अहमदाबाद

दि. : २५ दिसंबर, २०११

 ज अटलजी का जन्मदिन है। पिछले कुछ वर्षों से हम २५ दिसंबर से ३१ दिसंबर तक इस ‘कांकरीया कार्निवल’ का आयोजन करते हैं। इस एक कार्यक्रम के ज़रिए, हम इस शहर के प्रति हमारे प्यार की अभिव्यक्ति और शहरी जीवन में जो बदलाव आ रहा है, उसके हम दर्शन कर सकते हैं। जब कभी भी हमारे देश के शहरों पर चर्चा होती थी तो दिल्ली, कोलकाता, मद्रास, बंगलौर, हैदराबाद, मुंबई... केवल इन शहरों के आसपास ही घूमता रहता था। पहले दस में हमारे अहमदाबाद का स्थान नहीं था। आज अहमदाबाद ने पूरे देश में एक नंबर के स्थान पर अपनी जगह बना ली है। मैं इस शहर के नागरिकों को अभिनंदन देता हूं, कॉर्पोरेशन के सारे कर्ताधर्ता मित्रों को अभिनंदन देता हूं कि उन्होंने इस शहर की आन, बान और शान को उत्तरोत्तर बढ़ाया है, वृद्धि की है।

ह ‘कांकरीया कार्निवल’... इस शहर के गरीब बच्चे, झोपडपट्टी में रहने वाले बच्चे, म्युनिसिपैलिटी की प्राथमिक स्कूल में पढ़ रहे बच्चे... जिनमें वही सामर्थ्य है, जो हम में पडा है। ईश्वर ने उन्हें भी वही शक्ति दी है, जो हमको दी है। लेकिन, अपनी प्रतिभा प्रकट करने का उन्हें कभी भी अवसर नहीं मिलता था। चाहे  ‘पतंगोत्सव’ हो या ‘कांकरीया कार्निवल’, हमने इन गरीब परिवार के बच्चों को अवसर दिया है। और, इस शहर के प्रबुद्ध नागरिकों के सामने जब वे अपनी कला की, अपने कौशल्य की अभिव्यक्ति करते हैं तब उन्हें जो एक्सपोज़र मिलता है, उसमें से जो उनका कॉन्फिडन्स लेवल बिल्ट अप होता है, वह इस शहर की शक्ति में बढ़ोतरी करता है और इसके लिए एक अविरत प्रयास यह शहर कर रहा है।

