प्रधानमंत्री श्री नरेन्द्र मोदी ने आज वीडियो कॉन्फ्रेंस के माध्यम से ठाणे और दिवा को जोड़ने वाली दो अतिरिक्त रेलवे लाइनों को राष्ट्र को समर्पित किया। उन्होंने मुंबई उपनगरीय रेलवे की दो ट्रेनों को हरी झंडी भी दिखाई। इस अवसर पर महाराष्ट्र के राज्यपाल और मुख्यमंत्री, केंद्रीय रेल मंत्री भी उपस्थित थे।
प्रधानमंत्री ने अपने संबोधन की शुरुआत छत्रपति शिवाजी महाराज को श्रद्धांजलि देने के साथ की, जिनकी जन्म जयंती कल है। प्रधानमंत्री ने शिवाजी महाराज को भारत का गौरव, पहचान और भारत की संस्कृति का रक्षक बताया।
ठाणे और दिवा को जोड़ने वाली पांचवीं और छठी रेल लाइन पर मुंबई वासियों को बधाई देते हुए, प्रधानमंत्री ने कहा कि ये नई रेल लाइन, मुंबई की कभी ना थमने वाली जिंदगी को और अधिक रफ्तार देगी, मुंबई वासियों के जीवन में एक बड़ा बदलाव लाएगी, उनकी इज ऑफ लिविंग बढ़ाएगी। प्रधानमंत्री ने दोनों रेल लाइनों के चार प्रत्यक्ष लाभों के बारे में चर्चा की। सबसे पहले, लोकल और एक्सप्रेस रेलगाड़ियों के लिए अलग लाइन; दूसरे, अन्य राज्यों से आने वाली रेलगाड़ियों को लोकल रेलगाड़ियों के गुजरने का इंतजार नहीं करना पड़ेगा; तीसरा, कल्याण से कुर्ला सेक्शन में मेल/एक्सप्रेस रेलगाड़ियों को बिना किसी रुकावट के चलाया जा सकता है और अंत में, कलवा मुंब्रा के यात्रियों को हर रविवार को रुकावट के कारण परेशानी नहीं होगी। उन्होंने कहा कि आज से सेंट्रल रेलवे लाइन पर 36 नई लोकल चलने जा रही हैं। इनमें से भी अधिकतर वातानुकूलित ट्रेनें हैं। ये लोकल की सुविधा को विस्तार देने, लोकल को आधुनिक बनाने के केंद्र सरकार की प्रतिबद्धता का हिस्सा है।
स्वतंत्र भारत की प्रगति में मुंबई महानगर के योगदान को याद करते हुए प्रधानमंत्री ने कहा कि मुंबई महानगर ने आज़ाद भारत की प्रगति में अपना अहम योगदान दिया है। अब प्रयास है कि आत्मनिर्भर भारत के निर्माण में भी मुंबई का सामर्थ्य कई गुणा बढ़े। प्रधानमंत्री ने कहा, “इसलिए मुंबई में 21वीं सदी के इंफ्रास्ट्रक्चर निर्माण पर हमारा विशेष फोकस है।” मुंबई में रेल संपर्क में हजारों करोड़ रुपये का निवेश किया जा रहा है क्योंकि मुंबई उपनगरीय रेल प्रणाली को नवीनतम तकनीक से लैस किया जा रहा है। प्रधानमंत्री ने यह भी कहा कि मुंबई उपनगर में अतिरिक्त 400 किलोमीटर जोड़ने के प्रयास जारी हैं और आधुनिक सीबीटीसी सिग्नल सिस्टम जैसी सुविधाओं के साथ 19 स्टेशनों को आधुनिक बनाने की योजना है।
प्रधानमंत्री ने कहा, “अहमदाबाद-मुंबई हाई स्पीड रेल आज देश की आवश्यकता है और यह मुंबई की पहचान को सपनों के शहर के रूप में और मजबूत करेगा। हमारी प्राथमिकता इस परियोजना को जल्द से जल्द पूरा करना है।"
