Quote“यह अत्‍याधुनिक हवाई अड्डा टर्मिनल गोवा की जनता के स्‍नेह और आशीर्वाद को लौटाने का एक प्रयास है”
Quote“मनोहर अंतरराष्ट्रीय हवाई अड्डे के माध्यम से, पर्रिकर जी सभी यात्रियों की स्‍मृतियों में रहेंगे”
Quote“इससे पहले, बुनियादी ढांचे के विकास की सख्त जरूरत वाले स्‍थान उपेक्षित रह गए”
Quote“पिछले 70 वर्षों में 70 हवाई अड्डों की तुलना में पिछले 8 वर्षों में, 72 नए हवाई अड्डों का निर्माण किया गया”
Quote“भारत विश्‍व का तीसरा सबसे बड़ा विमानन बाजार बन चुका है”
Quote“21वीं सदी का भारत, नया भारत है जो वैश्विक पटल पर अपनी नई छवि गढ़ रहा है और इसके परिणामस्वरूप दुनिया का न‍जरिया तेजी से बदल रहा है”
Quote“यात्रा की सुविधा को बेहतर बनाने और देश के पर्यटन प्रोफाइल का विस्‍तार करने के प्रयास किए गए हैं।”
Quote“आज, गोवा 100% संतृप्ति मॉडल का आदर्श उदाहरण बन चुका है”

प्रधानमंत्री श्री नरेन्‍द्र मोदी ने गोवा में मोपा अंतर्राष्ट्रीय हवाई अड्डे का उद्घाटन किया है। इस हवाई अड्डे की आधारशिला नवंबर 2016 में प्रधानमंत्री ने रखी थी। लगभग 2,870 करोड़ रुपये की लागत से निर्मित इस हवाई अड्डे को टिकाऊ बुनियादी ढांचे की थीम पर बनाया गया है और इसमें एक सौर ऊर्जा संयंत्र, पर्यावरण के अनुकूल भवन, रनवे पर एलईडी लाइट्स, वर्षा जल संचयन और पुनर्चक्रण सुविधाओं से युक्‍त अत्याधुनिक सीवेज उपचार संयंत्र आदि जैसी अन्‍य सुविधाएं शामिल हैं। प्रारंभ में, हवाई अड्डे का चरण-I प्रति वर्ष लगभग 4.4 मिलियन यात्री (एमपीपीए) की जरूरतों को पूरा करेगा, जिसे 33 एमपीपीए की संतृप्ति क्षमता तक बढ़ाया जा सकता है।

इस अवसर पर अपने संबोधन में प्रधानमंत्री ने मोपा में ग्रीनफील्ड हवाई अड्डे के उद्घाटन के लिए गोवा और देश के सभी नागरिकों को बधाई दी। पिछले आठ वर्षों में गोवा की अपनी यात्राओं को याद करते हुए, प्रधानमंत्री ने कहा कि गोवा की जनता द्वारा उनके प्रति प्रदर्शित प्रेम और आशीर्वाद को विकास के रूप में ब्याज सहित चुकाया जाएगा। उन्होंने कहा, “यह अत्‍याधुनिक हवाई अड्डा टर्मिनल उसी स्‍नेह को लौटाने का एक प्रयास है”। उन्होंने इस बात पर प्रसन्नता व्यक्त की कि हवाई अड्डे का नाम दिवंगत मनोहर पर्रिकर के नाम पर रखा गया है।

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बुनियादी ढांचे के विकास के प्रति अतीत की सरकारों के दृष्टिकोण पर टिप्पणी करते हुए प्रधानमंत्री ने कहा कि नागरिकों की जरूरतों की बजाय, वोट बैंक उनकी पहली प्राथमिकता थी। प्रधानमंत्री ने इस बात को रेखांकित किया कि हजारों करोड़ रुपये उन परियोजनाओं पर खर्च किए गए जिनकी कोई आवश्यकता नहीं थी। इसके परिणामस्वरूप, बुनियादी ढांचे के विकास की सख्त जरूरत वाले स्‍थान उपेक्षित रह गए। उन्होंने कहा, “गोवा अंतरराष्ट्रीय हवाई अड्डा इसका स्पष्ट उदाहरण है।” उन्‍होंने कहा कि शुरुआत में हवाई अड्डे की इस योजना अटल बिहारी वाजपेयी सरकार के दौरान बनाई गई थी, लेकिन उस सरकार के सत्ता से बाहर होने के बाद इस दिशा में बहुत कुछ किया ही नहीं गया और यह परियोजना के कई वर्षों तक लटकती रही। प्रधानमंत्री ने कहा कि 2014 में डबल इंजन की सरकार के आने के बाद हवाई अड्डे के काम को नई गति मिली और 6 साल पहले उन्होंने इसका शिलान्यास किया। उन्‍होंने कहा कि तमाम कानूनी अड़चनों और महामारी के बावजूद आज यह हवाई अड्डा काम करने के लिए तैयार है। इस हवाई अड्डे में प्रति वर्ष लगभग 40 लाख यात्रियों को हैंडल करने की सुविधा है जिसे भविष्य में 3.5 करोड़ तक बढ़ाया जा सकता है। गोवा में दो हवाई अड्डों की उपस्थिति ने इस राज्‍य के लिए पर्यटन लाभ के अलावा कार्गो हब के रूप में नए अवसर भी उत्‍पन्‍न किए हैं।