ज इस शहर को कई नए नज़राने प्राप्त हुए हैं, उनका शुभारंभ हुआ है। चाहे वह बच्चों के लिए स्विमिंग पूल हो या जीर्णशीर्ण बलवंतराय हॉल हो या बटरफ़्लाई पार्क जो कि बच्चों को बहुत पसंद आएगा... आज एक और नई चीज़ अहमदाबाद शहर के साथ जोड़ी गई है। म्युरल्स, पत्थरों पर भित्ति चित्रों, जो इस शहर के नक्शे का, इसकी प्रगति की सामाजिक-सांस्कृतिक यात्रा का, इसके विकास के पन्नों का, इस शहर के प्रख्यात लोगों की यादों का चित्रण करेगा... उसी तरह, गुजरात, इसकी विकास यात्रा, महान लोग जिन्हों ने आर्थिक, सामाजिक, शैक्षणिक, सांस्कृतिक और अन्य सभी क्षेत्रों में, राज्य की महत्वपूर्ण घटनाओं में योगदान दिया... ये सब कांकरीया की चारदीवारी के भीतर की ओर उत्कीर्ण करने का अभियान चल रहा है। मित्रों, किसी ने कभी कल्पना भी नहीं की होगी कि कांकरीया तालाब की दीवार का इस तरह एक अद्भुत तरीके से भी इस्तेमाल किया जा सकता है। आज केवल एक छोटे से हिस्से का निर्माण किया गया है, लेकिन जब वह पूरे कांकरीया के चारों ओर पूरा हो जाएगा, उस समय इसकी लंबाई लगभग ३०,००० फुट होगी। इस समय बलुए पत्थर का सबसे लंबा भित्ति चित्र, जो दुनिया में सबसे बड़ा माना जाता है, वह ९,००० फुट का है। यह ३०,००० फुट का होगा। एक बड़े विश्व रिकॉर्ड का श्रेय अहमदाबाद को मिलने वाला है। जिनको इतिहास जानना है, जिनको गुजरात के उतार-चढ़ाव को समझना है, जिनको गुजरात की यादगार घटनाओं की अनुभूति करनी है, उनके लिए यह तराशा हुआ खुला विश्वकोश एक बड़ा ज्ञान का साधन बनने वाला है। मेरी इस शहर के नागरिकों से विनती है, जो इतिहासकार हैं, जो साहित्य से जुड़े हुए हैं, जो कला और संस्कृति से जुड़े हुए हैं, जो विश्लेषक या आलोचक हैं... वे अगले दो-तीन महीनों में कुछ समय निकाल कर विश्लेषणात्मक दृष्टि से हमारे इस नवीन प्रयास को देखें और भित्ति चित्र में रही खामियां दिखाएं या सुझाव दें कि क्या कुछ जोड़ने की जरूरत है या नहीं... और मैं ऐसे विशेषज्ञों को अनुरोध करता हूँ कि इस शहर के भविष्य के लिए, बच्चों के भविष्य के लिए आप अपना एक-दो घंटे का अमूल्य समय हमें दें, यहाँ आएं। मैं सार्वजनिक रूप से सब को निमंत्रण दे रहा हूँ। इसे बारीकी से देखें, हमें सुझाव दें, ताकि हम आपके सुझावों को ३०,००० फुट के शेष काम में समाविष्ट कर सकें। इसे और अधिक प्रदर्शनीय बनाने के लिए मुझे लोक भागीदारी में दिलचस्पी है। पत्थरों पर आपके ज्ञान और अनुभव को उतारने के लिए यह शहर, यह राज्य आपकी मदद मांग रहा है। एक उत्तम प्रकार का काम हम कर रहे हैं। भविष्य में, ऑडियो कमेंट्री के साथ नाव की सवारी से दीवार पर बने विशाल भित्ति चित्र का अध्ययन करके शहर और राज्य की विरासत पर एक क्रैश कोर्स उपलब्ध होगा। पैदल चलने वाले वहाँ पर रखी गई तख्तियों का भी अध्ययन कर सकते हैं और जो ऑडियो कमेंट्री के साथ देखना चाहते हैं, तो वह लाभ भी मिल सकता है। जो लोग अब कांकरीया आते हैं, वे इसके इस प्रकार के एक उत्तम उपयोग का अनुभव कर सकते हैं।

मित्रों, कांकरीया के नवीकरण के बाद, दुनिया से, विदेश से लगभग ९० से अधिक प्रतिनिधिमंडलों ने यहाँ की मुलाकात ली और उन्होनें पुनर्निर्मित कांकरीया का अध्ययन किया है। इस शहर का प्रबुद्ध नागरिक, सुखी-संपन्न नागरिक कभी कांकरीया की ओर देखता भी नहीं था। आज वह अपने मेहमानों के साथ अपनी रोल्स रॉयस गाड़ी में कांकरीया देखने आता है। कांकरीया की एक प्रतिष्ठा स्थापित हुई है। अमीर से अमीर, संपन्न से संपन्न लोगों को भी अब अगर कांकरीया नहीं देखा है तो शर्मनाक लगता है, अब वे कांकरीया आने में गर्व महसूस करते हैं।

स शहर के नागरिकों ने इस कांकरीया को संभाला है। अन्यथा, अव्यवस्था, कचरा फैलना, गंदगी होना, तोडफोड करना... ये सब हमारे देश में बहुत आम है। लेकिन मैं अहमदाबाद के नागरिकों की, राज्य के सभी नागरिकों की और सारे राष्ट्रीय और अंतरराष्ट्रीय पर्यटकों की सराहना करता हूँ जिन्हों ने कांकरीया की मुलाकात ली है। मैं बधाई देना चाहता हूँ कि करोड़ों लोग यहाँ आए, लेकिन एक छोटी सी समस्या भी नहीं हुई है, किसी ने पेड़ का एक पत्ता भी नहीं तोड़ा है, यह एक बहुत बड़ी बात है, मित्रों। हमने इसे संरक्षित रखा है और यह एक ऐसी बात है कि हम दुनिया को हमारी इस शक्ति का परिचय करवा सकते हैं। स्वच्छता बनाए रखी है, कचरे को कहीं भी नहीं फेंका गया है और यदि कोई मुलाकाती किसी छोटी सी चीज़ भी देखता है तो वह खुद उसे उठा कर कूड़ेदान में फेंक देता है। कांकरीया ने इस शहर को एक नई सभ्यता दी है। मुझे विश्वास है कि कांकरीया पूरे शहर में इसी तरह के उच्च मानकों को स्थापित करने के लिए एक प्रेरणा बनेगा।

