केरलातिले एनडे सहोदरी-सहोदरनमारे एल्ला-वरक्कुम,
एनडे नमस्कारम!
Friends,
I bow to Sri Anantha Padmanabhaswamy. I seek his blessings for the progress of the nation and its 140 crore people. It is always a pleasure to come to Thiruvananthapuram. This city is full of warm and affectionate people. I remember, when I was here last year, thousands of people had gathered along the roads to bless me. I get so much love from the people of Kerala. his also motivates me to repay their faith with more hard work.
साथियों,
केरला के लोगों में इस बार एक अलग ही उत्साह है। 2019 में केरला में बीजेपी को लेकर जो आशा जगी थी, वो 2024 में विश्वास में बदलती नज़र आ रही है। 2019 में केरला ने बीजेपी-एनडीए को डबल डिजिट में वोट दिया था। 2024 में केरला डबल डिजिट में सीट देने का मन बना रहा है। मैं केरला से इसी आशीर्वाद की अपेक्षा भी करता हूँ। क्योंकि, केरला भविष्य को जीने वाला, भविष्य को जानने वाला राज्य है। और 2024 में, कुछ महीनों बाद क्या होने वाला है, ये भविष्य अब किसी से छुपा नहीं है। 2019 में देश नारा दे रहा था- फिर एक बार, मोदी सरकार! 2024 में हर कोई कह रहा है- अबकी बार, 400 पार!
साथियों,
2024 के लोकसभा चुनाव में विपक्ष अपनी हार मान चुका है। अपनी हार तय देखकर वो बौखलाया हुआ है, उसके पास देश के विकास का रोडमैप नहीं है। इसलिए उसने एक ही एजेंडा बनाया है- मोदी को गाली दो। मैं केरला के प्रतिभावान लोगों को जानता हूं। केरला, कभी ऐसी नकारात्मक सोच रखने वालों के साथ कभी भी खड़ा नहीं होगा। केरला इस बार राष्ट्र निर्माण के लिए बीजेपी को, एनडीए को आशीर्वाद देगा। यहां बीजेपी जिस तरह पदयात्रा निकाल रही है, जिस तरह सुरेंद्रन जी के साथ लोग सड़कों पर कंधे से कंधा मिलाकर चल रहे हैं, वो अपने आप में बहुत बड़ा संदेश है। केरला का ये मिजाज ही भाजपा के लिए 370 सीटों के लक्ष्य को आसान बनाएगा। मैं आपको ये विश्वास दिलाने आया हूँ कि आपकी आकांक्षाओं को, केरला के सपनों को साकार करने में मोदी कोई कमी नहीं छोड़ेगा। और ये मोदी की गारंटी है।
साथियों,
बीजेपी ने कभी केरला को, या देश के किसी और राज्य को वोट के चश्मे से नहीं देखा है। जब बीजेपी यहाँ कमजोर थी, तब भी हमने केरला को मजबूत बनाने के लिए काम किया। इन 10 वर्षों में देश का जो विकास हुआ, जो बड़े फैसले लिए गए, उनका उतना ही लाभ केरला को भी मिला, जितना बीजेपी शासित प्रदेशों को! केरला की जागरूक जनता ये सब जानती है। और, यहाँ के लोग तो पूरी दुनिया में हैं। आज विश्व में भारत का बढ़ता हुआ कद, उसने केरला के लोगों में एक नया आत्मविश्वास भरा है। गल्फ के देशों में रहने वाले मेरे भाइ बहनों ने अभी हाल ही में अनुभव किया है कि तब के भारत और आज के भारत में कितना फर्क है। 2024 का चुनाव इस नए भारत को और आगे लेकर जाने का चुनाव है।
