QuoteEvery single vote you cast will guarantee development and ensure the protection and respect of our tribal heritage: PM in Jharkhand rally
QuoteBe vigilant against the conspiracy of Congress and its allies: PM Modi in Chaibasa
QuoteWhen I say we need to build a Viksit Bharat, a Viksit Jharkhand, I say this for the better future of your children: PM

जय जोहार !

ये भगवान बिरसा मुंडा और शहीद पोटो हो के पराक्रम की धरती है। झारखंड की ये भूमि, जनजातीय गौरव, जनजातीय मान-मर्यादा की साक्षी रही है। ये माटी, उस आदिवासी शौर्य की साक्षी रही है, जिसने भारत की आज़ादी, भारत की संस्कृति और विरासत की रक्षा की है। इस धरा ने, भगवान बिरसा मुंडा, पोटो हो, तिलका मांझी, चांद-भैरव, निलांबर-पितांबर, सिद्धो-कान्हो जैसे अनगिनत वीरों को जन्म दिया। आदिवासी बलिदान का अमर साक्षी, हमारा ये सेरेंगसिया शहीद स्मारक भी है। ये हमारे ‘हो’ आदिवासी वीरों की गाथा कहता है। इतिहास गवाह है कि कैसे कोल्हान ने अत्याचारी अंग्रेज़ी सेना को टक्कर दी थी। आज फिर कोल्हान ने, JMM-कांग्रेस-RJD की अत्याचारी सरकार को उखाड़ फेंकने के लिए कमर कस ली है। हर कोई कह रहा है कि इस बार कोल्हान नया इतिहास रचने जा रहा है। जो सालों-साल नहीं हुआ, वो इस साल होने जा रहा है। चाईबासा की इस विशाल रैली का संदेश भी यही है। आज मैं इस चुनाव अभियान में पहली बार आया हूं। और ये मेरी दूसरी रैली है। दोनों रैली को देखने के बाद मैं दावे से कहता हूं कि भारतीय जनता पार्टी-एनडीए इतिहास में मिले किसी भी परिणाम से और अधिक सीटों के साथ सरकार बनाएगी। और ये मैं आपके आशीर्वाद के कारण कह रहा हूं। आपका ये उत्साह, ये उमंग, ये जोश, इसके कारण कह रहा हूं। पूरा झारखंड एक सुर में कह रहा है- रोटी, बेटी और माटी की पुकार, झारखंड में भाजपा-NDA सरकार ! रोटी, बेटी और माटी की पुकार, झारखंड में भाजपा-NDA सरकार ! पूरी ताकत से बोलिए सब। रोटी-बेटी और माटी की पुकार, रोटी-बेटी और माटी की पुकार, रोटी-बेटी और माटी की पुकार।

 

साथियों,

भाजपा के लिए, आदिवासी भाई-बहनों की आकांक्षा, उनका स्वाभिमान हमेशा सर्वोपरि रहा है। जब पहली बार, भाजपा सरकार बनी, दिल्ली में अटल बिहारी वाजपेयी को सेवा करने का अवसर मिला। अटल जी देश के प्रधानमंत्री बने, तब जाकर आदिवासी समाज को अलग राज्य मिले। छत्तीसगढ़ और झारखंड, ये दो राज्य बनाने का सौभाग्य भाजपा को ही मिला है। बीते दशक में हमने आदिवासी समाज के योगदान को देश-दुनिया के सामने रखने के लिए अनेक कदम उठाए हैं। रांची में धरती आबा बिरसा मुंडा का इतना भव्य संग्रहालय बना है। हमने ही भगवान बिरसा मुंडा के जन्म दिवस को जनजातीय गौरव दिवस घोषित किया है। इस बार तो 15 नवंबर से धरती आबा की डेढ़ सौवीं जन्मजयंति के उत्सव शुरु होने वाले हैं। आने वाले 2 सालों तक ये उत्सव देश के हर कोने में चलेगा, पूरे देशभर में चलेगा, आदिवासी समाज के एक सपूत ने देश के लिए कितना बड़ा योगदान किया, इससे देश का बच्चा-बच्चा परिचित होगा।

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साथियों,

ये क्षेत्र ‘हो’ भाषा से समृद्ध है, यहां की पहचान ‘हो’ भाषा से है। और आप तो जानते हैं, हमारी सरकार लगातार मातृ भाषा पर बल दे रही है, मातृभाषा का सम्मान करती है। "हो" भाषा को बहुत अपमान झेलने पड़े हैं, उपेक्षा झेलनी पड़ी है। अब ये मोदी की गारंटी है, "हो" भाषा के अपमान का समय खत्म होगा। "हो" भाषा को उचित सम्मान मिले, यहां की और भी भाषाओं को भी उचित सम्मान मिले, इसके लिए हम पूरी तरह प्रतिबद्ध हैं और पूरा प्रयास करने का वादा करते हैं। ये विकास भी और विरासत भी के हमारे संकल्प को मजबूत करने वाली बात है।

साथियों,

भारत के इतिहास में, कांग्रेस और RJD, इनसे बड़ा आदिवासी विरोधी कोई नहीं हुआ। ये जो हमारे नौजवान हैं, इनको वो पुराने दिन याद दिलाना ज़रूरी है। 80 के दशक में जब बिहार और दिल्ली, दोनों जगह कांग्रेस की सरकार थी, झारखंड तब अलग नहीं हुआ था, बिहार का हिस्सा था, तब यहां क्या हुआ था? आप ज़रा अपने माता-पिता, अपने दादा-दादी से पूछिए, अपने गांव के बुजुर्गों को पूछिए। उनको गुवा गोलीकांड जरूर याद होगा। जिस तरह की बर्बरता अंग्रेजों ने की थी, वैसी ही बर्बरता यहां कांग्रेस सरकार ने आदिवासियों का खून बहाकर की थी। यहां कांग्रेस सरकार ने हमारे आदिवासी भाइयों को गोलियों से भून दिया था। हमारे वो आदिवासी पूर्वज सिर्फ अपना हक मांग रहे थे। वो अलग झारखंड राज्य मांग रहे थे। मत भूलिए, तब आरजेडी के नेता भी कहते थे कि झारखंड उनकी लाश पर बनेगा। आपकी आकांक्षाओं से आपके सपनों से इतनी ज्यादा नफरत है इन लोगों को। अब देखिए, जो RJD झारखंड बनाने को सहमत नहीं था, झारखंड बनाने की बात करने वालों को कुचलना चाहता था। उस RJD की गोदी में कौन बैठा है? JMM जाकर उनकी गोदी में बैठ गया है। कांग्रेस और RJD आदिवासियों के सबसे बड़े दुश्मन हैं। और JMM की सच्चाई भी किसी से छिपी नहीं है। जिस कांग्रेस के दामन पर आदिवासियों के खून के छींटे हैं, आज JMM उसी के कंधे के सहारे सरकार चला रही है। जिन्होंने झारखंड का हमेशा विरोध किया, JMM ने सत्ता के लालच में उन्हीं को गले लगा लिया। झारखंड राज्य के लिए अपना बलिदान देने वालों का इससे बड़ा अपमान नहीं हो सकता।

