Quoteजीएसटी कोई अलग से लगाया गया टैक्स नहीं है, बल्कि पहले जो आप सभी सामान पर या सेवाओं पर दर्जनों टैक्स देते थे, उनको समेटकर कम कर दिया गया है, आजादी के इतने दशकों के बाद गरीबी के कारण बढ़ी असमानता को स्वीकार किया गया है: प्रधानमंत्री मोदी
Quoteगरीबों के दुश्मन सोशल मीडिया से लेकर बड़े मंचों पर अब झूठ फैलाने के काम में जुट गए हैं, समाज में बंटवारे से जिनका स्वार्थ सिद्ध होता है, उनकी हर चाल को हमें असफल करना है: पीएम मोदी
Quoteआजादी के इतने दशकों के बाद गरीबी के कारण बढ़ी असमानता को स्वीकार किया गया है, सामान्य श्रेणी के गरीब परिवारों को 10% का आरक्षण मिले, इस तरफ एक महत्वपूर्ण बड़ा कदम उठाया गया: प्रधानमंत्री

भारत माता की जय,

भारत माता की जय,

भारत माता की जय

मंच पर विराजमान उत्‍तर प्रदेश के राज्‍यपाल श्रीमान रामनाइक जी, यहां के लोकप्रिय और यशस्‍वी ऊर्जावान मुख्‍यमंत्री श्रीमान आदित्‍य योगीराज जी, उपमुख्‍यमंत्री डॉ. दिनेश शर्मा जी, संसद प्रोफेसर रामशंकर कठरिया जी, भारतीय जनता पार्टी के प्रदेश अध्‍यक्ष और संसद में मेरे साथी डॉ. महेंद्र पांडे जी, चौधरी बाबूलाल जी, श्री अनिल जैन। मंच पर उपस्थित अन्‍य सभी महानुभव और आगरा के मेरे प्‍यारे भाईयो और बहनों।

नए साल में उत्‍तर प्रदेश का ये मेरा पहला कार्यक्रम है। आप सभी को पूरे उत्‍तर प्रदेश के लोगों को 2019 की बहुत-बहुत शुभकामनाएं। नए भारत के निर्माण के वाहक आप सभी जनों को मैं नमन करता हूं।

साथियों, आगरा में आप सभी के बीच आना ये मेरा सौभाग्‍य है और मैंने जब-जब भी यहां आपसे समर्थन मांगा है पूरे उत्‍तर प्रदेश ने पूरे भारत ने भरपूर आशीर्वाद दिया है। आपके सपनों और आपकी उम्‍मीदों पर खरा उतरने का एक ईमानदार प्रयास मैं निरंतर करता रहा हूं और आपके आशीर्वाद बने रहे कि मैं इस ईमानदारी के रास्‍ते पर समर्पण भाव से आपकी और देशवासियों की सेवा करता रहूं।

आप सभी के विश्‍वास और सहयोग का परिणाम है कि सबका साथ सबका विकास का हमारा मिशन एक नए पढ़ाव पर पहुंच रहा है। थोड़ी देर पहले यहां आगरा के विकास से जुड़ी जिन साढ़े तीन हजार करोड़ रुपये की परियोजनाओं का लोकार्पण और शिलान्‍यास किया गया है। वो इसी दिशा में एक अहम कदम है।

ये परियोजनाएं मुख्‍यत: पानी से जुड़ी हैं, शिक्षा और स्‍वास्‍थ्‍य से जुड़ी हैं, सीवर से जुड़ी है, connectivity यानी आगरा को स्‍मार्ट सिटी बनाने से जुड़ी है। इन सभी परियोजनाओं के लिए मैं आप सभी नागरिक, भाईयो-बहनों को बहुत-बहुत बधाई देता हूं।

जापान द्वारा इसमें जो सहयोग किया गया है उसके लिए मैं जापान का भी ह्दय से धन्‍यवाद करता हूं।

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भाईयो और बहनों, आज आप सभी इस बात से प्रसन्‍न होंगे कि बरसों पुरानी एक मांग आज पूरी हुई है। पूरे आगरा जनपद से लेकर मथुरा तक पानी की गंभीर समस्‍या रही है। जो जमीन का पानी है वो ज्‍यादातर खारा है। जिसके कारण वो पीने के योग्‍य नहीं रहा है। जिस यमुना जी की धारा ने यहां जीवन की संभावनाएं बनाई समय के साथ उसी जीवनदायिनी का जल इतना दूषित हो गया, वो पीने लायक नहीं रहा। यही कारण है कि अपर गंगा नहर से आगरा की प्‍यास बुझाने की योजना बनाई गई है। आज करीब 3 हजार करोड़ रुपये की आगरा जलसंपत्ति पूर्ति गंगा जल परियोजना का आप सभी के लिए समर्पित है। इससे पूरे क्षेत्र के लाखों परिवारों को पीने का स्‍वच्‍छ पानी मिलने वाला है। मैं आपको ये भी जानकारी देना चाहता हूं कि नमामी गंगे मिशन के तहत यमुना जी की सफाई भी हमारी प्राथमिकता है।

