क्रम संख्या

सहयोग किये जाने वाले क्षेत्र समझौते का विवरण
रक्षा और परमाणु ऊर्जा
1 L&T और AREVA के बीच समझौता ज्ञापन इसका उद्देश्य जैतापुर परियोजना की वित्तीय व्यवहार्यता में सुधार करने के लिए लोकलाइजेशन में वृद्धि कर लागत में कमी लाना है। इससे भारत में स्वदेशी परमाणु ऊर्जा उद्योग के विकास और प्रौद्योगिकी हस्तांतरण में मदद भी मिलेगी।
2 NPCIL और Areva के बीच प्री-इंजीनियरिंग समझौते यह समझौता संयंत्र के सभी तकनीकी पहलुओं पर स्पष्टता लाने के उद्देश्य से किया गया है ताकि सभी पार्टी (AREVA, Alstom and NPCIL) अपनी कीमतें तय कर सकते हैं और और अभी भी इस स्तर पर इस परियोजना की लागत से संबंधित जोखिम के सभी प्रावधानों का उपयोग कर सकते हैं।
अंतरिक्ष
3 मेघा ट्रापिक्स पर ISRO और CNES के बीच समझौता ज्ञापन 12 अक्टूबर 2011 को भारत-फ्रांस मेघा ट्रापिक्स उपग्रह भारतीय प्रक्षेपण यान पीएसएलवी लॉन्च किया गया था। उपग्रह से डेटा के उपयोग करने और साझा करने संबंधी यह समझौता ज्ञापन 2 साल के लिए बढ़ा दिया गया है।
4 ‘भारतीय उष्णकटिबंधीय क्षेत्र में Ka-band प्रसारण के प्रयोग' के लिए ISRO, CNES और ONERA के बीच समझौता ज्ञापन यह समझौता ज्ञापन के तहत भारतीय उष्णकटिबंधीय क्षेत्र में Ka-band प्रसारण के प्रयोग संबंधी परियोजना को लागू करने में सहयोग प्राप्त करने के लिए है। इसका मुख्य उद्देश्य रेडियोमीटर और मौसम संबंधी डेटा के साथ उपलब्ध Ka-band पारेषण और विश्लेषण प्रदर्शन का उपयोग करते हुए Ka-band क्षीणन डेटा संग्रह करना है।
5 इसरो और फ्रांसीसी राष्ट्रीय अंतरिक्ष अध्ययन केन्द्र (CNES) के बीच योजना इस समझौते के तहत सैटेलाइट रिमोट सेंसिंग, उपग्रह संचार और उपग्रह मौसम विज्ञान; अंतरिक्ष विज्ञान और ग्रहों के अन्वेषण; डेटा संग्रह और स्थान; उपग्रह जमीन स्टेशनों का संचालन और अंतरिक्ष यान मिशन प्रबंधन; अंतरिक्ष अनुसंधान और अनुप्रयोग के क्षेत्र में सहयोग का प्रस्ताव है। इसके अंतर्गत संयुक्त पृथ्वी अवलोकन मिशन, होस्टेड पेलोड अवसरों और मंगल ग्रह अन्वेषण आदि संभावित सहयोग की गतिविधियां आती हैं।
खेल
6 भारत के युवा मामले और और खेल मंत्रालय एवं फ्रांस के खेल, युवा मामले, सार्वजनिक शिक्षा और सामुदायिक जीवन मंत्रालय के बीच सहयोग के लिए समझौता ज्ञापन इस समझौते के तहत खेल चिकित्सा, संस्थागत सहयोग, निकटता खेल के संदर्भ में खेलों के अभ्यास के विकास, खेल में महिलाओं और विकलांगों की भागीदारी को समर्थन देने, खेल महासंघों के प्रबंधन और समन्वय, अधिकारियों के प्रशिक्षण और INSEP के फ्रांसीसी मॉडल के आधार पर भारत में राष्ट्रीय खेल संस्थान की स्थापना के लिए सहयोग और अनुभवों के आदान-प्रदान का प्रस्ताव है।
आर्थिक संबंध
7 नवीन और नवीकरणीय ऊर्जा मंत्रालय (एमएनआरई), भारत सरकार और पारिस्थितिकीय, सतत विकास और ऊर्जा मंत्रालय, फ्रांस सरकार के बीच अक्षय ऊर्जा के क्षेत्र में सहयोग के लिए समझौता ज्ञापन इस समझौते के तहत नवीन और नवीकरणीय ऊर्जा में तकनीकी कर्मियों के प्रशिक्षण और आदान-प्रदान, सूचना और डेटा के आदान-प्रदान, संयुक्त अनुसंधान और पता है कि कैसे और know-how और प्रौद्योगिकी के हस्तांतरण  के माध्यम से आपसी लाभ और पारस्परिकता के आधार पर तकनीकी द्विपक्षीय सहयोग को बढ़ावा देना और सहयोग और संबंधों के लिए आधार को प्रोत्साहित करना है। इसके अंतर्गत सौर, पवन, जैव ऊर्जा, ज्वार और लहर ऊर्जा के क्षेत्र आएंगे।