साथियों,

भारत को विकसित बनाने के लिए आदिवासी समाज का विकास और मुख्यधारा से आदिवासी समाज को जोड़ना, ये हमारी सबसे बड़ी प्राथमिकता है। ये आदिवासी समाज की उचित भागीदारी के बिना संभव नहीं होगा। इसलिए, भाजपा ने, NDA ने, आदिवासी भागीदारी पर हमेशा बल दिया है। अभी हाल में ही, भाजपा ने हमारे पड़ोस में एक आदिवासी नौजवान को ओडिशा का मुख्यमंत्री बनाया है। इतना ही नहीं, हमारे साथ जुड़ा छत्तीसगढ़ में भी मुख्यमंत्री हमारे आदिवासी साथी हैं। अनेक राज्यों में आदिवासी संतान राज्यपाल के नाते, गवर्नर के नाते राज्य सरकार का मार्गदर्शन कर रहे हैं। केंद्र सरकार के अनेक शीर्ष पदों पर आज हमारे आदिवासी भाई-बहन उसका नेतृत्व कर रहे हैं। आज देशभर के आदिवासी कल्याण की जिम्मेदारी ओडिशा के हमारे जुएल ओरांव जी और मध्य प्रदेश के दुर्गादास उइके जी के पास है। देशभर को पोर्ट, शिपिंग के विकास की जिम्मेदारी, हिंदुस्तान को पूरी दुनिया से जोड़ने की जिम्मेदारी हमारे सर्बानंद सोनोवाल जी जो आदिवासी समाज के गौरव हैं, वो संभाल रहे हैं। देश में महिला और बाल कल्याण की जिम्मेदारी हमारी आदिवासी बहन सावित्री ठाकुर जी के पास है।

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साथियों,

दूसरी तरफ कांग्रेस-RJD को देखिए, कांग्रेस ने किसी आदिवासी को अपना अध्यक्ष नहीं बनने दिया। कांग्रेस ने कभी किसी आदिवासी बेटे-बेटी को देश का राष्ट्रपति भी नहीं बनने दिया। इतना ही नहीं, हम जब एक आदिवासी महिला को देश का राष्ट्रपति बनाने निकले, तो उन्होंने उसका भी घोर विरोध किया। उनको पराजित करने के लिए षडयंत्र किए। ये भाजपा और NDA ही है, जिसने देश को पहली आदिवासी महिला राष्ट्रपति दी है। भाजपा, आदिवासी समाज को ज्यादा से ज्यादा प्रतिनिधित्व देने के लिए प्रतिबद्ध है।

साथियों,

JMM-कांग्रेस-RJD, कभी आदिवासियों का सम्मान नहीं कर सकतीं। उन्हें तो आपका अपमान करने की आदत है। इन लोगों ने कोल्हान की संतान, कोल्हान के गौरव हमारे चंपई सोरेन जी का भी घोर अपमान किया है। इन लोगों ने जिस तरह अपमानित करके चंपई सोरेन जी को मुख्यमंत्री पद से हटाया, ये पूरे देश ने देखा है। ये सिर्फ एक व्यक्ति का अपमान नहीं है। ये कोल्हान का अपमान है। ये आपका अपमान है। आप मुझे बताइए, ये आपका अपमान है कि नहीं है? इस अपमान के लिए आप JMM को सज़ा देंगे? जरा हाथ ऊपर करके बताइए, सजा देंगे?

साथियों,

वोट के लिए ये JMM और कांग्रेस वाले आदिवासी बेटियों का अपमान करने से भी नहीं चूकते। आज द्रौपदी मुर्मू जी के रूप में देशभर के आदिवासियों की एक सशक्त आवाज हमारे पास है। लेकिन JMM-कांग्रेस और इनके साथियों को आदिवासी महिला राष्ट्रपति बर्दाश्त नहीं हो रही हैं। ये लोग उन्हें अपशब्द कहने का भी कोई मौका नहीं छोड़ते। हमारी बहन सीता सोरेन के साथ इन्होंने क्या किया, ये भी हम सभी ने देखा है। कांग्रेस के एक नेता ने बहन सीता सोरेन जी के लिए जो कुछ कहा है, वो हर आदिवासी माता-बहन-बेटी का अपमान है। अभी महाराष्ट्र में भी, एक बहन चुनाव लड़ रही है। कैसी गंदी भाषा का प्रयोग किया गया उनके लिए, ये इनकी आदत है। और आप देखिए, यहां के जो मुख्यमंत्री हैं, उनकी तरफ से एक शब्द तक नहीं निकला। यही JMM की सच्चाई है। सत्ता सुख में JMM को आदिवासी महिलाओं का अपमान भी स्वीकार है। कांग्रेस से तो देश को कोई उम्मीद है ही नहीं। महाराष्ट्र में भी भाजपा की महिला नेता को लेकर जिस प्रकार की बातें इनके साथी करते हैं, उसे पूरे देश ने देखा है। माताएं-बहनें चौंक गई हैं कि हमारे देश की बहन-बेटियों के लिए ये कांग्रेस वाले उनके साथी ऐसी गंदी भाषा बोलते हैं। इसलिए महाराष्ट्र के लोग भी कांग्रेस और उसके साथियों को सबक सिखाने को तैयार बैठे हैं।