प्रधानमंत्री ने कहा कि कोरोना महामारी भी भारतीय रेल को अधिक सुरक्षित, सुविधाजनक और आधुनिक बनाने की सरकार की प्रतिबद्धता को हिला नहीं सकती है। प्रधानमंत्री ने कहा कि पिछले दो वर्षों के दौरान रेलवे ने माल ढुलाई में नए रिकॉर्ड बनाए। इस अवधि में 8 हजार किलोमीटर रेल लाइन का विद्युतीकरण किया गया और 4.5 हजार किलोमीटर लाइन को दोगुना किया गया। उन्होंने कहा कि कोरोना काल में किसान रेल के माध्यम से किसान देश भर के बाजारों से जुड़े थे।
बुनियादी ढांचा परियोजनाओं को पूरा करने के संबंध में न्यू इंडिया के बदले हुए दृष्टिकोण के बारे में चर्चा करते हुए, प्रधानमंत्री ने कहा कि अतीत में इंफ्रास्ट्रक्चर प्रोजेक्ट्स सालों-साल तक इसलिए चलते थे क्योंकि प्लानिंग से लेकर एग्जीक्यूशन तक तालमेल की कमी थी। इस अप्रोच से 21वीं सदी में भारत के इंफ्रास्ट्रक्चर का निर्माण संभव नहीं हो पाया। इसलिए हमने पीएम गतिशक्ति नेशनल मास्टरप्लान बनाया है। यह योजना केंद्र सरकार के हर विभाग, राज्य सरकार के स्थानीय निकायों और निजी क्षेत्र को एक मंच पर लाएगी। इससे सभी हितधारकों को समुचित योजना तथा समन्वय के लिए पहले से ही प्रासंगिक जानकारी प्रदान की जाएगी।
श्री मोदी ने उस विचार प्रक्रिया पर अफसोस जताते हुए कहा, “बरसों से हमारे यहां एक सोच हावी रही कि जो साधन-संसाधन गरीब इस्तेमाल करता है, मिडिल क्लास इस्तेमाल करता है, उस पर निवेश नहीं करो। इस वजह से भारत के पब्लिक ट्रांसपोर्ट की चमक हमेशा फीकी ही रही। लेकिन अब भारत उस पुरानी सोच को पीछे छोड़कर आगे बढ़ रहा है।”
प्रधानमंत्री ने उन उपायों के बारे में बताया जो भारतीय रेल को नया चेहरा दे रहे हैं। उन्होंने कहा कि गांधीनगर और भोपाल के आधुनिक रेलवे स्टेशन रेलवे की पहचान बन रहे हैं। आज 6000 से ज्यादा रेलवे स्टेशन वाईफाई सुविधा से जुड़ चुके हैं। वंदे भारत ट्रेनें देश की रेल को गति और आधुनिक सुविधा दे रही है। आने वाले वर्षों में 400 नई वंदे भारत ट्रेनें देशवासियों को सेवा देना शुरू करेंगी।
कल्याण मध्य रेलवे का मुख्य जंक्शन है। देश के उत्तरी और दक्षिणी भाग से आने वाला यातायात कल्याण में एक साथ हो जाता है और छत्रपति शिवाजी महाराज टर्मिनस (सीएसटीएम) की ओर जाता है। कल्याण और सीएसटीएम के बीच चार पटरियों में से दो ट्रैक धीमी लोकल ट्रेनों के लिए और दो ट्रैक फास्ट लोकल, मेल एक्सप्रेस और मालगाड़ियों के लिए इस्तेमाल किए गए थे। उपनगरीय और लंबी दूरी की रेलगाड़ियों को अलग करने के लिए दो अतिरिक्त रेलवे लाइनों की योजना बनाई गई थी।
ठाणे और दिवा को जोड़ने वाली दो अतिरिक्त रेल लाइनें लगभग 620 करोड़ रुपये की लागत से बनाई गई हैं और इसमें 1.4 किमी लंबा रेल फ्लाईओवर, 3 प्रमुख पुल, 21 छोटे पुल शामिल हैं। ये लाइनें मुंबई में उपनगरीय रेलगाड़ियों के यातायात के साथ लंबी दूरी की रेलगाड़ियों के यातायात में रुकावट को काफी हद तक दूर कर देंगी। इन लाइनों से शहर में 36 नई उपनगरीय रेलगाड़ियां भी चलाई जा सकेंगी।