मित्रों, हमारा ‘किड्स सिटी’... बहुत से लोग यहाँ अध्ययन के लिए आ रहे हैं। बच्चों की आंतरिक शक्ति को विकसित करने का, उनके सपनों को जगाने का, बल्कि सपने बोने का इस से बेहतर अन्य कोई भी साधन नहीं होगा। जब भी एक छोटा बच्चा यहाँ ‘किड्स सिटी' में जाता है और आनन्द विभोर हो कर शाम को जब वह बाहर आता है तो उसके मन में एक नये सपने की बुवाई होती है, उसके मन में कुछ बनने की इच्छा उठती है। वह खुद उस प्रयोग का एक हिस्सा बनने के कारण वह आत्मविश्वास लेकर जाता है कि हाँ, आज मैं यह कर सकता हूँ, कल बड़ा होकर मैं यह बन भी सकता हूँ। ऐसे सपनों को बोने की यह जगह... कोई भी बच्चा ऐसा न हो जिसे यहाँ ‘किड्स सिटी' में अपने सपने को बोने का अवसर न मिला हो। मेरा गुजरात के सभी बच्चों को और उनके माता-पिता को निमंत्रण है कि यह आप के लिए है, आपके बच्चों के लिए है। गुजरात की कल को समृद्ध बनाने के लिए, हंसते-खेलते इस सांस्कृतिक विरासत को आत्मसात करने के लिए, कांकरीया जैसे एक नई राजधानी बन गया है, एक नया प्रेरणा स्रोत बन गया है और हम सब इसका लाभ लें।

भाइयों और बहनों, करीब देढ़ करोड लोगों ने यहाँ की मुलाकात ली और इस में उन २५-३० लाख लोगों की गिनती नहीं है जो ‘कांकरीया कार्निवल’ के दौरान आते हैं, क्योंकि उस दौरान कोई टिकट सिस्टम नहीं होती है। ये तो वे लोग जिन्हों ने नियमित रूप से टिकट खरीदा और गेट से कांकरीया में प्रवेश लिया, वह संख्या देढ़ करोड। आप सोचो कि इस राज्य के गरीब और मध्यम वर्ग के लोगों के लिए यह कितनी बड़ी आवश्यकता थी, उस आवश्यकता को हमने पूरी की है। क्योंकि अगर एक आम आदमी अपने परिवार के साथ बाहर घूमने-फिरने जाना चाहता है, तो जाए कहाँ? उसे एक खुलेपन वाली जगह मिले कहाँ? और आज ऐसी जगह मिल गई है। भूतकाल में ‘बाल वाटिका’ और ‘ज़ू’ लगभग उपेक्षित हालत में आ गए थे। इस कांकरीया के नवीकरण की वजह से आज वे भी लोगों के आकर्षण के नये केंद्र बन गए हैं। उनके विकास और विस्तार के लिए भी नए नए सुझाव और योजनाएं आ रही हैं।

भाइयों और बहनों, हम इसका भरपूर लाभ उठाएं। इस कांकरीया को जिस तरह संरक्षित रखा है, उसी तरह इस शहर को भी संरक्षित रखें। जब इस शहर की आन, बान और शान में कांकरीया एक नई पहचान लेकर आया है तब, मैं आज के कार्निवल का उद्घाटन करता हूँ। अटलजी के जन्मदिन पर जो उनका ‘गुड गवर्नन्स’ का संदेश है उसे ग्रहण करने के लिए यह राज्य प्रतिपल तैयार है और उस दिशा में आगे बढ़ने के लिए संकल्पबद्ध होकर प्रयत्नरत है।

प सब को बहुत बहुत शुभकामनाएं..!!

 

Explore More
140 करोड़ देशवासियों का भाग्‍य बदलने के लिए हम कोई कोर-कसर नहीं छोड़ेंगे: स्वतंत्रता दिवस पर पीएम मोदी

लोकप्रिय भाषण

140 करोड़ देशवासियों का भाग्‍य बदलने के लिए हम कोई कोर-कसर नहीं छोड़ेंगे: स्वतंत्रता दिवस पर पीएम मोदी
PM Modi Receives Kuwait's Highest Civilian Honour, His 20th International Award

Media Coverage

PM Modi Receives Kuwait's Highest Civilian Honour, His 20th International Award
NM on the go

Nm on the go

Always be the first to hear from the PM. Get the App Now!
...
Text of PM’s address at the distribution of 71,000+ appointment letters under Rozgar Mela via video conferencing
December 23, 2024

नमस्कार !