साथियों,

मेरा लंबा समय आदिवासी क्षेत्रों में माताओं-बहनों के संघर्षों को देखते हुए गुजरा है। अभाव और गरीबी में भी वे कैसे परिवार और समाज को संभालती हैं, मैंने इसे अपनी आंखों से देखा है। इसलिए, भाजपा-NDA की हर योजना के केंद्र में माताएं-बहनें रहती हैं। मैंने लाल किले से कहा है कि भारत को विकसित बनाने के लिए नारीशक्ति को सशक्त करना सबसे बड़ी प्राथमिकता है। मुझे खुशी है कि झारखंड भाजपा ने महिलाओं को सशक्त करने वाला संकल्प पत्र कल ही जारी किया है। अभी झारखंड में गोगो दीदी योजना की घर-घर में चर्चा है। गोगो दीदी योजना को झारखंड की हर माता-बहन ने गले लगाया है। गोगो दीदी योजना ने झारखंड की माताओं-बहनों के मन में एक नई ऊर्जा भर दी है। इस योजना के तहत हर महीने माताओं-बहनों के खाते में 2100 रुपए आएंगे, हर महीने 2100 रुपए। झारखंड भाजपा ने 500 रुपए में गैस सिलेंडर, और साल में 2 सिलेंडर मुफ्त देने का भी वायदा किया है। झारखंड की बेटियों को बी-एड, नर्सिंग और दूसरे प्रोफेशनल कोर्स के लिए मुफ्त पढ़ाई का वायदा भी बहुत बड़ा है। इससे आदिवासी बेटियों को भी बहुत लाभ होगा। साथियों, आज पूरी दुनिया में भारत के नौजवानों के टैलेंट की मांग है। अभी जर्मनी के नेता यहां आए थे। उन्होंने कहा हम भारत से हर साल 90 हजार लोगों को बुलाएंगे। दुनिया में जहां-जहां हमने समझौते किए हैं। दुनिया में हमारी नर्सिंग वाली बहनों की बहुत बड़ी मांग है। मुझे विश्वास है झारखंड में पढ़-लिखकर आगे बढ़ने वाले बेटे-बेटियां उनको भी कभी आस्ट्रेलिया कभी न्यूजीलैंड यूरोप के देशों में उनका मान-सम्मान बहुत बढ़ने वाला है। साथियों, गर्भवती माताओं के लिए पोषण किट और 21 हज़ार रुपए की सहायता, मां और बच्चे, दोनों के जीवन को सुरक्षित बनाएगा। झारखंड भाजपा ने राज्य में 21 लाख घर बनाने का भी ऐलान किया है। इन घरों में से ज्यादातर घर महिलाओं के नाम ही होंगे। महिलाओं के नाम पहली बार कोई संपत्ति होगी। सशक्त नारी, विकसित भारत औऱ विकसित झारखंड के मार्ग को भी सशक्त करेगी।

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साथियों,

यहां इतनी बड़ी संख्या में हमारे युवा साथी आए हैं। 5 साल पहले JMM और कांग्रेस वालों ने आपसे कितने सारे वादे किए थे। नौकरी देंगे, भत्ता देंगे, कहा था या नहीं? इन्होंने जो कहा था, वो पूरा किया क्या? अगर ये अपने वादे पूरा करते तो यहां से काम की तलाश में नौजवानों पलायन करने की नौबत नहीं आती। इन्होंने झारखंड के नौजवानों को नौकरी तो नहीं दी, लेकिन भर्ती माफिया के हवाले जरूर कर दिया। ऐसा कोई पेपर नहीं जो बीते 5 वर्षों में लीक नहीं हुआ। पेपर-लीक माफिया ने झारखंड के नौजवानों का भविष्य बर्बाद कर दिया। आप चिंता मत कीजिए युवा साथियों, भाजपा-NDA सरकार, इस माफिया को कड़ा सबक सिखाएगी। एक भी बचने वाला नहीं है। आप चाहते हैं ना कि पेपर लीक के दोषियों को कड़ी सजा मिले? चाहते हैं कि नहीं चाहते? पेपर-लीक और अवैध तरीके से हुई भर्तियों की जांच कराई जाएगी। झारखंड भाजपा का ऐलान है, 3 लाख सरकारी भर्तियां, निष्पक्ष और पारदर्शी तरीके से कराई जाएंगी। अभी हरियाणा में चुनाव हुआ, वहां के लोगों ने तीसरी बार भाजपा सरकार बनाई। और भाजपा ने वादा किया था कि आने के तुरंत बाद बिना खर्ची- बिना पर्ची 25 हजार लोगों को रोजगार देंगे और सरकार आने के दूसरे दिन ही बिना खर्ची- बिना पर्ची 25 हजार लोगों को नौकरी का ऑर्डर मिल गया। उनकी तो डबल दिवाली हो गई। साथियों, जो युवा अपना बिजनेस करना चाहते हैं, उनको ट्रेनिंग दी जाएगी, बैंक से लोन दिया जाएगा और भत्ता भी दिया जाएगा। युवा साथी भत्ता के तौर पर झारखंड के युवाओं को 2 हजार रुपए दिए जाएंगे। कोचिंग के लिए और उच्च शिक्षा के लिए भी युवाओं को बहुत बड़ी मदद देने की घोषणा की गई है।

साथियों,

गरीब का संघर्ष क्या होता है, मैंने उसको जीया है, निकट से देखा है। तभी तो बीते 10 वर्षों में गरीबों के लिए सबसे बड़ी योजनाएं हमने बनाईँ। इन्हीं योजनाओं का परिणाम है कि 10 सालों में 25 करोड़ लोग गरीबी से बाहर आए। झारखंड में भी गरीबी दूर करने के लिए भाजपा प्रतिबद्ध है। इसलिए झारखंड भाजपा ने गरीबों का जीवन आसान बनाने के लिए शानदार घोषणाएं की हैं। भाजपा-NDA सरकार झारखंड के हर घर तक पाइप से पानी पहुंचाने के लिए काम करेगी। धान का MSP बढ़ाकर 3100 रुपए करने और दाना-दाना खरीदने की गारंटी दी है। इसका फायदा सभी किसानों को होगा। और इसलिए मेरा एक काम करोगे आपलोग? जरा हाथ ऊपर करके बताइए, मेरा एक काम करोगे? किसानों को जाकर के बताइए कि भाजपा ने कहा है कि अब धान का MSP 3100 रुपए होगा। आदिवासी परिवार जो भी वन उत्पाद इकट्ठा करते हैं, उन उत्पादों को NDA की नई सरकार जरूर खरीदेगी। इससे आदिवासी परिवारों की आय बढ़ेगी। पंचायत के मुखियाओं को जो भत्ता मिलता है, उसमें भी बढ़ोतरी की जाएगी। पेसा कानून के तहत पंचायती राज को भी और सशक्त किया जाएगा।

