नवप्रशिक्षित 387 पुलिस अधिकारियों की शानदार दीक्षांत परेड का मुख्यमंत्री ने किया सलामी निरीक्षण
उत्तम कर्तव्य निर्वहन के जरिए वर्दी की इज्जत बढ़ाएं : मुख्यमंत्री
च्गुजरात को कफ्र्यूमुक्त रखने का श्रेय पुलिसतंत्र की सुरक्षा सेवा कोज् पहली बार एक साथ 61 पुलिस उपाधीक्षक, 177 उपनिरीक्षक, 116 महिला लोकरक्षक और 33 इंटेलिजेंस अधिकारियों की पासिंग आउट परेडअहमदाबाद, सोमवार: मुख्यमंत्री श्री नरेन्द्र मोदी ने सोमवार को गुजरात पुलिस अकादमी-कराई में 387 नवप्रशिक्षित अधिकारियों-कर्मियों की शानदार दीक्षांत परेड का सलामी निरीक्षण किया। आज से पुलिस सेवा में पदार्पण कर रहे इन अधिकारियों और जोश से सराबोर पुलिसकर्मियों को आम जनता की सुरक्षा के लिए उत्तम कर्तव्य निर्वहन करते हुए पुलिस वर्दी की इज्जत बढ़ाने का प्रेरक सुझाव श्री मोदी ने दिया। गुजरात की स्थापना के बाद पहली बार 20 महिलाओं सहित 61 सीधी भर्ती वाले पुलिस उपाधीक्षक, 177 उपनिरीक्षक, 116 महिला लोकरक्षक एवं देश में पहली बार गुजरात सरकार की ओर से शुरू की गई गुप्तचर पुलिस कैडर में शामिल 33 इंटेलिजैंस अधिकारियों की प्रशिक्षु बैच का दीक्षांत परेड समारोह कराई स्थित पुलिस अकादमी में आज संपन्न हुआ।
चुस्ती-फुर्ती और अनुशासन के साथ तिरंगे की निश्रा में आयोजित इस गरिमामय दीक्षांत परेड की सलामी लेते हुए मुख्यमंत्री ने कहा कि तिरंगा तो 120 करोड़ भारतवासियों की प्राणशक्ति है, लिहाजा उसके पहरेदार के रूप में शपथ लेकर समाज और राष्ट्र की सुरक्षा के लिए अपना जीवन समर्पित करें।
मुख्यमंत्री ने कहा कि बहुत थोड़े वक्त में ही गुजरात पुलिस दल में 26,000 पुलिसकर्मियों की विविध कैडरों में पारदर्शी भर्ती हुई है। चिकित्सक, इंजीनियर, स्नातकोत्तर समेत साहसिक कन्याओं द्वारा सार्वजनिक सुरक्षा के इस चुनौतीपूर्ण क्षेत्र को बतौर कैरियर चुनने की प्रशंसा करते हुए श्री मोदी ने कहा कि गुजरात का पुलिस दल आज हिन्दुस्तान का सबसे युवा पुलिस दल बन गया है। इतना ही नहीं, कंप्यूटर और टेक्नोसेवी जैसे कौशल्यवान युवा पुलिस सेवा से जुड़े हैं। उन्होंने कहा कि भारत में सर्वप्रथम गुजरात सरकार ने गुप्तचरतंत्र की सेवाओं के लिए अलग कैडर खड़ी की है। इसकी पहली प्रशिक्षण बैच के 33 इंटेलिजैंस अधिकारी जो गुजरात पुलिस के गुप्तचर विभाग की सेवाओं में अपने उत्तम कौशल्य का योगदान देने वाले हैं, का स्वागत करते हुए श्री मोदी ने कहा कि समग्र सुरक्षा के क्षेत्र में गुप्तचर तंत्र का सर्वाधिक महत्व है। लेकिन दुर्भाग्य से यह क्षेत्र अब तक उदासीन और उपेक्षित ही रहा है।
गुजरात ने इस दिशा में अनोखी पहल करते हुए इस क्षेत्र में सेवा-कौशल्य बताने को इच्छुक लोगों के लिए कैरियर निर्माण का अवसर उपलब्ध करवाया है। गुप्तचर सेवाएं समग्र सुरक्षा क्षेत्र की प्राणशक्ति बने, ऐसी अपेक्षा जताते हुए मुख्यमंत्री ने कहा कि गुजरात में परिवारों की कन्याएं भी जांबाज पुलिस सेवा के लिए आगे आकर पुलिसदल को नई शक्ति प्रदान कर रही है। पेज 2 पर जारी... नवप्रशिक्षित 387 पुलिस... पेज 2 गुप्तचर विभाग के पुलिसकर्मियों को पर्दे के पीछे का कौशल्यवान कर्मी करार देते हुए उन्होंने कहा कि गुप्तचर सेवा के कर्मी पुलिस की वर्दी नहीं पहनते लेकिन समग्रतया पुलिसवर्दी की इज्जत अवश्य बढ़ा सकते हैं।