साथियों,
आज देश में मोदी के तीसरे कार्यकाल को लेकर हर तरफ चर्चा हो रही है। मोदी सरकार के तीसरे कार्यकाल में भारत विश्व की तीसरी सबसे बड़ी इकोनॉमी बनेगा... इदाणु मोदियुडे गारण्टी। हमारे तीसरे कार्यकाल में भ्रष्टाचार से हमारी लड़ाई और तेज होगी। भ्रष्ट लोग कोई भी गलत काम करने से पहले 100 बार सोचेंगे.. इदाणु मोदियुडे गारण्टी। हमने पहले ही 25 करोड़ से ज्यादा लोगों को गरीबी से बाहर निकाला है और अब तीसरे कार्यकाल में कई करोड़ भारतवासी गरीबी से बाहर आने वाले हैं... इदाणु मोदियुडे गारण्टी।
साथियों,
केरला में सबको ये पता है कि एलडीएफ और यूडीएफ दोनों ने केरला में शिक्षा व्यवस्था की क्या हालत की है। सबको पता है कि केरला के मेरे गरीब और मिडिल क्लास परिवारों के बच्चों को हायर एजुकेशन में कितनी दिक्कत आती है। हमारा तीसरा कार्यकाल, केरला में शिक्षण संस्थानों की स्थिति को और अच्छा करने पर केंद्रित होगा। इससे हमारे सामान्य परिवारों के बच्चों के लिए नए रास्ते बनेंगे...
इदाणु मोदियुडे गारण्टी। हमारा तीसरा कार्यकाल, सेमीकंडक्टर से ग्रीन हाइड्रोजन तक तरक्की के नए क्षेत्र खोलने का कार्यकाल होगा। इससे केरला के नौजवानों के लिए नौकरियों और रोजगार के लाखों अवसर बनेंगे... इदाणु मोदियुडे गारण्टी।
साथियों,
केरला की राज्य सरकार के लगातार असहयोग मिलने के बावजूद भी केरला, भारत सरकार के लिए प्राथमिकता पर रहा है। भाजपा सरकार ने ही ये तय किया कि केंद्र सरकार की सारी नौकरियों की परीक्षा मलयालम समेत सारी स्थानीय भाषाओं में भी कराई जाए। भाजपा सरकार ने ही भारत की पारंपरिक चिकित्सा, आयुर्वेद और योग के लिए पूरी दुनिया को देश से जोड़ा है। आज केरला के डेढ़ करोड़ से ज्यादा लोग भाजपा सरकार की फ्री राशन योजना का लाभ उठा रहे हैं। आयुष्मान भारत योजना के जरिए यहां के लोगों को करीब साढ़े 5 हजार करोड़ रुपये का मुफ्त इलाज मिला है। केरला के 36 लाख से अधिक घरों को जल जीवन मिशन के तहत नल से जल की सुविधा मिली है। केरला के 40 लाख किसानों को किसान सम्मान निधि के रूप में सीधी आर्थिक मदद मिली है। केरला के युवा रोजगार देने वाले उद्यमी बनें, इसके लिए राज्य में 50 लाख से अधिक मुद्रा लोन बांटे गए हैं। इसमें ज्यादातर लाभार्थी हमारी बेटियां हैं। वंदे भारत से हाइवे प्रोजेक्ट्स तक, केरला में आज न्यू जेनरेशन इंफ्रास्ट्रक्चर पर खूब काम किया जा रहा है।
साथियों,
केरला में बीजेपी कभी सरकार में नहीं रही, लेकिन फिर भी हमने केरला के विकास का पूरा प्रयास किया है। मैंने अपना ट्रैक रिकॉर्ड आपके सामने रख दिया है। लेकिन कांग्रेस और कम्युनिस्टों के नए गठबंधन का हाल क्या है! उनका एक ही ट्रैक रेकॉर्ड है, एक ही उपलब्धि है- कैसे उन्होंने पूरे देश को दशकों तक एक ही परिवार के कब्जे में रखा। उनके लिए परिवार का हित देश के करोड़ों परिवारों से