केंद्रीय मंत्रिमंडल के मेरे सहयोगीगण, देश के कोने-कोने में उपस्थित अन्य महानुभाव, और मेरे युवा साथियों,

मैं कल देर रात ही कुवैत से लौटा हूं… वहां मेरी भारत के युवाओं से, प्रोफेशनल्स से लंबी मुलाकात हुई, काफी बातें हुईं। अब यहां आने के बाद मेरा पहला कार्यक्रम देश के नौजवानों के साथ हो रहा है। ये एक बहुत ही सुखद संयोग है। आज देश के हजारों युवाओं के लिए, आप सबके लिए जीवन की एक नई शुरुआत हो रही है। आपका वर्षों का सपना पूरा हुआ है, वर्षों की मेहनत सफल हुई है। 2024 का ये जाता हुआ साल आपको, आपके परिवारजनों को नई खुशियां देकर जा रहा है। मैं आप सभी नौजवानों को और आपके परिवारों को अनेक-अनेक बधाई देता हूं।

साथियों,

भारत के युवाओं के सामर्थ्य और प्रतिभा का भरपूर उपयोग हमारी सरकार की सबसे बड़ी प्राथमिकता है। रोजगार मेलों के जरिए हम लगातार इस दिशा में काम कर रहे हैं। पिछले 10 वर्षों से सरकार के विभिन्न मंत्रालयों, विभागों और संस्थाओं में सरकारी नौकरी देने का अभियान चल रहा है। आज भी 71 हजार से ज्यादा युवाओं को नियुक्ति पत्र दिए गए हैं। बीते एक डेढ़ साल में ही लगभग 10 लाख युवाओं को हमारी सरकार ने पक्की सरकारी नौकरी दी है। ये अपने आप में बहुत बड़ा रिकॉर्ड है। पहले की किसी भी सरकार के समय इस तरह मिशन मोड में युवाओं को भारत सरकार में पक्की नौकरी नहीं मिली है। लेकिन आज देश में न केवल लाखों युवाओं को सरकारी नौकरियाँ मिल रही हैं बल्कि ये नौकरियां पूरी ईमानदारी और पारदर्शिता के साथ दी जा रही हैं। मुझे खुशी है कि इस पारदर्शी परंपरा से आए युवा भी पूरी निष्ठा और ईमानदारी से राष्ट्र की सेवा में जुट रहे हैं।

साथियों,

किसी भी देश का विकास उसके युवाओं के श्रम, सामर्थ्य और नेतृत्व से होता है। भारत ने 2047 तक विकसित भारत के निर्माण का संकल्प लिया है। हमें इस संकल्प पर भरोसा है, इस लक्ष्य की प्राप्ति का विश्वास है। वो इसलिए, क्योंकि भारत में हर नीति, हर निर्णय के केंद्र में भारत का प्रतिभाशाली युवा है। आप पिछले एक दशक की पॉलिसीज़ को देखिए, मेक इन इंडिया, आत्मनिर्भर भारत अभियान, स्टार्टअप इंडिया, स्टैंड अप इंडिया, डिजिटल इंडिया, ऐसी हर योजना युवाओं को केंद्र में रखकर बनाई गई है। भारत ने अपने स्पेस सेक्टर में नीतियां बदलीं, भारत ने अपने डिफेंस सेक्टर में मैन्युफैक्चरिंग को बढ़ावा दिया और इसका सबसे ज्यादा लाभ भारत के युवाओं को हुआ। आज भारत का युवा, नए आत्मविश्वास से भरा हुआ है। वो हर सेक्टर में अपना परचम लहरा रहा है। आज हम दुनिया की 5th largest economy बन गए हैं। भारत दुनिया का तीसरा सबसे बड़ा स्टार्टअप eco-system बन गया है। आज जब एक युवा अपना स्टार्टअप शुरू करने का फैसला करता है, तो उसे एक पूरा इकोसिस्टम अपने साथ सहयोग के लिए मिलता है। आज जब कोई युवा स्पोर्ट्स में करियर बनाने का प्लान करता है, तो उसे ये विश्वास होता है कि वो असफल नहीं होगा। आज स्पोर्ट्स में ट्रेनिंग से लेकर टूर्नामेंट तक, हर कदम पर युवाओं के लिए आधुनिक व्यवस्थाएं बन रही हैं। आज कितने ही सेक्टर्स में हम complete transformation देख रहे हैं। आज भारत mobile manufacturing में दुनिया का दूसरा सबसे बड़ा देश बन चुका है। आज रिन्यूबल एनर्जी से लेकर ऑर्गेनिक फार्मिंग तक, स्पेस सेक्टर से लेकर डिफेंस सेक्टर तक, टूरिज्म से लेकर वेलनेस तक, हर सेक्टर में अब देश नई ऊंचाइयां छू रहा है, नए अवसरों का निर्माण हो रहा है।

