प्रधानमंत्री श्री नरेन्द्र मोदी ने आज देश के उन सभी वैज्ञानिकों की सराहना की जो विज्ञान और प्रौद्योगिकी का उपयोग दूसरों के जीवन में सकारात्मक अंतर लाने के लिए कर रहे हैं।
श्री मोदी राष्ट्रीय प्रौद्योगिकी दिवस के अवसर पर ट्वीट कर रहे थे।
उन्होंने कहा, “राष्ट्रीय प्रौद्योगिकी दिवस पर, हमारा देश उन सभी को सलाम करता है जो दूसरों के जीवन में सकारात्मक अंतर लाने के लिए प्रौद्योगिकी का फायदा उठा रहे हैं। हम 1998 में इस दिन अपने वैज्ञानिकों की असाधारण उपलब्धि को याद करते हैं। यह भारत के इतिहास में एक ऐतिहासिक क्षण था।"
11 मई 1998 को पोखरण परीक्षण का उल्लेख करते हुए, प्रधानमंत्री ने कहा कि परमाणु परीक्षण तब एक मजबूत राजनीतिक नेतृत्व के कारण ही संभव थे। प्रधानमंत्री ने अपने मन की बात के एक कार्यक्रम के दौरान परीक्षणों पर अपने उद्धरण को साझा किया था।
उन्होंने कहा, “1998 में पोखरण में हुए परीक्षणों ने यह साबित किया कि मजबूत राजनीतिक नेतृत्व बड़े बदलाव कर सकता है।यहाँ मैंने ‘#मन की बात’ के एक कार्यक्रम के दौरान भारत के वैज्ञानिकों और पूर्व प्रधानमंत्री अटल बिहारी वाजपेयी के असाधारण नेतृत्व का उल्लेख किया था।
श्री मोदी ने आगे ट्वीट किया, “आजप्रौद्योगिकीदुनिया को कोविड-19 से मुक्त कराने के प्रयासों में अनेक लोगों की मदद कर रही है। मैं उन सभी को सलाम करता हूं जो कोरोना वायरस को पराजित करने के तरीकों पर अनुसंधान और नवीन अविष्कार करने में सबसे आगे हैं ताकि हम एक स्वस्थ्य और बेहतर ग्रह बना सकें।”
On National Technology Day, our nation salutes all those who are leveraging technology to bring a positive difference in the lives of others. We remember the exceptional achievement of our scientists on this day in 1998. It was a landmark moment in India’s history.
— Narendra Modi (@narendramodi) May 11, 2020
The tests in Pokhran in 1998 also showed the difference a strong political leadership can make.
— Narendra Modi (@narendramodi) May 11, 2020
Here is what I had said about Pokhran, India’s scientists and Atal Ji’s remarkable leadership during one of the #MannKiBaat programmes. pic.twitter.com/UuJR1tLtrL
On National Technology Day, our nation salutes all those who are leveraging technology to bring a positive difference in the lives of others. We remember the exceptional achievement of our scientists on this day in 1998. It was a landmark moment in India’s history.
— Narendra Modi (@narendramodi) May 11, 2020