भाइयो और बहनों, आगरा की पानी की समस्‍याओं को दूर करने के साथ-साथ शहर के सीवेज सिस्‍टम को आधुनिक बनाने के लिए अनेक प्रोजेक्‍ट पर काम किया जा रहा है। और भाईयो बहनों, अब गंगाजल पीने का आपको सौभाग्‍य मिला है, लेकिन जब पीने का शुद्ध पानी मिलता है तो सिर्फ पानी मिलता है ऐसा नहीं है, पानी की कठिनाई दूर होती है ऐसा नहीं है। उसका सबसे बड़ा प्रभाव आरोग्‍य पर होता है। खास करके गरीब जिंदगी जीने वालों के लिए ये सबसे ज्‍यादा लाभदायक होता है। एक प्रकार से आगरा में गंगा जल का पानी पीने को मिले ये आगरा के उत्‍तम स्‍वास्‍थ्‍य की एक जड़ी-बूटी के रूप में आप सबके घर-घर में पहुँच रहा है। उसी प्रकार से पीने का शुद्ध जल आगरा आने वाले टूरिस्‍टों के लिए भी एक बहुत बड़ा आकर्षण का केंद्र बन सकता है, कारण बन सकता है। यात्री विदेशों से आने वाला जब वो देखेगा कि गंगा जल का शुद्ध पानी उसे मिल रहा है तो आगरा में और समय बिताने का उसका मन कर जाएगा और इसलिए ये सिर्फ एक इंजीनि‍यरिंग वर्क के रूप में न देखा जाए कि इतने लंबी दूरी से किलोमीटरों से किलोमीटर पाइन लाइन डालकर पीने का पानी लाया गया। एक प्रकार से पानी नहीं ये आगरा के जीवन की अमृतधारा है जो आगरा के जीवन को एक नई शक्ति देने वाली है।

भाइयो-बहनों पूरे देश में एक अमृत मिशन चल रहा है। उस अमृत मिशन के तहत शहर के पश्चिमी भाग में सीवेज नेटवर्क परियोजना का शिलान्‍यास भी आज हुआ है। इसके तहत जो सीवर लाइन बिछाई जाएगी उससे करीब 50 हजार घर जुड़ेंगें।

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साथियों, आगरा देश के उन शहरों में है जहां स्‍मार्ट सुविधाएं विकसित हो रही है, इसी क्रम में आज आगरा के नए कमांड एंड कंट्रोल सेंटर का काम शुरू किया गया है। लगभग 300 करोड़ रुपयों की लागत से बनने वाले इस सेंटर से पूरे शहर की व्‍यवस्‍थाओं की मॉनिटरिंग होगी। पूरे शहर ही निगरानी यहीं पर बैठकर 12 सौ से अधिक सीसीटीवी कैमरों से होगी। शहर के चप्‍पे-चप्‍पे में क्‍या चल रहा है। किसी को ट्रैफिक में परेशानी तो नहीं हो रही। कहीं कूड़े-कचरे के ढेर तो पड़े नहीं है। जिसका सफाई का काम है वो समय पर आए हैं कि नहीं आए हैं। ये सारी बातें सीसीटीवी कैमरा के माध्‍यम से चप्‍पे-चप्‍पे का ख्‍याल एक जगह से रखा जाएगा। और भाईयो-बहनों आगरा के लिए सीसीटीवी कैमरा एक ऐसी सुविधा है जो सुरक्षा की गांरटी भी लाती है। और विदेश के टूरिस्‍टों को, देश के टूरिस्‍टों को ये जब सुरक्षा का अहसास होता है। सीसीटीवी कैमरा की निगरानी का उसको पता चलता है तो हमारा टूरिस्‍ट आश्‍वस्‍त हो जाता है। और आगरा दुनियाभर के लोगों के टूरिस्‍टों के लिए एक आकर्षण का केंद्र है और हम चाहते हैं कि आगरा के टूरिज्‍म पिछले 70 साल के सारे रिकॉर्ड तोड़ने वाला हो जाए ताकि आगरा की इकोनॉमी को एक नया बल मिले। ये पानी और ये सीसीटीवी कैमरा, ये सीवेज ट्रीटमेंट, ये स्‍मार्ट सिटी की पहल ये टूरिज्‍म के लिए एक बहुत बड़ी सौगात है भाइयों इतना ही नहीं आगरा की connectivity को बेहतर करने के लिए आज रेल सेतु का लोकार्पण और हेलीपोर्ट का शिलान्‍यास भी किया गया है।