रेलवे
8 भारत के रेल मंत्रालय और फ्रांस के राष्ट्रीय रेलवे के बीच रेलवे प्रोटोकॉल इस प्रोटोकॉल के तहत भारतीय रेलवे और फ्रांस के राष्ट्रीय रेलवे के बीच अर्द्ध उच्च गति रेल और स्टेशन के नवीकरण के लिए सहयोग देने का प्रस्ताव है।
उर्जा
9 ऊर्जा दक्षता सर्विसेज लिमिटेड (EESL) के AFD फाइनेंसिंग के साथ गारंटी करार इस समझौते के तहत ऊर्जा दक्षता सर्विसेज लिमिटेड (EESL) को वित्तीय सहायता उपलब्ध कराने का प्रस्ताव है।
संस्कृति, विरासत संरक्षण, पर्यटन, जन-जन संपर्क
10 सांस्कृतिक विरासत के क्षेत्र में प्रशासनिक समझौता भारत के संस्कृति मंत्रालय और फ्रांस के संस्कृति और संचार मंत्रालय के बीच हुए इस प्रशासनिक समझौते के तहत फ्रांस में विरासत के क्षेत्र में क्यूरेटर और संरक्षणकर्ता के लिए उच्च शिक्षा प्रशिक्षण संस्थान Institute National du Patrimoine (INP) में भारतीय विरासत संरक्षण पेशेवरों के प्रशिक्षण के माध्यम से सांस्कृतिक विरासत के क्षेत्र में सहयोग देने, विरासत के संरक्षण के क्षेत्र में सांस्कृतिक और वैज्ञानिक सहयोग बढ़ाने, INP प्रशिक्षकों द्वारा भारतीय संस्थानों में लघु अवधि का प्रशिक्षण सत्र और भारत में फ्रेंच के प्रशिक्षण के लिए सहयोग देने का प्रस्ताव है।
11 पर्यटन पर आशय पत्र पर्यटन के क्षेत्र में सहयोग को बढ़ाने के लिए भारत और फ्रांस के बीच समझौते का उद्देश्य विशेषज्ञता और सर्वोत्तम प्रथाओं एवं पर्यटकों की सुरक्षा सुनिश्चित करते हुए दोनों देशों के बीच स्थायी द्विपक्षीय पर्यटन को बढ़ावा देना है। इसके तहत भारत और फ्रांस में ऐतिहासिक, प्राकृतिक और सांस्कृतिक महत्व वाले स्थलों को आपस में जोड़ कर पर्यटन स्थलों के रूप में उन्हें बढ़ावा देने का भी लक्ष्य है।
12 भारतीय पुरातत्व सर्वेक्षण (एएसआई) और राष्ट्रीय निवारक पुरातात्विक अनुसंधान संस्थान (INRAP) के बीच आशय इसके तहत निवारक पुरातत्व परियोजनाओं, संस्कृति का प्रसार और पुरातत्व को बढ़ावा देने की पहल, भारतीय पुरातत्व सर्वेक्षण के विशेषज्ञों के लिए प्रशिक्षण कार्यक्रम और विशेषज्ञता की तैनाती, खासकर पानी के अन्दर में तैनाती आदि में सहयोग देने का लक्ष्य है।
13 स्कूल ऑफ़ प्लानिंग एंड आर्किटेक्चर, दिल्ली और राष्ट्रीय वास्तुकला संस्थान पेरिस, फ्रांस के बीच समझौता ज्ञापन इसके तहत भारत और फ्रांस में संयुक्त योजना और भौगोलिक अध्ययन करने और आधुनिक शहरी और क्षेत्रीय अनुसंधान के क्षेत्र में स्थानीय समकक्षों को प्रशिक्षण देने के साथ-साथ शहरी और क्षेत्रीय नियोजन, भूगोल, पर्यावरण, निर्माण इंजीनियरिंग और प्रबंधन में वैज्ञानिक तरीकों की तकनीक में प्रशिक्षण देने के लिए सहयोग का प्रस्ताव है।