उन्होंने कहा कि गुजरात सरकार ने पुलिस तंत्र की सुरक्षा सेवाओं को आधुनिक स्वरूप देने के लिए राज्य की रक्षाशक्ति यूनिवर्सिटी, फोरेंसिक साइंस यूनिवर्सिटी और गुजरात लॉ यूनिवर्सिटी के पाठ्यक्रमों के साथ संयोजन किया है क्योंकि समाज और राष्ट्र के जीवन में गुजरात शांति और सुरक्षा की दृष्टि से सिरमौर बने रहने को प्रतिबद्घ है। राज्य का क्राइम रेट देश में सबसे नीचे है और शांति व सुरक्षा का पिछला एक दशक गुजरात के विकास का पोषक बना है। इसका उल्लेख करते हुए मुख्यमंत्री ने कहा कि गुजरात कफ्र्यूमुक्त रहा इसका श्रेय पुलिस विभाग को जाता है। अनेक विपरीत परिस्थितियों और नकारात्मकता के माहौल के बीच भी गुजरात पुलिस का आत्मविश्वास बरकरार रहा है। उन्होंने कहा कि समाज की सुरक्षा के लिए पुलिस अविरत परिश्रम करती है। पुलिस के मनोबल को डिगाने के केन्द्र के सत्ताधीशों के प्रयास सफल नहीं हो रहे हैं।
मुख्यमंत्री ने गुजरात पुलिस के तमाम सवंर्गों में इनबिल्ट 100-मानवघंटे प्रशिक्षण मॉड्युल का एक अनोखा मॉडल विकसित करने की उपलब्धियों की प्रशंसा की। उन्होंने कहा कि दिसंबर-11 से अप्रैल-12 तक के पांच महीनों में ही गुजरात में 660 जितने पुलिस निरीक्षकों ने अपने अधीनस्थ कॉन्सटेबल स्तर तक के पुलिसकर्मियों को अपना ज्ञान 100 घंटे प्रशिक्षण मॉड्युल के तहत बांटा है। इसके अंतर्गत 26 लाख से अधिक मानवघंटों का वैज्ञानिक पद्घति का प्रशिक्षण 22,000 से ज्यादा जवानों को मिला है। उन्होंने कहा कि राज्य सरकार ने अब इस मॉड्युल का फलक विस्तारित कर तमाम अधिकारी स्तर को भी समावेशित करने का आयोजन किया है। देश में पुलिस प्रशिक्षण का ऐसा सुविचारित ढांचा मात्र गुजरात ने ही विकसित किया है।
गुजरात पुलिस को अन्यों से बेहतर करार देते हुए उन्होंने सुझाव दिया कि गुजरात के प्रत्येक पुलिस थाने प्रति सप्ताह अपनी सकारात्मक सफलतागाथा को वेबसाइट पर रखें। दीक्षांत परेड का सीधा प्रसारण राज्य पुलिस विभाग की ओर से गुजरात के 550 से अधिक सभी पुलिस थानों में ई-ग्राम नेटवर्क के जरिए किया गया।
पुलिस, गृहरक्षक दल, ग्रामरक्षक दल, सागररक्षक दल सहित पुलिस परिवारों के पौने दो लाख लोगों ने इसे निहारा। प्रशिक्षण के दौरान उत्कृष्ट दक्षता हासिल करने वाले पुलिस अधिकारियों-कर्मियों को मुख्यमंत्री ने मेडल्स तथा ऑनर-सम्मान से नवाजा। प्रारंभ में कराई पुलिस अकादमी के निदेशक अतिरिक्त पुलिस महानिदेशक फजल गार्ड ने कराई में दिए जाने वाले सघन प्रशिक्षण तथा कार्यप्रवृत्ति की रूपरेखा देते हुए सभी का स्वागत किया। पुलिस अकादमी के संयुक्त निदेशक अतुल करवल ने प्रशिक्षण पूर्ण करने वाले अधिकारी-कर्मियों को शपथ दिलाई तथा सभी का आभार व्यक्त किया। समारोह में गृह राज्य मंत्री प्रफुलभाई पटेल, मार्ग-मकान राज्य मंत्री जयद्रथसिंह परमार, गृह विभाग के अतिरिक्त मुख्य सचिव डॉ. वरेश सिन्हा, पुलिस महानिदेशक चितरंजन सिंह सहित उच्च पुलिस अधिकारी और प्रशिक्षण पूर्ण करने वाले कर्मियों के परिजन उपस्थित थे।