साथियों, आगरा जब स्‍मार्ट सिटी के रूप में प्रस्‍थापित हो जाएगा, स्‍वच्‍छ होगा, पीने का शुद्ध पानी की बात हो, सीसीटीवी कैमरा हो यहां आने वाले पर्यटकों के लिए भी एक बहुत बड़ी प्रेरणा, ताकत, संतोष का माहौल बनाएगी। ताजमहल जैसी ऐतिहासिक धरोहरों की चमक भी और बढ़ जाएगी। इसका सीधा असर टूरिज्‍म इंडस्‍ट्री पर पड़ना भी तय है।

भाइयो-बहनों, कोई भी देश या शहर तब तक स्‍मार्ट नहीं हो सकता जब तक वो स्‍वस्‍थ नहीं होता है। इसे ध्‍यान में रखते हुए, केंद्र की भाजपा सरकार द्वारा देश भर में सस्‍ता और प्रभावी इलाकों को सुनिश्चित किया ही जा रहा है। स्‍वास्‍थ्‍य से जुड़े infrastructure भी अभूतपूर्व विकास हो रहा है।

प्रधानमंत्री स्‍वास्‍थ्‍य सुरक्षा योजना के तहत अब आगरा के एसएन मेडिकल कॉलेज का विस्‍तार किया जा रहा है। यहां ढाई सौ अधिक नए बेड जुड़ेंगे और सुपर स्‍पेशिलिटी की सुविधा भी बढ़ेगी। इसके अलावा महिला अस्‍पताल में सौ बेड के मे‍टरनि‍टी व्‍हींग और दो सामुदायिक केंद्रों का भी लोकार्पण करने का मुझे अवसर मिला है।

साथियों, आने वाले समय में देश में अस्‍पतालों का एक बड़ा नेटवर्क तैयार होने वाला है। इससे छोटे शहरों और कस्‍बों में स्‍वास्‍थ्‍य सुविधाओं का विस्‍तार तो होगा ही, नौजवानों को रोजगार के लिए नए अवसर भी मिलेंगे। इसकी एक बड़ी वजह से आयुष्‍मान भारत योजना है। कुछ लोग इसे मोदी केयर भी कहते हैं। इसकी सफलता का अंदाज आप इसी बात से लगा सकते हैं कि अब हर दिन करीब-करीब दस हजार गरीब इस योजना के तहत इलाज करवा रहे हैं। और ये वो लोग हैं जो 4-4, 5-5 साल से बिमारियों से जूझ रहे थे। गंभीर मुसीबतों का सामना कर रहे थे। पैसों के अभाव में मृत्‍यु का इंतजार करते थे और पीड़ा सहन करते थे।

भाइयो-बहनों, गरीब जाए तो कहां जाए आखिरकर आयुष्‍मान भारत योजना ने इतनी तेजी से इस पीडि़त लोगों की मदद की है। और घर में एक व्‍यक्ति बीमार होता है, गंभीर बीमारी में होता है तो सिर्फ एक व्‍यक्ति नहीं पूरा परिवार बीमार हो जाता है। बच्‍चों की पढ़ाई खाने में चली जाती है, घर के सारे काम बेकार हो जाते हैं। इन सबको बचाने का काम आयुष्‍मान भारत योजना जिसे लोग मोदी केयर कहते हैं उसने किया है और अभी तो सौ दिन के अंदर-अंदर ज्‍यादा समय नहीं हुआ है। सौ दिन के भीतर ही 7 लाख गरीब भाईयों-बहनों, बच्‍चों का इलाज या तो हो चुका है अस्‍पताल में already उनकी treatment चल रही है।

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भाइयो और बहनों, भाजपा की सरकार विकास की पंचधारा यानी बच्‍चों को पढ़ाई, युवा को कमाई, बुजुर्गों को दवाई, किसानों को सिंचाई और जन-जन की सुनवाई इसके लिए प्रतिबद्ध है।

अगर कमाई की बात करें तो आगरा सहित यूपी का करीब-करीब हर जिला अपने मध्‍यम और लघु उद्योगों के लिए जाना जाता है। आगरा का पेठा, ये तो यहां की पहचान ही है अनेक और पारं‍परिक काम भी हमारे आगरा में होते हैं। केंद्र और यूपी सरकार इन छोटे उद्योगों को और शक्ति देने में जुटी है। यूपी सरकार की एक जनपद, एक उत्‍पाद ये योजना यहां के छोटे-छोटे और पारंपरिक उद्योगों को बढ़ावा देने के लिए मील का पत्‍थर सिद्ध होने वाली है। इसके साथ-साथ Make in India के हमारे अभियान को भी इससे शक्ति मिल रही है।