14 Indian Heritage Cities Network Foundation (IHCN) और Association Nationale des Villes et Pays d’Art et d’Histoire et villes a secteurs sauvegardés et protégés (‘ANVPAH’) के बीच समझौता ज्ञापन इस समझौते के तहत सतत विकास, शहरी नियोजन, विरासत संरक्षण और बुनियादी सेवाओं के उन्नयन के क्षेत्र में सहयोग करने के लिए सहायता देने का प्रस्ताव है।
15 ऐतिहासिक स्मारकों को आपस में जोड़ने का प्रस्ताव इसके अंतर्गत ऐतिहासिक स्मारकों को आपस में जोड़ने का प्रस्ताव है।
16 फ्रांस में भारतीय छात्रों और भारत में फ्रांस के छात्रों में को 24 महीने की अवधि के लिए रहने की अनुमति देने के लिए वीआईई योजना इसके योजना के तहत फ्रांस के 250 छात्रों को 12 महीने की अवधि के लिए भारतीय वीजा, जिसे 12 महीने के लिए एक बार और बढ़ाया जा सकता है और फ्रांस में भारतीय छात्रों को 12 महीने का 'सेकंड रेजिडेंस परमिट' दिया जायेगा जिस पर 12 महीने अतिरिक्त समय पहले से ही देय होगा।
17 आयुष मंत्रालय और स्ट्रासबर्ग विश्वविद्यालय के बीच आयुर्वेद पर आशय पत्र इसके तहत दोनों पार्टियां शैक्षणिक और अनुसंधान गतिविधियों, सहयोगात्मक अनुसंधान की व्यवहार्यता देखने, और पूर्ण शिक्षा के परिणामों के प्रचार-प्रसार के लिए रणनीति तैयार करने और फ्रांस में मानार्थ दवा के रूप में आयुर्वेद पर संयुक्त कार्यशालाओं / सम्मेलनों के आयोजन के माध्यम से आयुर्वेद शिक्षा और अनुसंधान के क्षेत्र में अपने संबंधों और सहयोग को मजबूत करने के लिए कार्य करेंगे।
कौशल विकास
18 राष्ट्रीय कौशल विकास एजेंसी (NSDA), भारत और राष्ट्रीय व्यावसायिक योग्यता आयोग (CNCD) के बीच समझौता ज्ञापन यह राष्ट्रीय कौशल योग्यता फ्रेमवर्क और वोकेशनल प्रमाणपत्र के लिए फ्रांस के राष्ट्रीय रजिस्टर (RNCP) के रखरखाव के बारे में जानकारी के आदान-प्रदान के लिए किया गया है। इस समझौते के तहत जानकारी के आदान-प्रदान, यात्राओं और अन्य उपयुक्त बैठकों के माध्यम से क्वालिफिकेशन रजिस्टरों के  रखरखाव के बारे में जानकारी आदान-प्रदान करने की सुविधा होगी।
विज्ञान एवं तकनीक
19 भारत के विज्ञान और प्रौद्योगिकी विभाग और फ्रांसीसी राष्ट्रीय वैज्ञानिक अनुसंधान केंद्र (CNRS) के बीच विज्ञान एवं प्रौद्योगिकी के क्षेत्र में सहयोग पर समझौता ज्ञापन यह समझौता जानकारियों के आदान-प्रदान, बैठकों / कार्यशालाओं / सेमिनारों, संयुक्त परियोजनाओं, और अनुसंधान कर्मियों के आदान-प्रदान, वर्चुअल संयुक्त प्रयोगशालाओं की स्थापना और संयुक्त अनुसंधान केन्द्रों की स्थापना के माध्यम से एप्लाइड गणित, भौतिक विज्ञान, सूचना एवं संचार प्रौद्योगिकी, जल संसाधन और पर्यावरण, जीवन-विज्ञान, खगोल-विज्ञान, जलवायु और ऊर्जा के क्षेत्रों में दोनों देशों के बीच सहयोग के लिए किया गया है।
20 भारत में राष्ट्रीय समुद्री जीव-विज्ञान और जैव प्रौद्योगिकी संस्थान की स्थापना के लिए सहयोग करने हेतु भारत के जैव प्रौद्योगिकी विभाग और CNRS और UPMC के बीच समझौता ज्ञापन इसके तहत भारत में राष्ट्रीय समुद्री जीव-विज्ञान और जैव प्रौद्योगिकी संस्थान के साथ-साथ एक हब और अंडमान से लक्षद्वीप तक भारत के समुद्री क्षेत्रों के लिए प्रयोगशालाओं का एक स्पोक नेटवर्क स्थापित करने का प्रस्ताव है।