साथियों,

कांग्रेस और उसके साथी दलों ने लंबे समय तक आदिवासी समाज को गरीब रखा है, अभावों में रखा। कांग्रेस को तो आदिवासी कल्याण के लिए अलग मंत्रालय बनाने तक की सुध नहीं थी। ये काम भी भाजपा-NDA ने ही किया। भाजपा और NDA सरकार की नीति अलग है। जिनको कभी किसी ने नहीं पूछा, उनको मोदी पूजता है। मैं आपको दो बड़ी योजनाओं के बारे में बताऊंगा, जो आदिवासी समाज के लिए ऐतिहासिक योजनाएं हैं। आदिवासी कल्याण से जुड़ी इन दोनों योजनाओं पर हम एक लाख करोड़ रुपए से ज्यादा खर्च करने जा रहे हैं, एक लाख करोड़ रुपए। पहली योजना है- धरती आबा जनजातीय ग्राम उत्कर्ष अभियान। दूसरी योजना है- पीएम जनमन अभियान। ये दोनों ही योजनाएं झारखंड से शुरू की गई हैं। धरती आबा जनजातीय ग्राम उत्कर्ष अभियान से देश के 60 हज़ार से अधिक आदिवासी गांवों का विकास किया जाएगा। 60 हजार आदिवासी गांव एक साथ। इससे ऐसे हर गांव में रोड, बिजली, पानी, स्कूल, अस्पताल, मोबाइल नेटवर्क, ऐसी सारी आधुनिक सुविधा बनाई जाएगी। आदिवासी भाई-बहनों के लिए ट्राइबल मार्केटिंग सेंटर बनाए जाएंगे। होम स्टे बनवाने के लिए मदद दी जाएगी। इस अभियान के तहत आदिवासी युवाओं को ट्रेनिंग दी जाएगी। वहीं पीएम जनमन अभियान, उन आदिवासी बस्तियों पर फोकस कर रहा है जो विकास में सबसे पीछे रह गईं हैं। आज पीएम-जनमन से झारखंड के अनेक गांवों में विकास के काम हो रहे हैं।

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साथियों,

भाजपा-NDA का प्रयास है कि देश के हर नागरिक को, हर क्षेत्र को बेहतरीन आरोग्य सुविधाएं मिलें। झारखंड में AIIMS का निर्माण इसी उद्देश्य से किया गया। लेकिन JMM-कांग्रेस-RJD की सरकार, मानवता की सेवा के इस काम में भी रोड़े अटकाने का ही काम कर रही है। आप याद कीजिए, मैंने यहां चाईबासा में मेडिकल कॉलेज का शिलान्यास किया था। लेकिन बीते 5 साल से JMM सरकार ने इस मेडिकल कॉलेज का काम लटकाए रखा है। यहां भाजपा सरकार बनने के बाद, पूरे झारखंड में अस्पताल और मेडिकल कॉलेज बनाने की गति तेज़ की जाएगी। मेरा लक्ष्य है, यहां के बच्चे डॉक्टर बन सकें, यहां स्वास्थ्य सुविधाएं बेहतर हों। इसलिए नई राष्ट्रीय शिक्षा नीति में मातृभाषा में पढ़ाई का विकल्प दिया गया है। हमने देश के हर परिवार में 70 वर्ष से ऊपर के हर बुजुर्ग के लिए 5 लाख रुपए तक मुफ्त इलाज देने का फैसला किया है। झारखंड भाजपा ने तो बुजुर्गों को 15 लाख रुपए तक मुफ्त इलाज की घोषणा की है। यहां भाजपा-NDA सरकार बनने के बाद सिकल सेल की बीमारी के विरुद्ध भी लड़ाई तेज़ होगी। ये आदिवासी समाज की बहुत बड़ी सेवा होगी।

साथियों,

भाजपा-एनडीए के प्रयासों के बीच आपको JMM-कांग्रेस-RJD से बहुत सावधान रहना है। JMM-कांग्रेस-RJD ने झारखंड की अस्मिता को संकट में डाल दिया है। झारखंड की डेमोग्राफी, यहां की पहचान को बदलने की साजिश हो रही है। इसलिए JMM-कांग्रेस-RJD पर घुसपैठिया समर्थक गठबंधन का ठप्पा लग गया है। क्योंकि घुसपैठिए इनका सबसे बड़ा वोट बैंक बन गए हैं। JMM और कांग्रेस मिलकर इन घुसपैठियों के फर्जी कागज बनवा रहे हैं, इनके हर गलत काम को संरक्षण दे रहे हैं। यहां तक कि जब कोर्ट में इनसे पूछा गया, तो वहां भी इन्होंने झूठ बोला कि घुसपैठ नहीं हो रही है। घुसपैठिए, आदिवासी बेटियों को निशाने पर ले रहे हैं। झूठ-फरेब, छल-कपट से शादी करके, आदिवासियों की ज़मीन हड़प रहे हैं। ये आपकी रोटी भी छीन रहे हैं, ये आपकी बेटी भी छीन रहे हैं और आपकी माटी को भी हड़प रहे हैं। इसलिए आपको रोटी, बेटी और माटी, सबकी पुकार को याद रखना है। हमें झारखंड की अस्मिता को बचाना है, झारखंड की पहचान को बचाना है। मैं आपको विश्वास दिलाता हूं, यहां भाजपा-NDA सरकार बनेगी, आपने निर्धार किया है, बनने वाली है। घुसपैठ पर रोक लगाने के लिए हर कदम उठाए जाएंगे। नई सरकार, अवैध तरीके से हड़पी गई भूमि को फिर से आदिवासी बेटियों के नाम करने के लिए कानून बनाएगी।

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साथियों,

आदिवासी अधिकारों को सुरक्षित रखने के लिए ही बाबा साहेब आंबेडकर ने आदिवासी आरक्षण की शुरुआत करवाई थी। लेकिन उस समय भी नेहरू जी ने आदिवासियों को आरक्षण का विरोध किया था। इसके बाद जितने साल सरकार पर गांधी परिवार का कब्जा रहा, ये लोग आरक्षण के खिलाफ रहे। अब एक बार फिर इन लोगों ने खुला ऐलान कर दिया है कि– आदिवासियों को मिलने वाले आरक्षण को समाप्त कर देंगे। औऱ साथियों, आदिवासियों से उनका आरक्षण का अधिकार छीनकर ये लोग उसे अपने वोटबैंक को देंगे। इन लोगों ने एक और तरीका निकाला है। ये स्कूलों-कॉलेजों और यूनिवर्सिटियों को अल्पसंख्यक संस्थान घोषित कर रहे हैं। इससे इन संस्थानों में दलितों, पिछड़ों और आदिवासियों को आरक्षण मिलना बंद हो जाता है। कांग्रेस और उसके साथियों की इस साजिश से भी आपको सावधान रहना है।

साथियों,

मैं आपके बीच से निकलकर यहां पहुंचा हूं। मेरे लिए, आप सभी ही मेरा परिवार हैं। इसलिए जब मैं कहता हूं कि विकसित भारत बनाना है, झारखंड को विकसित बनाना है तो ये सबकुछ आपके बच्चों के बेहतर भविष्य के लिए ही कहता हूं.। मेरे लिए आप ही मोदी हैं। आप घर-घर जाइए और सभी से कहिए कि भाजपा-आजसू-JDU-LJP के सभी उम्मीदारों को विजयी बनाना है। मैं आपसे आग्रह करता हूं पोलिंग बूथ पर जाइए, घर-घर जाइए, फिर एक बार अभूतपूर्व विजय के साथ भाजपा-NDA की सरकार बनाइए।

मेरे साथ बोलिए,
भारत माता की जय,
भारत माता की जय,
भारत माता की जय,
भारत माता की जय !