साथियों, छोटे, मझोले और लघु उद्योगों को सशक्‍त करने के लिए हमारी सरकार निरंतर कदम उठा रही है। छोटे उद्यमियों को बैंकों से कर्ज लेने में दिक्‍कत न आए इसके लिए ऑनलाइन ऋण की एक आधुनिक व्‍यवस्‍था बनाई गई है। और आप जानकरके हैरान हो जाएंगे। उत्‍तर प्रदेश के लोग उसका लाभ ले रहे हैं, आगरा के लोग लाभ ले रहे हैं। सिर्फ उन 59 मिनट में, एक घंटा भी नहीं सिर्फ 59 मिनट में ही 1 करोड़ रुपये तक के लोन की सैद्धातिंक मंजूरी देने की टेक्‍नोलॉजी व्‍यवस्‍था खड़ी कर दी गई है।

इसके अलावा सरकार द्वारा ये भी कोशिश की जा रही है। कि बड़े उद्योगों या कंपनियों में छोटे उद्यमियों का पैसा न फंसे, कैश फ्लो बना रहे। जो बाहर सामान निर्यात करते हैं, वो जो लोन लेते हैं उनको ब्‍याज में 2 प्रतिशत की और छूट दी गई है। इसी तरह पर्यावरण क्‍लीयरेंस से लेकर इंस्‍पेक्‍शन तक के नियमों को बहुत सरल किया गया है। इन तमाम प्रयासों से छोटे और मझले उद्योगों को आने वाले समय में और गति मिलेगी और आगरा और आस-पास के युवाओं को रोजगार के नए अवसर भी मिलेंगे।

व्‍यापार और कारोबार तब फलता-फूलता है जब नियम कायदे आसान होते हैं। जो व्‍यापारी को भी समझ आए और ग्राहक को भी समझ आए। व्‍यापारी और ग्राहक के रिश्‍ते और उनके आपसी विश्‍वास और भरोसे को ही मजबूत करने की व्‍यवस्‍था की ये जीएसटी है। अभी इस नई व्‍यवस्‍था को सिर्फ डेढ़ वर्ष हुआ है। और लगातार जनसुनवाई, लोगों की शिकायतें सुनते-सुनते उसमें बदल होते रहे हैं सुधार होते रहे हैं। और एक सामान्‍य व्‍यवस्‍था की दिशा में इतना बड़ा देश, इतना बड़ा काम दुनिया के लोगों को भी अचरज कर रहा है।

भाइयो और बहनों, कुछ लोग भ्रम फैला रहे हैं और इसलिए एक बात हम समझे कि पहले जितने कर लिखते थे उसके ऊपर एक जीएसटी नाम का नया कर आ गया ये झूठ है, ये भ्रम है, जीएसटी ये कोई नया कर नहीं है। पहले जो कर लगते थे 25 प्रतिशत, 30 प्रतिशत, 18 प्रतिशत, 20 प्रतिशत, 22 प्रतिशत और वो छुपे हुए रहते थे, पता ही नहीं चलता था और हम देते रहते थे उन सबको खत्‍म कर दिया गया है और जो 40 प्रतिशत था, 25 प्रतिशत था, 30 प्रतिशत था, 35 प्रतिशत था, 28 प्रतिशत था उन सबको कम करते हुए 99 प्रतिशत चीजों को 18 प्रतिशत से नीचे ला दिया गया है। कोई 18 में है, कोई 12 में है, कोई 5 में है कोई जीरो में है और इसका लाभ जो ग्राहक जागरूक है वो इसका पूरा-पूरा फायदा उठा रहा है। और इसलिए भाइयो-बहनों जीएसटी को व्‍यापारियों और उपभोक्‍ताओं के लिए और सरल करने की प्रक्रिया निरंतर चल रही है।

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जनभागीदारी से चलने वाली ये सरकार आप सभी से मिल रहे सुझावों पर अमल कर रही है। और इसलिए हमने अब जीएसटी कांउसिल से आग्रह किया है कि जीएसटी के दायरे में आने वाले उद्ययमों की आय सीमा को, ये मैंने बहुत आग्रह किया है, निर्णय मेरे हाथ में नहीं है, निर्णय जीएसटी कांउसिल के हाथ में है। जीएसटी कांउसिल में सभी राजनीतिक दल सरकारे हैं, सभी राज्‍य सरकारे हैं। और उन सबने मिलकर के निर्णय करना है। लेकिन मैंने उनसे आग्रह किया है। कि जीएस्‍टी के दायरे में आने वाले उद्यमों की आय सीमा को 20 लाख से बढ़ाकर 75 लाख तक किया जाए।