प्रधानमंत्री ने कहा कि मनोहर अंतरराष्ट्रीय हवाई अड्डा बदली हुई सरकारी सोच और दृष्टिकोण का प्रमाण है। उन्होंने कहा कि 2014 से पहले हवाई यात्रा संपन्न लोगों की विलासिता के तौर पर स्‍थापित थी। सामान्‍य जन की हवाई यात्रा की इच्छा के प्रति इस उपेक्षा के कारण हवाई अड्डों और हवाई यात्रा से जुड़े अन्य बुनियादी ढांचे में निवेश कम हुआ तथा अपार संभावनाओं के बावजूद भारत हवाई यात्रा के क्षेत्र में पिछड़ गया। प्रधानमंत्री ने कहा कि आजादी के पहले 70 वर्षों में देश में हवाई अड्डों की संख्या महज 70 थी और हवाई यात्रा बड़े शहरों तक ही सीमित थी। प्रधानमंत्री ने कहा कि सरकार ने 2 स्तरों पर काम किया, पहला- पूरे देश में हवाई अड्डे के नेटवर्क का विस्तार किया गया। दूसरा- उड़ान योजना के जरिए आम नागरिकों को हवाई जहाज में उड़ने का अवसर मिला। उन्‍होंने कहा कि पिछले 70 वर्षों में 70 हवाई अड्डों की तुलना में पिछले 8 वर्षों में, 72 नए हवाई अड्डों का निर्माण किया गया। इसका आशय है कि देश में हवाई अड्डों की संख्या दोगुनी हो गई है। इसके अलावा, वर्ष 2000 में सालभर में देश में 6 करोड़ लोग हवाई यात्रा का लाभ लेते थे, इसकी तुलना में 2020 में (महामारी से ऐन पहले) इनकी संख्या बढ़कर 14 करोड़ से अधिक हो गई। उड़ान योजना के तहत 1 करोड़ से अधिक यात्रियों ने उड़ान भरी। उन्होंने कहा, “इन उपायों के कारण, भारत दुनिया का तीसरा सबसे बड़ा विमानन बाजार बन चुका है।”

 

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उड़ान योजना की उपलब्धियों का उल्‍लेख करते हुए प्रधानमंत्री ने कहा कि यह अकादमिक जगत के लिए अध्‍ययन का विषय है। प्रधानमंत्री ने मध्यम वर्ग के बदलते चलन पर टिप्पणी करते हुए कहा कि अब छोटी दूरी के लिए भी रेलवे के बजाय हवाई टिकट की जांच की जाती है। उन्‍होंने कहा कि जैसे-जैसे देश में हवाई कनेक्टिविटी के नेटवर्क का विस्तार हो रहा है, हवाई यात्रा तेजी से परिवहन का पसंदीदा साधन बनती जा रही है।

प्रधानमंत्री ने कहा, “यह सच है कि पर्यटन किसी भी राष्ट्र की सॉफ्ट पावर को बढ़ाने में मदद करता है, हालांकि कोई राष्ट्र जैसे-जैसे मजबूत होता है, दुनिया उस राष्ट्र के बारे में उतना ही अधिक जानना चाहती है और उसकी ओर आकर्षित होती है।” प्रधानमंत्री ने कहा कि यदि भारत के समृद्ध इतिहास पर गौर किया जाए, तो यह पूरी दुनिया के लिए आकर्षण का केंद्र हुआ करता था, जहां विद्वान, यात्री, व्यवसायी, उद्योगपति और छात्र इसके बारे में ज्‍यादा से ज्‍यादा जानने के लिए भारत आते थे। प्रधानमंत्री ने कहा कि भारत की गुलामी के कालखंड का उल्‍लेख करते हुए कहा कि उस दौर में भारत की संस्कृति और परंपराओं के वही रहने के बावजूद, उसकी छवि और उसके प्रति लोगों का दृष्टिकोण बदल गया। प्रधानमंत्री ने कहा, “21वीं सदी का भारत, नया भारत है जो वैश्विक पटल पर अपनी नई छवि गढ़ रहा है और इसके परिणामस्वरूप दुनिया का न‍जरिया तेजी से बदल रहा है।” उन्होंने इस बात को रेखांकित किया कि आज का विश्व भारत को जानना चाहता है और इसके तौर-तरीकों को समझना चाहता है। उन्होंने कहा कि डिजिटल प्लेटफॉर्मों पर बहुत से विदेशी भारत की कहानी सुना रहे हैं।