  • Dheeraj Thakur January 31, 2025

    जय श्री राम।
  • Dheeraj Thakur January 31, 2025

    जय श्री राम
  • सुधीर बुंगालिया January 11, 2025

    आदिवासी समाज का बहुत बहुत आभार
  • Mahesh Kulkarni January 10, 2025

    जय श्री राम
  • Vivek Kumar Gupta December 28, 2024

    नमो ..🙏🙏🙏🙏🙏
  • Vivek Kumar Gupta December 28, 2024

    नमो .............................🙏🙏🙏🙏🙏
  • Avdhesh Saraswat December 27, 2024

    NAMO NAMO
  • Gopal Saha December 23, 2024

    hi
  • Dr srushti December 18, 2024

    namo
  • Vishal Seth December 17, 2024

    जय श्री राम
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March 28, 2025
QuoteToday, the world's eyes are on India: PM
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Quote"India First" has become the mantra of India's foreign policy: PM
QuoteToday, India is not just participating in the world order but also contributing to shaping and securing the future: PM
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QuoteToday, India is not just a Nation of Dreams but also a Nation That Delivers: PM

श्रीमान रामेश्वर गारु जी, रामू जी, बरुन दास जी, TV9 की पूरी टीम, मैं आपके नेटवर्क के सभी दर्शकों का, यहां उपस्थित सभी महानुभावों का अभिनंदन करता हूं, इस समिट के लिए बधाई देता हूं।

TV9 नेटवर्क का विशाल रीजनल ऑडियंस है। और अब तो TV9 का एक ग्लोबल ऑडियंस भी तैयार हो रहा है। इस समिट में अनेक देशों से इंडियन डायस्पोरा के लोग विशेष तौर पर लाइव जुड़े हुए हैं। कई देशों के लोगों को मैं यहां से देख भी रहा हूं, वे लोग वहां से वेव कर रहे हैं, हो सकता है, मैं सभी को शुभकामनाएं देता हूं। मैं यहां नीचे स्क्रीन पर हिंदुस्तान के अनेक शहरों में बैठे हुए सब दर्शकों को भी उतने ही उत्साह, उमंग से देख रहा हूं, मेरी तरफ से उनका भी स्वागत है।

साथियों,

आज विश्व की दृष्टि भारत पर है, हमारे देश पर है। दुनिया में आप किसी भी देश में जाएं, वहां के लोग भारत को लेकर एक नई जिज्ञासा से भरे हुए हैं। आखिर ऐसा क्या हुआ कि जो देश 70 साल में ग्यारहवें नंबर की इकोनॉमी बना, वो महज 7-8 साल में पांचवे नंबर की इकोनॉमी बन गया? अभी IMF के नए आंकड़े सामने आए हैं। वो आंकड़े कहते हैं कि भारत, दुनिया की एकमात्र मेजर इकोनॉमी है, जिसने 10 वर्षों में अपने GDP को डबल किया है। बीते दशक में भारत ने दो लाख करोड़ डॉलर, अपनी इकोनॉमी में जोड़े हैं। GDP का डबल होना सिर्फ आंकड़ों का बदलना मात्र नहीं है। इसका impact देखिए, 25 करोड़ लोग गरीबी से बाहर निकले हैं, और ये 25 करोड़ लोग एक नियो मिडिल क्लास का हिस्सा बने हैं। ये नियो मिडिल क्लास, एक प्रकार से नई ज़िंदगी शुरु कर रहा है। ये नए सपनों के साथ आगे बढ़ रहा है, हमारी इकोनॉमी में कंट्रीब्यूट कर रहा है, और उसको वाइब्रेंट बना रहा है। आज दुनिया की सबसे बड़ी युवा आबादी हमारे भारत में है। ये युवा, तेज़ी से स्किल्ड हो रहा है, इनोवेशन को गति दे रहा है। और इन सबके बीच, भारत की फॉरेन पॉलिसी का मंत्र बन गया है- India First, एक जमाने में भारत की पॉलिसी थी, सबसे समान रूप से दूरी बनाकर चलो, Equi-Distance की पॉलिसी, आज के भारत की पॉलिसी है, सबके समान रूप से करीब होकर चलो, Equi-Closeness की पॉलिसी। दुनिया के देश भारत की ओपिनियन को, भारत के इनोवेशन को, भारत के एफर्ट्स को, जैसा महत्व आज दे रहे हैं, वैसा पहले कभी नहीं हुआ। आज दुनिया की नजर भारत पर है, आज दुनिया जानना चाहती है, What India Thinks Today.

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साथियों,

भारत आज, वर्ल्ड ऑर्डर में सिर्फ पार्टिसिपेट ही नहीं कर रहा, बल्कि फ्यूचर को शेप और सेक्योर करने में योगदान दे रहा है। दुनिया ने ये कोरोना काल में अच्छे से अनुभव किया है। दुनिया को लगता था कि हर भारतीय तक वैक्सीन पहुंचने में ही, कई-कई साल लग जाएंगे। लेकिन भारत ने हर आशंका को गलत साबित किया। हमने अपनी वैक्सीन बनाई, हमने अपने नागरिकों का तेज़ी से वैक्सीनेशन कराया, और दुनिया के 150 से अधिक देशों तक दवाएं और वैक्सीन्स भी पहुंचाईं। आज दुनिया, और जब दुनिया संकट में थी, तब भारत की ये भावना दुनिया के कोने-कोने तक पहुंची कि हमारे संस्कार क्या हैं, हमारा तौर-तरीका क्या है।

साथियों,

अतीत में दुनिया ने देखा है कि दूसरे विश्व युद्ध के बाद जब भी कोई वैश्विक संगठन बना, उसमें कुछ देशों की ही मोनोपोली रही। भारत ने मोनोपोली नहीं बल्कि मानवता को सर्वोपरि रखा। भारत ने, 21वीं सदी के ग्लोबल इंस्टीट्यूशन्स के गठन का रास्ता बनाया, और हमने ये ध्यान रखा कि सबकी भागीदारी हो, सबका योगदान हो। जैसे प्राकृतिक आपदाओं की चुनौती है। देश कोई भी हो, इन आपदाओं से इंफ्रास्ट्रक्चर को भारी नुकसान होता है। आज ही म्यांमार में जो भूकंप आया है, आप टीवी पर देखें तो बहुत बड़ी-बड़ी इमारतें ध्वस्त हो रही हैं, ब्रिज टूट रहे हैं। और इसलिए भारत ने Coalition for Disaster Resilient Infrastructure - CDRI नाम से एक वैश्विक नया संगठन बनाने की पहल की। ये सिर्फ एक संगठन नहीं, बल्कि दुनिया को प्राकृतिक आपदाओं के लिए तैयार करने का संकल्प है। भारत का प्रयास है, प्राकृतिक आपदा से, पुल, सड़कें, बिल्डिंग्स, पावर ग्रिड, ऐसा हर इंफ्रास्ट्रक्चर सुरक्षित रहे, सुरक्षित निर्माण हो।