इसके अलावा मध्‍यम वर्ग के लिए घर बनते हैं उनको भी सिर्फ और सिर्फ 5 प्रतिशत के दायरे में लाया जाए। ये दोनों बातें जीएसटी कांउसिल को मैंने आग्रह से कही है। पिछली बार भी कही थी लेकिन पिछली बार कुछ राज्‍यों ने विरोध किया, सहमति नहीं बन पाई। मैं आशा करता हूं कि आने वाले दिनों में जब जीएसटी कांउसिल मिलेगी तो जनता जर्नादन की इस बात का भी वो ध्‍यान रखेगी।

साथियों, सबका साथ सबका विकास ये सिर्फ एक नारा नहीं है बल्कि ये सुशासन की आत्‍मा है। देश का कोई वर्ग, कोई व्‍यक्ति, कोई क्षेत्र अवसरों से वंचित न रहे यही प्रयास हमारी सरकार कर रही है।

भाइयो-बहनों कल पूरे देश ने देखा है कि किस प्रकार लोकसभा में एक ऐतिहासिक बिल पास किया गया है।

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आजादी के इतने दशकों के बाद गरीबी के कारण बड़ी असमानता को स्‍वीकार करते हुए उसका समाधान खोजने का एक प्रयास किया गया है। सामान्‍य श्रेणी के जनरल केटेगरी के गरीब परिवारों को, शैक्षणिक संस्‍थानों और सरकारी सेवाओं में आरक्षण मिले इस तरफ एक महत्‍वपूर्ण बड़ा कदम उठाया गया है।

और मजा ये है क्‍योंकि मुझे मालूम है कि पहले भी नारेबाजी बहुत हुई, चुनावों के समय घोषनाएं भी बहुत हुई। और तब मैं सबको खुलकर के कहता था। चुनाव में लाभ हो कि न हो इसकी परवाह नहीं करता था। मैं बता देता था कि देखिए 50 प्रतिशत के बाहर अगर कोई वायदा करता है तो सब बेईमानी करते हैं ऐसा मैं कहता था। क्‍योंकि 50 प्रतिशत के ऊपर जाना है तो संविधान संशोधन के बिना नहीं जा सकते, अगर उसके सिवाय किसी ने वायदे किए थे तो कोई दलितों को जो मिला है उसमें से चोरी करना चाहता था। कोई आदिवासियों को जो मिला है उसमें से चोरी करना चाहता था, कोई ओबीसी को मिला है उसमें से चोरी करना चाहता था। और उसमें से निकाल-निकाल करके उसी की झोली भरना चाहता था। ताकि उनकी वोट बैंक की झोली भर जाए। और इसलिए हमनें कहा था कि पहले संविधान संशोधन इसके लिए आवश्‍यक होगा।

और आज मुझे खुशी है जो बात कभी मुख्‍यमंत्री के नाते बोला करता था आज प्रधानमंत्री के नाते मैंने उस बात का पालन किया। संविधान संशोधन की दिशा में आगे बढ़े और दलितों से कुछ भी चोरी किए बिना, आदिवासियों के हक को छीने बिना, ओबीसी के हक में से कोई भी कमी किए बिना, अतिरिक्‍त संविधान संशोधन करके मैंने मेरे देश के सवर्णों में उच्‍च वर्ग के लोगों के भी, गरीब बच्‍चों की चिंता करने का काम किया है।

कुछ लोग ये कहते हैं कि मोदी जी ये चुनाव के समय क्‍यों लाए, मुझे बताइए ऐसे कोई छह महीने हमारे देश में जाते हैं क्‍या जब कहीं न कहीं चुनाव न हो, अगर तीन महीने पहले लाता तो आप कहते मध्‍यप्रदेश, छत्‍तीसगढ़, राजस्‍थान इलाके चुनाव के लिए लाए हो, उसके पहले लाता तो आप कहते कि कर्नाटक के चुनाव के लिए लाया हूं। यानी हिंदुस्‍तान में चुनाव साल में दो-दो बार चलते रहते हैं, कहीं न कहीं चुनाव चलते रहते और इसीलिए मैं कहता रहता हूं कि लोकसभा और विधानसभा के चुनाव देश में एक साथ हो जाएं। पांच साल में एक बार ही चुनाव, ऐसा होना चाहिए कि नहीं होना चाहिए। ये खर्चा बंद होना चाहिए कि नहीं होना चाहिए। ये दिन-रात इसी में लगे रहना बंद होना है कि नहीं होना है। सरकार पांचा साल पूरा काम करना चाहिए कि नहीं करना चाहिए। वो बार-बार चुनाव में लगे रहे। पुलिस के लोग कानून व्‍यवस्‍था देखेंगे कि चुनाव की डिब्‍बे संभालेंगें। यही चलता रहता है। लेकिन ये नेताओं को देश की चिंता नहीं है। उनकों तो, जो एक-दूसरे का मुंह देखने को तैयार नहीं थे।

