प्रधानमंत्री श्री नरेन्द्र मोदी कल बिहार में चंपारण सत्याग्रह के शताब्दी समापन समारोह के अवसर पर देश भर में होने वाले कार्यक्रम से जुड़ेंगे।
प्रधानमंत्री इस अवसर पर मोतिहारी में 20,000 स्वच्छाग्रहियों अथवा स्वच्छता के दूतों को संबोधित करेंगे। स्वच्छाग्रही गांव स्तर पर स्वच्छता के प्रति सामुदायिक दृष्टिकोण (सीएएस) को क्रियान्वित करने वाले जमीनी स्तर के अत्यंत महत्वपूर्ण कार्यकर्ता और अभिप्रेरक हैं। स्वच्छाग्रही खुले में शौच मुक्त राष्ट्र के लक्ष्य को प्राप्त करने की दिशा में होने वाली प्रगति की दृष्टि से अत्यंत महत्वपूर्ण माने जाते हैं।
महात्मा गांधी ने एक सदी पहले 10 अप्रैल 1917 को अंग्रेजों के खिलाफ उन किसानों के अधिकारों के लिए लड़ने के उद्देश्य से चंपारण सत्याग्रह का शुभारंभ किया था, जिन्हें नील की खेती करने के लिए विवश किया गया था। 10 अप्रैल, 2018 को चंपारण सत्याग्रह के शताब्दी समारोह के समापन के रूप में चिन्हित किया गया है और इसे ‘सत्याग्रह से स्वच्छाग्रह’ अभियान के माध्यम से मनाया जा रहा है।
प्रधानमंत्री इस अवसर पर कई विकास परियोजनाओं का अनावरण भी करेंगे।