साथियों,

भविष्य की चुनौतियों से निपटने के लिए हर देश का मिलकर काम करना बहुत जरूरी है। ऐसी ही एक चुनौती है, हमारे एनर्जी रिसोर्सेस की। इसलिए पूरी दुनिया की चिंता करते हुए भारत ने International Solar Alliance (ISA) का समाधान दिया है। ताकि छोटे से छोटा देश भी सस्टेनबल एनर्जी का लाभ उठा सके। इससे क्लाइमेट पर तो पॉजिटिव असर होगा ही, ये ग्लोबल साउथ के देशों की एनर्जी नीड्स को भी सिक्योर करेगा। और आप सबको ये जानकर गर्व होगा कि भारत के इस प्रयास के साथ, आज दुनिया के सौ से अधिक देश जुड़ चुके हैं।

साथियों,

बीते कुछ समय से दुनिया, ग्लोबल ट्रेड में असंतुलन और लॉजिस्टिक्स से जुड़ी challenges का सामना कर रही है। इन चुनौतियों से निपटने के लिए भी भारत ने दुनिया के साथ मिलकर नए प्रयास शुरु किए हैं। India–Middle East–Europe Economic Corridor (IMEC), ऐसा ही एक महत्वाकांक्षी प्रोजेक्ट है। ये प्रोजेक्ट, कॉमर्स और कनेक्टिविटी के माध्यम से एशिया, यूरोप और मिडिल ईस्ट को जोड़ेगा। इससे आर्थिक संभावनाएं तो बढ़ेंगी ही, दुनिया को अल्टरनेटिव ट्रेड रूट्स भी मिलेंगे। इससे ग्लोबल सप्लाई चेन भी और मजबूत होगी।

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साथियों,

ग्लोबल सिस्टम्स को, अधिक पार्टिसिपेटिव, अधिक डेमोक्रेटिक बनाने के लिए भी भारत ने अनेक कदम उठाए हैं। और यहीं, यहीं पर ही भारत मंडपम में जी-20 समिट हुई थी। उसमें अफ्रीकन यूनियन को जी-20 का परमानेंट मेंबर बनाया गया है। ये बहुत बड़ा ऐतिहासिक कदम था। इसकी मांग लंबे समय से हो रही थी, जो भारत की प्रेसीडेंसी में पूरी हुई। आज ग्लोबल डिसीजन मेकिंग इंस्टीट्यूशन्स में भारत, ग्लोबल साउथ के देशों की आवाज़ बन रहा है। International Yoga Day, WHO का ग्लोबल सेंटर फॉर ट्रेडिशनल मेडिसिन, आर्टिफिशियल इंटेलीजेंस के लिए ग्लोबल फ्रेमवर्क, ऐसे कितने ही क्षेत्रों में भारत के प्रयासों ने नए वर्ल्ड ऑर्डर में अपनी मजबूत उपस्थिति दर्ज कराई है, और ये तो अभी शुरूआत है, ग्लोबल प्लेटफॉर्म पर भारत का सामर्थ्य नई ऊंचाई की तरफ बढ़ रहा है।

साथियों,

21वीं सदी के 25 साल बीत चुके हैं। इन 25 सालों में 11 साल हमारी सरकार ने देश की सेवा की है। और जब हम What India Thinks Today उससे जुड़ा सवाल उठाते हैं, तो हमें ये भी देखना होगा कि Past में क्या सवाल थे, क्या जवाब थे। इससे TV9 के विशाल दर्शक समूह को भी अंदाजा होगा कि कैसे हम, निर्भरता से आत्मनिर्भरता तक, Aspirations से Achievement तक, Desperation से Development तक पहुंचे हैं। आप याद करिए, एक दशक पहले, गांव में जब टॉयलेट का सवाल आता था, तो माताओं-बहनों के पास रात ढलने के बाद और भोर होने से पहले का ही जवाब होता था। आज उसी सवाल का जवाब स्वच्छ भारत मिशन से मिलता है। 2013 में जब कोई इलाज की बात करता था, तो महंगे इलाज की चर्चा होती थी। आज उसी सवाल का समाधान आयुष्मान भारत में नजर आता है। 2013 में किसी गरीब की रसोई की बात होती थी, तो धुएं की तस्वीर सामने आती थी। आज उसी समस्या का समाधान उज्ज्वला योजना में दिखता है। 2013 में महिलाओं से बैंक खाते के बारे में पूछा जाता था, तो वो चुप्पी साध लेती थीं। आज जनधन योजना के कारण, 30 करोड़ से ज्यादा बहनों का अपना बैंक अकाउंट है। 2013 में पीने के पानी के लिए कुएं और तालाबों तक जाने की मजबूरी थी। आज उसी मजबूरी का हल हर घर नल से जल योजना में मिल रहा है। यानि सिर्फ दशक नहीं बदला, बल्कि लोगों की ज़िंदगी बदली है। और दुनिया भी इस बात को नोट कर रही है, भारत के डेवलपमेंट मॉडल को स्वीकार रही है। आज भारत सिर्फ Nation of Dreams नहीं, बल्कि Nation That Delivers भी है।

साथियों,

जब कोई देश, अपने नागरिकों की सुविधा और समय को महत्व देता है, तब उस देश का समय भी बदलता है। यही आज हम भारत में अनुभव कर रहे हैं। मैं आपको एक उदाहरण देता हूं। पहले पासपोर्ट बनवाना कितना बड़ा काम था, ये आप जानते हैं। लंबी वेटिंग, बहुत सारे कॉम्प्लेक्स डॉक्यूमेंटेशन का प्रोसेस, अक्सर राज्यों की राजधानी में ही पासपोर्ट केंद्र होते थे, छोटे शहरों के लोगों को पासपोर्ट बनवाना होता था, तो वो एक-दो दिन कहीं ठहरने का इंतजाम करके चलते थे, अब वो हालात पूरी तरह बदल गया है, एक आंकड़े पर आप ध्यान दीजिए, पहले देश में सिर्फ 77 पासपोर्ट सेवा केंद्र थे, आज इनकी संख्या 550 से ज्यादा हो गई है। पहले पासपोर्ट बनवाने में, और मैं 2013 के पहले की बात कर रहा हूं, मैं पिछले शताब्दी की बात नहीं कर रहा हूं, पासपोर्ट बनवाने में जो वेटिंग टाइम 50 दिन तक होता था, वो अब 5-6 दिन तक सिमट गया है।

