समग्र देश का ऑटो हब बनने की दिशा में अग्रसर गुजरात
अब मारूति सुजुकी की भी पसन्द बना गुजरात
मुख्यमंत्री की मौजूदगी में मारूति सुजुकी और गुजरात सरकार के बीच राज्य सहयोग करार संपन्न
मांडल-बेचराजी में 4000 करोड़ के निवेश के साथ पहले चरण में साढ़े सात लाख कार उत्पादन का लक्ष्य
गांधीनगर, शनिवार: गुजरात के मुख्यमंत्री श्री नरेन्द्र मोदी की मौजूदगी में शनिवार को विश्वविख्यात मोटरकार उत्पादक कंपनी मारूति सुजुकी इंडिया लिमिटेड और गुजरात सरकार के बीच गुजरात में अहमदाबाद जिले की मांडल तहसील में ऑटोमोबाइल मैन्युफेक्चरिंग प्लांन्ट की स्थापना के लिए राज्य सरकार सहयोग करार (एसएसए) पर हस्ताक्षर संपन्न हुए। इस करार पर मारूति सुजुकी इंडिया लिमि. के सीईओ और प्रबंध निदेशक शिन्जो नाकानीशी और राज्य के उद्योग विभाग के प्रधान सचिव महेश्वर शाहू ने दस्तखत किये। इस मौके पर उद्योग राज्य मंत्री सौरभभाई पटेल, मुख्य सचिव ए.के. जोती, मारूति सुजुकी इंडिया के मुख्य परिचालन अधिकारी (सीओओ) एन.एम. सिंह भी उपस्थित थे।मुख्यमंत्री ने कहा कि मारूति सुजुकी द्वारा ऑटोमोबाइल मैन्युफेक्चरिंग प्लान्ट के लिए गुजरात का चुनाव करने से गुजरात अब विश्व की नामी ऑटोमोबाइल कंपनियों का ऑटो हब बनने जा रहा है। उन्होंने मारूति सुजुकी को इस प्रोजेक्ट की सफलता के लिए शुभकामनाएं भी दीं। मारूति सुजुकी इंडिया लिमि. के इस प्रोजेक्ट में दो चरणों के तहत कुल मिलाकर 4000 करोड़ रुपये का पूंजी निवेश होगा। पहली इकाई मांडल-बेचराजी के निकट स्थापित होगी जबकि दूसरी बेचराजी से 25 किमी. दूर परिसर में आकार लेगी। पहली इकाई में वार्षिक 7.5 लाख गाडिय़ों की उत्पादन क्षमता है। वहीं गुजरात और हरियाणा दोनों इकाइयों को मिलाकर गाडिय़ों की वार्षिक उत्पादन क्षमता 20 लाख तक पहुंच जाएगी। गुजरात इकाई के जरिए 4000 युवाओं को सीधा रोजगार मिलेगा।
श्री मोदी ने कहा कि मारूति सुजुकी इंडिया लिमि. और गुजरात सरकार संयुक्त रूप से ऑटोमोबाइल रिसर्च इंस्टीट्यूट की उत्कृष्ट संशोधन संस्था की स्थापना करेंगे। गुजरात में टाटा नैनो, फोर्ड और पिजोट कंपनियों के बाद अब मारूति सुजुकी के आगमन का स्वागत करते हुए मुख्यमंत्री ने कहा कि इस क्षेत्र में अब ऑटो एनसिलयरी यूनिट्स और सप्लायर पार्क भी आकार लेंगे। उन्होंने कहा कि मारूति कार भारत में आम आदमी के लिए परिवहन आवश्यकताओं की पूर्ति करती है। गुजरात के बंदरगाहों में निर्यात की उत्तम सुविधा उपलब्ध होने की वजह से विश्व के बाजारों में भी गुजरात ऑटोमोबाइल के क्षेत्र में निर्यातोन्मुखी राज्य के रूप में उभर रहा है। मुख्यमंत्री ने कहा कि पिछले एक ही वर्ष के दौरान गुजरात दुनिया की अग्रणी ऑटो मैन्युफेक्चरिंग कंपनियों को आकर्षित करने में सफल रहा है। परिवहन के मामले में जल एवं थल दोनों क्षेत्रों में गुजरात अग्रणी बनने जा रहा है।
बोम्बार्डियर का मेट्रो रेल प्रोजेक्ट, रेलवे-केरियर गुड्ज प्रोजेक्ट और ऑटोमोबाइल-प्रोजेक्ट के बाद गुजरात शिप-बिल्डिंग इंडस्ट्रीज का विकास कर रहा है। श्री मोदी ने कहा कि गुजरात इंजीनियरिंग के क्षेत्र में रोजगार प्रदान करने के मामले में अग्रसर बन रहा है और देश के राष्ट्रीय इंजीनियरिंग आउटपुट के औसत में 9 फीसदी का योगदान दे रहा है। वहीं, राज्य के कुल औद्योगिक उत्पादन का 18 फीसदी हिस्सा इंजीनियरिंग सेक्टर का है। उन्होंने कहा कि गुजरात के सकल घरेलू उत्पाद (जीडीपी) में अकेले मैन्युफेक्चरिंग सेक्टर का हिस्सा 27 फीसदी है जो दुनिया की अर्थव्यवस्था के समानांतर है। इस सन्दर्भ में मुख्यमंत्री ने कहा कि गुजरात में तकरीबन 300 इंजीनियरिंग क्लस्टर मौजूद हैं जिसमें फॉरेन टेक्नोलॉजी ट्रान्सफर एग्रीमेंट का योगदान 59 फीसदी है।
अब नये विकसित हो रहे इंजीनियरिंग क्लस्टर के तहत साणंद-वीरमगाम-मांडल-बेचराजी, अंजार, सांथलपुर और हालोल-सावली जैसे नये इंजीनियरिंग ऑटोमोबाइल मैन्युफेक्चरिंग क्षेत्रों का विकास हो रहा है। इस मौके पर मुख्यमंत्री ने मैन्युफेक्चरिंग क्षेत्र में गुजरात के युवाओं के हुनर-कौशल्य को कुशल मानवशक्ति के रूप में नई ताकत देने के लिए मानव विकास संशोधन की खड़ी की गई सुविधाओं की भूमिका पेश की।
उन्होंने कहा कि फिलवक्त राज्य में 54 इंजीनियरिंग कॉलेज और 106 डिप्लोमा टेक्निकल कॉलेज सहित 52 हजार बैठकों की क्षमता है। इसके अलावा करीब 440 वोकेशनल ट्रेनिंग इंस्टीट्युट तथा सेमी स्किल डेवलपमेंट के लिए 88 हजार बैठकों की सुविधा का विकास किया गया है। साथ ही 253 आईटीआई तकनीकी प्रशिक्षण प्रदान कर रही हैं। मारूति सुजुकी के प्रबंध निदेशक और सीईओ शिन्जो नाकानीशी ने कंपनी के नये प्लान्ट की स्थापना में गुजरात सरकार और जनता के सहयोग की प्रशंसा की।
गुजरात का चुनाव करने की पीछे की वजह का जिक्र करते हुए उन्होंने कहा कि गुजरात में कुशल कार्यशक्ति के अलावा मुन्द्रा बंदरगाह के निकट होने के कारण मोटर निर्यात की अनुकूल सुविधा भी है। शिन्जो ने गुजरात के साथ दीर्घकालिक भागीदारी की वकालत भी की।
इससे पूर्व मुख्य सचिव ए.के. जोती ने गुजरात में मारूति उद्योग के आगमन का स्वागत किया। इस अवसर पर वरिष्ठ सचिव भी उपस्थित थे।