प्रधानमंत्री ने पिछले 8 वर्षों में यात्रा की सुविधा को बेहतर बनाने और देश के पर्यटन प्रोफाइल का विस्‍तार करने के लिए उठाए गए कदमों को सूचीबद्ध किया। उन्होंने वीज़ा प्रक्रिया को आसान बनाने, आगमन पर वीज़ा सुविधाओं में सुधार लाने, आधुनिक बुनियादी ढांचे और लास्‍ट माइल कनेक्टिविटी और डिजिटल, मोबाइल और रेलवे कनेक्टिविटी के बारे में चर्चा की। उन्‍होंने कहा कि इन उपायों के परिणाम सामने आए हैं। 2015 में भारत में घरेलू पर्यटकों की संख्या 14 करोड़ थी, जबकि पिछले साल यह बढ़कर करीब 70 करोड़ हो गई।

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प्रधानमंत्री ने दोहराया कि पर्यटन में रोजगार और स्व-रोजगार की सबसे बड़ी संभावनाएं मौजूद हैं। उन्‍होंने गोवा में पर्यटन के बुनियादी ढांचे में सुधार लाने के लिए उठाए गए कदमों के बारे में विस्तार से बताया। उन्होंने कहा, “2014 से राज्य में राजमार्ग परियोजनाओं में 10 हजार करोड़ रुपये से अधिक धनराशि का निवेश किया गया है। गोवा में यातायात की समस्या का भी समाधान किया जा रहा है। कोंकण रेलवे के विद्युतीकरण से भी राज्य लाभान्वित हो रहा है।”

प्रधानमंत्री ने कहा कि सरकार कनेक्टिविटी बढ़ाने के अलावा स्मारकों, कनेक्टिविटी और संबंधित सुविधाओं के रखरखाव में सुधार लाकर विरासत पर्यटन को बढ़ावा देने पर ध्‍यान केंद्रित कर रही है। श्री मोदी ने इस प्रयास के उदाहरण के रूप में अगोडा जेल परिसर संग्रहालय के विकास का उल्लेख किया। उन्होंने कहा कि स्मारकों को और अधिक आकर्षक बनाने के लिए आधुनिक तकनीक का उपयोग किया जा रहा है तथा विशेष ट्रेनों के माध्यम से तीर्थ स्थलों और स्मारकों की यात्रा को सुविधाजनक बनाया जा रहा है।

प्रधानमंत्री ने भौतिक बुनियादी ढांचे जितना महत्‍व ही सामाजिक बुनियादी ढांचे को भी देने के लिए गोवा सरकार के प्रयासों की प्रशंसा की। प्रधानमंत्री ने स्वयंपूर्ण गोवा अभियान की सफलता की प्रशंसा की, जो जीवन को आसान बनाने और यह सुनिश्चित करने की दिशा में महत्वपूर्ण है कि कोई भी नागरिक सरकारी योजनाओं से वंचित न रहे। प्रधानमंत्री ने कहा, “आज गोवा 100% संतृप्ति मॉडल का आदर्श उदाहरण बन चुका है।” उन्‍होंने राज्य में हो रहे विकास कार्यों को आगे बढ़ाने के लिए सभी को प्रोत्साहित किया।

इस अवसर पर गोवा के मुख्यमंत्री डॉ प्रमोद सावंत, गोवा के राज्यपाल श्री पी एस श्रीधरन पिल्लई, केंद्रीय नागरिक उड्डयन मंत्री श्री ज्योतिरादित्य सिंधिया और केंद्रीय पत्‍तन, पोत परिवहन और जलमार्ग मंत्री श्री श्रीपद येसो नाइक भी उपस्थित थे

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पृष्‍ठभूमि

प्रधानमंत्री का निरंतर यह प्रयास रहा है कि देश भर में विश्व स्तरीय बुनियादी सुविधाएं और परिवहन सुविधाएं उपलब्‍ध कराई जाएं। इस दिशा में एक और कदम उठाते हुए प्रधानमंत्री ने गोवा में मोपा अंतरराष्ट्रीय हवाई अड्डे का उद्घाटन किया। इस हवाई अड्डे की आधारशिला नवंबर 2016 में प्रधानमंत्री ने रखी थी।