साथियों,

ऐसा ही ट्रांसफॉर्मेशन हमने बैंकिंग इंफ्रास्ट्रक्चर में भी देखा है। हमारे देश में 50-60 साल पहले बैंकों का नेशनलाइजेशन किया गया, ये कहकर कि इससे लोगों को बैंकिंग सुविधा सुलभ होगी। इस दावे की सच्चाई हम जानते हैं। हालत ये थी कि लाखों गांवों में बैंकिंग की कोई सुविधा ही नहीं थी। हमने इस स्थिति को भी बदला है। ऑनलाइन बैंकिंग तो हर घर में पहुंचाई है, आज देश के हर 5 किलोमीटर के दायरे में कोई न कोई बैंकिंग टच प्वाइंट जरूर है। और हमने सिर्फ बैंकिंग इंफ्रास्ट्रक्चर का ही दायरा नहीं बढ़ाया, बल्कि बैंकिंग सिस्टम को भी मजबूत किया। आज बैंकों का NPA बहुत कम हो गया है। आज बैंकों का प्रॉफिट, एक लाख 40 हज़ार करोड़ रुपए के नए रिकॉर्ड को पार कर चुका है। और इतना ही नहीं, जिन लोगों ने जनता को लूटा है, उनको भी अब लूटा हुआ धन लौटाना पड़ रहा है। जिस ED को दिन-रात गालियां दी जा रही है, ED ने 22 हज़ार करोड़ रुपए से अधिक वसूले हैं। ये पैसा, कानूनी तरीके से उन पीड़ितों तक वापिस पहुंचाया जा रहा है, जिनसे ये पैसा लूटा गया था।

साथियों,

Efficiency से गवर्नमेंट Effective होती है। कम समय में ज्यादा काम हो, कम रिसोर्सेज़ में अधिक काम हो, फिजूलखर्ची ना हो, रेड टेप के बजाय रेड कार्पेट पर बल हो, जब कोई सरकार ये करती है, तो समझिए कि वो देश के संसाधनों को रिस्पेक्ट दे रही है। और पिछले 11 साल से ये हमारी सरकार की बड़ी प्राथमिकता रहा है। मैं कुछ उदाहरणों के साथ अपनी बात बताऊंगा।

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साथियों,

अतीत में हमने देखा है कि सरकारें कैसे ज्यादा से ज्यादा लोगों को मिनिस्ट्रीज में accommodate करने की कोशिश करती थीं। लेकिन हमारी सरकार ने अपने पहले कार्यकाल में ही कई मंत्रालयों का विलय कर दिया। आप सोचिए, Urban Development अलग मंत्रालय था और Housing and Urban Poverty Alleviation अलग मंत्रालय था, हमने दोनों को मर्ज करके Housing and Urban Affairs मंत्रालय बना दिया। इसी तरह, मिनिस्ट्री ऑफ ओवरसीज़ अफेयर्स अलग था, विदेश मंत्रालय अलग था, हमने इन दोनों को भी एक साथ जोड़ दिया, पहले जल संसाधन, नदी विकास मंत्रालय अलग था, और पेयजल मंत्रालय अलग था, हमने इन्हें भी जोड़कर जलशक्ति मंत्रालय बना दिया। हमने राजनीतिक मजबूरी के बजाय, देश की priorities और देश के resources को आगे रखा।

साथियों,

हमारी सरकार ने रूल्स और रेगुलेशन्स को भी कम किया, उन्हें आसान बनाया। करीब 1500 ऐसे कानून थे, जो समय के साथ अपना महत्व खो चुके थे। उनको हमारी सरकार ने खत्म किया। करीब 40 हज़ार, compliances को हटाया गया। ऐसे कदमों से दो फायदे हुए, एक तो जनता को harassment से मुक्ति मिली, और दूसरा, सरकारी मशीनरी की एनर्जी भी बची। एक और Example GST का है। 30 से ज्यादा टैक्सेज़ को मिलाकर एक टैक्स बना दिया गया है। इसको process के, documentation के हिसाब से देखें तो कितनी बड़ी बचत हुई है।

साथियों,

सरकारी खरीद में पहले कितनी फिजूलखर्ची होती थी, कितना करप्शन होता था, ये मीडिया के आप लोग आए दिन रिपोर्ट करते थे। हमने, GeM यानि गवर्नमेंट ई-मार्केटप्लेस प्लेटफॉर्म बनाया। अब सरकारी डिपार्टमेंट, इस प्लेटफॉर्म पर अपनी जरूरतें बताते हैं, इसी पर वेंडर बोली लगाते हैं और फिर ऑर्डर दिया जाता है। इसके कारण, भ्रष्टाचार की गुंजाइश कम हुई है, और सरकार को एक लाख करोड़ रुपए से अधिक की बचत भी हुई है। डायरेक्ट बेनिफिट ट्रांसफर- DBT की जो व्यवस्था भारत ने बनाई है, उसकी तो दुनिया में चर्चा है। DBT की वजह से टैक्स पेयर्स के 3 लाख करोड़ रुपए से ज्यादा, गलत हाथों में जाने से बचे हैं। 10 करोड़ से ज्यादा फर्ज़ी लाभार्थी, जिनका जन्म भी नहीं हुआ था, जो सरकारी योजनाओं का फायदा ले रहे थे, ऐसे फर्जी नामों को भी हमने कागजों से हटाया है।

साथियों,

 

हमारी सरकार टैक्स की पाई-पाई का ईमानदारी से उपयोग करती है, और टैक्सपेयर का भी सम्मान करती है, सरकार ने टैक्स सिस्टम को टैक्सपेयर फ्रेंडली बनाया है। आज ITR फाइलिंग का प्रोसेस पहले से कहीं ज्यादा सरल और तेज़ है। पहले सीए की मदद के बिना, ITR फाइल करना मुश्किल होता था। आज आप कुछ ही समय के भीतर खुद ही ऑनलाइन ITR फाइल कर पा रहे हैं। और रिटर्न फाइल करने के कुछ ही दिनों में रिफंड आपके अकाउंट में भी आ जाता है। फेसलेस असेसमेंट स्कीम भी टैक्सपेयर्स को परेशानियों से बचा रही है। गवर्नेंस में efficiency से जुड़े ऐसे अनेक रिफॉर्म्स ने दुनिया को एक नया गवर्नेंस मॉडल दिया है।

साथियों,

पिछले 10-11 साल में भारत हर सेक्टर में बदला है, हर क्षेत्र में आगे बढ़ा है। और एक बड़ा बदलाव सोच का आया है। आज़ादी के बाद के अनेक दशकों तक, भारत में ऐसी सोच को बढ़ावा दिया गया, जिसमें सिर्फ विदेशी को ही बेहतर माना गया। दुकान में भी कुछ खरीदने जाओ, तो दुकानदार के पहले बोल यही होते थे – भाई साहब लीजिए ना, ये तो इंपोर्टेड है ! आज स्थिति बदल गई है। आज लोग सामने से पूछते हैं- भाई, मेड इन इंडिया है या नहीं है?