ऊपर रहा है। कांग्रेस का यही रंग अब कम्युनिस्टों पर भी छा चुका है। केरला में उनकी भी सरकार इसी मॉडल पर चल रही है। क्योंकि, ये लोग केरला में तो एक दूसरे के दुश्मन हैं। लेकिन, केरला के बाहर बाकी देश में ये एक दूसरे के BFF यानी बेस्ट फ्रेंड फॉर-एवर है। आप देखिए, केरला में ये लोग एक दूसरे पर हत्या का आरोप लगाते हैं, एक दूसरे के कार्यकर्ताओं का जीवन संकट में डालते हैं। कांग्रेस ने तो कम्युनिस्ट सीएम पर घोटालों के आरोप भी लगाए और उन्हें फासीवादी तक बता डाला। जवाब में, कम्युनिस्ट सरकार ने कांग्रेस के लोगों पर लाठीचार्ज कराया। कम्यूनिस्ट अब कांग्रेस की पिछली सरकारों को घोटालों का जिम्मेदार बता रहे हैं। ये लोग कांग्रेस के युवराज को केरला से बाहर रहने की नसीहत भी दे रहे हैं। लेकिन, केरला के बाहर ये इंडी गठबंधन की बैठक में कम्युनिस्ट और कांग्रेस साथ-साथ बैठते हैं, अगल-बगल में बैठते हैं, समोसा खाते हैं, बिस्किट खाते हैं, चाय पीते हैं। यानी, तिरुवनंतपुरम में कुछ और भाषा, दिल्ली में कुछ और बोली, इस धोखाधड़ी का जवाब केरल के मेरे भाइयों-बहनों आने वाले चुनाव में हर केरला का नागरिक देने वाला है।
साथियों,
केरला की पहचान है- टूरिज्म से, टैलेंट से। लेकिन काँग्रेस और कम्युनिस्टों ने इसे घोटालों और अराजकता की पहचान देने की कोशिश की है। केरला के लोग हर किसी के लिए अपने आतिथ्य भाव के लिए जाने जाते हैं। लेकिन कांग्रेस और कम्युनिस्ट, इनका एक ही एजेंडा रहता है- कैसे लोगों को लड़वाकर वोट बटोरे जाएं। केरला के लोग शताब्दियों से उद्योग और व्यापार के लिए जाने जाते हैं। लेकिन कांग्रेस और कम्युनिस्ट सरकारों ने ऐसी स्थितियां बना दीं कि यहां नई इंडस्ट्रीज आने से डरने लगी हैं। इसी का असर है कि यहां के लोगों के लिए नौकरी ढूंढ पाना मुश्किल होता जा रहा है। एक बार काँग्रेस, फिर कम्युनिस्ट, एक बार म्युनिस्ट फिर काँग्रेस, केरला में बस सरकार बदलती है, हालात नहीं बदलते! अबकी बार ये लोकसभा चुनाव केरला के हालात बदलने का मौका है। पहली बार केरला के पास नई राजनीति के उदय का मौका है।
साथियों,
बीजेपी का एक ही मंत्र है- सबका साथ, सबका विकास, सबका विश्वास और सबका प्रयास। हमारे लिए, हर समुदाय, हर जाति और हर क्षेत्र महत्वपूर्ण है। हमने हर वर्ग को सम्मान और स्वाभिमान से जोड़ने की कोशिश की है। हमने देश के हर नागरिक की उन्नति के लिए काम किया है। युद्ध क्षेत्रों से नर्सेज को, हर धर्म के लोगों को निकालना हो, या ट्रिपल तलाक का कानून पास करना हो, हमारी सरकार ने ‘सबकी सरकार’ और ‘सबके लिए सरकार’ के मंत्र पर काम किया है। हम तीसरे कार्यकाल में भी इसी भावना के साथ आपकी सेवा करते रहेंगे और काम करने वाले हैं। इसी विश्वास के साथ, आप सभी को एक बार फिर नमस्कारम
धन्यवाद!
मेरे साथ बोलिए भारत माता की...
भारत माता की...
भारत माता की...
बहुत-बहुत धन्यवाद।