साथियों,

हमें देश को आगे बढ़ाने के लिए युवा प्रतिभा को निखारने की जरूरत होती है। ये ज़िम्मेदारी देश की शिक्षा व्यवस्था पर होती है। इसीलिए, नए भारत के निर्माण के लिए देश दशकों से एक आधुनिक शिक्षा व्यवस्था की जरूरत महसूस कर रहा था। नेशनल एजुकेशन पॉलिसी के जरिए देश अब उस दिशा में आगे बढ़ चुका है। पहले पाबंदियों के कारण जो शिक्षा व्यवस्था छात्रों पर बोझ बन जाती थी, वो अब उन्हें नए विकल्प दे रही है। अटल टिंकरिंग लैब्स और आधुनिक पीएम-श्री स्कूलों के जरिए बचपन से ही इनोवेटिव माइंडसेट को गढ़ा जा रहा है। पहले ग्रामीण युवाओं के लिए, दलित, पिछड़ा, आदिवासी समाज के युवाओं के लिए भाषा एक बहुत बड़ी दीवार बन जाती थी। हमने मातृभाषा में पढ़ाई और एक्जाम की पॉलिसी बनाई। आज हमारी सरकार युवाओं को 13 भाषाओं में भर्ती परीक्षाएं देने का विकल्प दे रही है। बॉर्डर जिले के युवाओं को ज्यादा मौका देने के लिए हमने उनका कोटा बढ़ा दिया है। आज बॉर्डर एरियाज के युवाओं को पक्की सरकारी नौकरी देने के लिए विशेष भर्ती रैलियां की जा रही हैं। आज ही यहाँ Central Armed Police Forces में 50 हजार से ज्यादा युवाओं को भर्ती का नियुक्ति पत्र मिला है। मैं इन सभी नौजवानों को विशेष रूप से अपनी शुभकामनाएं देता हूं।

साथियों,

आज चौधरी चरण सिंह जी की जन्म जयंती भी है। ये हमारी सरकार का सौभाग्य है कि हमें इसी साल चौधरी साहब को भारत रत्न से सम्मानित करने का अवसर मिला। मैं उन्हें अपनी श्रद्धांजलि अर्पित करता हूं। आज के दिन को हम किसान दिवस के रूप में मनाते हैं। इस अवसर पर मैं देश के सभी किसानों को, अन्नदाताओं को नमन करता हूं।

साथियों,

चौधरी साहब कहते थे, भारत की प्रगति तभी हो सकेगी, जब भारत के ग्रामीण क्षेत्र की प्रगति होगी। आज हमारी सरकार की नीतियों और निर्णयों से ग्रामीण भारत में भी रोजगार और स्वरोजगार के नए मौके बन रहे हैं। एग्रीकल्चर सेक्टर में बड़ी संख्या में युवाओं को रोजगार मिला है, उन्हें अपने मन का काम करने के लिए मौका मिला है। जब सरकार ने गोबरधन योजना के तहत देश में सैकड़ों गोबरगैस प्लांट बनाए, तो इससे बिजली तो पैदा हुई ही, हजारों नौजवानों को नौकरी भी मिली। जब सरकार ने देश की सैकड़ों कृषि मंडियों को ई-नाम योजना से जोड़ने का काम शुरू किया, तो इससे भी नौजवानों के लिए रोजगार के अनेक नए अवसर बने। जब सरकार ने इथेनॉल की ब्लेडिंग को 20 परसेंट तक बढ़ाने का फैसला किया, तो इससे किसानों को मदद तो हुई ही, शुगर सेक्टर में नई नौकरी के भी मौके बने। जब हमने 9 हजार के लगभग किसान उत्पाद संगठन बनाए, FPO's बनाए तो इससे किसानों को नया बाजार बनाने में मदद मिली और ग्रामीण क्षेत्र में रोजगार भी बने। आज सरकार अन्न भंडारण के लिए हजारों गोदाम बनाने की दुनिया की सबसे बड़ी योजना चला रही है। इन गोदामों का निर्माण भी बड़ी संख्या में रोजगार और स्वरोजगार के मौके लाएगा। अभी कुछ ही दिन पहले सरकार ने बीमा सखी योजना शुरू की है। सरकार का लक्ष्य देश के हर नागरिक को बीमा सुरक्षा से जोड़ने का है। इससे भी बड़ी संख्या में ग्रामीण क्षेत्र में रोजगार के मौके बनेंगे। ड्रोन दीदी अभियान हो, लखपति दीदी अभियान हो, बैंक सखी योजना हो, य़े सारे प्रयास, ये सारे अभियान हमारे कृषि क्षेत्र में, हमारे ग्रामीण क्षेत्र में रोजगार के अंगिनत नए अवसर बना रहे हैं।