साथियों,

आज हम भारत की मैन्युफैक्चरिंग एक्सीलेंस का एक नया रूप देख रहे हैं। अभी 3-4 दिन पहले ही एक न्यूज आई है कि भारत ने अपनी पहली MRI मशीन बना ली है। अब सोचिए, इतने दशकों तक हमारे यहां स्वदेशी MRI मशीन ही नहीं थी। अब मेड इन इंडिया MRI मशीन होगी तो जांच की कीमत भी बहुत कम हो जाएगी।

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साथियों,

आत्मनिर्भर भारत और मेक इन इंडिया अभियान ने, देश के मैन्युफैक्चरिंग सेक्टर को एक नई ऊर्जा दी है। पहले दुनिया भारत को ग्लोबल मार्केट कहती थी, आज वही दुनिया, भारत को एक बड़े Manufacturing Hub के रूप में देख रही है। ये सक्सेस कितनी बड़ी है, इसके उदाहरण आपको हर सेक्टर में मिलेंगे। जैसे हमारी मोबाइल फोन इंडस्ट्री है। 2014-15 में हमारा एक्सपोर्ट, वन बिलियन डॉलर तक भी नहीं था। लेकिन एक दशक में, हम ट्वेंटी बिलियन डॉलर के फिगर से भी आगे निकल चुके हैं। आज भारत ग्लोबल टेलिकॉम और नेटवर्किंग इंडस्ट्री का एक पावर सेंटर बनता जा रहा है। Automotive Sector की Success से भी आप अच्छी तरह परिचित हैं। इससे जुड़े Components के एक्सपोर्ट में भी भारत एक नई पहचान बना रहा है। पहले हम बहुत बड़ी मात्रा में मोटर-साइकल पार्ट्स इंपोर्ट करते थे। लेकिन आज भारत में बने पार्ट्स UAE और जर्मनी जैसे अनेक देशों तक पहुंच रहे हैं। सोलर एनर्जी सेक्टर ने भी सफलता के नए आयाम गढ़े हैं। हमारे सोलर सेल्स, सोलर मॉड्यूल का इंपोर्ट कम हो रहा है और एक्सपोर्ट्स 23 गुना तक बढ़ गए हैं। बीते एक दशक में हमारा डिफेंस एक्सपोर्ट भी 21 गुना बढ़ा है। ये सारी अचीवमेंट्स, देश की मैन्युफैक्चरिंग इकोनॉमी की ताकत को दिखाती है। ये दिखाती है कि भारत में कैसे हर सेक्टर में नई जॉब्स भी क्रिएट हो रही हैं।

साथियों,

TV9 की इस समिट में, विस्तार से चर्चा होगी, अनेक विषयों पर मंथन होगा। आज हम जो भी सोचेंगे, जिस भी विजन पर आगे बढ़ेंगे, वो हमारे आने वाले कल को, देश के भविष्य को डिजाइन करेगा। पिछली शताब्दी के इसी दशक में, भारत ने एक नई ऊर्जा के साथ आजादी के लिए नई यात्रा शुरू की थी। और हमने 1947 में आजादी हासिल करके भी दिखाई। अब इस दशक में हम विकसित भारत के लक्ष्य के लिए चल रहे हैं। और हमें 2047 तक विकसित भारत का सपना जरूर पूरा करना है। और जैसा मैंने लाल किले से कहा है, इसमें सबका प्रयास आवश्यक है। इस समिट का आयोजन कर, TV9 ने भी अपनी तरफ से एक positive initiative लिया है। एक बार फिर आप सभी को इस समिट की सफलता के लिए मेरी ढेर सारी शुभकामनाएं हैं।

मैं TV9 को विशेष रूप से बधाई दूंगा, क्योंकि पहले भी मीडिया हाउस समिट करते रहे हैं, लेकिन ज्यादातर एक छोटे से फाइव स्टार होटल के कमरे में, वो समिट होती थी और बोलने वाले भी वही, सुनने वाले भी वही, कमरा भी वही। TV9 ने इस परंपरा को तोड़ा और ये जो मॉडल प्लेस किया है, 2 साल के भीतर-भीतर देख लेना, सभी मीडिया हाउस को यही करना पड़ेगा। यानी TV9 Thinks Today वो बाकियों के लिए रास्ता खोल देगा। मैं इस प्रयास के लिए बहुत-बहुत अभिनंदन करता हूं, आपकी पूरी टीम को, और सबसे बड़ी खुशी की बात है कि आपने इस इवेंट को एक मीडिया हाउस की भलाई के लिए नहीं, देश की भलाई के लिए आपने उसकी रचना की। 50,000 से ज्यादा नौजवानों के साथ एक मिशन मोड में बातचीत करना, उनको जोड़ना, उनको मिशन के साथ जोड़ना और उसमें से जो बच्चे सिलेक्ट होकर के आए, उनकी आगे की ट्रेनिंग की चिंता करना, ये अपने आप में बहुत अद्भुत काम है। मैं आपको बहुत बधाई देता हूं। जिन नौजवानों से मुझे यहां फोटो निकलवाने का मौका मिला है, मुझे भी खुशी हुई कि देश के होनहार लोगों के साथ, मैं अपनी फोटो निकलवा पाया। मैं इसे अपना सौभाग्य मानता हूं दोस्तों कि आपके साथ मेरी फोटो आज निकली है। और मुझे पक्का विश्वास है कि सारी युवा पीढ़ी, जो मुझे दिख रही है, 2047 में जब देश विकसित भारत बनेगा, सबसे ज्यादा बेनिफिशियरी आप लोग हैं, क्योंकि आप उम्र के उस पड़ाव पर होंगे, जब भारत विकसित होगा, आपके लिए मौज ही मौज है। आपको बहुत-बहुत शुभकामनाएं।

धन्यवाद।