कल छत्रपति शिवाजी महाराज की जन्मजयंती है।
— PMO India (@PMOIndia) February 18, 2022
सबसे पहले मैं भारत के गौरव, भारत की पहचान और संस्कृति के रक्षक देश के महान महानायक के चरणों में प्रणाम करता हूँ: PM @narendramodi
ठाणे-दिवा के बीच नई बनी पांचवीं और छठी रेल लाइन के शुभारंभ पर हर मुंबईकर को बहुत-बहुत बधाई।
— PMO India (@PMOIndia) February 18, 2022
ये नई रेल लाइन, मुंबई वासियों के जीवन में एक बड़ा बदलाव लाएंगी, उनकी Ease of Living बढ़ाएगी।
ये नई रेल लाइन, मुंबई की कभी ना थमने वाली जिंदगी को और अधिक रफ्तार देगी: PM @narendramodi
आज से सेंट्रल रेलवे लाइन पर 36 नई लोकल चलने जा रही हैं।
— PMO India (@PMOIndia) February 18, 2022
इनमें से भी अधिकतर AC ट्रेनें हैं।
ये लोकल की सुविधा को विस्तार देने, लोकल को आधुनिक बनाने के केंद्र सरकार के कमिटमेंट का हिस्सा है: PM @narendramodi
मुंबई महानगर ने आज़ाद भारत की प्रगति में अपना अहम योगदान दिया है।
— PMO India (@PMOIndia) February 18, 2022
अब प्रयास है कि आत्मनिर्भर भारत के निर्माण में भी मुंबई का सामर्थ्य कई गुणा बढ़े।
इसलिए मुंबई में 21वीं सदी के इंफ्रास्ट्रक्चर निर्माण पर हमारा विशेष फोकस है: PM @narendramodi
अहमदाबाद-मुंबई हाई स्पीड रेल आज मुंबई की, देश की आवश्यकता है।
— PMO India (@PMOIndia) February 18, 2022
ये मुंबई की क्षमता को, सपनों के शहर के रूप में मुंबई की पहचान को सशक्त करेगी।
ये प्रोजेक्ट तेज़ गति से पूरा हो, ये हम सभी की प्राथमिकता है: PM @narendramodi
अतीत में इंफ्रास्ट्रक्चर प्रोजेक्ट्स सालों-साल तक इसलिए चलते थे क्योंकि प्लानिंग से लेकर एग्जीक्यूशन तक तालमेल की कमी थी।
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इस अप्रोच से 21वीं सदी भारत के इंफ्रास्ट्रक्चर का निर्माण संभव नहीं है।
इसलिए हमने पीएम गतिशक्ति नेशनल मास्टरप्लान बनाया है: PM @narendramodi
बरसों से हमारे यहां एक सोच हावी रही कि जो साधन-संसाधन गरीब इस्तेमाल करता है, मिडिल क्लास इस्तेमाल करता है, उस पर निवेश नहीं करो।
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इस वजह से भारत के पब्लिक ट्रांसपोर्ट की चमक हमेशा फीकी ही रही।
लेकिन अब भारत उस पुरानी सोच को पीछे छोड़कर आगे बढ़ रहा है: PM @narendramodi
गांधीनगर और भोपाल के आधुनिक रेलवे स्टेशन रेलवे की पहचान बन रहे हैं।
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आज 6000 से ज्यादा रेलवे स्टेशन WiFi सुविधा से जुड़ चुके हैं।
वंदे भारत ट्रेनें देश की रेल को गति और आधुनिक सुविधा दे रही है।
आने वाले वर्षों में 400 नई वंदे भारत ट्रेनें देशवासियों को सेवा देना शुरू करेंगी: PM