत श्रीलंका में एक प्रमुख आवासीय परियोजना में सबसे आगे है। हमारी विकास साझेदारियों में हमारे सहयोगी राष्ट्रों की विकास प्राथमिकताओं की झलक मिलती हैं।

मित्रों, भारत आपके आज को संभालने में मदद करने में न केवल गर्व महसूस कर रहा है बल्कि हम आपके युवाओं के लिए बेहतर भविष्य बनाने में मदद करना अपना विशेषाधिकार मानते हैं। यही कारण है कि प्रशिक्षण और कौशल विकास हमारे विकास सहयोग का एक महत्वपूर्ण हिस्सा है। इससे हमारे सहयोगी देशों के युवाओं को आत्म-निर्भर बनने और उन्हें अपने भविष्य को नई ऊंचाइयों पर ले जाने को लेकर और आश्वस्त करने में मदद मिलेगी।

मित्रों, भविष्य सतत विकास के बारे में है। मानवीय आवश्यकताएं और आकांक्षाएं हमारे प्राकृतिक परिवेश के प्रतिकूल नहीं हो सकती हैं। यही कारण है कि हम मानव सशक्तिकरण और पर्यावरण की देखभाल दोनों में विश्वास करते हैं। इस दर्शन के आधार पर, भारत ने अंतर्राष्ट्रीय सौर गठबंधन जैसे नए संस्थानों को विकसित करने का प्रयास किया है। सूर्य की किरणों को मानवीय प्रगति की यात्रा को उज्ज्वल करने दें। हम आपदा अनुकूल बुनियादी ढांचे के लिए एक मजबूत गठबंधन पर भी काम कर रहे हैं। दोनों पहलें द्वीप देशों के लिए विशेष रूप से प्रासंगिक हैं। जिस तरह से वैश्विक समुदाय ने इन प्रयासों का समर्थन किया है, वह प्रशंसनीय है।

मित्रों, जिन मूल्यों के बारे में मैंने अभी बात की वो सब मॉरीशस के साथ हमारी विशेष साझेदारी में निहित है। मॉरीशस के साथ हम न केवल हिंद महासागर से जुड़े हुए हैं बल्कि हमारे बीच रिश्तेदारी, संस्कृति और भाषा की एक साझी विरासत भी है। हमारी दोस्ती अतीत से ताकत लेती है और भविष्य की ओर देखती है। भारत मॉरीशस के लोगों की उपलब्धियों पर गर्व करता है। पवित्र आप्रवासी घाट लेकर इस आधुनिक भवन के निर्माण तक मॉरिशस ने अपनी कड़ी मेहनत और नवाचार के माध्यम से अपनी सफलता का इतिहास रचा है। मॉरीशस की भावना प्रेरणादायक है। हमारी साझेदारी आने वाले वर्षों में और भी ऊंची उड़ान भरेगी।

विव लामिते एंत्र लांद ए मोरीस

भारत और मारीशस मैत्री अमर रहे।

आपका बहुत बहुत धन्यवाद।

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Prime Minister Shri Narendra Modi paid homage today to Mahatma Gandhi at his statue in the historic Promenade Gardens in Georgetown, Guyana. He recalled Bapu’s eternal values of peace and non-violence which continue to guide humanity. The statue was installed in commemoration of Gandhiji’s 100th birth anniversary in 1969.

Prime Minister also paid floral tribute at the Arya Samaj monument located close by. This monument was unveiled in 2011 in commemoration of 100 years of the Arya Samaj movement in Guyana.