लगभग 2,870 करोड़ रुपये की लागत से निर्मित इस हवाई अड्डे को टिकाऊ बुनियादी ढांचे की थीम पर बनाया गया है और इसमें एक सौर ऊर्जा संयंत्र, पर्यावरण के अनुकूल भवन, रनवे पर एलईडी लाइट्स, वर्षा जलसंचयन और पुनर्चक्रण सुविधाओं से युक्‍त अत्याधुनिक सीवेज उपचार संयंत्र आदि जैसी अन्‍य सुविधाएं शामिल है। इसने 3-डी मोनोलिथिक प्रीकास्ट बिल्डिंग, स्टेबिलरोड, रोबोमैटिक होलो प्रीकास्ट वॉल और 5जी के अनुरूप आईटी इंफ्रास्ट्रक्चर जैसी कुछ सर्वश्रेष्ठ प्रौद्योगिकियों को अपनाया है। इस हवाई अड्डे की कुछ विशेषताओं में दुनिया के सबसे बड़े विमानों को हैंडल करने में सक्षम रनवे, विमानों के लिए रात की पार्किंग सुविधा के साथ-साथ 14 पार्किंग बे, सेल्‍फ-बैगेज ड्रॉप सुविधाएं, अत्याधुनिक और स्वतंत्र हवाई नेविगेशन बुनियादी ढांचा आदि शामिल हैं।

प्रारंभ में, हवाई अड्डे का चरण-I प्रति वर्ष लगभग 4.4 मिलियन यात्री (एमपीपीए) की जरूरतों को पूरा करेगा, जिसे 33 एमपीपीए की संतृप्ति क्षमता तक बढ़ाया जा सकता है। हवाई अड्डा राज्य के सामाजिक आर्थिक विकास को बढ़ावा देगा और पर्यटन उद्योग की जरूरतों को पूरा करेगा। इसमें कई घरेलू और अंतरराष्ट्रीय गंतव्यों को सीधे जोड़ते हुए प्रमुख लॉजिस्टिक हब के रूप में सेवाएं देने की क्षमता है। हवाई अड्डे के लिए मल्टी-मॉडल कनेक्टिविटी की भी योजना है।

विश्व स्तरीय हवाई अड्डा होने के साथ-साथ यह हवाई अड्डा आगंतुकों को गोवा का अनुभव भी प्रदान करेगा। हवाई अड्डे में व्यापक रूप से अजुलेजोस टाइलों का उपयोग किया गया है, जो गोवा की मूल सामग्री है। यहां के फूड कोर्ट में विशुद्ध गोवा कैफे के आकर्षण की झलक है। इसमें पुरानी वस्‍तुओं के बाजार के लिए भी एक निर्दिष्ट क्षेत्र होगा जहां स्थानीय कारीगरों और शिल्पकारों को अपने माल का प्रदर्शन और विपणन करने के लिए प्रोत्साहित किया जाएगा।

 

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  • చెచర్ల ఉమాపతి December 25, 2022