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चौकीदार को दूर से ही देखकर के ऐसे घबरा जाते हैं, ऐसे घबरा जाते हैं उनको लगता है हमारा जो होगा- होगा, हिसाब-किताब बाद में देख लेंगे पहले ये चौकीदार को निकालो। अरे चौकीदार गया तो सब लूट-मारकरके जिंदगी गुजारा कर लेंगे लेकिन चौकीदार है तब तक जीना मुश्किल करके जाएगा। आप मुझे बताइए ये चौकीदार को अपना काम करना चाहिए कि नहीं करना चाहिए, ये चौकीदार को किसी से डरना चाहिए क्‍या? ये चौकीदार पे आपका आशीर्वाद है क्‍या? ये चौकीदार को ईमानदारी से अपना काम करना चाहिए कि नहीं करना चाहिए। देश का लूटा हुआ धन वापिस आना चाहिए कि नहीं आना चाहिए। गरीब को हक मिलना चाहिए कि नहीं मिलना चाहिए। हर चौकीदार मैं हर देश को एक-एक चौकीदार के रूप में खड़ा करने पर लगा हुआ हूं।

भाइयो-बहनों सवर्ण समाज के गरीबों के आरक्षण के लिए जो काम हुआ है, संसद ने बहुत बड़ा काम किया है। देश के हर नागरिक का, संसद के सभी साथियों का समता और समरसता की भावना को मजबूत करने के लिए जो-जो भी आगे आए हैं उन सबका मैं आभार व्‍यक्‍त करता हूं।

साथियों, इस कदम से देश के लाखों युवा साथियों को अवसर मिलेगा जो अभावों के कारण, गरीबी के कारण पीछे रह जाते थे। गरीबी किसी के विकास में किसी के जीवन स्‍तर को ऊपर उठाने में अड़चन न बने इसके लिए ऐतिहासिक पहल की गई है।

भाइयो और बहनों सिर्फ नियुक्तियों में ही आरक्षण की व्‍यवस्‍था नहीं बल्कि देश में उच्‍च शिक्षा, टेक्‍नीकल और व्‍यवसायिक शिक्षा के संस्‍थानों में हमने एक महत्‍वपूर्ण काम किया है। जैसे हमने ये सवर्ण समाज के गरीब लोगों के लिए आरक्षण किया तो साथ-साथ ये भी निर्णय लिया है कि जो उच्‍च शिक्षा की सीटें हैं उसमें 10 प्रतिशत की वृद्धि कर दी जाएगी। हम ऐसा कोई काम नहीं करना चाहते जिससे किसी का हक छीना जाए।

साथियों, इस प्रकार की व्‍यवस्‍था को लेकर हम आगे बढ़ रहे हैं। आर्थिक स्थिति के आधार पर जो हमारे समाज में जो एक खाईं बनी है। उसके आधार पर वर्षों से इस पर मांग चल रही है। इस मांग को पूरा करने का काम भारतीय जनता पार्टी की सरकार ने किया है। लेकिन मैं ये भी कहूंगा कि हमें अब उन ताकतों से भी सावधान रहना है। जो अपने स्‍वार्थ के लिए अफवाहों का बाजार गर्म करने में जुट गई है। गरी‍बों के दुश्‍मन ऐसे लोग सोशल मीडिया से लेकर के बड़े-बड़े मंच पर अब झूठ फैलाने, भ्रम फैलाने के काम में जुट गए है। समाज में बंटवारे से जिनका स्‍वार्थ सिद्ध होता है उनकी हर चाल, हर साजिश को हमें पूरी तरह परास्‍त करना है।

साथियों, सरकार ने एक और महत्‍वपूर्ण कदम उठाया है। नागरिकता से जुड़े संविधान में संशोधन का, ये देश के उस संकल्‍प का हिस्‍सा है जिसके मुताबिक हम उन सभी लोगों के साथ खड़ें रहेंगें। जो कभी भारत-भूमि का ही हिस्‍सा थे। बंटवारे के समय और उसके बाद अलग-अलग परिस्थितियों के चलते जो हमसे अलग हुए उनका अगर आस्‍था के आधार पर शोषण होता है तो भारत का उसके साथ खड़ा होना जरूरी है। मुझे विश्‍वास है कि विपक्ष के जो साथी इस कदम का विरोध कर रहे हैं। वो भी इस भावना को समझेंगे।