साथियों,

आज यहाँ हजारों बेटियों को भी नियुक्ति पत्र दिए गए हैं। आपकी सफलता दूसरी महिलाओं को प्रेरित करेगी। हमारा प्रयास है कि हर क्षेत्र में महिलाएं आत्मनिर्भर बनें। गर्भवती महिलाओं को 26 हफ्ते की छुट्टी के हमारे फैसले ने लाखों बेटियों के करियर को बचाया है, उनके सपनों को टूटने से रोका है। हमारी सरकार ने हर उस बाधा को दूर करने का प्रयास किया है, जो महिलाओं को आगे बढ़ने से रोकती हैं। आजादी के बाद वर्षों तक, स्कूल में अलग टॉयलेट ना होने की वजह से अनेक छात्राओं की पढ़ाई छूट जाती थी। स्वच्छ भारत अभियान के द्वारा हमने इस समस्या का समाधान किया। सुकन्या समृद्धि योजना ने सुनिश्चित किया कि बच्चियों की पढ़ाई में आर्थिक परेशानी ना आए। हमारी सरकार ने 30 करोड़ महिलाओं के जनधन खाते खोले, जिससे उन्हें सरकार की योजनाओं का सीधा फायदा मिलने लगा। मुद्रा योजना से महिलाओं को बिना गारंटी लोन मिलने लगा। महिलाएं पूरे घर को संभालती थीं, लेकिन संपत्ति उनके नाम पर नहीं होती थी। आज पीएम आवास योजना के तहत मिलने वाले ज्यादातर घर महिलाओं के ही नाम पर हैं। पोषण अभियान, सुरक्षित मातृत्व अभियान और आयुष्मान भारत के माध्यम से महिलाओं को बेहतर स्वास्थ्य सुविधाएं मिल रही हैं। हमारी सरकार में नारीशक्ति वंदन अधिनियम के द्वारा विधानसभा और लोकसभा में महिलाओं को आरक्षण मिला है। आज हमारा समाज, हमारा देश, women led development की दिशा में तेजी से आगे बढ़ रहा है।

साथियों,

आज जिन युवा साथियों को नियुक्ति पत्र मिला है, वो एक नई तरह की सरकारी व्यवस्था का हिस्सा बनने जा रहे हैं। सरकारी दफ्तर, सरकारी कामकाज की जो पुरानी छवि बनी हुई थी, पिछले 10 वर्षों में उसमें बड़ा बदलाव आया है। आज सरकारी कर्मचारियों में ज्यादा दक्षता और उत्पादकता दिख रही है। ये सफलता सरकारी कर्मचारियों ने अपनी लगन और मेहनत से हासिल की है। आप भी यहां इस मुकाम तक इसलिए पहुंचे, क्योंकि आप में सीखने की ललक है, आगे बढ़ने की उत्सुकता है। आप आगे के जीवन में भी इसी अप्रोच को बनाए रखें। आपको सीखते रहने में iGOT कर्मयोगी इससे बहुत मदद मिलेगी। iGOT में आपके लिए 1600 से ज्यादा अलग-अलग प्रकार के कोर्स उपलब्ध हैं। इसके माध्यम से आप बहुत कम समय में, प्रभावी तरीके से विभिन्न विषयों में कोर्स कंप्लीट कर सकते हैं। आप युवा हैं, आप देश की ताकत हैं। और, ऐसा कोई लक्ष्य नहीं, जिसे हमारे युवा हासिल ना कर सकें। आपको नई ऊर्जा के साथ नई शुरुआत करनी है। मैं एक बार फिर आज नियुक्ति पत्र पाने वाले युवाओं को बधाई देता हूं। आपके उज्ज्वल भविष्य की ढेर सारी शुभकामनाएं।

बहुत-बहुत धन्यवाद।