प्रधानमंत्री श्री नरेन्द्र मोदी आज बैंकॉक में पूर्वी एशिया और आरसीईपी शिखर सम्मेलन में हिस्सा लेंगे। इसके अलावा, आज रात दिल्ली रवाना होने से पहले वे बैंकॉक में जापान के प्रधानमंत्री शिंजो एबे, वियतनाम के प्रधानमंत्री न्गुयेन जुआन फुक और आस्ट्रेलिया के प्रधानमंत्री स्कॉट मोरिशन के साथ बैठक भी करेंगे।
प्रधानमंत्री क्षेत्रीय व्यापक आर्थिक साझेदारी अथवा आरसीईपी में भारत की वार्ताओं का संचालन करेंगे। आरसीईपी एक व्यापक मुक्त व्यापार समझौता है, जिस पर आसियान के 10 सदस्य देशों और आसियान के मुक्त व्यापार समझौते के साझेदारों – आस्ट्रेलिया, चीन, भारत, जापान, कोरिया और न्यूजीलैंड के बीच वार्ता की जा रही है।
प्रधानमंत्री श्री नरेन्द्र मोदी इस पूर्वाग्रह को दूर करेंगे कि भारत आरसीईपी व्यापार समझौते में शामिल होने के प्रति इच्छुक नहीं है। बैंकॉक पोस्ट को एक विस्तृत साक्षात्कार में उन्होंने कहा कि मौजूदा आरसीईपी वार्ताओं के व्यापक और संतुलित परिणामों के लिए भारत निरंतर समर्पित है, किंतु भारत इसका सुखद परिणाम चाहेगा।
उन्होंने कहा कि अस्थिर व्यापर घाटों के बारे में भारत की चिंताओं का समाधान करना महत्वपूर्ण है।
प्रधानमंत्री ने कहा कि सभी पक्षों के लिए लाभदायक आरसीईपी से भारत के साथ-साथ वार्ता के सभी साझेदार देशों का हितसाधन संभव होगा।
आरसीईपी वार्ताएं 2012 में कम्बोडिया में शुरू हुई, जिसमें जिंसों एवं सेवाओं का व्यापार, निवेश, बाजार पहुंच, आर्थिक सहयोग, बौद्धिक संपदा एवं ई-कॉमर्स शामिल हैं।