साथियों, भ्रष्‍टाचार के खिलाफ आपने साढ़े चार साल पहले मुझे जो आदेश दिया था उस पर भी मैं पूरी क्षमता से खरा उतरने का प्रयास कर रहा हूँ। इस कारण कैसे इस चौकीदार के खिलाफ कुछ लोग इकट्ठा होना शुरू हो गये हैं। ओर ये भी स्‍पष्‍ट दिख रहा है कि उत्‍तर प्रदेश में तो आप ये भी देख रहे हैं कि बालू, मोरन लेकर शोषितों, वंचितों का अधिकार तक जो खा गए। ऐसे लोगों ने भ्रष्‍टाचार में साझेदारी का अभियान शुरू किया है। एक-दूसरे के घोटाले और घपलों को छिपाने के लिए वो हाथ मिला रहे हैं। जो कभी एक-दूसरे से आँख मिलाने के लिए तैयार नहीं थे।

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भाइयों और बहनों राजनीतिक स्‍वार्थ के लिए लखनऊ के गेस्‍ट हाऊस का शर्मनाम वो कांड उसे भी भूला दिया गया। मुज़फ्फ़रनगर समेत पश्चिमी यूपी के अनेक हिस्‍सों में क्‍या हुआ था इसको भी भुलाने की कोशिश की जा रही है। ये सब कुछ सिर्फ और सिर्फ इसलिए हो रहा है, क्‍योंकि चौकीदार जागता है। चौकीदार सामने खड़ा हुआ है। पूरी ईमानदारी के साथ खड़ा हुआ है। चौकीदार को हटाने के एकमात्र अभियान के लिए हर टुकड़े हर तिनके को जोड़ रहे हैं। जब जांच एंजेसियां इनके कर्मों का हिसाब मांग रही हैं तो ये चौकीदार के विरुद्ध ही साजिश रच रहे हैं।

भाईयो और बहनों, 2-3 दिन पहले आपने पार्लियामेंट में देखा होगा। हमें गर्व है हमारे देश की एक बेटी जो पहली बार देश की रक्षा मंत्री बनी है। और पहली बार एक नारी सवा सौ करोड़ देशवासियों की रक्षा की बागडोर संभाल रही है। ये नारी गौरव का विषय है। नारी अभिमान का विषय है। और जब हमारी रक्षा मंत्री एक महिला ने पार्लियामेंट में विरोधी दल के नेताओं के छक्‍के छुड़ा दिए। उनके सारे झूठ को बेनकाब कर दिया, आपने देखा उनकी आंखे फटी की फटी रह गई थी। और हमारी रक्षा मंत्री एक के बाद एक सत्‍य को पार्लियामेंट के सदन पर रख रही थी। ऐसे बौखला गए, ऐसे बौखला गए कि वो एक नारी का अपमान करने पर तुले हुए हैं। एक महिला रक्षा मंत्री का अपमान करने पर तुले हैं। ये रक्षा मंत्री का नहीं ये पूरे हिन्‍दुस्‍तान की नारी शक्ति का अपमान है और जिसकी कीमत ये गैर जिम्‍मेवार नेताओं को चुकानी पड़ेगी।

भाइयो और बहनों, ये जितने मर्जी प्रयास कर लें लेकिन जांच एंजेसियां तो अपना काम करेगी, इन लोगों से हिसाब मांगेगी। साथियों, चौकीदार अगर इन सभी को आज इस स्थिति पर लाने में सफल हुआ है तो ये कैसे हुआ, ये मोदी के कारण नहीं हुआ है। ये आपके आशीर्वाद के कारण हुआ है। 130 करोड़ भारतवासियों के विश्‍वास के कारण हुआ है। आपके इस विश्‍वास पर खरा उतरने का निरंतर मैं प्रयास कर रहा हूं।

भाइयो और बहनों, अब मिशेल मामा की कथा तो याद हो गई न आपको, हेलिकॉप्‍टर अब वो राजदार हिन्‍दुस्‍तान के कब्‍जें में आ गया है और इसलिए इनका पसीना छूटा हुआ है। ये राजदार कुछ बोल देगा तो क्‍या होगा। और इसलिए राजदार को पकड़कर जेल से लाए तो कांग्रेस ने अपना एक वकील तुरंत उसकी रक्षा करने के लिए भेज दिया।

भाइयो और बहनों, ये क्‍या दिखाता है अगर राजदार की मदद में कांग्रेस का वकील पहुंच जाता है, उसको बचाने के लिए पहुंच जाता है तो दाल में काला है ये देखने के लिए समय लगेगा क्‍या? समझ आ जाएगा न! परदे के पीछे खेल क्‍या है पता चल जाएगा न!