    🙏🚩🌹🇮🇳🇮🇳🦚🦚♥️♥️🦚🦚🇮🇳🇮🇳🌹🚩👏
  • CHANDRA KUMAR December 23, 2022

    भारत जोड़ो यात्रा, एक हुडदंग से ज्यादा कुछ भी नहीं है। कांग्रेस पार्टी अपनी बची हुई जमा पूंजी दांव पर लगा चुकी है। बीजेपी सेल्फ गोल करने के लिए बैचेन लग रहा है। भाई , उसने भारत जोड़ो यात्रा किया, आप धर्म जोड़ो (हिंदू सिख बौद्ध जैन आदिवासी देवता आदि) यात्रा का आयोजन कीजिए, परिवार जोड़ो यात्रा का आयोजन कीजिए। आप बेवजह एक हारे हुए व्यक्ति को क्यों हराना चाहते हैं, आपको मालूम होना चाहिए की जब आप एक हिंसक व्यक्ति को मारेंगे, तब सब कोई आपके साथ होगा, लेकिन जब आप एक निहत्थे आदमी को मारेंगे, तब कोई आपके साथ नहीं होगा। सबकी सहानुभूति निहत्थे व्यक्ति के साथ होगा। बीजेपी क्या चाहती है की भारतीय जनता राहुल गांधी को अगला महात्मा गांधी मान ले। यदि नहीं, तो राहुल गांधी पर अभी हमला मत कीजिए। राहुल गांधी अभी पदयात्रा कर रहा है। जनता को उससे अभी सहानुभूति है। थोड़ा इंतजार कीजिए, एक वर्ष बाद लोकसभा चुनाव है, तब तक भारतीय जनता भूल जायेगी, की राहुल गांधी ने पदयात्रा भी किया था। लेकिन यदि बीजेपी ने राहुल गांधी को परेशान किया, तो पश्चिम बंगाल विधानसभा चुनाव की तरह, 2024 का लोकसभा चुनाव भी हारेगी। यह अच्छा हुआ कि कांग्रेस पार्टी का पदयात्रा 2023 में खत्म हो जायेगा, अन्यथा यदि यह पदयात्रा 2024 तक जारी रहता तो बीजेपी के खिलाफ भी माहौल बन सकता था। राहुल गांधी भुला हुआ कल है, उन्हें याद करने लायक मत बनाइए। राहुल गांधि का विरोध बंद कीजिए। अन्यथा राहुल गांधी, महात्मा गांधी बन जायेगा, यदि आप गोडसे बनने का कोशिश किए। राहुल गांधी को बस नजरंदाज कीजिए, वह कोई भी बयान दे, उस पर ध्यान मत दीजिए। तब भारतीय मीडिया और भारतीय जनता भी , उस पर ध्यान नहीं देगी। जब राहुल गांधी की पदयात्रा, भारत जोड़ो यात्रा, खत्म हो जाए, तब मालूम कीजिए, की इस तूफान ने बीजेपी के वोट बैंक का कितना नुकसान किया। फिर उस नुकसान के भरपाई का उपाय , उसी अनुसार से खोजिएगा।
  • DEBASHIS ROY December 20, 2022

    bharat mata ki joy
  • Jayakumar G December 20, 2022

    Peace, Power, Tourism, 5G connectivity, Culture, Natural farming, Sports, Potential.
  • Mohd Husain December 19, 2022

    Jay ho Manny Modi ji zindabad zindabad
  • BHUPENDRA SINGH BISHT December 19, 2022

    मेरी 5 फिगर इनकम मेरा 3 बीएचके का घर मेरी कार, मेरा व्यवसाय, मेरी 25 एकड़ जमीन मेरा फार्म हाउस आदि यह सब सुरक्षित है, जब तक मेरा देश सुरक्षित है। नहीं तो सब कुछ धू-धू कर जल जाएगा। रूस-यूक्रेन युद्ध में आज 20 लाख यूक्रेनियन अपना सबकुछ छोड़कर दूसरे देशों में शरण ले रहे हैं. वे भाग्यशाली थे कि उनके पड़ोसी देश थे जिन्होंने उन्हें आश्रय दिया। हमारा क्या होगा??? आपको क्या लगता है हम कहाँ जा सकते हैं??? एक तरफ पाकिस्तान, एक तरफ बांग्लादेश, नीचे हिंद महासागर, ऊपर चीन, देश के अंदर अनगिनत गद्दार!!! याद रखें कि आपको शरण देने के लिए कोई दूसरा देश नहीं है। इसलिए सस्ते पेट्रोल और मुफ्त राशन मुफ्त,बीजीली, पानी के बजाय एक मजबूत राष्ट्र को तरजीह दें। श्रीलंका,बेंजुला परिणाम है एक निर्विवाद सत्य।
  • gyaneshwar December 19, 2022

    shree Ganeshay namah Jai Ho Bharat Mata ki Jai Jai Hind vande Mataram Jai shree Ram 🕉️🚩🚩🚩🇮🇳🇮🇳🇮🇳🐅🪔🪔🌷🌺🌸🙏🙏
  • Babulal Chaudhari December 18, 2022

    विश्व राजपुरुष
  • DEEPESH TANDEL December 18, 2022

    सबका साथ सबका विकास।
  • Anjaiah Patel Palugula December 18, 2022

    namo Modiji
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प्रधानमंत्री ने रमज़ान के पवित्र महीने की शुभकामनाएं दीं
March 02, 2025

रमज़ान का पवित्र महीना शुरू हो गया है। प्रधानमंत्री श्री नरेंद्र मोदी ने इस पवित्र अवसर पर सभी को हार्दिक शुभकामनाएँ दीं।

उन्होंने एक्स पर पोस्ट में लिखा:

“रमज़ान का पवित्र महीना शुरू हो रहा है, यह हमारे समाज में शांति और सद्भाव लाए। यह पवित्र महीना चिंतन, कृतज्ञता और भक्ति का प्रतीक है, साथ ही हमें करुणा, दया और सेवा के मूल्यों की भी याद दिलाता है।

रमज़ान मुबारक!”