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November 22, 2024

गुटेन आबेन्ड

स्टटगार्ड की न्यूज 9 ग्लोबल समिट में आए सभी साथियों को मेरा नमस्कार!

मिनिस्टर विन्फ़्रीड, कैबिनेट में मेरे सहयोगी ज्योतिरादित्य सिंधिया और इस समिट में शामिल हो रहे देवियों और सज्जनों!

Indo-German Partnership में आज एक नया अध्याय जुड़ रहा है। भारत के टीवी-9 ने फ़ाउ एफ बे Stuttgart, और BADEN-WÜRTTEMBERG के साथ जर्मनी में ये समिट आयोजित की है। मुझे खुशी है कि भारत का एक मीडिया समूह आज के इनफार्मेशन युग में जर्मनी और जर्मन लोगों के साथ कनेक्ट करने का प्रयास कर रहा है। इससे भारत के लोगों को भी जर्मनी और जर्मनी के लोगों को समझने का एक प्लेटफार्म मिलेगा। मुझे इस बात की भी खुशी है की न्यूज़-9 इंग्लिश न्यूज़ चैनल भी लॉन्च किया जा रहा है।

साथियों,

इस समिट की थीम India-Germany: A Roadmap for Sustainable Growth है। और ये थीम भी दोनों ही देशों की Responsible Partnership की प्रतीक है। बीते दो दिनों में आप सभी ने Economic Issues के साथ-साथ Sports और Entertainment से जुड़े मुद्दों पर भी बहुत सकारात्मक बातचीत की है।

साथियों,

यूरोप…Geo Political Relations और Trade and Investment…दोनों के लिहाज से भारत के लिए एक Important Strategic Region है। और Germany हमारे Most Important Partners में से एक है। 2024 में Indo-German Strategic Partnership के 25 साल पूरे हुए हैं। और ये वर्ष, इस पार्टनरशिप के लिए ऐतिहासिक है, विशेष रहा है। पिछले महीने ही चांसलर शोल्ज़ अपनी तीसरी भारत यात्रा पर थे। 12 वर्षों बाद दिल्ली में Asia-Pacific Conference of the German Businesses का आयोजन हुआ। इसमें जर्मनी ने फोकस ऑन इंडिया डॉक्यूमेंट रिलीज़ किया। यही नहीं, स्किल्ड लेबर स्ट्रेटेजी फॉर इंडिया उसे भी रिलीज़ किया गया। जर्मनी द्वारा निकाली गई ये पहली कंट्री स्पेसिफिक स्ट्रेटेजी है।

साथियों,

भारत-जर्मनी Strategic Partnership को भले ही 25 वर्ष हुए हों, लेकिन हमारा आत्मीय रिश्ता शताब्दियों पुराना है। यूरोप की पहली Sanskrit Grammer ये Books को बनाने वाले शख्स एक जर्मन थे। दो German Merchants के कारण जर्मनी यूरोप का पहला ऐसा देश बना, जहां तमिल और तेलुगू में किताबें छपीं। आज जर्मनी में करीब 3 लाख भारतीय लोग रहते हैं। भारत के 50 हजार छात्र German Universities में पढ़ते हैं, और ये यहां पढ़ने वाले Foreign Students का सबसे बड़ा समूह भी है। भारत-जर्मनी रिश्तों का एक और पहलू भारत में नजर आता है। आज भारत में 1800 से ज्यादा जर्मन कंपनियां काम कर रही हैं। इन कंपनियों ने पिछले 3-4 साल में 15 बिलियन डॉलर का निवेश भी किया है। दोनों देशों के बीच आज करीब 34 बिलियन डॉलर्स का Bilateral Trade होता है। मुझे विश्वास है, आने वाले सालों में ये ट्रेड औऱ भी ज्यादा बढ़ेगा। मैं ऐसा इसलिए कह रहा हूं, क्योंकि बीते कुछ सालों में भारत और जर्मनी की आपसी Partnership लगातार सशक्त हुई है।