भाइयो और बहनों, अब चौकीदार से उनकी परेशानी बढ़ रही है, उनको लगता था ये मोदी कुछ भी कहे लेकिन ये भी सब राजनेताओं की तरह समय रहते ऐसे ही जो जाएगा। लेकिन जब चार साल हो गए लेकिन मोदी तो वैसा का वैसा खड़ा रहा तो उनको लग रहा है ये चौकीदार, ये चौकीदार बचने नहीं देगा। और इसलिए परेशान हैं। एक बार फिर आप सभी को विकास की इन परियोजनाओं के लिए मैं बहुत-बहुत बधाई देता हूं। और आप इतनी बड़ी संख्‍या में आशीर्वाद देने के लिए आए, इसके लिए भी मैं आपका आभार व्‍यक्‍त करता हूं। मेरे साथ बोलिए ....

भारत माता की जय...

भारत माता की जय...

भारत माता की जय...

आप सबको मकर संक्राति की एंडवास में बहुत-बहुत शुभकामनाएं।

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PM chairs 46th PRAGATI Interaction
April 30, 2025
QuotePM reviews eight significant projects worth over Rs 90,000 crore
QuotePM directs that all Ministries and Departments should ensure that identification of beneficiaries is done strictly through biometrics-based Aadhaar authentication or verification
QuoteRing Road should be integrated as a key component of broader urban planning efforts that aligns with city’s growth trajectory: PM
QuotePM reviews Jal Marg Vikas Project and directs that efforts should be made to establish a strong community connect along the stretches for boosting cruise tourism
QuotePM reiterates the importance of leveraging tools such as PM Gati Shakti and other integrated platforms to enable holistic and forward-looking planning

Prime Minister Shri Narendra Modi earlier today chaired a meeting of the 46th edition of PRAGATI, an ICT-based multi-modal platform for Pro-Active Governance and Timely Implementation, involving Centre and State governments.

In the meeting, eight significant projects were reviewed, which included three Road Projects, two projects each of Railways and Port, Shipping & Waterways. The combined cost of these projects, spread across different States/UTs, is around Rs 90,000 crore.

While reviewing grievance redressal related to Pradhan Mantri Matru Vandana Yojana (PMMVY), Prime Minister directed that all Ministries and Departments should ensure that the identification of beneficiaries is done strictly through biometrics-based Aadhaar authentication or verification. Prime Minister also directed to explore the potential for integrating additional programmes into the Pradhan Mantri Matru Vandana Yojana, specifically those aimed at promoting child care, improving health and hygiene practices, ensuring cleanliness, and addressing other related aspects that contribute to the overall well-being of the mother and newly born child.

During the review of infrastructure project concerning the development of a Ring Road, Prime Minister emphasized that the development of Ring Road should be integrated as a key component of broader urban planning efforts. The development must be approached holistically, ensuring that it aligns with and supports the city’s growth trajectory over the next 25 to 30 years. Prime Minister also directed that various planning models be studied, with particular focus on those that promote self-sustainability, especially in the context of long-term viability and efficient management of the Ring Road. He also urged to explore the possibility of integrating a Circular Rail Network within the city's transport infrastructure as a complementary and sustainable alternative for public transportation.

During the review of the Jal Marg Vikas Project, Prime Minister said that efforts should be made to establish a strong community connect along the stretches for boosting cruise tourism. It will foster a vibrant local ecosystem by creating opportunities for business development, particularly for artisans and entrepreneurs associated with the 'One District One Product' (ODOP) initiative and other local crafts. The approach is intended to not only enhance community engagement but also stimulate economic activity and livelihood generation in the regions adjoining the waterway. Prime Minister stressed that such inland waterways should be drivers for tourism also.

During the interaction, Prime Minister reiterated the importance of leveraging tools such as PM GatiShakti and other integrated platforms to enable holistic and forward-looking planning. He emphasized that the use of such tools is crucial for achieving synergy across sectors and ensuring efficient infrastructure development.

Prime Minister further directed all stakeholders to ensure that their respective databases are regularly updated and accurately maintained, as reliable and current data is essential for informed decision-making and effective planning.

Up to the 46th edition of PRAGATI meetings, 370 projects having a total cost of around Rs 20 lakh crore have been reviewed.