साथियों,

आज भारत दुनिया की fastest-growing large economy है। दुनिया का हर देश, विकास के लिए भारत के साथ साझेदारी करना चाहता है। जर्मनी का Focus on India डॉक्यूमेंट भी इसका बहुत बड़ा उदाहरण है। इस डॉक्यूमेंट से पता चलता है कि कैसे आज पूरी दुनिया भारत की Strategic Importance को Acknowledge कर रही है। दुनिया की सोच में आए इस परिवर्तन के पीछे भारत में पिछले 10 साल से चल रहे Reform, Perform, Transform के मंत्र की बड़ी भूमिका रही है। भारत ने हर क्षेत्र, हर सेक्टर में नई पॉलिसीज बनाईं। 21वीं सदी में तेज ग्रोथ के लिए खुद को तैयार किया। हमने रेड टेप खत्म करके Ease of Doing Business में सुधार किया। भारत ने तीस हजार से ज्यादा कॉम्प्लायेंस खत्म किए, भारत ने बैंकों को मजबूत किया, ताकि विकास के लिए Timely और Affordable Capital मिल जाए। हमने जीएसटी की Efficient व्यवस्था लाकर Complicated Tax System को बदला, सरल किया। हमने देश में Progressive और Stable Policy Making Environment बनाया, ताकि हमारे बिजनेस आगे बढ़ सकें। आज भारत में एक ऐसी मजबूत नींव तैयार हुई है, जिस पर विकसित भारत की भव्य इमारत का निर्माण होगा। और जर्मनी इसमें भारत का एक भरोसेमंद पार्टनर रहेगा।

साथियों,

जर्मनी की विकास यात्रा में मैन्यूफैक्चरिंग औऱ इंजीनियरिंग का बहुत महत्व रहा है। भारत भी आज दुनिया का बड़ा मैन्यूफैक्चरिंग हब बनने की तरफ आगे बढ़ रहा है। Make in India से जुड़ने वाले Manufacturers को भारत आज production-linked incentives देता है। और मुझे आपको ये बताते हुए खुशी है कि हमारे Manufacturing Landscape में एक बहुत बड़ा परिवर्तन हुआ है। आज मोबाइल और इलेक्ट्रॉनिक्स मैन्यूफैक्चरिंग में भारत दुनिया के अग्रणी देशों में से एक है। आज भारत दुनिया का सबसे बड़ा टू-व्हीलर मैन्युफैक्चरर है। दूसरा सबसे बड़ा स्टील एंड सीमेंट मैन्युफैक्चरर है, और चौथा सबसे बड़ा फोर व्हीलर मैन्युफैक्चरर है। भारत की सेमीकंडक्टर इंडस्ट्री भी बहुत जल्द दुनिया में अपना परचम लहराने वाली है। ये इसलिए हुआ, क्योंकि बीते कुछ सालों में हमारी सरकार ने Infrastructure Improvement, Logistics Cost Reduction, Ease of Doing Business और Stable Governance के लिए लगातार पॉलिसीज बनाई हैं, नए निर्णय लिए हैं। किसी भी देश के तेज विकास के लिए जरूरी है कि हम Physical, Social और Digital Infrastructure पर Investment बढ़ाएं। भारत में इन तीनों Fronts पर Infrastructure Creation का काम बहुत तेजी से हो रहा है। Digital Technology पर हमारे Investment और Innovation का प्रभाव आज दुनिया देख रही है। भारत दुनिया के सबसे अनोखे Digital Public Infrastructure वाला देश है।

साथियों,

आज भारत में बहुत सारी German Companies हैं। मैं इन कंपनियों को निवेश और बढ़ाने के लिए आमंत्रित करता हूं। बहुत सारी जर्मन कंपनियां ऐसी हैं, जिन्होंने अब तक भारत में अपना बेस नहीं बनाया है। मैं उन्हें भी भारत आने का आमंत्रण देता हूं। और जैसा कि मैंने दिल्ली की Asia Pacific Conference of German companies में भी कहा था, भारत की प्रगति के साथ जुड़ने का- यही समय है, सही समय है। India का Dynamism..Germany के Precision से मिले...Germany की Engineering, India की Innovation से जुड़े, ये हम सभी का प्रयास होना चाहिए। दुनिया की एक Ancient Civilization के रूप में हमने हमेशा से विश्व भर से आए लोगों का स्वागत किया है, उन्हें अपने देश का हिस्सा बनाया है। मैं आपको दुनिया के समृद्ध भविष्य के निर्माण में सहयोगी बनने के लिए आमंत्रित करता हूँ।

Thank you.

दान्के !